\id MAT Haryanvi Bible \ide UTF-8 \rem Copyright ।nformation-Creative Commons Attribution-ShareAlike 4.0 License \h मत्ती \toc1 मत्ती \toc2 मत्ती \toc3 मत्ती \mt1 मत्ती के जरिये लिख्या गया सुसमाचार \is जानकारी \ip मत्ती के जरिये लिख्या गया सुसमाचार यो सन्देस देवै सै, के यीशु मसीह ए वो उद्धारकर्ता सै, जिसके आण की भविष्यवाणी करी गई थी। परमेसवर नै पुराणे नियम हजारां साल पैहले अपणे माणसां तै करे गए करार ताहीं उस्से उद्धारकर्ता के जरिये पूरा करया। यो सन्देस सिर्फ यहूदी माणसां खात्तर ए कोनी, जिन म्ह यीशु पैदा होया अर पाळा-पोस्या गया, पर सारी दुनिया खात्तर सै। \ip मत्ती के जरिये लिखे गए सुसमाचार ताहीं बड़ी सावधानी तै व्यवस्थित करया गया सै, इसकी सरूआत यीशु मसीह के जन्म के विवरण तै होवै सै। फेर उसके बपतिस्मे अर इम्तिहान अर फेर गलील परदेस म्ह प्रचार, शिक्षा, चंगा करण की सेवा का वर्णन सै। इसकै बाद इस सुसमाचार म्ह यीशु की गलील परदेस तै यरुशलेम नगर तक का सफर अर यीशु मसीह की जिन्दगी के आखरी हफ्ते का वर्णन सै, जिस म्ह उसका क्रूस पै चढ़ाया जाणा अर दुबारा जिन्दा हो जाणा सै। \ip इस सुसमाचार म्ह यीशु मसीह ताहीं एक महान गुरु के रूप म्ह पेश करया गया सै। उस ताहीं परमेसवर के नियम-कायदा ताहीं व्याख्या करण का हक सै अर वो परमेसवर के राज्य की शिक्षा देवै सै। उसकी शिक्षा ताहीं पाँच भाग्गां म्ह बाट्या जा सकै सै: (1) पहाड़ी उपदेश, जो सुर्ग के नागरिकां के चरित्र, फर्ज, खास अधिकार, अर आखरी उम्मीद तै सै (पाठ 5-7); (2) बारहा चेल्यां ताहीं सेवकाई करण की शिक्षा देणा (पाठ 10); (3) सुर्ग के राज्य तै सम्बन्धित उदाहरण (पाठ 13); चेल्यां तै सम्बन्धित शिक्षाएँ (पाठ 18); (5) सुर्ग राज्य के आगमन अर आण आळे युग तै सम्बन्धित शिक्षाएँ (पाठ 24-25) \iot रूप-रेखा \io1 पीढ़ी अर यीशु मसीह का जन्म 1:1-2:23 \io1 यूहन्ना बपतिस्मा देण आळा के सेवा के काम 3:1-12 \io1 यीशु का बपतिस्मा अर उसका इम्तिहान 3:13-4:11 \io1 गलील परदेस म्ह यीशु के जरिये माणसां की सेवा 4:12-18:25 \io1 गलील परदेस तै यरुशलेम नगर तक सफर 19:1-20:34 \io1 यरुशलेम नगर म्ह आखरी हफ्ता 21:1-27:66 \io1 प्रभु यीशु का दुबारा जिन्दा हो जाणा अर उसका दिखाई देणा 28:1-20 \c 1 \s यीशु की पीढ़ी \r (लूका 3:23-38) \p \v 1 अब्राहम के वंशज, दाऊद के वंशज, यीशु मसीह की पीढ़ी इस तरियां सै। \p \v 2 अब्राहम का बेट्टा इसहाक था, अर इसहाक का बेट्टा याकूब था, फेर याकूब तै यहूदा अर उसके भाई का जन्म होया। \p \v 3 यहूदा के बेट्टे फिरिस अर जोरह थे। (फिरिस अर जोरह की माँ का नाम तामार था।) फिरिस का बेट्टा हिस्त्रोन था। हिस्त्रोन का बेट्टा एराम था, \p \v 4 एराम का बेट्टा अम्मीनादाब था। अम्मीनादाब तै नहशोन, अर नहशोन तै सलमोन का जन्म होया, \p \v 5 सलमोन का बेट्टा बोआज था। (बोआज की माँ का नाम राहाब\f + \fr 1:5 \ft तामार, राहाब, रुत, बेतसीबा गैर जात की थी \f* था।) बोआज अर रुत तै ओबेद का जन्म होया, अर ओबेद का बेट्टा यिशै था। \p \v 6 अर यिशै का बेट्टा राजा दाऊद था। (राजा सुलैमान दाऊद का बेट्टा था।) जो उस बिरबान्नी तै जन्मा था जो पैहले उरिय्याह की घरआळी थी, \p \v 7 सुलैमान का बेट्टा रहबाम था। अर रहबाम का बेट्टा अबिय्याह था। अर अबिय्याह तै आसा का जन्म होया। \p \v 8 आसा का बेट्टा यहोशाफात था। फेर यहोशाफात तै योराम अर योराम तै उज्जियाह का जन्म होया। \p \v 9 उज्जियाह का बेट्टा योताम था अर योताम, आहाज का। फेर आहाज तै हिजकिय्याह का जन्म होया। \p \v 10 हिजकिय्याह तै मनश्शिह का जन्म होया। मनश्शिह का बेट्टा आमोन था, अर आमोन तै योशिय्याह का जन्म होया।। \p \v 11 फेर इस्राएल के माणसां नै कैदी बणाकै बेबीलोन देश ले जाण तै पैहले योशिय्याह तै यकुन्याह, अर उसके भाई का जन्म होया। \p \v 12 बेबीलोन देश म्ह जाए पाच्छै यकुन्याह का बेट्टा शालतिएल था। फेर शालतिएल तै जरुब्बाबिल का जन्म होया। \p \v 13 जरुब्बाबिल तै अबीहूद का जन्म होया, अबीहूद एलयाकीम का अर एलयाकीम का बेट्टा अजोर था। \p \v 14 अजोर का बेट्टा सदोक था। सदोक तै अखीम अर अखीम तै इलीहूद का जन्म होया। \p \v 15 इलीहूद का बेट्टा इलियाजार था। अर इलियाजार मत्तान का। मत्तान का बेट्टा याकूब था। \p \v 16 अर याकूब तै यूसुफ का जन्म होया, जो मरियम का धणी था। अर मरियम तै यीशु जो मसीह कुह्वावै सै, पैदा होया। \p \v 17 इस तरियां अब्राहम तै दाऊद तक चौदहा पीढ़ी होई, अर दाऊद तै लेकै इस्राएलियाँ नै कैदी बणाकै बेबीलोन देश भेजे जाण तक चौदहा पीढ़ी, अर इस्राएलियाँ कैदी बणाकै बेबीलोन देश म्ह भेजे जाणकै बखत तै मसीह तक चौदहा पीढ़ी और होई। \s मसीह का जन्म \p \v 18 यीशु मसीह का जन्म इस तरियां होया, कै जिब उसकी माँ मरियम कि सगाई यूसुफ कै गैल होग्यी, तो उनका ब्याह होण तै पैहल्याए बेरा पाट्या के वा पवित्र आत्मा की शक्ति तै गर्भवती सै। \v 19 पर उसका धणी यूसुफ जो एक धर्मी माणस था, उसनै बदनाम न्ही करणा चाहवै था, इस खात्तर उस ताहीं चुपके तै छोड़ण का बिचार करया। \p \v 20 जिब वो इन बात्तां नै सोचै ए था तो परमेसवर का सुर्गदूत उसनै सपनै म्ह आकै कहण लाग्या, “हे यूसुफ! दाऊद के वंशज, तू अपणी घरआळी मरियम नै अपणे उरै ल्याण तै ना डरै, क्यूँके जो उसकी कोख म्ह सै, वो पवित्र आत्मा की ओड़ तै सै। \v 21 वो बेट्टा जाम्यैगी अर तू उसका नाम यीशु धरिये, क्यूँके वो अपणे माणसां का उनकै पापां तै उद्धार करैगा।” \p \v 22 यो सारा इस खात्तर होया के जो वचन प्रभु नै यशायाह नबी कै जरिये कह्या था, वो पूरा हो \v 23 देक्खो एक कुँवारी गर्भवती होगी अर एक छोरा जण्येगी, अर उसका नाम इम्मानुएल धरया जावैगा, जिसका मतलब सै “परमेसवर म्हारै गैल सै।” \p \v 24 फेर यूसुफ नींद तै जाग कै परमेसवर कै सुर्गदूत के हुकम कै मुताबिक मरियम नै अपणी घरआळी बणाकै अपणे याड़ै ले आया। \v 25 अर जिब ताहीं उसनै छोरा ना जण्या जिब तक यूसुफ उसकै धोरै न्ही गया अर उसनै उसका नाम यीशु धरया। \c 2 \s ज्योतिषियाँ का आणा \p \v 1 हेरोदेस राजा जिब यहूदिया परदेस पै राज करण लागरया था, तो उस परदेस के बैतलहम नगर म्ह यीशु का जन्म होया। तो थोड़े बखत बाद कुछ विद्वान जो तारां का ज्ञान राक्खै थे, पूरब तै यरुशलेम नगर म्ह आये। \v 2 वो आकै बुझ्झण लाग्गे, यहूदिया का राजा जिसका जन्म होया सै, वो कित्त सै? हमनै पूरब दिशा म्ह उसका तारा देख्या सै, जो उसके जन्म के बारें म्ह बतावै सै, इस करकै हम उसकी आराधना करण आये सां। \p \v 3 यो सुणकै हेरोदेस राजा अर उसकै गैल यरुशलेम नगर के सारे लोग चिन्ता करण लाग्गै। \v 4 फेर उसनै माणसां के सारे प्रधान याजकां अर शास्त्रियाँ ताहीं कठ्ठा करकै उनतै बुझ्झया, के पवित्र ग्रन्थ के कहवै सै? “मसीह का जन्म कित्त होणा चाहिये?” \v 5 उननै उस ताहीं कह्या, “यहूदिया परदेस के बैतलहम नगर म्ह,” क्यूँके नबियाँ कै जरिये योए पवित्र ग्रन्थ म्ह लिख्या गया सै: \p \v 6 “हे बैतलहम नगर, तू जो यहूदा कै परदेस म्ह सै, तू किसे भी ढाळ तै यहूदा कै अधिकारियां म्ह सारा तै छोट्टा कोन्या। क्यूँके तेरै म्ह तै एक राजा लिकड़ैगा, जो मेरी प्रजा इस्राएल की रुखाळी करैगा।” \p \v 7 हेरोदेस जाणणा चाहवै था के उस बाळक की उम्र कितनी सै, इस करकै उसनै तारां का ज्ञान राक्खण आळा ताहीं लुह्क्मा बुलाकै उनतै बुझ्झया के तारा ठीक किस बखत दिख्या था। \v 8 अर राजा नै यो कहकै उन ताहीं बैतलहम नगर भेज्झा, “जाओ, उस बाळक कै बारें म्ह ठीक-ठाक बेरा पाड़ो, अर जिब वो मिल ज्या तो मन्नै खबर द्यो, ताके मै भी आणकै उसकी आराधना करूँ।” \p \v 9 वे राजा की बात सुणकै चले गए, अर जो तारा उननै पूरब दिशा म्ह देख्या था, वो उनकै आग्गै-आग्गै चाल्या। अर जड़ै बाळक था, उस घर कै उप्पर जाकै रुक ग्या। \v 10 उस तारै नै देखकै वे घणे आनन्दित होए, जो उस घर के उप्पर रुक ग्या था। \v 11 उननै उस घर म्ह जाकै उस बाळक ताहीं उसकी माँ मरियम कै गैल देख्या, अर झुककै बाळक की आराधना करी, अर अपणा-अपणा झोळा खोल कै उस ताहीं सोन्ना, लोबान, अर गन्धरस की भेट चढ़ाई। \v 12 फेर सपनै म्ह परमेसवर नै या चेतावनी दी के हेरोदेस राजा कै धोरै फेर ना जाइयो, वे राजा ताहीं बिना बताये दुसरे राह तै अपणे देश म्ह चले ग्ये। \s मिस्र देश म्ह जाणा \p \v 13 विद्वानां कै चले जाणकै बाद परमेसवर कै एक सुर्गदूत नै सपनै म्ह आकै यूसुफ तै कह्या, “उठ! उस बाळक नै अर उसकी माँ नै लेकै मिस्र देश म्ह भाग ज्या। अर जिब ताहीं मै तेरै तै ना कहूँ, जिब ताहीं ओड़ैए रहिये। क्यूँके हेरोदेस राजा इस बाळक नै टोह्कै उस ताहीं उसनै मरवाणा चाहवै सै।” \p \v 14 फेर वो रात नै ए उठकै बाळक अर उसकी माँ नै लेकै मिस्र देश नै चाल पड्या। \v 15 अर हेरोदेस राजा कै मरण तक ओड़ै रह्या। ताके वो वचन जो प्रभु नै होशे नबी कै जरिये कह्या था वो पूरा हो “मन्नै अपणे बेटै ताहीं मिस्र देश तै बुलाया।” \p \v 16 जिब हेरोदेस राजा नै यो देख्या, के विद्वानां नै उसकै गैल धोक्खा करया सै, फेर वो छोह् म्ह भरग्या। माणसां नै भेजकै विद्वानां कै जरिये ठीक-ठाक बताये होड़ बखत कै मुताबिक बैतलहम नगर अर उसकै लोवै-धोवै की जगहांया के सारे छोरयां ताहीं जो दो साल के या उसतै छोट्टे थे, वे सब मरवा दिए। \v 17 फेर जो वचन यिर्मयाह नबी कै जरिये कह्या ग्या था, वो पूरा होया, \q \v 18 “रामाह नगर म्ह एक रोण की आवाज सुणाई देई, रोणा अर घणाए बिलाप। \q राहेल अपणे बाळकां कै खात्तर रोवै थी, अर चुप न्ही होणा चाहवै थी, \q क्यूँके वे इब मरगे थे।” \s मिस्र देश तै आणा \p \v 19 हेरोदेस राजा कै मरण कै पाच्छै, परमेसवर का सुर्गदूत मिस्र देश म्ह यूसुफ तै सपनै म्ह बोल्या, \v 20 “उठ, बाळक अर उसकी माँ नै लेकै इस्राएल कै देश म्ह चल्या ज्या, क्यूँके हेरोदेस राजा अर उसके माणस जो बाळक नै मारणा चाहवै थे, वे मर लिये सै।” \p \v 21 यूसुफ नींद तै जाज्ञा, अर बाळक और उसकी माँ नै गेल्या लेकै इस्राएल देश म्ह बोहड़ आया। \v 22 पर या सुणकै के अरखिलाउस अपणे पिता हेरोदेस राजा की जगहां यहूदिया परदेस पै राज करै सै, ओड़ै जाण तै डरग्या। फेर सपनै म्ह परमेसवर की ओड़ तै चेतावनी पाकै गलील परदेस म्ह चल्या गया। \v 23 अर नासरत नाम कै नगर म्ह जा बस्या, ताके वो वचन पूरा हो, जो नबियाँ कै जरिये यीशु के बारें कह्या गया था: “वो नासरत का नासरी\f + \fr 2:23 \ft नासरत नगर का रहण आळा\f* कुह्वावैगा।” \c 3 \s यूहन्ना बपतिस्मा देण आळा \r (मर 1:1-8; लूका 3:1-18; यूह 1:6-8,15-34) \p \v 1 उन दिनां म्ह यूहन्ना बपतिस्मा देण आळा आकै यहूदिया परदेस के जंगल-बियाबान म्ह यो प्रचार करण लाग्या: \v 2 “पाप करणा छोड़ द्यो, क्यूँके सुर्ग का राज्य धोरै आ लिया सै।” \v 3 यो वोए सै, जिसका जिक्र यशायाह नबी कै जरिये करया गया: “जंगल-बियाबान म्ह तै ए कोए रुक्का देवै सै, के प्रभु का राह तैयार करो अर उसकी सड़क सीध्धी करो।” \p \v 4 यूहन्ना जो था ऊँट के रुए के लत्ते पहरणीया अर अपणी कड़ म्ह चमड़ै की पेट्टी-बाँधे रहवै था। उसका खाणपान टिड्डियाँ अर शहद था। \p \v 5 फेर यरुशलेम नगर अर सारे यहूदिया परदेस अर यरदन नदी कै लोवै-धोवै की सारी जगहां के माणस उसकै धोरै आग्ये। \v 6 उन सारया नै अपणे-अपणे पापां नै मानकै यरदन नदी म्ह उसतै बपतिस्मा लिया। \p \v 7 जिब उसनै घणे सारै फरीसियाँ अर सदूकियाँ ताहीं अपणे धोरै बपतिस्मा लेण खात्तर आंदे देख्या, तो बोल्या, “हे साँप के सप्पोलों जिसे माणसों,” थम नरक की सजा तै किस ढाळ बचोगे? \v 8 इस खात्तर जै थमनै सच म्ह पाप करणा छोड़ दिया सै तो यो दिखाण खात्तर भले काम तो करो। \v 9 अर अपणे-अपणे मन म्ह न्यू मतना सोच्चो के म्हारा पिता अब्राहम सै। क्यूँके मै थमनै कहूँ सूं के परमेसवर इन पत्थरां तै अब्राहम कै खात्तर ऊलाद पैदा कर सकै सै। \v 10 इब कुहाड़ा दरखतां की जड़ पै धरया सै, इस करकै जो-जो दरखत बढ़िया फळ न्ही ल्यांदा, वो काट्या अर आग म्ह झोक्या जावैगा। इसका मतलब यो सै परमेसवर उन सारया नै दण्ड देवैगा जो पाप करणा न्ही छोड़ते। \p \v 11 “मै तो थमनै पाणी तै, पापां ताहीं छोड़ण का बपतिस्मा देऊ सूं, पर जो मेरै पाच्छै आवैगा, वो मेरै तै भी शक्तिशाली सै। मै उसकी जुत्ती ठाण जोग्गा भी कोनी। वो थमनै पवित्र आत्मा अर आग तै बपतिस्मा देवैगा। \v 12 उसका छाज उसकै हाथ म्ह सै, अर वो अपणा खलिहाण आच्छी तरियां साफ करैगा, अर अपणे नाज नै अपणे कोठार (गोदाम) म्ह कट्ठा करैगा, पर भुरळी ताहीं उस आग म्ह जळावैगा जो कदे बुझै कोनी।” \s यूहन्ना के जरिये यीशु का बपतिस्मा \r (मर 1:9-11; लूका 3:21,22; यूह 1:31-34) \p \v 13 उस बखत यीशु गलील परदेस तै यरदन नदी कै कन्ठारे यूहन्ना कै धोरै उसतै बपतिस्मा लेण आया। \v 14 पर या कहकै यूहन्ना उसनै रोक्कण लाग्या, “कै मन्नै तो तेरै हाथ तै बपतिस्मा लेण की जरूरत सै, अर तू मेरै धोरै आया सै?” \p \v 15 यीशु नै उसतै जवाब दिया, “कै इब तो योए होण दे, क्यूँ कै हमनै इस्से तरियां तै सारी धार्मिकता पूरी करणा ठीक सै।” जिब उसनै उसकी बात मान ली। \p \v 16 अर यीशु बपतिस्मा लेकै जिब पाणी तै उप्पर आया, अर देख्या उसकै खात्तर अकास खुलग्या, अर उसनै परमेसवर की पवित्र आत्मा ताहीं कबूतर की तरियां उतरते अर अपणे उप्पर आंदे देख्या। \v 17 अर देक्खो, परमेसवर सुर्ग म्ह तै बोल्या, “कै यो मेरा प्यारा बेट्टा सै, जिसतै मै भोत घणा राज्जी सूं।” \c 4 \s यीशु का परखा जाणा \r (मर 1:12-13; लूका 4:1-13) \p \v 1 बपतिस्मे के बाद पवित्र आत्मा यीशु नै जंगल बियाबान म्ह लेग्या, ताके शैतान\f + \fr 4:1 \ft शैतान ताहीं यूनानी भाषा इबलीस कहवै सै\f* उस ताहीं परखै। \p \v 2 वो चाळीस दिन अर चाळीस रात, बिना खाए पिए रह्या, फेर उसनै भूख लाग्गी। \v 3 फेर शैतान नै धोरै आणकै उसतै कह्या, “जै तू परमेसवर का बेट्टा सै, तो कहकै साबित करदे, के ये पत्थर रोट्टी बण जावै, ताके तू इननै खा सकै।” \p \v 4 यीशु नै जवाब दिया: “पवित्र ग्रन्थ म्ह लिख्या सै, \q ‘माणस सिर्फ रोट्टी तै ए न्ही, पर परमेसवर के हरेक वचन तै जो उसनै मान्नै सै, जिन्दा रह्वैगा।’” \p \v 5 फेर शैतान उसनै पवित्र नगर यरुशलेम म्ह लेग्या अर मन्दर की चोट्टी पै खड्या कर दिया।\f + \fr 4:5 \ft लूका 4:9\f* \p \v 6 अर उसतै बोल्या, “जै तू परमेसवर का बेट्टा सै, तो अपणे आपनै तळै गेर कै साबित कर। क्यूँके पवित्र ग्रन्थ म्ह लिख्या सै: वो तेरै बाबत अपणे सुर्गदूत्तां नै हुकम देगा, अर वे तन्नै हाथों हाथ उठा लेवैगें कदे इसा ना हो के तेरे पांयां म्ह पत्थर तै ठेस लाग्गै।” \p \v 7 यीशु नै उसतै कह्या, “यो भी पवित्र ग्रन्थ म्ह लिख्या सै, के ‘तू अपणे प्रभु परमेसवर नै ना परखै।’” \p \v 8 फेर शैतान उसनै घणे ऊँच्चे पहाड़ पै लेग्या अर सारी दुनिया का राजपाट अर उसकी शानों-शोकत दिखाकै, \v 9 उसतै बोल्या, “जै तू झूककै मेरी भगति करै, तो मै सारा किमे तन्नै दे दियुँगा।” \p \v 10 फेर यीशु उसतै बोल्या, “हे शैतान दूर हो ज्या, पवित्र ग्रन्थ म्ह लिख्या सै: तू प्रभु अपणे परमेसवर नै नमस्कार कर, अर सिर्फ उस्से की भगति करया कर।” \p \v 11 फेर शैतान उसकै धोरै तै चल्या ग्या, अर देख्ये, सुर्गदूत आणकै उसकी सेवा करण लाग्गे। \s यीशु के जरिये सेवा करण कि सरूआत \r (मर 1:14,15; लूका 4:14-15,31) \p \v 12 जिब उसनै न्यू सुण्या के यूहन्ना कैदी बणा लिया सै, तो वो यहूदिया परदेस तै लिकड़कै गलील परदेस म्ह चल्या ग्या। \p \v 13 अर फेर वो गलील परदेस के नासरत नगर नै छोड़कै कफरनहूम नगर म्ह, जो गलील समुन्दर कै कन्ठारे था, जबूलून अर नप्ताली जात्ति कै माणसां म्ह ज्याकै रहण लाग्या। \v 14 ताके जो यशायाह नबी कै जरिये कह्या गया था, वो पूरा हो \q \v 15 “जबूलून अर नप्ताली जात्ति कै परदेस, गलील समुन्दर कै किनारे यरदन नदी के पार, गलील परदेस म्ह रहण आळे गैर यहूदी माणस” \p \v 16 “जो माणस अन्धकार म्ह जीण लागरे थे, उननै तेज चान्दणा देख्या। वे उस जगहां म्ह जीण लागरे थे, जित्त हर घड़ी मौत का खतरा था, उनपै चान्दणा चमक्या।” \p \v 17 उस बखत तै यीशु नै प्रचार करणा अर कहणा शुरु करया, “पाप करणा छोड़ द्यो, क्यूँके सुर्ग का राज्य धोरै आया सै।” \p \v 18 गलील परदेस म्ह गलील समुन्दर कै किनारै घुमदे होए उसनै दो भाईयाँ ताहीं शमौन जो पतरस कुह्वावै सै, अर उसके भाई अन्द्रियास ताहीं समुन्दर म्ह जाळ गेरते देख्या, क्यूँके वे मछवारे थे। \v 19 यीशु नै उनतै कह्या, “मेरै पाच्छै आओ, मै थमनै माणसां ताहीं कठ्ठे करण आळे बणाऊँगा ताके वो मेरे चेल्लें बणे।” \v 20 वे जिब्बे जाळां नै छोड़कै उसके चेल्लें बणण खात्तर उसकै पाच्छै हो लिये। \p \v 21 ओड़ तै आग्गै चालकै, यीशु नै दो और भाईयाँ ताहीं यानी जब्दी के बेट्टे याकूब अर उसकै भाई यूहन्ना ताहीं देख्या। वे अपणे पिता जब्दी कै गैल किस्ती पै अपणे जाळां ताहीं ठीक करै थे। यीशु नै उन ताहीं भी बुला लिया। \v 22 वे जिब्बे नाव अर अपणे पिता नै छोड़कै उसके चेल्लें बणण खात्तर उसकै पाच्छै हो लिये। \s गलील परदेस म्ह रोगियाँ ताहीं ठीक करणा \p \v 23 यीशु सारे गलील परदेस म्ह फिरता होया उनकै आराधनालयाँ म्ह उपदेश सुणान्दा, अर राज्य का सुसमाचार सुणादा अर माणसां की हरेक ढाळ की बीमारी अर कमजोरियाँ नै दूर करता रह्या। \v 24 अर सारै सीरिया\f + \fr 4:24 \ft गलील परदेस के उत्तर दिशा म्ह सै\f* परदेस म्ह उसका यश फैलग्या, अर माणस सारे बिमारां नै, जो कई ढाळ की बिमारियाँ अर दुखां नै जकड़े होए थे, जिन म्ह भुंडी आत्मा थी, अर मिर्घी आळे अर लकवै के रोग्गी नै उसकै धोरै ल्याए उसनै उन ताहीं ठीक करया। \v 25 अर गलील परदेस दिकापुलिस नगर, यरुशलेम नगर, यहूदिया परदेस अर यरदन नदी कै पार तै भीड़ की भीड़ उसकै पाच्छै हो ली \c 5 \s यीशु का पहाड़ी उपदेश \p \v 1 यीशु उस भीड़ नै देखकै पाहाड़ पै चला ग्या, अर जब बैठग्या तो उसके चेल्लें उसकै धोरै आए। \v 2 अर वो अपणी ऊँच्ची आवाज म्ह उननै यो शिक्षा देण लाग्या: \s धन्य वचन \r (लूका 6:20-23) \q \v 3 “धन्य सै वे, जो या जाणे सै के उननै परमेसवर की जरूरत सै, क्यूँके सुर्ग का राज्य उननै का सै। \q \v 4 धन्य सै वे, जो शोक करै सै, क्यूँके वे परमेसवर तै शांति पावैगें। \q \v 5 धन्य सै वे, जो नम्र सै, क्यूँके वे परमेसवर के जरिये धरती के हकदार होंगे। \q \v 6 धन्य सै वे, जो धार्मिकता का जीवन जीण खात्तर भूखे अर तिसाए सै, क्यूँके वे परमेसवर के जरिये छिकाए जावैंगे। \q \v 7 धन्य सै वे, जो दया करण आळे सै, क्यूँके परमेसवर भी उनपै भी दया करैगा। \q \v 8 धन्य सै वे, जिनके मन शुध्द सै, क्यूँके वे परमेसवर नै देखैगें। \q \v 9 धन्य सै वे, जो मेल कराण आळे सै, क्यूँके वे परमेसवर के बेट्टा-बेट्टी कुह्वावैगें। \q \v 10 धन्य सै वे, जो धरम के कारण सताए जावै सै, क्यूँके सुर्ग का राज्य उन्ने का सै।” \p \v 11 “धन्य सों थम, जिब माणस मेरै कारण थारी बुराई करै सतावै अर झूठ बोल-बोलकै थारै बिरोध म्ह सारी तरियां की बुरी बात फैलावै, क्यूँके थम मेरे चेल्लें सों। \v 12 फेर खुश अर मग्न होइयो, क्यूँके थारै खात्तर सुर्ग म्ह बड्ड़ा ईनाम सै। इस करकै के उननै उन नबियाँ ताहीं भी इस्से ढाळ सताया था, जो थारै तै भी भोत पैहल्या थे।” \s नमक अर चान्दणा \r (मर 9:50; लूका 14:34,35) \p \v 13 “थम धरती पै लोग्गां खात्तर नूण की तरियां सों, पर जै नूण का सुवाद जांदा रहवै, तो वो किस चीज तै नमकीन करया ज्यागा? फेर वो किसे काम का न्ही, सिर्फ इसकै के बाहर फेक्या ज्या अर माणसां के पैरां तळै चिकल्या ज्या।” \p \v 14 “थम दुनिया के लोग्गां खात्तर चाँदणा की तरियां सों। जो नगर पहाड़ पै बस रह्या सै वो लुह्क न्ही सकदा। \v 15 अर माणस दीवा जळा कै बरतन कै तळै न्ही पर टांडी पे धरै सै, फेर उसतै घर के सारे माणसां ताहीं चान्दणा ज्या सै। \v 16 उस्से तरियां थारा चान्दणा माणसां के स्याम्ही चमकै के वे थारै भले काम्मां नै देखकै थारै पिता की, जो सुर्ग म्ह सै बड़ाई करै।” \s नियम-कायदा की शिक्षा \p \v 17 “या ना समझो, के मै मूसा के नियम-कायदा या नबियाँ की लेख नै मिटाण आया सूं, मिटाण न्ही, पर पूरा करण आया सूं।\f + \fr 5:17 \ft (रोम-10:4)\f* \v 18 क्यूँके मै थमनै सच कहूँ सूं, के जब ताहीं धरती अर अकास सै, जद ताहीं नियम-कायदा म्ह लिखी हरेक छोट्टी तै छोट्टी बात पूरी होए बिना न्ही रहवैगी। \v 19 इस करकै जो कोए इन छोटे तै छोटे हुकम म्ह तै किसे एक नै भी न्ही मानता, अर दुसरे माणसां नै भी उसाए सिखावै, वो सुर्ग के राज्य म्ह सारा तै छोट्टा कुह्वावैगा, पर जो कोए उन सारे हुकमां पै चाल्लैगा अर उननै सिखावैगा, वोए सुर्ग राज्य म्ह महान् कुह्वावैगा। \v 20 क्यूँके मै थमनै कहूँ सूं, के जै थारा आत्मिक जीवन शास्त्रियाँ अर फरिसियाँ के आत्मिक जीवन तै बढ़कै न्ही हो, तो थम सुर्ग के राज्य म्ह कदे बड न्ही पाओगें।” \s छोह् अर हत्या \p \v 21 “थमनै सुण्या होगा, के थारे पूर्वजां तै कह्या, गया था के ‘खून ना करियो’, अर ‘जो कोए खून करैगा वो कचेह्ड़ी म्ह दण्ड के लायक होगा।’ \v 22 पर मै थमनै या कहूँ सूं, के जो कोए अपणे भाई पे गुस्सा करैगा, वो कचेह्ड़ी म्ह दण्ड के लायक होगा, अर जो कोए अपणे भाई नै निकम्मा कहवैगा वो बड्डी सभा म्ह दण्ड के लायक होगा, अर जो कोए कहवै ‘अरै बेकूफ’ वो नरक की आग के दण्ड के लायक होगा।” \p \v 23 “इस करकै जै तू अपणा चढ़ावा मन्दर म्ह मंढही पै चढ़ावै, अर ओड़ै तू याद करै, के तेरै भाई के मन म्ह तेरै खात्तर किमे बिरोध सै, \v 24 तो तू अपणा चढ़ावा ओड़ैए मंढही कै धोरै छोड़दे, अर ज्याकै अपणे भाई तै मेल मिलाप कर अर फेर आकै अपणा चढ़ावा चढ़ा।” \p \v 25 “जिब ताहीं तू अपणे बैरी के गेल्या रास्तै म्ह ए सै, उसतै जिब्बे मेल मिलाप करले कदे इसा ना हो के बैरी तन्नै न्यायाधीश के हवालै, अर न्यायाधीश तन्नै सिपाही के हवालै करदे, अर तू जेळ म्ह गेर दिया जावै। \v 26 मै तन्नै सच कहूँ सूं के जिब ताहीं तू पाई-पाई न्ही भरदे जद ताहीं जेळ तै छुटण न्ही पावैगा।” \s जारी \p \v 27 “थमनै परमेसवर का हुकम सुण्या होगा के कह्या गया था, ‘जारी ना करियो।’ \v 28 पर मै थमनै न्यू कहूँ सूं, के जो कोए किसे बिरबान्नी पै भुंडी निगांह गेरै वो अपणे मन म्ह उसतै जारी करग्या। \v 29 जै तेरी सोळी आँख तेरे तै पाप करवावै सै, तो उसनै लिकाड़ के फेंक दे, क्यूँके तेरै खात्तर योए ठीक सै के तेरै अंगा म्ह तै एक नाश हो ज्या अर तेरी सारी देह नरक म्ह ना गेरी जावै। \v 30 जै तेरा सोळा हाथ तेरे तै पाप करवावै सै, तो उसनै काट के फेंक दे, क्यूँके तेरै खात्तर योए आच्छा सै के तेरे बाक्की अंगा म्ह तै एक नाश हो जावै अर तेरी सारी देह नरक म्ह न्ही गेरी जावै।” \s तलाक \r (मत्ती 19:9,11,12; लूका 16:18) \p \v 31 “यो भी कह्या गया था, ‘जो कोए अपणी घरआळी नै तलाक देणा चाहवै, तो उसनै तलाक नामा दे।’ \v 32 पर मै थमनै यो कहूँ सूं के जो कोए अपणी घरआळी नै जारी कै सिवा किसे और कारण तै तलाक दे, तो वो उसतै जारी करवावै सै। अर जो कोए उस छोड्डी होई तै ब्याह करै, वो जारी करै सै।” \s कसम \p \v 33 “फेर थमनै सुण्या होगा के थारे पूर्वजां तै कह्या गया था, ‘झूठ्ठी कसम ना खाइये, पर प्रभु के खात्तर अपणी कसम नै पूरी करिये।’ \v 34 पर मै थमनै या कहूँ सूं के कदे कसम ना खाइये, ना तो सुर्ग की, क्यूँके वो परमेसवर का सिंहासन सै। \v 35 ना धरती की, क्यूँके वा उसकै पैरां की पिड्ढी सै, ना यरुशलेम नगर की, क्यूँके वो महाराजा का नगर सै। \v 36 अपणे सिर की भी कसम ना खाइये क्यूँके तू एक बाळ नै भी ना धोळा, ना काळा कर सकै सै। \v 37 पर थारी बात ‘हाँ’ की हाँ, या ‘ना’ की ना हो, क्यूँके जो किमे इसतै घणा होवै सै वो शैतान की ओड़ तै होवै सै।” \s बदला \r (लूका 6:29,30) \p \v 38 “थमनै नियम-कायदा म्ह सुण्या होगा के कह्या था, आँख कै बदलै आँख, अर दाँत कै बदलै दाँत। \v 39 पर मै थमनै कहूँ सूं के बुरे माणस तै झगड़ा मोल ना लियो, पर जो कोए तेरै सोळै गाल पै थप्पड़ मारै उस कान्ही दुसरा भी फेर दे। \v 40 जै कोए तेरै पे दाब देकै तेरा कुड़ता लेणा चाहवै, तो उसनै अंगोच्छा भी दे दे। \v 41 जै कोए अधिकारी तन्नै एक कोस मुफ्त म्ह ले जावै, तो उसकै गेल्या दो कोस चल्या ज्या। \v 42 जो कोए तेरै तै माँगै, उसनै दे, अर जो कोए तेरै तै उधार लेणा चाहवै, उसतै मुँह ना मोड़।” \p \v 43 “थमनै नियम-कायदा म्ह सुण्या होगा के कह्या था, अपणे पड़ोसी तै प्यार राखिये, अर अपणे बैरी तै बैर। \v 44 पर मै थमनै कहूँ सूं के अपणे बैरियाँ तै प्यार राक्खों अर अपणे सतावण आळे के खात्तर प्रार्थना करो,\f + \fr 5:44 \ft (रोम-12:14)\f* \v 45 जिसतै थम अपणे सुर्गीय पिता की सिध्द ऊलाद मान्ये जाओगे। क्यूँके वो भले अर बुरे लोग्गां पै अपणा सूरज उगाया करै सै, अर धर्मी अर अधर्मी लोग्गां पै मिह बरसावै सै। \v 46 क्यूँके जै थम अपणे प्यार करण आळा तै ए प्यार करो सों, तो कौण सा बड़ा काम करो सों? के चुंगी लेण आळे भी इसाए न्ही करते? \v 47 जै थम अपणे भाईयाँ नै ए नमस्कार करो, तो कौण्सा बड्ड़ा काम करो सों? के गैर यहूदी भी इसाए न्ही करदे? \v 48 इस करकै चाहिए के थम सिध्द बणो, जिसा थारा सुर्गीय पिता सिध्द सै।” \c 6 \s दान के बारें म्ह शिक्षा \p \v 1 “चौक्कस रहो! थम माणसां नै दिखाण कै खात्तर धरम के काम\f + \fr 6:1 \ft आच्छे काम \f* ना करो, न्ही तो अपणे सुर्गीय पिता तै किमे भी ईनाम न्ही पाओगे।” \p \v 2 “इस करकै जिब तू दान करै, तो अपणे आग्गै ढिंडोरा ना पिटवाईये, जिसा कपटी, आराधनालयाँ अर गळियाँ म्ह करै सै, ताके माणस उनकी बड़ाई करै। मै थारै ताहीं साच्ची कहूँ सूं के उननै अपणा ईनाम माणसां की बड़ाई के रूप म्ह पा लिया। \v 3 पर जिब तू दान करै, तो उसका किसे और नै बेरा न्ही पाटणा चाहिए। \v 4 ताके तेरा दान छिप्या रहवै, अर जिब तेरा पिता जो गुप्त म्ह देक्खै सै, तन्नै ईनाम देवैगा।” \s प्रार्थना \r (लूका 11:2-4) \p \v 5 “जिब तू प्रार्थना करै, तो कपटियाँ के तरियां ना हो, क्यूँके माणसां नै दिखाण खात्तर आराधनालयाँ म्ह अर सड़कां कै मोड़ां पै खड़े होकै प्रार्थना करणा उननै आच्छा लाग्गै सै। मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के उननै अपणा ईनाम माणसां की बड़ाई के रूप म्ह पा लिया। \v 6 पर जिब तू प्रार्थना करै, तो अपणी कोठड़ी म्ह जा, अर किवाड़ बंद करकै अपणे पिता तै, जो गुप्त म्ह सै उसतै प्रार्थना कर। जद तेरा पिता, जो तेरे लुह्क कै करे होए काम्मां नै देखै सै, तो तन्नै उनका ईनाम देगा। \v 7 प्रार्थना करदे बखत दुसरी जात्तां की तरियां बडबडाइये ना, क्यूँके वे समझै सै के उनकै एक बात के बार-बार बोल्लण तै उनकी सुणी जावैगी। \v 8 इस करकै थम उनकी तरियां ना बणो, क्यूँके थारा पिता थारै माँगण तै पैहल्याए जाणै सै के थारी के-के जरूरत सै। \v 9 इस करकै थम इस तरियां तै प्रार्थना करया करो \q ‘हे म्हारे पिता, तू जो सुर्ग म्ह सै, तेरा नाम पवित्र मान्या जावै।’ \f + \fr 6:9 \ft (लूका 11:2)\f* \q \v 10 ‘तेरा राज्य आवै। तेरी मर्जी जिसी सुर्ग म्ह पूरी होवै सै, उसी धरती पै भी हो।’ \q \v 11 ‘म्हारे दिन भर की रोटी आज हमनै दे।’ \q \v 12 ‘अर जिस तरियां हमनै अपणे कसूरवारां ताहीं माफ करया सै, उस्से तरियां तू भी म्हारे कसूरां नै माफ करदे।’ \q \v 13 ‘अर म्हारे ताहीं परखै ना, पर बुराई तै बचा, (क्यूँके राज्य, वीरता अर महिमा सदा तेरे ए सै।’ आमीन।) \m \v 14 इस करकै जै थम माणसां के कसूर माफ करोगे, तो थारा सुर्गीय पिता भी थमनै माफ करैगा। \v 15 अर जै थम माणस के कसूरां नै माफ न्ही करोगे, तो थारा पिता भी थारे कसूर माफ न्ही करैगा।” \s ब्रत \p \v 16 “जिब थम ब्रत करो, तो कपटियाँ की तरियां थारै मुँह पै उदासी छाई ना रहवै, क्यूँके वे अपणा मुँह बणाई राक्खै सै, ताके माणस उननै ब्रती जाणै। मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के वे अपणा ईनाम माणसां की बड़ाई के रूप म्ह पा चुके। \v 17 पर जिब तू ब्रत करै तो अपणे सिर पे तेल लगा अर मुँह धो, \v 18 ताके के माणस न्ही पर तेरा पिता तन्नै ब्रती जाणै। तेरा पिता जो तेरे उस गुप्त म्ह करे होए ब्रत नै देखै सै, तो तन्नै उनका ईनाम देगा।” \s सुर्गीय धन \r (लूका 12:33-34) \p \v 19 “अपणे खात्तर धरती पे धन कठ्ठा ना करो, जड़ै कीड़ा अर काई नाश करै सै, अर जड़ै चोर सेंध लगावै अर चोरै सै। \v 20 पर अपणे खात्तर परमेसवर नै खुश करण आळे भले काम करकै सुर्ग म्ह धन कठ्ठा करो, जड़ै ना तो कीड़ा अर ना काई नाश करै सै, अर जड़ै चोर ना सेंध लगावै अर चोरै सै। \v 21 क्यूँके जड़ै तेरा धन सै उड़ै तेरा मन भी लाग्या रवैगा।” \s देह कि ज्योति \r (लूका 11:34-36) \p \v 22 “देह का दिवा आँख सै इस करकै जै तेरी सोच सही सै तो तेरी सारी देह भी चाँदणे म्ह सै। \v 23 पर जै तेरी सोच खराब सै तो तेरी सारी देह भी अन्धेरे म्ह सै, इस कारण जो तू सोच्चै सै के मै चाँदणे म्ह सूं, पर वो अन्धेरा हो, तो सोचकै देख वो अन्धेरा कितना बड्ड़ा होगा!” \s परमेसवर अर धन \r (लूका 16:13; 12:22-31) \p \v 24 “कोए माणस दो मालिकां की सेवा एक बखत पै न्ही कर सकदा, क्यूँके वो एक तै बैर अर दुसरे तै प्यार राक्खैगा, या एक तै मिल्या रहवैगा अर दुसरे नै छोट्टा जाणैगा। थम परमेसवर अर धन दोनुआ की सेवा न्ही कर सकदे। \p \v 25 “इस करकै मै थमनै कहूँ सूं के अपणे जीवन के खात्तर या चिंता ना करियो के हम के खावांगें अर के पीवागें, अर ना अपणी देह के खात्तर के पैहरागें। के जीवन खाणै तै, के देह लत्यां तै बढ़कै कोन्या? \v 26 अकास के पंछियां नै देक्खों! वे ना बोवै सै, ना काटै सै, अर ना कुठले (गोदाम) म्ह कठ्ठा करै सै, फेर भी थारा सुर्गीय पिता उन ताहीं खुवावै सै। के थम पंछियां तै घणे कीमती कोनी? \v 27 थारै म्ह कौण सै, जो चिंता करकै अपणी उम्र म्ह एक पल भी बढ़ा सकै सै?” \p \v 28 “अर लत्यां के खात्तर क्यूँ चिंता करो सों? जंगली फुल्लां पै ध्यान करो के वे किस तरियां बढ़ै सै, वे ना तो मेहनत करै सै, ना लत्तें बनावै सै। \v 29 तोभी मै थारे तै कहूँ सूं के राजा सुलैमान भी, अपणे सारे शानों-शोकत म्ह उन म्ह तै किसे के समान लत्ते पैहरे होए कोनी था। \v 30 इस करकै जिब परमेसवर मैदान की घास नै इसी सुन्दरता देवै सै, जो आज सै अर काल भाड़ म्ह झोक्की जावैगी, तो हे बिश्वास म्ह कमजोर माणसों, वो थारी चिन्ता क्यूँ न्ही करैगा?” \v 31 “इस करकै थम चिंता करकै न्यू ना कहियो के हम के खावांगें, या के पीवागें, या के पैहरागें? \v 32 क्यूँके गैर यहूदी इन सारी चिज्जां की टोह् म्ह रहवै सै, पर थारा सुर्गीय पिता जाणै सै के थमनै इन सारी चिज्जां की जरूरत सै, इस करकै चिन्ता ना करो। \v 33 इस करकै पैहल्या थम परमेसवर के राज्य की खोज करो अर पवित्र जीवन जिओ, तो ये सारी चीज भी थमनै अपणे आप मिल ज्यागीं।\f + \fr 6:33 \ft (लूका 12:31)\f* \v 34 इस करकै कांल की चिंता ना करो, क्यूँके कांल का दिन अपणी चिंता आप कर लेवैगा, आज कै खात्तर आज का ए दुख भतेरा सै।” \c 7 \s दुसरयां पै इल्जाम ना लाओ \r (लूका 6:37,38,41,42) \p \v 1 “दुसरयां पै इल्जाम ना लाओ न्ही तो लोग थारै पै भी इल्जाम लगावैंगे। \v 2 क्यूँके जिस तरियां थम दुसरयां पै इल्जाम लगाओ सों, उसी तरियां परमेसवर भी थारै पे भी इल्जाम लगावैगा, जिस तरियां तै थम दुसरयां का न्याय करो सों, उस्से तरियां थारा भी न्याय करया जावैगा।” \p \v 3 “तू क्यूँ अपणे भाई की आँख कै तिन्कै जिसी छोटी सी बुराई नै देख्ये सै, अर अपणी आँख म्ह लठ जिसी बड़ी बुराई तन्नै कोनी दिखदी?” \v 4 जिब तेरी ए आँख म्ह लठ सै, तो तू अपणे भाई तै किस तरियां कहवै सै, “ल्या मै तेरी आँख तै तिन्का लिकाड़ द्यु।” \v 5 इस करकै हे कपटी, पैहल्या अपणी जीवन की बुराई दूर कर फेर तू अपणे भाई नै आच्छी दाऊँ बुराई तै बचा सकैगा। \p \v 6 “उन माणसां ताहीं परमेसवर का वचन ना सुणाओ जो उस ताहीं सुणणा न्ही चाहन्दे। जै तू इसा करै सै तो यो पवित्र चीज कुत्यां कै आग्गै अर मोत्ती सूअरां के आग्गै फेक्कण की ढाळ होगा, इसा न्ही हो के वे उननै पैरां तळै चिकलै अर उल्टके थमनै पाड़ले।” \s माँगोगे, तो पाओगे \r (लूका 11:9-13) \p \v 7 “परमेसवर तै माँग्गो, तो वो थमनै देवैगा, टोव्होगें तो थम पाओगे, खटखटाओ, तो थारै खात्तर खोल्या जावैगा। \v 8 क्यूँके जो कोए माँगै सै, उसनै मिलै सै, अर जो टोह्वैं सै, वो पावै सै, अर जो खटखटावै सै, उसकै खात्तर खोल्या जावैगा।” \p \v 9 “थारै म्ह तै इसा कौण माणस सै, के जै उसका बेट्टा रोट्टी माँगै, तो वो उसनै पत्थर देवै? \v 10 या मच्छी माँगै, तो उसनै साँप देवै? \v 11 इस करकै जिब थम बुरे होकै, अपणे बाळकां नै आच्छी चीज देणा जाणो सों, तो थारा सुर्गीय पिता अपणे माँगण आळा नै आच्छी चीज क्यूँ न्ही देवैगा?\f + \fr 7:11 \ft (लूका 11:13)\f* \v 12 इस कारण जो किमे थम चाहो सों के माणस थारै गेल्या करै, थम भी उनकै गेल्या उसाए करो, क्यूँके नियम-कायदे अर नबियाँ की शिक्षा याए सै।” \s भिड़ा अर चौड़ा राह \r (लूका 13:24) \p \v 13 “थम परमेसवर के राज्य भीड़ै फाटक तै ए बड सको सों, क्यूँके चौड़ा सै वो फाटक अर सीध्धा सै वो रास्ता जो नाश नै पोहच्यै सै, अर घणेए सै जो उस म्ह बडै सै। \v 14 क्यूँके भीड़ा सै वो फाटक अर मुश्किल सै वो राह जो अनन्त जीवन की ओड़ पुह्चावै सै, अर भोत थोड़े सै वे लोग जो उसनै पावै सै।” \s फळां तै पेड़ की पिच्छाण \p \v 15 “झूठ्ठे नबियाँ तै चौक्कस रहो, जो भेड्डां के भेष म्ह थारै धोरै आवै सै, पर भीत्तर तै वे पाडण आळे भेड़िये सै। \v 16 उनकै काम्मां तै ए थम उन ताहीं पिच्छाण ल्योगे। के माणस झाड़ियाँ तै अंगूर, या झाड़ बोझड़े तै अंजीर तोड़ै सै? \v 17 इस तरियां हरेक आच्छा दरखत आच्छा फळ ल्यावै सै अर निकम्मा दरखत भुंडा फळ ल्यावै सै। \v 18 आच्छा दरखत भुंडा फळ न्ही ल्या सकदा, अर ना निकम्मा दरखत आच्छा फळ ल्या सकै सै। \v 19 जो-जो दरखत आच्छा फळ न्ही ल्यान्दा, वो काट्या अर आग म्ह गेरया ज्या सै, उस्से तरियां झुठ्ठे नबियाँ कै गेल भी इसाए होवैगा। \v 20 झुठ्ठे नबियाँ नै उनके काम्मां तै थम उन ताहीं पिच्छाण ल्योगे।” \p \v 21 “जो मेरै तै, ‘हे प्रभु! हे प्रभु!’ कहवै सै, उन म्ह तै हर एक सुर्ग के राज्य म्ह दाखल न्ही होगा, पर वोए दाखल होगा जो मेरै सुर्गीय पिता की मर्जी पै चाल्लै सै। \v 22 न्याय के दिन घणखरे-ए माणस मेरै तै कहवैगें, ‘हे प्रभु, हे प्रभु, के हमनै तेरै नाम तै भविष्यवाणी न्ही करी, के हमनै तेरै नाम तै ओपरी आत्मायाँ ताहीं न्ही लिकाड्या, अर तेरै नाम तै घणेए अचम्भै के काम न्ही करे?’ \v 23 फेर मै उनतै खुलकै कह दियुँगा, मन्नै थारै ताहीं कदे न्ही अपणाया। हे भुन्डे़ काम करण आळो, मेरै धोरै तै चले जाओ।”\f + \fr 7:23 \ft (लूका 13:27) \f* \s अकलमंद और बेकूफ माणस \p \v 24 “इस करकै जो कोए मेरी इन बात्तां नै सुणकै उननै मान्नै सै, वो उस अकलमंद माणस की ढाळ होगा जिसनै अपणे घर की नीम चट्टान पै धरी। \v 25 अर मिह बरसया, बाढ़ आयी, आंधी आई, अर उस घर तै टकराई, फेर भी वो कोनी गिरया, क्यूँके उसकी नीम चट्टान पै धरी ग्यी थी। \v 26 पर जो कोए मेरी ये बात सुणै सै अर उनपै न्ही चाल्दा, वो उस बेकूफ माणस की ढाळ सै, जिसनै अपणे घर की नीम बाळूरेत पै धरी। \v 27 अर मिह बरसया, बाढ़ आयी, आंधी चाल्ली, अर उस घर तै टकराई अर पड़कै उसका सत्यानास होग्या।” \p \v 28 जिब यीशु नै ये बात कह ली, तो इसा होया के भीड़ उसके उपदेश तै हैरान होगी, \v 29 क्यूँके वो उनकै शास्त्रियाँ की तरियां न्ही पर अधिकार कै गेल उननै उपदेश देवै था। \c 8 \p \v 1 जिब यीशु उस पहाड़ तै उतरा, तो एक बड्डी भीड़ उसके पाच्छै हो ली। \p \v 2 अर देक्खे, एक कोढ़ी नै धोरै आकै उस ताहीं नमस्कार करया अर कह्या, “हे प्रभु, जै तू चाहवै, तो मन्नै ठीक कर सकै सै।” \p \v 3 यीशु नै हाथ बढ़ाकै उस ताहीं छुआ, अर कह्या, “मै चाऊँ सूं, के तू इस बीमारी तै ठीक हो ज्या।” अर वो जिब्बे कोढ़ तै ठीक होग्या। \v 4 यीशु नै उसतै कह्या, “देख किसे तै ना कहिये, पर जाकै अपणे आपनै याजक ताहीं दिखा अर अपणे कोढ़ तै ठीक होण कै बारै म्ह जो कुछ मूसा नबी नै जो पवित्र ग्रन्थ म्ह चढ़ावा बताया सै उसनै चढ़ा, के माणसां खात्तर या गवाही हो, के तू ठीक होग्या सै।” \s सूबेदार के बिश्वास पर यीशु की प्रशंसा \p \v 5 जिब यीशु कफरनहूम नगर म्ह आया तो एक सूबेदार\f + \fr 8:5 \ft सूबेदार-रोमी सेना के सौ सिपाही कै उप्पर हो सै\f* नै धोरै आकै उसतै बिनती करी, \p \v 6 “हे प्रभु, मेरा नौक्कर लकवै के रोग तै घणा दुखी होरया सै।” \p \v 7 यीशु नै उस ताहीं कह्या, “मै आकै उसनै ठीक करूँगा।” \p \v 8 सूबेदार नै जवाब दिया, “हे प्रभु, मै इस लायक कोनी के तू मेरे घरां आवै, पर सिर्फ मुँह तै कह दे तो मेरा नौक्कर ठीक हो ज्यागा। \v 9 क्यूँके मै जाणु सूं, के मै भी किसी के आदेशां का पालन करुँ सूं, अर सिपाही मेरै आदेशां का पालन करै सै। जिब मै एक तै कहूँ सूं, जा, तो वो जावै सै, अर दुसरे तै, आ, तो वो आवै सै, अर अपणे नौक्कर तै कहूँ सूं, यो कर, तो वो करै सै।” \p \v 10 यो सुणकै यीशु कै अचम्भा होया, अर जो लोग उसकै पाच्छै आवै थे उनतै कह्या, “मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के मन्नै इस्राएल देश म्ह भी इसा बिश्वास न्ही देख्या, जिसा इस सूबेदार का सै। \v 11 अर मै थमनै कहूँ सूं के पूरब अर पच्छिम तै घणेए गैर यहूदी आवैगें अर भोज म्ह अब्राहम अर इसहाक अर याकूब के गेल्या सुर्ग के राज्य म्ह बैठोगे। \v 12 पर राज्य की ऊलाद (यहूदी लोग) बाहर अन्धेरे म्ह गेर दिये जावैंगे उड़ै रोणा अर दाँत पिसणा होगा।” \p \v 13 जिब यीशु नै सूबेदार तै कह्या, “घर चला जा, जिसा तेरा बिश्वास सै, उसाए तेरै खात्तर होगा।” अर उसका नौक्कर उस्से बखत ठीक होग्या। \s पतरस के घर म्ह अनेक रोगियाँ की चंगाई \p \v 14 यीशु जिब पतरस के घरां आया, तो उसनै उसकी सास्सू ताहीं बुखार म्ह पड्या देख्या। \v 15 उसनै उसका हाथ पकड्या अर उसका बुखार उतर ग्या, अर वा उठकै उसकी सेवा-पाणी करण लाग्गी। \p \v 16 जिब साँझ होई फेर माणस उसके धोरै घणेए माणसां नै ल्याए जिन म्ह ओपरी आत्मा थी अर यीशु नै उन आत्मायाँ ताहीं अपणे वचन तै लिकाड़ दिया, अर सारे बिमारां ताहीं ठीक कर दिया। \v 17 ताके जो वचन यशायाह नबी के जरिये कह्या गया था वो पूरा हो “उसनै खुद म्हारी कमजोरी ले ली अर म्हारी बीमारी उठा ली।”\f + \fr 8:17 \ft (1 पत-2:24)\f* \s यीशु के चेल्ला बणण की किम्मत \p \v 18 यीशु नै जिब अपणे चौगरदू एक भीड़ देक्खी तो अपणे चेल्यां ताहीं गलील समुन्दर के परली ओड़ जाण का हुकम दिया। \v 19 यीशु अर उसके चेल्लें किस्ती की ओड़ जाण लागरे थे, तो एक शास्त्री नै धोरै आकै उसतै कह्या, “हे गुरू, जड़ै किते तू जावैगा, मै तेरै पाच्छै हो ल्यूँगा, क्यूँके मै तेरा चेल्ला बणणा चाऊँ सूं।” \p \v 20 यीशु नै उसतै कह्या, “लोमड़ियां की घुरखाण अर अकास के पन्छियाँ के बसेरे हो सै, पर मुझ माणस के बेट्टै खात्तर सिर छिपाण की भी जगहां कोनी सै।” \p \v 21 एक और चेल्लै नै उसतै कह्या, “हे प्रभु, पैहले मन्नै घर जाणदे, मै अपणे पिता के मरण कै बाद उस ताहीं दफना के आऊँगा, फेर तेरा चेल्ला बणुगाँ।” \p \v 22 यीशु नै उसतै कह्या, “तू मेरै साथ हो ले, अर मेरा चेल्ला बण जा अर जो आत्मिक रूप तै मर चुके सै, उननै मुर्दे दफनान दे।” \s आँधी और तूफान ताहीं शान्त करणा \p \v 23 जिब यीशु किस्ती पै चढ्या, तो उसके चेल्लें उसकै पाच्छै हो लिए। \v 24 अर देक्खो, समुन्दर म्ह एक इसा बड्ड़ा अन्धोड़ उठ्या के किस्ती झाल्लां तै ढक्ण लाग्गी, अर वो सोण लाग रह्या था। \v 25 फेर चेल्यां नै धोरै आकै उस ताहीं जगाया अर कह्या, “हे प्रभु, हमनै बचा, हम डूबके मरण आळे सां।” \p \v 26 यीशु नै उनतै कह्या, “हे बिश्वास म्ह कमजोर माणसों, क्यूँ डरो सों?” फेर उसनै उठकै आँधी अर पाणी ताहीं धमकाया, अर सब शान्त होग्या। \p \v 27 अर वे अचम्भा करकै कहण लाग्ये, “यो किसा माणस सै के आँधी अर पाणी भी उसका हुकम मान्नैं सै।” \s ओपरी आत्मायाँ ताहीं सुअरां के झुण्ड म्ह भेजणा \p \v 28 जिब यीशु गलील समुन्दर कै परली ओड़ गदरेनियां के देश म्ह पुँह्चा, तो दो माणस जिन म्ह ओपरी आत्मा थी कब्रिस्तान म्ह तै लिकड़कै उसनै मिले। वे इतनै डरावने थे के कोए उस रास्तै तै जा न्ही सकै था। \v 29 दोन्नु माणसां नै किल्की मारकै कह्या, “हे परमेसवर के बेट्टे, म्हारा तेरै तै के काम? के तू बखत तै पैहल्या हमनै दुख देण आड़ै आया सै?”\f + \fr 8:29 \ft (लूका 4:34)\f* \p \v 30 उनतै थोड़ी सी दूर पे घणेए सुअरां का टोळ चरै था। \v 31 ओपरी आत्मायाँ नै उसतै या कहकै बिनती करी के, “जै तू हमनै लिकाड़ै सै, तो सुअरां के टोळ म्ह भेज दे।” \p \v 32 उसनै उन ताहीं कह्या, “जाओ!” अर वे ज्या के सुअरां म्ह बैठगी अर देक्खो, सारा टोळ ढळान पै तै झपटकै पाणी म्ह ज्या पड्या, अर डूब मरया। \v 33 उनकै पाळी भाज्ये, अर नगर म्ह जाकै ये सारी बात अर जिन म्ह ओपरी आत्मा थी उनका सारा हाल कह सुणाया। \v 34 फेर सारे नगर के माणस यीशु तै फेटण नै लिक्ड़ाए, अर उस ताहीं देख के बिनती करी के म्हारी सीम तै बाहर चल्या ज्या। \c 9 \s एक लकवे के रोग्गी ताहीं चंगा करणा \p \v 1 फेर यीशु किस्ती म्ह चढ़कै उस पार गया, अर बोहड़कै अपणे नगर म्ह आया। \v 2 अर देक्खो, कई माणस लकवै के एक मरीज नै खाट पै लिटा के उसकै धोरै ल्याए। यीशु नै उनका बिश्वास देखकै, उस लकवे के मरीज तै कह्या, “हे बेट्टे, धीर बाँध, मन्नै तेरे पाप माफ कर दिये।” \p \v 3 इसपै कई शास्त्रियाँ नै सोच्या, “यो तो परमेसवर की बुराई करै सै” \p \v 4 यीशु नै उनकै मन की बात जाणकै कह्या, “थम माणस अपणे-अपणे मन म्ह बुरा बिचार क्यूँ आण देओ सों? \v 5 आसान के सै? यो कहणा, ‘तेरे पाप माफ होए’, या यो कहणा, ‘उठ अर हाँड-फिर।’ \v 6 पर इस करकै के थम जाण ल्यो के मुझ माणस के बेट्टै नै धरती पे पाप माफ करण का हक सै।” फेर उसनै लकवै के मरीज तै कह्या, “उठ, अपणे बिस्तर ठाकै, अपणे घरां चल्या जा।” \v 7 वो उठकै अपणे घरां चल्या गया। \v 8 माणस यो देखकै डरगे अर परमेसवर की बड़ाई करण लाग्ये जिसनै माणस ताहीं इसा हक दिया सै। \s यीशु के जरिये मत्ती का बुलाया जाणा \p \v 9 ओड़ै तै आग्गै बढ़ के यीशु नै मत्ती नाम के एक आदमी ताहीं चुंगी की चौकी पे बैठ्या देख्या, अर उसतै कह्या, “मेरा चेल्ला बणण खात्तर मेरै पाच्छै हो ले।” अर वो उठकै उसकै पाच्छै हो लिया। \p \v 10 जिब वो मत्ती के घर म्ह खाणा खाण खात्तर बैठ्या तो घणेए चुंगी लेण आळे अर पापी आकै यीशु अर उसकै चेल्यां के गेल्या खाणा खाण बैट्ठे। \v 11 या देखकै फरीसियाँ नै उसकै चेल्यां ताहीं कह्या, “थारा गुरू चुंगी लेण आळे अर जिननै लोग पापी कहवै सै, उनकै गेल्या खावै-पीवै सै?” \p \v 12 या सुणकै यीशु नै उनतै कह्या, “वैद आच्छे बिच्छयां खात्तर कोनी पर बीमारां खात्तर जरूरी सै। \v 13 इस करकै थम जाओ अर समझ ल्यो के पवित्र ग्रन्थ के इस वचन का मतलब के सै: ‘मै बलिदान न्ही पर दया चाऊँ सूं।’ क्यूँके जो अपणे-आपनै धर्मी कहवै मै उननै न्ही, पर जो अपणे-आपनै पापी कहवै सै उननै बुलाण आया सूं।”\f + \fr 9:13 \ft (होशे 6:6)\f* \s यूहन्ना के चेल्यां के उपवास का सवाल \p \v 14 फेर बपतिस्मा देण आळे यूहन्ना के चेल्यां नै धोरै आणकै कह्या, “के कारण सै के हम अर फरीसी इतणे ब्रत करा सां, पर तेरे चेल्लें ब्रत न्ही करदे?” \p \v 15 यीशु नै उनतै कह्या, “के बराती, जिब ताहीं बन्दड़ा उसके गेल्या सै, शोक मना सकै सै? पर वे दिन आवैगें जिब बन्दड़ा उनतै न्यारा करया जावैगा, उस बखत वे ब्रत करैगें।” \p \v 16 “नये लत्यां की थेग्ळी पुराणे लत्यां पे कोए न्ही लगान्दा, क्यूँके वा थेग्ळी लत्ते तै और भी लत्ता खुस्का दे सै, अर वो और भी घणा पाट ज्या सै। \v 17 अर माणस नया अंगूर का रस पुराणी मश्क म्ह न्ही भरदे, क्यूँके इसा करण तै मश्क पाट ज्या सै, अर अंगूर का रस खिंड ज्या सै, अर मश्क फूट ज्या सै, पर नया अंगूर का रस नई मशकां म्ह भरै सै अर वे दोनु बचे रहवै सै।” \s मरी होई छोरी का जिन्दा होणा \p \v 18 वो उनतै ये बात कहण-ए लागरया था, के जिब्बे आराधनालयाँ कै सरदारां म्ह तै एक याईर नाम के आदमी नै आकै उस ताहीं नमस्कार करया अर कह्या, “मेरी बेट्टी इब्बे मरी सै, पर तू चाल के अपणा हाथ उसपै धरै, तो वो जिन्दा हो ज्यागी।” \v 19 यीशु उठकै अपणे चेल्यां समेत उसके पाच्छै हो लिया। \p \v 20 अर देक्खो, एक बिरबान्नी नै जिसकै बारहां साल तै लहू बहण की बीमारी थी, पाच्छै तै आकै उसकै लत्ते के कोणे ताहीं छु लिया।\f + \fr 9:20 \ft (मत्ती 14:36)\f* \v 21 क्यूँके वा अपणे मन म्ह कहवै थी, “जै मै उसकै लत्ते नै छू ल्यूँगी तो ठीक हो जाऊँगी।” \p \v 22 यीशु नै घूमकै उस ताहीं देख्या अर कह्या, “बेट्टी धीर बाँध, तेरै बिश्वास नै तेरै ताहीं ठीक करया सै।” अर वा बिरबान्नी उस्से बखत ठीक होगी। \p \v 23 जिब यीशु याईर कै घर म्ह पुँह्चा अर बाँसली बजान आळे अर भीड़ नै रोळा मचांदे देख्या, \v 24 फेर कह्या, “हट जाओ, छोरी मरी कोनी, पर सोवै सै।” इसपे वे उसका मजाक उड़ाण लाग्ये। \v 25 पर जिब भीड़ लिकाड़ दी, तो उसनै भीत्तर ज्या के उस छोरी का हाथ पकड्या, अर वा जी उठी। \v 26 अर इस बात का जिक्र सारे देश म्ह फैलग्या। \s अंधों का बिश्वास \p \v 27 जिब यीशु ओड़ै तै आग्गै बढ़ा, तो दो आंधे उसकै पाच्छै या कहन्दे होए चाल्ले, “हे दाऊद की ऊलाद, म्हारै पै दया कर!” \p \v 28 जिब वो घर म्ह पुह्चा, तो वे आंधे उसके धोरै आये, अर यीशु नै उनतै कह्या, “के थमनै बिश्वास सै के मै थमनै चंगा कर सकू सूं?” उननै उसतै कह्या, “हाँ प्रभु!” \p \v 29 फेर उसनै उनकी आँखां कै हाथ लगाकै कह्या, “थारै बिश्वास के मुताबिक थम चंगे होजाओ।” \v 30 अर वे जिब्बे देक्खण लाग्गे। यीशु नै उनतै समझां के कह्या, “सावधान, किसे ताहीं या बात ना बताइयो, के मन्नै थारे खात्तर के करया सै।” \v 31 पर उननै मिलकै सारे देश म्ह उसका नाम फैला दिया। \p \v 32 जिब वे दोन्नु आंधे बारणे जाण लागरे थे, तो देक्खो, कई माणस एक गूँगे नै उसके धोरै ल्याए जिसम्ह ओपरी आत्मा थी, जो उसनै बोल्लण कोनी देवै थी। \v 33 अर जिब यीशु नै ओपरी आत्मा लिकाड़ दी, तो गूँगा बोलण लाग्या। इसपै भीड़ नै अचम्भा करकै कह्या, “इस्राएल म्ह इसा कदे न्ही देख्या गया।” \p \v 34 पर फरीसियाँ नै कह्या, “ओपरी आत्मायाँ के सरदार इस ताहीं शक्ति देवै सै, इस करकै यो ओपरी आत्मायाँ नै लिकाड़ै सै।” \s मजदूरां ताहीं भेजण कै खात्तर विनती \p \v 35 यीशु अर उसके सारे चेल्लें सारे नगरां अर गाम्मां म्ह फिरता होया अर उनकै आराधनालयाँ म्ह उपदेश सुणान्दा, अर परमेसवर के राज्य का सुसमाचार सुणादा, अर हरेक ढाळ की बीमारी अर कमजोरियाँ नै दूर करता रह्या। \p \v 36 जिब उसनै भीड़ देखी तो उसनै माणसां पै तरस आया, क्यूँके वे उन भेड्या की तरियां थे, जिनका कोए पाळी ना हो, वे बेचैन अर भटके होए से थे।\f + \fr 9:36 \ft (1 राजा-22:17)\f* \v 37 फेर उसनै अपणे चेल्यां तै कह्या, “पके होए खेत्तां की तरियां लोग तो भोत सै जो परमेसवर के वचन नै सुणणा चाहवै सै, पर फसल काट्टण आळे तो भोत कम लोग सै, जो उन ताहीं जाकै परमेसवर का वचन सुणावै। \v 38 इस करकै खेत के माल्लिक यानी परमेसवर तै बिनती करो, के वो और लोग्गां नै भेजै, ताके परमेसवर का वचन भोत सारे लोग्गां ताहीं सुणावै।” \c 10 \s बारहां प्रेरित \p \v 1 फेर यीशु नै अपणे बारहां चेल्यां ताहीं धोरै बुलाकै, उन ताहीं ओपरी आत्मायाँ पै हक दिया के उननै लिकाड़ै अर सारी ढाळ की बिमारियाँ अर सारी ढाळ की कमजोरियाँ नै ठीक करै। \p \v 2 इन बारहां प्रेरितां के नाम ये सै: पैहल्या शमौन, जो पतरस कुह्वावै सै, अर उसका भाई अन्द्रियास, जब्दी का बेट्टा याकूब, अर उसका भाई यूहन्ना, \p \v 3 फिलिप्पुस, अर बरतुल्मै, थोमा, अर चुंगी लेण आळा मत्ती, हलफई का बेट्टा याकूब, अर तद्दे, \p \v 4 शमौन जेलोतेस\f + \fr 10:4 \ft (एक कट्टर पंथी राजनैतिक दल का नाम था जिसका वो सदस्य होया करता था)\f*, अर यहूदा इस्करियोती जिसनै वो पकड़वा भी दिया। \s चेल्यां ताहीं सेवा खात्तर भेजणा \p \v 5 इन बारहां चेल्यां ताहीं यीशु नै यो हुकम देके भेज्या: “गैर यहूदी लोग्गां कान्ही ना ज्याइयो, अर सामरियाँ के किसे नगर म्ह दाखल ना होइये।\f + \fr 10:5 \ft (यिर्म-50:6)\f* \v 6 पर इस्राएल के कुण्बे की ए खुई होड़ी भेड्डां के धोरै जाइये। \v 7 अर चालते-चालते यो प्रचार करो: सुर्ग का राज्य धोरै आ ग्या। \v 8 बिमारां नै ठीक करो, मरै होए नै जीवाओ, कोढ़ियाँ नै शुध्द करो, ओपरी आत्मायाँ नै लिकाड़ो। थमनै मुफ्त लिया सै मुफ्त द्यो।” \p \v 9 “अपणे अंगोच्छां म्ह ना तो सोन्ना, ना चाँदी, अर ना ताम्बा राखियो। \v 10 रास्ते खात्तर ना झोळी लियो, ना दो कुड़ते, ना जुत्ते अर ना लाठ्ठी लियो, क्यूँके मजदूर नै उसका खाणा मिलणा चाहिए। \v 11 जिस किसे नगर या गाम म्ह जाओ, तो बेरा पाड़ौ के कुण लायक सै। अर जिब ताहीं उड़ै तै ना लिकड़ो, उस्से के गेल्या रहों। \v 12 घर म्ह बढ़ते आणी उसनै आशीर्वाद दिए। \v 13 जै उस घर के माणस लायक होंगे तो थारा आशीर्वाद उनपै पुहँचगा, पर जै वे लायक ना हों तो थारा आशीर्वाद थारै धोरै उल्टा ए आ ज्यागा। \v 14 जो कोए थमनै न्ही अपणावै अर थारी बात ना सुणै, उस घर या उस नगर तै लिकड़ते आणी अपणे पैरां की धूळ झाड़ लियो। \v 15 मै थमनै सच्ची कहूँ सूं के न्याय के दिन उस नगर की हालत तै सदोम अर अमोरा के देश की हालत घणी सहण जोग्गी होवैगी।” \s आण आळा मुश्किल बखत \p \v 16 “देक्खो, मै थमनै भेड्डां की तरियां भेड़ियाँ के बिचाल्ये भेज्जू सूं, इस करकै साँपां की तरियां अकलमंद अर कबूतरां की तरियां भोळे बणो। \v 17 पर माणसां तै चौक्कस रहों, क्यूँके वे थमनै बड्डी आराधनालयाँ म्ह सौपैगें, अर अपणी सभा म्ह थारै कोड़े मारैगें। \v 18 थम मेरै खात्तर राज्यपालों अर राजाओं के स्याम्ही अर गैर यहूदी लोग्गां म्ह भेजे जाओगें। ताके थम मेरे बारें म्ह गवाही दे सको \v 19 जिब वे थमनै पकड़वावैगें तो या फिक्र ना करयो के हम किस तरियां तै या के कहवागें, क्यूँके जो किमे थारे ताहीं कहणा होगा, वो उस्से बखत थारै ताहीं बता दिया जावैगा। \v 20 क्यूँके बोलण आळे थम न्ही सों, पर थारे सुर्गीय पिता का आत्मा थारे म्ह बोल्लै सै। \v 21 भाई, भाई नै अर पिता बेट्टे नै, मारण खात्तर सौंप देंगें, अर बाळक अपणे माँ बाप के बिरोध म्ह खड़े होकै उन ताहीं मरवा देवैगें।\f + \fr 10:21 \ft (मीका 7:6)\f* \v 22 मेरै नाम के कारण सारे माणस थारै तै बैर करैगें, पर जो अन्त ताहीं धीरज धरैगा उस्से का उद्धार होगा। \v 23 जिब वे थमनै नगर म्ह सतावै, तो दुसरे म्ह भाग ज्याइयो। मै थमनै सच कहूँ सूं, थम इस्राएल के सारे नगरां म्ह न्ही घूम सकोगें के मै माणस का बेट्टा आ जाऊँगा।” \s चेल्ला होण का मतलब \p \v 24 “चेल्ला अपणे गुरू तै बड्ड़ा न्ही होंदा, अर ना नौक्कर अपणे माल्लिक तै। \v 25 चेल्लै का गुरू के, अर नौक्कर का माल्लिक के बराबर होणा ए भोत सै। जिब उननै घर के माल्लिक तै शैतान कह्या तो उसके घरआळां नै के कुछ न्ही कहवैगें!” \s किसतै डरां? \p \v 26 “इस करकै माणसां तै ना डरो, क्यूँके कुछ ढकया कोनी, जो उजागर न्ही करया जावैगा, अर ना कुछ लुहक्या सै जिसका बेरा न्ही पटै। \v 27 जो मै थारै तै अन्धेरे म्ह कहूँ सूं, उसनै थम चान्दणे म्ह कहो, अर जो कान्नो कान सुणो सों, उसनै छात्तां पै चढ़ के प्रचार करो। \v 28 जो देह नै घात करै सै, पर आत्मा नै घात न्ही कर सकदे, उनतै ना डरयो, पर उसतै डरयो, पर उस परमेसवर तै डरो जो आत्मा अर देह दोनुआ नै नरक म्ह गिरकै नाश कर सकै सै। \v 29 छोट्टी चिड़ियाँ दो पिस्या की बिकै सै, जो ना कै बराबर सै तोभी जै वो धरती पै पड़ कै मरै सै तो पिता परमेसवर नै उसका भी बेरा सै क्यूँके पिता परमेसवर सब कुछ जाणण आळा सै। \v 30 थारै सिर के बाळ भी सारे गिणे होड़े सै।\f + \fr 10:30 \ft (लूका 12:7)\f* \v 31 इस करकै डरो मतना, थम घणी गौरैयाँ (एक छोट्टी चिड़ियाँ) तै बढ़कै सो।” \s यीशु को स्वीकार या अस्वीकार करणा \p \v 32 “जो कोए माणसां कै स्याम्ही मन्नै मान लेवैगा, उसनै मै भी अपणे सुर्गीय पिता के स्याम्ही मान ल्यूँगा। \v 33 पर जो माणसां कै स्याम्ही मेरै बारै म्ह इन्कार करैगा, उसनै मै भी अपणे सुर्गीय पिता के स्याम्ही इन्कार करूँगा।” \p \v 34 “यो ना समझो के मै धरती पे माणसां का मिलाप करवाण आया सूं, मै मिलाप करवाण न्ही, पर न्यारे करण आया सूं। \v 35 मै तो आया सूं, ताके माणस नै उसके पिता तै, अर बेट्टी नै उसकी माँ तै, अर बहू नै उसकी सास तै न्यारा कर द्यु।” \p \v 36 “माणस के बैरी उसके घर के ए लोग होंगे।” \p \v 37 “जो अपणे माँ-बाप नै मेरै तै घणा प्यारा मान्नै सै, वो मेरा चेल्ला बणण कै लायक कोणी, अर जो बेट्टा या बेट्टी नै मेरै तै घणा प्यारा मान्नै सै, वो मेरै लायक कोणी।\f + \fr 10:37 \ft (लूका 14:26)\f* \v 38 अर जो अपणा दुखां का क्रूस लेकै मेरै पाच्छै न्ही चाल्लै वो मेरै लायक कोणी। \v 39 जो अपणी जान बचावै सै, वो उसनै खोवैगा, अर जो मेरै कारण अपणी जान खोवैगा, वो उसनै पावैगा।” \s फळ \p \v 40 “जो थमनै अपणावै सै, वो मन्नै अपणावै सै, अर जो मन्नै अपणावै सै, वो उस परमेसवर नै अपणावै सै, जिसनै मेरे ताहीं भेज्या सै। \v 41 जो नबियाँ नै नबी जाण के अपणावै, वो नबियाँ के जिसा फळ पावैगा, जिसा नबी नै मिलै सै, अर जो धर्मी नै धर्मी जाण के अपणावै, वो धर्मी के जिसा फळ पावैगा। \v 42 जो कोए मेरे इन चेल्यां म्ह तै एक नै भी मेरा चेल्यां जाण के सिर्फ एक कटोरा ठंडा पाणी पियावैगा, मै थमनै सच कहूँ सूं, वो किसे तरियां भी अपणा फळ न्ही खोवैगा।” \c 11 \s यूहन्ना बपतिस्मा देण आळा का प्रश्न \p \v 1 अपणे बारहां चेल्यां ताहीं इस तरियां समझाण कै बाद यीशु ओड़ै तै चाल पड्या, अर गलील परदेस के नगरां म्ह उपदेश अर प्रचार करता घूमता रह्या। \p \v 2 यूहन्ना नै जेळ म्ह मसीह के काम्मां की खबर सुणी अर अपणे चेल्यां ताहीं यीशु तै न्यू बुझ्झण भेज्या, \v 3 अर उसतै कह्या, “के आण आळा वो मसीहा जिसका वादा परमेसवर नै करया था, तू ए सै, या हम किसे और की बाट देक्खां?” \p \v 4 यीशु नै जबाब दिया, “जो कुछ थम सुणो सो अर देक्खो सो, यो सारा जाकै यूहन्ना ताहीं कह द्यो, \v 5 के आंधे देक्खैं सै अर लंगड़े चाल्लै-फिरै सै, कोढ़ी ठीक करे जावै सै अर बहरे सुणै सै, मुर्दे जिन्दे करे जावै सै, अर कंगालां ताहीं सुसमाचार सुणाया जावै सै। \v 6 अर धन्य सै वे, जो मेरै पै शक न्ही करते, अर बिश्वास करणा न्ही छोड़ता।” \s यीशु के जरिये यूहन्ना का सम्मान \p \v 7 जिब यूहन्ना के चेल्लें ओड़ै तै जाण लागरे थे तो यीशु भीड़ म्ह माणसां तै यूहन्ना कै बारै म्ह कहण लागग्या, “थम जंगल बियाबान म्ह के देखण गये थे? के हवा म्ह हाल्दे होए सरकंड्या नै? \v 8 तो फेर थम के देखण गये थे? के सुथरे लत्ते पहरे होड़ माणस ताहीं? देक्खो, जो सुथरे लत्ते पहरै सै, वे राजघरां म्ह रहवैं सै। \v 9 तो फेर क्यांतै गये थे? के किसे नबी नै देखण ताहीं? हाँ, मै थमनै कहूँ सूं, बल्के नबी तै भी बड्डे नै।” \v 10 यूहन्ना वोए सै जिसकै बारे म्ह पवित्र ग्रन्थ म्ह लिख्या सै: के \q “‘देख, मै अपणे दूत ताहीं तेरै आग्गै भेज्जू सूं \q जो तेरै आग्गै तेरा रास्ता त्यार करैगा।’”\f + \fr 11:10 \ft (मला-3:1)\f* \p \v 11 मै थमनै कहूँ सूं के जो बिरबानियाँ तै जणे सै, उन म्ह तै यूहन्ना बपतिस्मा देणआळे तै बड्ड़ा कोए न्ही होया, पर जो सुर्ग कै राज्य म्ह छोट्टे तै भी छोट्टा सै वो उसतै बड्ड़ा सै। \v 12 यूहन्ना बपतिस्मा देण आळे के दिनां तै इब ताहीं सुर्ग का राज्य बलपूर्वक बढ़ण लाग रहया सै, अर बिरोधी लोग उसनै रोकण की कोशिश करण लागरे सै। \v 13 यूहन्ना के आण तक सारे नबी अर मूसा के नियम-कायदे, नै सुर्ग के राज्य की भविष्यवाणी करी थी। \v 14 जै थम सच म्ह भविष्यवाणीयाँ पै बिश्वास करो सों, तो सुणो यूहन्ना ए वो एलिय्याह सै जो दोबारा आण आळा था।\f + \fr 11:14 \ft (मला-4:5)\f* \v 15 जिसके कान हों, वो ध्यान तै सुण ले। \p \v 16 “मै आज की पीढ़ी के माणसां की बराबरी किसतै करूँ? वे उन बाळकां की ढाळ सै, जो बजारां म्ह बैट्ठे होए एक दुसरै तै रुक्के मारकै शिकायत करै सै:” \p \v 17 “हमनै थारै खात्तर बाँसली बजाई, अर थम कोनी नाच्चे, हमनै बिलाप करया, अर थमनै छात्त्ती कोनी पिट्टी।” \p \v 18 “इस्से तरियां यूहन्ना बपतिस्मा देण आळा ना रोट्टी खाया करता अर ना अंगूर का रस पिया करता, अर थम कहो सो, ‘उस म्ह ओपरी आत्मा सै।’ \v 19 मुझ माणस के बेट्टे का खाण-पान और माणसां की तरियां साद्दा ए सै, लखाओ, थमनै मेरे ताहीं पेट्टू अर पियक्कड़ माणस, चुंगी लेणिये का अर पापियाँ का साथी घोषित कर दिया! पर ज्ञान अपणे काम्मां म्ह सच्चा ठहराया गया सै।” \s पाप ना छोड़ण आळे पै धिक्कार \p \v 20 फेर यीशु उन नगरां ताहीं उल्हाणा देण लाग्या, जिन म्ह उसनै घणे सामर्थ के काम करे थे, क्यूँके उननै पाप करणा न्ही छोड्या अर ना ए परमेसवर के राह पै चाल्लें। \v 21 “धिक्कार सै थारै पै खुराजिन नगर के माणसों! धिक्कार सै थारै पै बैतसैदा नगर के माणसों! जो सामर्थ के काम थारै म्ह करे गये, जै वे सूर अर सैदा नगर म्ह करे जान्दे, तो टाट ओढ़ कै, अर राख म्ह बैठकै वे कदे के पाप करणा छोड़ देन्दे। \v 22 पर थमनै कहूँ सूं के न्याय कै दिन थारी हालत तै सूर अर सैदा नगर की हालत घणी सहण जोग्गी होवैगी। \v 23 हे कफरनहूम नगर, तू के सोचै सै, के तू सुर्ग ताहीं ऊँच्चा करया जावैगा? तू तो अधोलोक तक नीच्चै जावैगा जो सामर्थ के काम तेरै म्ह करे गये सै, जै सदोम नगर म्ह करे जान्दे, तो वो आज ताहीं बण्या रहन्दा। \v 24 पर मै थमनै कहूँ सूं के न्याय के दिन तेरी हालत तै सदोम नगर की हालत घणी सहण जोग्गी होवैगी।” \s यीशु के धोरै आराम \p \v 25 उस्से बखत यीशु नै कह्या, “हे पिता, सुर्ग अर धरती के प्रभु, मै तेरा शुक्रियादा करूँ सूं के तन्नै इन बात्तां ताहीं ज्ञानियाँ अर समझदारां माणसां तै ल्कोए राख्या, अर बाळकां ताहीं दिखा दिया सै। \v 26 हाँ, हे पिता, क्यूँके तन्नै योए भाया।” \p \v 27 “मेरे पिता नै मेरै ताहीं सब कुछ सौप्या सै, अर कोए बेट्टै ताहीं कोनी जाण्दा, सिर्फ पिता के अलावा, अर कोए पिता ताहीं कोनी जाण्दा, सिर्फ बेट्टे के अलावा, अर हरेक वो माणस जो परम पिता नै जाणे सै, जिसकै खात्तर बेट्टा नै उस ताहीं जाहिर करणा चाह्या सै।” \p \v 28 “हे सारे मेहनत करण आळो अर बोझ तै दबे होड़ माणसों, मेरै धोरै आओ, मै थमनै सुख-चैन दियुँगा। \v 29 मेरा जूआ अपणे उप्पर ठा ल्यो, अर मेरै तै सीक्खो, क्यूँके मै नरम अर मन म्ह दीन सूं: अर थम अपणे मन म्ह सुख-चैन पाओगे। \v 30 क्यूँके मेरा जूआ सोखा अर मेरा बोझ हल्का सै” \c 12 \p \v 1 तकरीबन उस्से बखत आराम कै दिन यीशु चेल्यां कै गेल खेत्तां म्ह तै होकै जाण लागरया था, अर उसके चेल्यां नै भूख लाग्गी तो वे गेहूँ की बालें तोड़-तोड़कै खाण लाग्गे। \v 2 फरीसियाँ नै न्यू देखकै उसतै बोल्ले, “देख, तेरे चेल्लें वो काम करै सै, जो नियम-कायदा के मुताबिक आराम कै दिन करणा ठीक कोनी।” \p \v 3 यीशु नै उनतै कह्या, “के थमनै पवित्र ग्रन्थ म्ह यो न्ही पढ़या, के दाऊद अर उसके साथियाँ नै जिब वे भूक्खे होए तो के करया था? \v 4 वो किस तरियां परमेसवर कै घर म्ह गया, अर भेंट की रोट्टी खाई, जिनका खाणा ना तो उस ताहीं अर ना उसके साथियाँ ताहीं पर सिर्फ याजकां ताहीं सई था? \v 5 यो थमनै नियम-कायदा म्ह न्ही पढ़या के आराम कै दिन मन्दर के याजक ए आराम कै दिन की बिधि ताहीं तोड़ै सै फेर भी उन ताहीं कोए कुछ न्ही कहन्दा? \v 6 पर मै थमनै कहूँ सूं के उरै वो सै जो मन्दर तै भी बड्ड़ा सै। \v 7 जै थम पवित्र ग्रन्थ म्ह जो लिख्या सै, उसका मतलब जाणदे, ‘के मै माणसां म्ह दया तै राज्जी होऊँ सूं,’ बलिदान तै न्ही, तो थम बेकसूर ताहीं कसूरवार कोनी ठहरान्दे। \v 8 मै माणस का बेट्टा तो आराम कै दिन का भी प्रभु सूं।” \p \v 9 ओड़ै तै चालकै वो उनके आराधनालय म्ह आया। \v 10 ओड़ै एक माणस था, जिसका हाथ सुखरया था। फरीसी लोग्गां नै यीशु पै दोष लाण खात्तर उसतै बुझ्झया, “मूसा के नियम-कायदा कै मुताबिक आराम कै दिन ठीक करणा सही सै?” \p \v 11 यीशु नै उनतै कह्या, “थारै म्ह तै इसा कौण सै जिसकी एक ए भेड़ हो, अर वा आराम कै दिन खडहे म्ह पड़ जावै, तो वो उस ताहीं पकड़कै न्ही काड्डै? \v 12 फेर माणस तो भेड़ तै भोत ज्यादा खास सै! ज्यांतै आराम कै दिन भलाई करणा ठीक सै, जिसा के माणसां नै चंगा करणा।” \p \v 13 फेर यीशु नै उस माणस तै कह्या, “अपणा हाथ बढ़ा।” उसनै बढ़ाया, अर वो दुसरे हाथ की तरियां ठीक होग्या। \v 14 फेर फरिसियाँ नै बाहरणै जाकै उसकै बिरोध म्ह सलाह करी के उसका नाश किस तरियां करया जावै। \p \v 15 न्यू जाणकै यीशु ओड़ै तै चल्या गया। अर घणे माणस उसकै पाच्छै हो लिए, अर उसनै सारया ताहीं ठीक करया, \v 16 अर उन ताहीं चेतावनी दी, के मेरै बारै म्ह किसे तै ना कहियो के मै कौन सूं। \v 17 ताके जो वचन यशायाह नबी कै जरिये कह्या गया था, वो पूरा हो \p \v 18 “देक्खो, यो मेरा सेवक सै, जिस ताहीं मन्नै चुण्या सै, मेरा प्यारा, जिसतै मेरा मन राज्जी सै, मै अपणा आत्मा उसपै तारुगाँ, अर योए दुसरी जात्तां नै न्याय की खबर देवैगा। \p \v 19 “वो ना माणसां के गेल झगड़ा करैगा, अर ना किल्की मारैगा, ना बजारां म्ह उसका कोए शब्द सुणैगा। \p \v 20 “वो कुचले होए सरकंडे की समान कमजोर माणसां ताहीं कोनी लताड़ैगा, अर बुझते होए दीवे के समान, माणस मरता हो तो वो उसनै न्ही मारैगा, वो जिब ताहीं डटया रह्वैगा जिब ताहीं न्याय ना दुवा दे। \p \v 21 “अर दुसरी जात उसकै नाम पै आस राक्खैगी।” \p \v 22 फेर माणस एक आंधे-गूँगे नै जिसम्ह ओपरी आत्मा थी, जो उसनै देखण अर बोल्लण कोनी देवै थी, उसकै धोरै ल्याए, अर उसनै उस ताहीं ठीक करया, अर वो गूँगा बोलण अर देखण लाग्या। \v 23 इसपै सारे माणस अचम्भा करकै कहण लाग्गे, “यो के दाऊद की ऊलाद सै!” \v 24 पर फरीसियाँ नै न्यू सुणकै कह्या, “यो तो ओपरी आत्मायाँ के सरदार शैतान की मदद तै ओपरी आत्मायाँ नै लिकाड़ै सै।” \p \v 25 उसनै उनकै मन की बात जाणकै उनतै कह्या, “जिस किसे राज म्ह फूट होवै सै, वो उजड़ जावै सै, अर कोए नगर या घराना जिसम्ह फूट होवै सै, बण्या कोनी रहवैगा। \v 26 अर जै शैतान ए शैतान नै काड्डै, तो वो अपणा ए बिरोधी बणग्या, फेर उसका राज किस तरियां बण्या रहवैगा? \v 27 भला, जै मै शैतान की मदद तै ओपरी आत्मायाँ नै काढ्ढू सूं, तो थारी पीढ़ी किसकी मदद तै काड्डै सै? इस करकै वैए थारा न्याय करैगें। \v 28 पर जै मै परमेसवर के आत्मा की मदद तै ओपरी आत्मायाँ नै काढ्ढू सूं, तो परमेसवर का राज्य थारै धोरै आण पोहुच्या सै।” \p \v 29 “या किस तरियां कोए माणस किसे ठाड्डै माणस कै घर म्ह बड़कै उसका माळ लूट सकै सै जिब ताहीं के पैहल्या उस ठाड्डे ताहीं ना जुड़ ले? जिब वो उसका घर लूट लेवैगा।” \p \v 30 “जो मेरै गेल्या न्ही वो मेरै बिरोध म्ह सै, अर जो मेरै गेल्या न्ही कट्ठा करदा, वो खिंडावै सै। \v 31 ज्यांतै मै थारै तै कहूँ सूं के माणस का सारे ढाळ का पाप अर बुराई माफ करी जावैगी, पर पवित्र आत्मा की बुराई माफ कोनी करी जावैगी। \v 32 जो कोए माणस के बेट्टे कै बिरोध म्ह कोए बात कहवैगा, उसका यो कसूर माफ करया जावैगा, पर जो कोए पवित्र आत्मा कै बिरोध म्ह कुछ कहवैगा, उसका कसूर ना तो इस लोक म्ह अर ना परलोक म्ह माफ करया जावैगा।” \p \v 33 “दरखत अपणे फळ तै ए पिच्छाणा जावै सै, जै दरखत नै बढ़िया कहो, तो उसकै फळ नै भी बढ़िया कहो, या दरखत नै निकम्मा कहो, तो उसकै फळ नै भी निकम्मा कहो। \v 34 हे साँप के सप्पोलों जिसे माणसों, थम भुन्डे़ होकै किस तरियां बढ़िया बात कह सको सो? क्यूँके जो मन म्ह भरया सै, वोए मुँह पै आवै सै। \v 35 भला माणस अपणे मन के भले भण्डार तै भली बात लिकाड़ै सै, अर बुरा माणस अपणे मन के बुरे भण्डार तै बुराई की बात काढै सै। \v 36 अर मै थारै तै कहूँ सूं के जो-जो निकम्मी बात माणस कहवैगें, न्याय कै दिन वे हरेक उस बात का लेखा देवैगें। \v 37 क्यूँके तू अपणी बात्तां कै कारण बेकसूर, अर अपणी बात्तां ए कै कारण कसूरवार ठहराया जावैगा।” \p \v 38 इसपै कुछ शास्त्रियाँ अर फरिसियाँ नै उसतै कह्या, “हे गुरू, हम तेरै तै एक चिन्ह-चमत्कार देखणा चाहवां सा।” \p \v 39 उसनै उन ताहीं जबाब दिया, “इस युग के बुरे अर जार माणस निशान्नी टोह्वैं सै, पर योना नबी की निशान्नी नै छोड़ कोए और निशान्नी उन ताहीं कोनी दी जावैगी। \v 40 जिस तरियां योना नबी तीन रात अर तीन दिन बड़ी मछली कै पेट म्ह रहया, उस्से तरियां ए मै माणस का बेट्टा तीन रात अर तीन दिन धरती कै भीत्त्तर रहूँगा। \v 41 निनवे नगर के माणस न्याय कै दिन इस युग के माणसां कै गेल्या उठकै उन ताहीं कसूरवार ठहरावैगें, क्यूँके उननै योना नबी का प्रचार सुणकै अपणे पापां ताहीं स्वीकार किया, अर देक्खो, उरै वो सै जो योना नबी तै भी बड्ड़ा सै। \v 42 दक्षिण देश की राणी न्याय कै दिन इस युग के माणसां कै गेल्या उठकै उन ताहीं कसूरवार ठहरावैगी, क्यूँके वा सुलैमान का ज्ञान सुणन कै खात्तर धरती कै दुसरे सिरे तै आई, अर देक्खो, उरै वो सै जो सुलैमान तै भी बड्ड़ा सै।” \p \v 43 “जिब ओपरी आत्मा माणस म्ह तै लिकड़कै जावै सै, तो सुक्खी जगहां म्ह आराम टोह्न्दी फिरै सै, अर पांदी कोनी। \v 44 फेर कहवै सै, ‘मै उस्से माणस म्ह जड़ै तै लिकड़ी थी बोहड़ जाऊँगी।’ अर आकै उस माणस नै घर जिसा झाड़ा-बुहारा अर सजा-धज्या पावै सै। \v 45 फेर वा ओपरी आत्मा जाकै अपणे तै और भुंडी सात आत्मायाँ नै अपणे गेल्या ले आवै सै, अर वे उस माणस म्ह बड़कै ओड़ै बास करै सै, अर उस माणस की पाच्छली हालत पैहल्या तै भी भुंडी हो जावै सै। इस युग के बुरे माणसां की हालत भी इसी ए होवैगी।” \p \v 46 जिब वो भीड़ तै बात करण ए लागरया था, तब उसकी माँ अर भाई बाहरणै खड़े थे अर उसतै बात करणा चाहवै थे। \p \v 47 किसे नै उसतै कह्या, “देख, तेरी माँ अर तेरे भाई बाहरणै खड़े सै, अर तेरै तै बात करणा चाहवै सै।” \p \v 48 या सुणकै यीशु नै कहण आळे ताहीं जबाब दिया, “कौण सै मेरी माँ? अर कौण सै मेरे भाई?” \v 49 अर अपणे चेल्यां की कान्ही अपणा हाथ बढ़ाकै कह्या, “देक्खो, मेरी माँ अर मेरे भाई ये सै। \v 50 क्यूँके जो कोए मेरे सुर्गीय पिता की इच्छा पै चाल्लै वोए मेरा भाई, मेरी बेब्बे अर मेरी माँ सै।” \c 13 \p \v 1 उस्से दिन यीशु घर तै लिकड़कै गलील समुन्दर कै किनारै जा बैठ्या। \v 2 अर उसकै धोरै इसी भीड़ कट्ठी होई के वो किस्ती पै चढ़ग्या, अर सारी भीड़ किनारे पै खड़ी रही। \v 3 अर उसनै उनतै उदाहरणां म्ह घणीए बात कही “एक किसान बीज बोण लिकड़या। \v 4 बोंदे बखत कुछ बीज राही कै किनारै पड़े अर पन्छियाँ नै आकै उन ताहीं चुग लिया। \v 5 कुछ बीज पथरीली धरती पै पड़े, जड़ै उनताही घणी माट्टी ना मिली अर डून्घी माट्टी ना मिलण कै कारण वे तोळाए जामग्या। \v 6 पर सूरज लिकड़णै पै वे जळगे, अर जड़ ना पकड़न कै कारण सुखगे। \v 7 कुछ बीज झाड़ियाँ म्ह पड़े, अर झाड़ियाँ नै बढ़कै उस ताहीं दाब लिया। \v 8 पर कुछ बीज आच्छी धरती पै पड़े, कोए सौ गुणा, कोए साठ गुणा, अर कोए तीस गुणा फळ ल्याए। \v 9 जिसके कान हों, वो ध्यान तै सुण ले।” \p \v 10 चेल्यां नै धोरै आकै उसतै कह्या, “तू माणसां तै उदाहरणां म्ह क्यांतै बात करै सै?” \p \v 11 उसनै जबाब दिया, “थारै ताहीं सुर्ग के राज्य के भेद की समझ दे राक्खी सै, पर उन ताहीं न्ही। \v 12 क्यूँके जिसकै धोरै सै, उसतै और दिया जावैगा, अर उसकै धोरै घणा हो जावैगा, पर जिसकै धोरै कुछ न्ही सै, उसतै जो कुछ उसकै धोरै सै, वो भी ले लिया जावैगा। \v 13 मै उनतै उदाहरणां म्ह ज्यांतै बात करूँ सूं के वे देखदे होए कोनी देखदे अर सुणदे होए कोनी सुणदे, अर न्ही समझदे।” \p \v 14 “उनकै बाबत यशायाह नबी की या भविष्यवाणी पूरी होवै सै: ‘थम कान्ना तै तो सुणोगे, पर समझोगे कोनी, अर आँखां तै तो देक्खोगे, पर थमनै कोनी सूझैगा।’” \p \v 15 “क्यूँके इन माणसां का मन मोट्टा होग्या सै, अर वे कान्ना तै ऊँच्चा सुणै सै अर उननै अपणी आँख मूंद ली सै, कदे इसा ना हो के वे आँखां तै देखै, अर कान्ना तै सुणै अर मन तै समझै, अर पलट जावै, अर मै उननै ठीक करूँ।” \p \v 16 पर धन्य सै थारी आँख, के वे देक्खै सै, अर थारे कान के वे सुणै सै। \v 17 क्यूँके मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के घणखरे नबियाँ नै अर धर्मियाँ नै चाह्या के जो बात थम देक्खो सो, देक्खै, पर न्ही देक्खी, अर जो बात थम सुणो सो, सुणै, पर न्ही सुणी। \p \v 18 “इब थम बोण आळे के उदाहरण का मतलब सुणो \v 19 जो कोए राज्य का वचन सुणकै कोनी समझदा, किसान जो बीज बोण आळा सै वो वचन बोण आळा कै समान सै, यो वोए सै जो राही कै किनारै बोया गया था, उस ताहीं दुष्ट आकै खोस ले जावै सै। \v 20 अर जो पथरीली धरती पै बोया गया, यो वो माणस सै, जो वचन सुणकै जिब्बे खुशी कै गेल्या मान लेवै सै। \v 21 पर अपणे म्ह जड़ न्ही पकड़न कै कारण वो माड़े से दिन का सै, अर जिब वचन कै कारण क्ळेश या संकट आवै सै, तो जिब्बे ठोक्कर खावै सै। \v 22 जो झाड़ियाँ म्ह बोया गया, यो वो सै, जो वचन ताहीं सुणै सै, पर इस दुनिया की फिक्र अर धन का धोक्खा वचन नै दाबै सै, अर वो फळ कोनी ल्यांदा। \v 23 जो आच्छी धरती पै बोया गया, यो वो सै, जो वचन ताहीं सुणकै समझै सै, अर फळ ल्यावै सै, कोए सौ गुणा, कोए साठ गुणा, अर कोए तीस गुणा।” \p \v 24 यीशु नै उन ताहीं एक और उदाहरण दिया: “सुर्ग का राज उस किसान जिसा सै जिसनै अपणे खेत मै बढ़िया बीज बोया। \v 25 पर जिब माणस सोवै थे तो उसका बैरी आकै गेहूँ कै बिचाळै जंगली बीज बोकै चल्या गया। \v 26 जिब अंकुर लिकड़े अर बाल लाग्गी, तो जंगली दाण्या के पौधे भी दिखण लाग्गे।” \p \v 27 “इसपै घरेलू नौकरां नै आकै उसतै कह्या, ‘हे माल्लिक, के तन्नै अपणे खेत म्ह बढ़िया बीज कोनी बोया था? फेर जंगली दाण्या के पौधे उस म्ह कित्त तै आए?’” \p \v 28 “उसनै उनतै कह्या, ‘यो किसे बैरी का काम सै।’ नौकरां नै कह्या, ‘के तेरी मर्जी सै के हम जाकै उन जंगली पौधां नै कट्ठे करा?’” \p \v 29 “उसनै कह्या, ‘ना, इसा ना हो के जंगली दाण्या के पौधे कट्ठे करदे हाण थम उनकै गेल्या गेहूँ नै भी पाड़ ल्यो। \v 30 लामणी तक दोनुआ नै एक सेत्ती बधण द्यो, अर लामणी के बखत मै काटण आळा तै कहूँगा के पैहल्या जंगळी दाण्या के पौधे कट्ठे करकै बाळण खात्तर उनके भरोट्टे जुड़ ल्यो, अर गेहूँ ताहीं मेरै खत्ते म्ह कट्ठा करो’।” \p \v 31 उसनै उन ताहीं एक और उदाहरण दिया: “सुर्ग का राज राई कै एक दाणै की ढाळ सै, जिस ताहीं किसे माणस नै लेकै अपणे खेत म्ह बो दिया। \v 32 वो सारे बीज्जां तै छोट्टा तो होवै सै पर जिब बध जावै सै फेर सारे साग-पात तै बड्ड़ा होवै सै, अर इसा दरखत हो जावै सै के अकास के पंछी आकै उसकी डाळीयाँ पै बसेरा करै सै।” \p \v 33 उसनै एक और उदाहरण उन ताहीं सुणाया “सुर्ग का राज खमीर की ढाळ सै, जिस ताहीं किसे बिरबान्नी नै लेकै तीन पसेरी (पन्द्रह किलो) चून म्ह रळाया अर होंदे-होंदे वो सारा चून खमीर बणग्या।” \p \v 34 ये सारी बात यीशु नै उदाहरणां म्ह माणसां तै सिखाई, अर इस तरियां की शिक्षा देण खात्तर वो उदाहरणां का ए इस्तमाल करया करता। \v 35 के जो वचन नबी कै जरिये कह्या गया था, वो पूरा होवै: “मै उदाहरण कहण नै अपणा मुँह खोल्लुँगा, मै उन बात्तां नै जो दुनिया की सरूआत तै लुक्ही होई सै, जाहिर करूँगा।” \p \v 36 फेर वो भीड़ नै छोड़कै घरां आया, अर उसके चेल्यां नै उसकै धोरै आकै कह्या, “खेत म्ह जंगली दाणै का उदाहरण म्हारै ताहीं समझा दे।” \p \v 37 यीशु नै उन ताहीं जबाब दिया, “बढ़िया बीज का बोण आळा, मै माणस का बेट्टा सूं। \v 38 खेत दुनिया के लोग सै, बढ़िया बीज राज्य की ऊलाद, अर जंगली बीज शैतान की ऊलाद सै। \v 39 जिस बैरी नै उन ताहीं बोया वो शैतान सै। लामणी दुनिया का खात्मा सै, अर काटण आळे सुर्गदूत सै।” \p \v 40 आखर म्ह जिस तरियां जंगली पौधे कट्ठे करे जावै अर बाळे जा सै उस्से तरियां दुनिया का खात्मा होवैगा। \v 41 मै माणस का बेट्टा अपणे सुर्गदूत्तां नै भेज्जूँगा, अर वे उसकै राज्य म्ह तै सारे जो खुद पाप करै सै अर दुसरयां नै पाप करण खात्तर उकसावै सै, अर भुन्डे़ काम करणीया नै कट्ठे करैगें। \v 42 अर उननै आग कै कुण्ड म्ह गेरैगें, जड़ै रोणा, अर दाँत पिसणा होवैगा। \v 43 उस बखत धर्मी लोग अपणे पिता कै राज्य म्ह सूरज की ढाळ चमकैगें। जिसके कान हों, वो ध्यान तै सुण ले। \p \v 44 सुर्ग का राज्य खेत म्ह लुके होड़ धन की ढाळ सै, जिस ताहीं किसे माणस नै पाया अर लको दिया, अर मारे खुशी कै अपणा सारा कुछ बेच दिया अर उस खेत ताहीं मोल ले लिया। \p \v 45 फेर सुर्ग का राज्य एक व्यापारी की तरियां सै जो आच्छे मोतियाँ की टोह् म्ह था। \v 46 जिब उसनै एक घणा महँगा मोत्ती मिल्या तो उसनै जाकै अपणा सारा कुछ बेच दिया अर उस ताहीं मोल ले लिया। \p \v 47 फेर सुर्ग राज्य उस बड्डे मछली के जाळ की ढाळ सै जो समुन्दर म्ह गेरया जावै, अर हरेक ढाळ की मच्छी ताहीं समेट ल्यावै। \v 48 अर जिब जाळ भरग्या, तो मछुआरे उस ताहीं किनारे पै खींच ल्यावै, अर बैठकै बढ़िया-बढ़िया मच्छी तो बासणा म्ह कट्ठा करी अर बेकार बगा दी। \v 49 दुनिया के अन्त म्ह इस तरियां ए होवैगा। सुर्गदूत आकै दुष्ट लोग्गां नै धर्मियाँ तै न्यारे करैगें, \v 50 अर सुर्गदूत, दुष्ट लोग्गां नै आग कै कुण्ड म्ह गेरैगें। जड़ै रोणा, अर दाँत पिसणा होवैगा। \p \v 51 “के थमनै ये सारी बात समझी?” उननै उसतै कह्या, “हाँ।” \p \v 52 यीशु नै उनतै कह्या, “इस करकै हरेक शास्त्री जो सुर्ग कै राज्य का चेल्ला बण्या सै, उस घरवासे की तरियां सै जो अपणे भण्डार तै नयी अर पुराणी चीज काड्डै सै।” \p \v 53 जिब यीशु नै ये सारे उदाहरण कह लिये, तो ओड़ै तै चल्या गया। \p \v 54 अर अपणे नगर नासरत म्ह आकै उनकै आराधनालय म्ह उननै इसा उपदेश देण लागग्या के वे हैरान होकै कहण लाग्ये, “इसनै यो ज्ञान अर सामर्थ के काम कित्त तै मिले? \v 55 के यो खात्त्ती का छोरा कोनी? अर के इसकी माँ का नाम मरियम अर इसके भाईयाँ के नाम याकूब, यूसुफ, शमौन अर यहूदा कोनी? \v 56 अर के इसकी सारी बेब्बे म्हारै बिचाळै कोनी रह्न्दी? फेर इसनै यो सारा कित्त तै मिल्या?” \v 57 इस तरियां उननै उसकै कारण ठोक्कर खाई, पर यीशु नै उनतै कह्या, “नबी का अपणे गाम अर घर नै छोड़ और किते निरादर कोनी होन्दा।” \p \v 58 अर उसनै ओड़ै उनके अबिश्वास कै कारण घणे चमत्कार के काम न्ही करै। \c 14 \p \v 1 उस बखत चौथाई देश के गलील परदेस का राजा हेरोदेस नै यीशु का जिक्रा सुण्या, \v 2 अर उसनै अपणे नौकरां तै कह्या, “यो यूहन्ना बपतिस्मा देण आळा सै! वो मरे होया म्ह तै जिन्दा उठ्या सै, इस्से करकै उसतै ये सामर्थ के काम दिक्खै सै।” \p \v 3 यूहन्ना ताहीं पकड़कै जुड्यां अर जेळ म्ह गेर दिया था। क्यूँके हेरोदेस नै अपणे भाई फिलिप्पुस के जिन्दा रहन्दे उसकी घरआळी हेरोदियास ताहीं अपणे धोरै राखली थी, \v 4 क्यूँके यूहन्ना नै उसतै कह्या था के इस ताहीं राखणा मूसा के नियम-कायदा कै मुताबिक तेरै खात्तर ठीक कोनी। \v 5 ज्यांतै वो उसनै मारणा चाहवै था, पर माणसां तै डरै था क्यूँके वे यूहन्ना नै नबी मान्नै थे। \p \v 6 पर जिब हेरोदेस का जन्म-दिन आया, तो हेरोदियास की बेट्टी नै त्यौहार म्ह नाच दिखाकै हेरोदेस ताहीं राज्जी करया। \v 7 इसपै उसनै कसम खाकै वचन भर लिया, “जो कुछ तू माँगैगी, मै तन्नै दियुँगा।” \p \v 8 वा अपणी माँ कै उकसाण तै बोल्ली, “यूहन्ना बपतिस्मा देण आळै का सिर थाळ म्ह उरै मन्नै मँगवा दे।” \v 9 राजा घणा दुखी होया, पर अपणी कसम, अर गेल्या बैठण आळा कै कारण, हुकम दिया के दे दिया जावै। \p \v 10 अर उसनै जेळ म्ह माणसां ताहीं भेजकै यूहन्ना का सिर कटवा दिया। \p \v 11 अर उसका सिर थाळ म्ह ल्याया गया अर छोरी ताहीं दिया गया, जिस ताहीं वा अपणी माँ धोरै ले गयी। \v 12 फेर यूहन्ना के चेल्लें आए अर उसकी लाश ताहीं ले जाकै गाड़ दिया, अर जाकै यीशु ताहीं खबर दी। \p \v 13 जिब यीशु नै सुण्या, तो वो किस्ती पै चढ़कै ओड़ै तै किसे सुनसान जगहां ताहीं, एकान्त म्ह चल्या गया। माणस न्यू सुणकै नगर-नगर तै पांए-पाँ उसकै पाच्छै हो लिये। \v 14 यीशु कंठारे पै पुहुचा तो एक बड्डी भीड़ देक्खी अर उनपै तरस खाया, अर उनके बिमारां ताहीं ठीक करया। \p \v 15 जिब साँझ होई तो उसकै चेल्यां नै उसकै धोरै आकै कह्या, “या सुनसान जगहां सै, अर वार होरी सै, माणसां ताहीं बिदा करया जावै के वे बस्तियाँ म्ह जाकै अपणे खात्तर खाणा मोल लियावै।” \p \v 16 पर यीशु नै उनतै कह्या, “उनका जाणा जरूरी कोनी! थमए इन्नै खाण नै द्यो।” \p \v 17 उननै यीशु तै कह्या, “उरै म्हारै धोरै पाँच रोट्टी अर दो मच्छियाँ नै छोड़कै और कुछ कोनी सै।” \p \v 18 यीशु बोल्या, “उन ताहीं उरै मेरै धोरै लियाओ।” \p \v 19 फेर यीशु नै माणसां ताहीं घास पै बैठण खात्तर कह्या, अर उन पाँच रोट्टी अर दो मच्छियाँ ताहीं लिया; सुर्ग कान्ही लखाकै खाणे खात्तर परमेसवर का धन्यवाद करया अर रोट्टी तोड़-तोड़कै चेल्यां ताहीं दी, अर चेल्यां नै माणसां ताहीं। \v 20 जिब सारे खाकै छिकगे, तो चेल्यां नै बचे होए टुकड़्यां तै भरी होई बारहां टोकरियाँ ठाई। \v 21 अर खाण आळे लुगाइयाँ अर बाळकां नै छोड़कै, पाँच हजार माणसां कै करीबन थे। \p \v 22 फेर उसनै जिब्बे अपणे चेल्यां ताहीं किस्ती पै चढ़ण कै खात्तर मजबूर करया के वे उसतै पैहल्या पार चले जावैं, जिब ताहीं वो अपणे माणसां ताहीं बिदा करै। \v 23 वो माणसां ताहीं बिदा करकै, प्रार्थना करण खात्तर न्यारा पहाड़ पै चल्या गया; अर साँझ ताहीं वो ओड़ै एक्ला था। \v 24 तब तक किस्ती समुन्दर कै कंठारे तै भोत दूर जा ली थी अर झाल्लां तै थपेड़े खाकै डगमगाण लागरी थी, क्यूँके हवा स्याम्ही की थी। \p \v 25 यीशु सबेरै तीन बजे कै लोवै-धोवै यीशु समुन्दर पै चाल्दे होए उनकै धोरै आया। \v 26 चेल्लें उस ताहीं समुन्दर पै चाल्दे होए देखकै घबरागे। अर बोल्ले, “यो भूत सै!” अर भय के मारे किल्की मारण लाग्गे। \p \v 27 फेर यीशु नै जिब्बे उनतै बात करी अर बोल्या, “हौसला राक्खो! मै सूं, डरो मतना!” \p \v 28 पतरस नै उसतै जबाब दिया, “हे प्रभु, जै तू ए सै, तो मन्नै अपणे धोरै पाणी पै चालकै आण का हुकम दे।” \p \v 29 यीशु बोल्या, “आ!” फेर पतरस किस्ती पै तै उतरकै यीशु कै धोरै जाण ताहीं पाणी पै चाल्लण लाग्या। \p \v 30 पर हवा नै देखकै डरग्या, अर जिब डूब्बण लाग्या तो किल्की मारकै बोल्या, “हे प्रभु, मन्नै बचा!” \p \v 31 यीशु नै जिब्बे हाथ बढ़ाकै थाम लिया अर उसतै बोल्या, “हे अल्पबिश्वासी, तन्नै क्यांतै शक करया?” \p \v 32 जिब वे किस्ती पै चढ़गे, तो हवा थमगी। \v 33 इस घटना नै देखकै उसके चेल्यां नै जो किस्ती पै थे, उसकी बड़ाई करके कह्या, “साच्चए, तू परमेसवर का बेट्टा सै।” \p \v 34 वे गलील समुन्दर पार करके गन्नेसरत परदेस म्ह पोहोचे। \v 35 ओड़ै के माणसां नै उस ताहीं पिच्छाण लिया अर लोवै-धोवै के सारे देश म्ह खबर खन्दाई, अर सारे बिमारां नै उसकै धोरै ल्याए। \v 36 अर उसतै बिनती करण लाग्गै के वे उननै अपणे लत्ते कै पल्ले तै ए छू लेण दे अर जितन्या नै उस ताहीं छुआ वे ठीक होगे। \c 15 \p \v 1 फेर यरुशलेम नगर तै कुछ फरीसी अर शास्त्री यीशु कै धोरै आकै बोल्ले, \v 2 “तेरे चेल्लें बुजुर्गां के रित-रिवाजां ताहीं क्यांतै टाळै सै, के बिना हाथ धोए रोट्टी खावै सै?” \p \v 3 उसनै उन ताहीं जबाब दिया, “थम भी अपणी रित-रिवाज कै कारण क्यांतै परमेसवर का हुकम टाळौ सो? \v 4 क्यूँके परमेसवर नै कह्या, ‘अपणे माँ-बाप की इज्जत कर, अर जो कोए माँ-बाप नै भूंडा बोल्लै, वो मार दिया जावै।’ \v 5 पर थम कहो सो के जै कोए अपणे माँ-बाप तै कहवै, ‘जो कुछ मन्नै थारै ताहीं अपणी सम्पत्ति म्ह तै देणा था, वो मन्नै परमेसवर ताहीं अर्पण ताहीं कर दिया’, \v 6 तो वो पिता का आद्दर ना करै, इस तरियां थमनै अपणी रीत-रिवाजां कै कारण परमेसवर का वचन टाळ दिया। \v 7 हे कपटियों, यशायाह नबी नै थारै बारै म्ह या भविष्यवाणी ठीक करी सै” \p \v 8 ये माणस होट्ठां तै तो मेरा आद्दर करै सै, पर उनका मन मेरै तै दूर रहवै सै। \p \v 9 “अर वे खांम-खा मेरी भगति करै सै, क्यूँके माणसां के तरीक्यां नै धरम उपदेश करकै सिखावै सै।” \p \v 10 फेर उसनै माणसां ताहीं अपणे धोरै बुलाकै उनतै कह्या, “सुणो, अर समझो \v 11 जो मुँह म्ह जावै सै, वो माणस नै अशुध्द कोनी करदा, पर जो मुँह तै लिकड़ै सै, वोए माणस नै अशुध्द करै सै।” \p \v 12 फेर चेल्यां नै आकै उसतै कह्या, “के तन्नै बेरा सै के फरिसियाँ नै यो वचन सुणकै ठोक्कर खाई?” \p \v 13 उसनै जबाब दिया, “हरेक पौधा जो मेरै सुर्गीय पिता नै न्ही लाया, उखाड़ा जावैगा। \v 14 उन ताहीं जाण द्यो; वे आंधे राह बताणीये सै अर आंधा जै आंधे नै राह दिखावै, तो दोन्नु ए घड्डै म्ह गिरैगें।” \p \v 15 न्यू सुणकै पतरस नै उसतै कह्या, “यो उदाहरण म्हारै ताहीं समझा दे।” \p \v 16 यीशु नै उनतै कह्या, “के थम भी इब ताहीं नासमझ सो? \v 17 के थमनै न्ही बेरा के जो कुछ मुँह म्ह जावै वो पेट म्ह पड़ै सै, अर संडास कै जरिये लिकड़ जावै सै? \v 18 पर जो कुछ मुँह तै लिकड़ै सै, वो मन तै लिकड़ै सै, अर वोए माणस ताहीं अशुध्द करै सै। \v 19 क्यूँके भुन्डे़ बिचार, हत्या, बिगान्नी बिरबान्नी धोरै जाणा, जारी, चोरी, झूठ्ठी गवाही अर बुराई मन तै ए लिकड़ै सै। \v 20 येए सै जो माणस नै अशुध्द करै सै, पर हाथ बिना धोए रोट्टी खाणा माणस नै अशुध्द कोनी करदा।” \p \v 21 यीशु ओड़ै तै लिकड़कै, सूर अर सैदा के परदेसां कान्ही चल्या गया। \v 22 उस परदेस तै एक कनानी बिरबान्नी लिकड़ी, अर किल्की मारकै कहण लाग्गी, “हे प्रभु! दाऊद की ऊलाद, मेरै पै दया कर! मेरी बेट्टी ताहीं ओपरी आत्मा घणी सतावै सै।” \p \v 23 पर यीशु नै उसतै कुछ जबाब कोनी दिया। फेर उसके चेल्यां नै आकै उसतै बिनती करी, “इस ताहीं बिदा करो, क्यूँके वा म्हारै पाच्छै रुक्के मारदी आवण लागरी सै।” \p \v 24 यीशु नै जबाब दिया, “इस्राएल कै कुण्बे की खोई होड़ भेड्डां नै छोड़ मै किसे कै धोरै कोनी भेज्या गया।” \p \v 25 पर वा आई, अर यीशु ताहीं प्रणाम करकै कहण लाग्गी, “हे प्रभु, मेरी मदद कर।” \p \v 26 यीशु नै जबाब दिया, “छोरयां की रोट्टी लेकै कुत्त्या कै आग्गै गेरना ठीक कोनी।” \p \v 27 उसनै कह्या, “साच्ची सै प्रभु, पर कुत्ते भी तो मेज कै तळै बाळकां की रोट्टी के टुकड़े खा लेवैं सै।” \p \v 28 इसपै यीशु नै उस ताहीं जबाब दिया, “हे नारी, तेरा बिश्वास पक्का सै। जिसा तू चाहवै सै, तेरै खात्तर उसाए हो।” अर उसकी बेट्टी उस्से घड़ी तै चंगी होग्यी। \p \v 29 यीशु ओड़ै तै गलील समुन्दर कै धोरै आया, अर पहाड़ पै चढ़कै बैठग्या। \v 30 फेर भीड़ पै भीड़ उसकै धोरै आई। वे अपणे गेल्या लंगड़ा नै, आंधा नै, गूंगया नै, टुंडयाँ नै अर दुसरे घणाए नै उसकै धोरै ल्याए, अर उन ताहीं उसके पायां म्ह गेर दिया, अर उसनै उन ताहीं ठीक करया। \v 31 जिब माणसां नै देख्या के गूँगे बोल्लै सै, अर टुंडे चंगे होवै सै, अर लंगड़े चाल्लै सै, अर आंधे देखै सै तो हैरान होकै इस्राएल के परमेसवर की बड़ाई करी। \p \v 32 यीशु नै अपणे चेल्यां ताहीं बुलाया अर कह्या, “मन्नै इस भीड़ पै तरस आवै सै, क्यूँके वे तीन दिनां तै मेरै गेल्या सै अर उनकै धोरै कुछ खाण नै भी कोनी। मै उननै भूक्खा बिदा करणा न्ही चाह्न्दा, कदे इसा ना हो राह म्ह थक हार कै बेहोस हो जावै।” \p \v 33 चेल्यां नै उसतै कह्या, “हमनै इस बण म्ह कित्त तै इतनी रोट्टी मिलैगी के हम इतनी बड्डी भीड़ ताहीं छिकावा?” \p \v 34 यीशु नै उनतै बुझ्झया, “थारै धोरै कितनी रोट्टी सै?” उननै कह्या, “सात, अर माड़ी-सी छोट्टी मच्छी।” \p \v 35 फेर उसनै माणसां ताहीं धरती पै बैठण का हुकम दिया। \v 36 अर उन सात रोट्टी अर मच्छियाँ ताहीं लिया, परमेसवर का धन्यवाद करकै तोड्या, अर अपणे चेल्यां ताहीं देन्दा गया, चेल्लें माणसां ताहीं। \v 37 इस तरियां सारे खाकै छिकगे अर चेल्यां नै बचे होड़ टुकड्या तै सात टोकरे ठाए। \v 38 खाण आळे बिरबानियाँ अर बाळकां नै छोड़कै चार हजार माणस थे। \v 39 जिब वो भीड़ नै बिदया करकै किस्ती म्ह चढ़ग्या अर मगदन देश की सीम म्ह आया। \c 16 \p \v 1 फरिसियाँ अर सदूकियाँ नै धोरै आकै उस ताहीं परखण कै खात्तर उसतै कह्या, “हमनै सुर्ग की कोई निशान्नी दिखा।” \p \v 2 उसनै उन ताहीं जबाब दिया, “साँझ नै थम कहो सो, ‘मौसम खुला रहवैगा, क्यांतैके अकास लाल सै’, \v 3 अर तड़कैए नै कहो सो, ‘आज आँधी आवैगी, क्यूँके अकास लाल अर धूळ-भरया सै।’ थम अकास के लछण देखकै उसका भेद बता सको सो, पर आज कै बखत म्ह जो होण लाग रह्य सै उसनै देखकै भेद क्यूँ न्ही बता सकदे? \v 4 इस युग के बुरे अर जार माणस चिन्ह-चमत्कार टोह्वैं सै, पर योना नबी के चिन्ह-चमत्कार नै छोड़ उन ताहीं और कोए चिन्ह-चमत्कार कोनी दिया जावैगा।” अर वो उननै छोड़कै चल्या गया। \p \v 5 चेल्लें समुन्दर कै परली ओड़ पोहोचे, पर वे रोट्टी लेणा भूलगे थे। \v 6 यीशु नै उनकी कपट रूपी शिक्षा के बारें म्ह उनतै कह्या, “देक्खो, फरिसियाँ अर सदूकियाँ कै खमीर तै चौकन्ने रहियो।” \p \v 7 वे आप्पस म्ह बिचार करण लाग्गे, “हम रोट्टी कोनी ल्याए ज्यांतै वो इस तरियां कहवै सै।” \p \v 8 न्यू जाणकै यीशु नै उनतै कह्या, “हे अल्प बिश्वासियों, थम क्यांतै बिचार करो सो के म्हारै धोरै रोट्टी कोनी सै? \v 9 के थम इब ताहीं न्ही समझे? के थमनै उन पाँच हजार की पाँच रोट्टी याद कोनी, अर ना यो के थमनै कितनी टोकरियाँ ठाई थी? \v 10 अर उणनै चार हजार की सात रोट्टी, अर ना यो के थमनै कितने टोकरे ठाए थे? \v 11 थम क्यांतै न्ही समझदे के मन्नै थारै तै रोटियाँ कै बाबत न्ही कह्या, पर यो के फरिसियाँ अर सदूकियाँ के खमीर तै चौकन्ने रहियो।” \v 12 फेर उनकी समझ आया के उसनै रोट्टी कै खमीर तै न्ही, पर फरिसियाँ अर सदूकियाँ की शिक्षा तै चौकन्ने रहण नै कह्या था। \p \v 13 यीशु कैसरिया फिलिप्पी के परदेस म्ह आया, अर अपणे चेल्यां तै बुझ्झण लाग्या, “लोग मुझ माणस कै बेट्टे नै के कहवैं सै?” \p \v 14 वे बोल्ले, “कुछ तो यूहन्ना बपतिस्मा देण आळा कहवै सै, अर कुछ एलिय्याह, अर कुछ यिर्मयाह या नबियाँ म्ह तै कोए एक कहवै सै।” \p \v 15 उसनै उनतै कह्या, “पर थम मन्नै के कहो सो?” \p \v 16 शमौन पतरस नै जबाब दिया, “तू जिन्दे परमेसवर का बेट्टा मसीह सै।” \p \v 17 यीशु नै उस ताहीं जबाब दिया, “हे शमौन, योना नबी के बेट्टे, तू धन्य सै; क्यूँके मांस अर लहू नै न्ही, पर मेरै पिता नै जो सुर्ग म्ह सै, या बात तेरै पै जाहिर करी सै। \v 18 अर मै भी तेरै तै कहूँ सूं के तू पतरस सै, अर मै इस पत्थर पै अपणी कलीसिया बणाऊँगा, अर अधोलोक के फाटक उसपै हावी कोनी होवैगें। \v 19 मै तन्नै सुर्ग के राज्य की ताळी दियुँगा जो कुछ तू धरती पै बंधैगा, वो सुर्ग म्ह बंधैगा; अर जो तू धरती पै खोलैगा, वो सुर्ग म्ह खुलैगा।” \v 20 फेर उसनै चेल्यां ताहीं चिताया के किसे तै ना कहियो के मै मसीह सूं। \p \v 21 उस बखत तै यीशु अपणे चेल्यां तै बताण लाग्या, “जरूरी सै के मै यरुशलेम म्ह जाऊँ अर यहूदी अगुवें, प्रधान याजकां, शास्त्रियाँ के हाथ्थां तै घणा दुख ठाऊँ; अर मार दिया जाऊँ; अर तीसरै दिन जी उठूँ।” \p \v 22 इसपै पतरस उसनै न्यारा ले जाकै झिड़कण लाग्या, “हे प्रभु, परमेसवर इसा ना करै! तेरै गेल्या इसा कदे ना होवैगा।” \p \v 23 उसनै पलटकै पतरस तै कह्या, “हे शैतान, मेरै स्याम्ही तै दूर हो! तू मेरै खात्तर ठोक्कर का कारण सै; क्यांतैके तू परमेसवर की बात्तां पै न्ही, पर माणसां की बात्तां पै मन लगावै सै।” \p \v 24 फेर यीशु नै अपणे चेल्यां तै कह्या, “जो कोई मेरै मेरा चेल्ला बणना चाहवै, वो अपणी ए इच्छा पूरी ना करै बल्के अपणे दुखां का क्रूस ठाकै, मेरै पाच्छै हो लेवै। \v 25 क्यूँके जो अपणी जान बचाणा चाहवैगा, वो उसनै खोवैगा; अर जो कोए मेरै खात्तर जान खोवैगा, वो उसनै पावैगा। \v 26 जै माणस सारी दुनिया नै पा लेवै, अर अपणी जान का नुकसान ठावै, तो उसनै के फायदा होगा? या माणस अपणी जान कै बदले के देवैगा? \v 27 मै माणस का बेट्टा अपणे सुर्गदूत्तांकै गेल्या अपणे पिता की महिमा म्ह आऊँगा, अर उस बखत ‘मै हरेक नै उसकै काम्मां कै मुताबिक प्रतिफळ देऊँगा।’ \p \v 28 “मै थारे ते साच्ची कहूँ सूं जो आड़ै खड़े सै उन म्ह तै कुछ इसे सै के जिब तक वे मुझ माणस के बेट्टे नै उसके राज्य म्ह आंदे होए ना देख लेगें तब ताहीं मौत उननै छु भी न्ही पावैगी।” \c 17 \p \v 1 छ: दिनां पाच्छै यीशु नै पतरस अर याकूब अर उसके भाई यूहन्ना ताहीं गेल्या लिया, अर उन ताहीं एक्लै म्ह किसे ऊँच्चे पहाड़ पै लेग्या। \v 2 ओड़ै उनकै स्याम्ही उसका रूप म्ह बदलाव होया, अर उसका मुँह सूरज की ढाळ चमक्या अर उसके लत्ते चाँदणै की ढाळ धोळै होग्ये। \v 3 अर मूसा नबी अर एलिय्याह उसकै गेल्या बात करदे होड़ दिक्खे। \p \v 4 इसपै पतरस नै यीशु तै कह्या, “हे प्रभु, म्हारा उरै रहणा ठीक सै। जै तेरी मर्जी हो तो मै उरै तीन मण्डप बणाऊँ, एक तेरै खात्तर, एक मूसा नबी खात्तर, एक एलिय्याह नबी खात्तर।” \p \v 5 वो बोल्लणए लागरया था के एक धोळा बादळ उनपै छाग्या, अर उस बादळ म्ह तै या बाणी लिकड़ी, “यो मेरा प्यारा बेट्टा सै, जिसतै मै राज्जी सूं: इसकी सुणो।” \p \v 6 चेल्लें न्यू सुणकै मुँह कै बळ गिरगे अर घणे डरगे। \v 7 यीशु नै धोरै आकै उन ताहीं छुया, अर बोल्या, “उठो, डरो मतना।” \v 8 फेर उननै अपणी निगांह करी अर यीशु नै छोड़ और किसे ताहीं कोनी देख्या। \p \v 9 जिब वे पहाड़ पै तै उतरै थे फेर यीशु नै उनतै यो हुकम दिया, “जिब ताहीं मै माणस का बेट्टा मरे होया म्ह तै जिन्दा न्ही हो जाऊँगा, तब ताहीं जो कुछ थमनै देख्या सै किसे तै ना कहियो।” \p \v 10 इसपै उसके चेल्यां नै उसतै बुझ्झया, “फेर शास्त्री क्यांतै कहवै सै के एलिय्याह का पैहल्या आणा जरूरी सै।” \p \v 11 उसनै जबाब दिया, “एलिय्याह जरुर आवैगा, अर सारा कुछ सुधरैगा। \v 12 पर मै थमनै कहूँ सूं के एलिय्याह आ लिया, अर माणसां नै उस ताहीं न्ही पिच्छाणा, पर जिसा चाह्या उसाए उसकै गेल्या करया। इस तरियां तै मै माणस का बेट्टा भी उनकै हाथ्थां तै दुख ठाऊँगा।” \v 13 फेर चेल्यां नै समझया के उसनै म्हारै तै यूहन्ना बपतिस्मा देणीये कै बाबत कह्या सै। \p \v 14 जिब वो भीड़ कै धोरै पोहोचे, तो एक माणस उसकै धोरै आया, अर गोड्डे टेक कै कहण लाग्या, \v 15 “हे प्रभु, मेरे बेट्टे पै दया कर! क्यूँके उस ताहीं मिर्गी आवै सै, अर वो घणा दुख ठावै सै; अर बार-बार आग म्ह अर बार-बार पाणी म्ह पड़ ज्या सै। \v 16 अर मै उसनै तेरे चेल्यां धोरै ल्याया था, पर वे उसनै ठीक कोनी कर सके।” \p \v 17 यीशु नै जबाब दिया, “हे अबिश्वासी अर जिद्दी माणसों, मै कद ताहीं थारै गेल्या रहूँगा? कद ताहीं थारी सहूँगा? उसनै उरै मेरै धोरै ल्याओ।” \v 18 फेर यीशु नै ओपरी आत्मा ताहीं धमकाया, वा उस म्ह तै लिकड़ग्यी अर छोरा उस्से बखत ठीक होग्या। \p \v 19 फेर चेल्यां नै एक्लै म्ह यीशु कै धोरै आकै कह्या, “हम उसनै क्यांतै न्ही काढ सके?” \p \v 20 उसनै उनतै कह्या, “अपणे बिश्वास की कमी कै कारण, क्यूँके मै थमनै साच्ची कहूँ सूं, जै थारा बिश्वास राई कै दाणै कै बराबर भी हो, तो इस पहाड़ तै कह सकोगे, ‘उरै तै सरककै ओड़ै चल्या जा’, तो वो चल्या जावैगा, अर कोए बात थारै खात्तर मुश्किल कोनी होवैगी।” \v 21 (पर या जात बिना प्रार्थना अर ब्रत कै कोनी लिकड़दी।) \p \v 22 जिब वे गलील परदेस म्ह थे, तो यीशु नै उनतै कह्या, “मै माणस का बेट्टा माणसां के हाथ्थां म्ह पकड़वाया जाऊँगा। \v 23 वे मन्नै मार देवैगें, अर मै तीसरे दिन जिन्दा हो जाऊँगा।” इसपै वे घणे उदास होए। \p \v 24 जिब वे कफरनहूम पोहोचे, तो मन्दर का कर लेण आळा नै पतरस कै धोरै आणकै बुझ्झया, “के थारा गुरू, मन्दर का कर कोनी देंदा?” \p \v 25 उसनै कह्या, “हाँ, देवै सै।” जिब वो घरां आया, तो यीशु नै उसकै बुझ्झण तै पैहल्याए उसतै कह्या, “हे शमौन, तू के सोच्चै सै? धरती के राजा चुंगी किन तै लेवै सै? अपणे बेट्यां तै या बिगान्याँ तै?” \p \v 26 पतरस नै उसतै कह्या “बैगान्या तै।” यीशु नै उसतै कह्या “तो बेट्टे बचगे। \v 27 तौभी इस खात्तर के हम उननै ठोक्कर ना खुवावा, तू झील कै कंठारे जाकै कांडा गेर, अर जो मच्छी पैहलै लिकडै, उसनै ले, उसका मुँह खोल्लण पै तेरै ताहीं एक सिक्का (जिसकी कीम्मत चार दिन की मजदूरी के बराबर हो सै) मिलैगा, उस्से नै लेकै मेरै अर अपणे बदलै म्ह दे दिये।” \c 18 \p \v 1 उस घड़ी चेल्लें यीशु कै धोरै आकै बुझ्झण लाग्गे, “सुर्ग कै राज्य म्ह बड्ड़ा कौण सै?” \p \v 2 इसपै उसनै एक बाळक ताहीं धोरै बुलाकै उनकै बिचाळै खड्या करया, \v 3 अर कह्या, “मै थमनै सच कहूँ सूं के जिब ताहीं थम न्ही बदलो अर बाळकां की ढाळ नम्र न्ही बणो, थम सुर्ग कै राज्य म्ह बड़ न्ही सकदे। \v 4 जो कोए अपणे आपनै इस बाळक की ढाळ छोट्टा करैगा, वो सुर्ग कै राज्य म्ह बड्ड़ा होवैगा। \v 5 अर जो कोए मेरै नाम तै एक इसे बाळक ताहीं अपणावै सै वो मन्नै अपणावै सै।” \p \v 6 पर जो कोए इन छोट्या बाळकां समान जो मेरै पै बिश्वास करै सै, किसे तै भी पाप करवावै, तो उसकै खात्तर भला योए सै के एक बड्डी चाक्की का पाट उसकै गळ म्ह लटकाया जावै, अर वो डून्घे समुन्दर म्ह डबोया जान्दा। \v 7 ठोकरां कै कारण दुनिया पै हाय! ठोकरां का लागणा जरूरी सै; पर धिक्कार सै उस माणस पै जिसकै जरिये ठोक्कर लाग्गै सै। \v 8 जै तेरा हाथ या तेरा पैर तेरे तै पाप करवावै सै, तो उसनै काटकै बगा दे, टुंडा या लंगड़ा होकै जीवन म्ह दाखल होणा इसतै भला सै के दो हाथ या दो पैर रहंदे होए तू अनन्त आग म्ह गेरया जावै। \v 9 जै तेरी आँख तेरे तै पाप करवावै सै, तो उस ताहीं लिकाड़कै फैक दे, काणा होकै अनन्त जीवन म्ह बड़ना तेरै खात्तर भला सै, ना के दो आँख रहंदे होए तू नरक की आग म्ह गेरया जावै। \p \v 10 देक्खो, थम इन छोट्या म्ह तै किसे नै तुच्छ ना जाणीयो, क्यूँके मै थमनै कहूँ सूं के सुर्ग म्ह उनके सुर्गदूत मेरे सुर्गीय पिता की मौजूदगी म्ह सदा रहवै सै। \v 11 (क्यूँके मै माणस का बेट्टा खोये होया नै बचाण आया सूं।) \p \v 12 थारा इसके बारें म्ह के बिचार सै? जै किसे माणस की सौ भेड़ हों, अर उन म्ह तै एक भटक जावै, तो के वो निन्यानबे ताहीं छोड़कै, अर पहाड़ां पै जाकै, उस भटकी होड़ नै कोनी टोहवैगा? \v 13 अर जै इसा हो के उसनै पावै, तो मै थमनै साच्ची कहूँ सूं, के वो उन निन्यानबे भेड्डां कै खात्तर जो भटकी कोनी थी, इतणा आनन्द कोनी करैगा जितना के इस भेड़ कै खात्तर करैगा। \v 14 इस्से ढाळ थारे पिता की जो सुर्ग म्ह सै या मर्जी कोनी के इन छोट्यां म्ह तै एक भी नाश हो। \p \v 15 “जै तेरा बिश्वासी भाई तेरै खिलाफ कसूर करै, तो जा अर एक्लै म्ह बतळा कै उसनै समझा, जै वो तेरी सुणकै पछतावै तो तन्नै अपणे भाई ताहीं पा लिया। \v 16 जै वो तेरी न्ही सुणै, तो एक या दो जन नै अपणे गेल्या और ले जा, क्यूँके मूसा नबी के नियम-कायदा के मुताबिक ‘हरेक बात दो या तीन तै ज्यादा गवाह के स्याम्ही सच साबित हो जावै।’ \v 17 जै वो उनकी भी न्ही मान्नै, तो कलीसिया तै कह दे, पर जै वो कलीसिया की भी कोनी मान्नै तो तू यो समझ ले के वो दुसरी जात अर चुंगी लेण आळे जिसा सै।” \p \v 18 “मै थमनै साच्ची कहूँ सूं, जो कुछ थम धरती पै बांधैगे, वो सुर्ग म्ह बंधैगा अर जो कुछ थम धरती पै खोल्लोगे, वो सुर्ग म्ह खुलैगा।” \p \v 19 “फेर मै थमनै कहूँ सूं, जै थारै म्ह तै दो जणे धरती पै किसे बात कै खात्तर एक मन होकै बिनती करै, तो वा मेरे पिता की ओड़ तै जो सुर्ग म्ह सै, उनकै खात्तर हो जावैगी। \v 20 क्यूँके जड़ै दो या तीन मेरै नाम पै कठ्ठे होवै सै, ओड़ै मै उनकै बिचाळै म्ह होऊँ सूं।” \p \v 21 जिब पतरस नै धोरै आकै उसतै कह्या, “हे प्रभु, जै मेरा भाई कसूर करदा रहवै, तो मै कितनी बै उस ताहीं माफ करुँ? के सात बै?” \p \v 22 यीशु नै उसतै कह्या, “मै तेरै तै यो न्ही कहन्दा के सात बार, बल्के सात बार के सत्तर गुणा तक माफ करिये।” \p \v 23 “इस करकै सुर्ग के राज्य की तुलना इस उदाहरण तै करी जा सकै सै, किसे राजा नै अपणे नौकरां का लेक्खा (ब्यौरा) लेणा चाह्या। \v 24 जिब वो लेक्खा लेण लाग्या, तो एक जणा उसकै स्याम्ही ल्याया गया जो दस हजार तोड़े\f + \fr 18:24 \ft (1 तोड़ा 15 साल की मजदूरी के बराबर सै)\f* का कर्जवान था। \v 25 जिब के चुकता करण नै उसकै धोरै कुछ कोनी था, तो उसकै माल्लिक नै कह्या, ‘यो अर इसकी घरआळी अर बाळ-बच्चे अर जो कुछ इसका सै सारा बेच्या जावै, अर कर्ज चुकता करया जावै।’” \p \v 26 “इसपै उस नौक्कर नै उसके पायां म्ह पड़कै उस ताहीं कह्या, ‘हे राजा धीरज धर, मै सारा कुछ भर दियुँगा।’ \v 27 इसपै राजा नै तरस खाकै उस नौक्कर ताहीं छोड़ दिया, अर उसका कर्जा भी माफ कर दिया।” \p \v 28 “पर जिब वो नौक्कर बाहरणै लिकड़या, तो उसके साथ के नौकरां म्ह तै एक उसतै फेट्या जो उसके सौ दीनार (100 दिन की मजदूरी) का कर्जदार था; उसनै पकड़कै उसका गला घोट्या अर कह्या, ‘जो कुछ मेरा तेरै पै कर्ज सै भर दे।’” \p \v 29 “इसपै उसका साथ का नौक्कर पायां म्ह पड़कै उसतै बिनती करण लाग्या, ‘धीरज धर, मै सारा कुछ भर दियुँगा।’” \p \v 30 वो न्ही मान्या, पर जाकै उस ताहीं जेळ म्ह गेर दिया के जिब ताहीं कर्जा ना भर दे, जिद ताहीं ओड़ैए रहवै। \v 31 उसके गेल्या के नौक्कर यो जो होया था देखकै घणे उदास होए, अर जाकै अपणे राजा ताहीं पूरा हाल बता दिया। \p \v 32 “फेर राजा नै उस ताहीं बुलाकै उसतै कह्या, ‘हे दुष्ट नौक्कर, तन्नै जो मेरै तै बिनती करी, तो मन्नै तेरा वो सारा कर्जा माफ कर दिया। \v 33 ज्यांतै जिस ढाळ मन्नै तेरै पै दया करी, उस्से तरियां के तन्नै भी अपणे साथ के नौक्कर पै दया न्ही करणी चाहिये थी?’ \v 34 अर उसकै माल्लिक नै छोह् म्ह आकै उस ताहीं दण्ड देणआळे के हाथ्थां म्ह सौप दिया, के जिब ताहीं वो सारा कर्जा भर न्ही देवै, जिद ताहीं उनकै हाथ्थां म्ह रहवै। \p \v 35 “इस्से ढाळ जै थारे म्ह तै अपणे भाई नै ना माफ करै तो मेरा पिता जो सुर्ग म्ह सै थारे तै उसाए करैगा।” \c 19 \p \v 1 जिब यीशु नै ये बात कह ली, तो गलील परदेस तै चल्या गया; अर यरदन नदी कै परली ओड़ यहूदिया परदेस म्ह आया। \v 2 फेर बड्डी भीड़ उसकै पाच्छै हो ली, अर उसनै ओड़ै उन ताहीं चंगा करया। \p \v 3 फेर फरीसी उसनै परखण खात्तर धोरै आकै बोल्ले, “के हर एक कारण तै अपणी घरआळी ताहीं छोड़णा ठीक सै?” \p \v 4 उसनै जबाब दिया, “के थमनै न्ही पढ़या के जिसनै उन ताहीं बणाया, उसनै सरूआत तै नर अर नारी बणाकै कह्या, \v 5 इस कारण माणस अपणे माँ-बाप तै न्यारा होकै अपणी घरआळी कै गेल्या रहैगा अर वे दोन्नु एक तन होवैगें? \v 6 इस करकै इब वे दो न्ही, पर एक तन सै। इस करकै जिस ताहीं परमेसवर नै जोड़या सै, उस ताहीं माणस न्यारा ना करै।” \p \v 7 उननै उसतै कह्या, “फेर मूसा नबी नै यो क्यातै ठहराया के तलाक देकै उस ताहीं छोड़दे?” \p \v 8 उसनै उनतै कह्या, “मूसा नबी नै थारे मन की कठोरता कै कारण थारै तै अपणी-अपणी घरआळी ताहीं छोड़ देण का हुकम दिया, पर सरूआत म्ह इसा कोनी था। \v 9 अर मै थमनै कहूँ सूं, के जो कोए जारी नै छोड़कै और किसे कारण तै अपणी घरआळी नै छोड़कै दुसरा ब्याह करै, वो जारी करै सै, जो उस छोड्डी होई तै ब्याह करै, वो भी जारी करै सै।” \p \v 10 चेल्यां नै यीशु तै कह्या, “जै माणस का बिरबान्नी कै गेल्या इसा सम्बन्ध सै, तो ब्याह करणा आच्छा कोनी।” \p \v 11 यीशु नै उनतै कह्या, “हरेक कोए इन उपदेशां पै चाल न्ही सकदे, सिर्फ वे जिन ताहीं या शक्ति देई गई सै। \v 12 क्यूँके कुछ नपुंसक इसे सै, जो माँ के पेट या गर्भ ए तै इसे जन्मे; अर कुछ नपुंसक इसे सै, जिन ताहीं माणस नै नपुंसक बणाया; अर कुछ नपुंसक इसे सै, जिन नै सुर्ग कै राज्य कै खात्तर खुद ताहीं नपुंसक बणाया सै। जो इस बात ताहीं समझ सकै सै, वे समझ ले।” \p \v 13 फेर माणस बाळकां नै उसकै धोरै ल्याए, के वो उनकै उप्पर हाथ धरै अर प्रार्थना करै; पर चेल्यां नै उन ताहीं धमकाया। \p \v 14 यीशु नै कह्या, “बाळकां नै मेरै धोरै आण द्यो, अर उन ताहीं मना मतना करो, क्यूँके सुर्ग का राज्य इसाए का सै।” \v 15 अर वो उनपै हाथ धरकै ओड़ै तै चल्या गया। \p \v 16 एक माणस यीशु कै धोरै आया अर उसतै कह्या, “हे गुरू, मै कौण-सा भला काम करूँ के अनन्त जीवन पाऊँ?” \p \v 17 यीशु नै उसतै कह्या, “तू मेरै तै भलाई कै बाबत क्यातै बुझ्झै सै? भला तो एकैए सै, पर जै तू जीवन म्ह दाखल होणा चाहवै सै, तो हुकमां नै मान्या कर।” \p \v 18 उसनै यीशु तै कह्या, “कौण-से हुकम?” यीशु बोल्या, “खून न्ही करणा, जारी न्ही करणा, चोरी न्ही करणा, झूठ्ठी गवाही ना देणा, \v 19 अपणे बाप अर माँ का आद्दर करणा, अर अपणे पडौसी तै अपणे जिसा प्यार राखणा।” \p \v 20 उस जवान नै उसतै कह्या, “इन सारया ताहीं तो मन्नै मान्या सै, इब मन्नै किस बात की कमी सै?” \p \v 21 यीशु नै उसतै कह्या, “जै तू सिध्द होणा चाहवै सै तो जा, अपणा सारा माळ बेचकै कंगालां ताहीं दे, अर तन्नै सुर्ग म्ह धन मिलैगा; अर आकै मेरा चेल्ला बणण खात्तर मेरै पाच्छै हो ले।” \p \v 22 पर वो जवान या बात सुणकै उदास होकै चल्या गया, क्यूँके वो घणा साहूकार था। \p \v 23 फेर यीशु नै अपणे चेल्यां तै कह्या, “मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के साहूकार का सुर्ग के राज्य म्ह बड़ना ओक्खा सै। \v 24 थारै ताहीं फेर कहूँ सूं के जिस तरियां तै ऊँट का सूई कै मोरै म्ह तै लिकड़ना आसन हो सकै सै। पर परमेसवर के राज्य म्ह साहूकार का बड़णा भोत मुश्किल सै।” \p \v 25 न्यू सुणकै चेल्यां नै हैरान होकै कह्या, “फेर किसका उद्धार हो सकै सै।” \p \v 26 यीशु नै उनकी ओड़ लखाकै कह्या, “माणसां तै तो यो कोनी हो सकदा, पर परमेसवर तै सारा कुछ हो सकै सै।” \p \v 27 इसपै पतरस नै उसतै कह्या, “देख, हम तो सारा कुछ छोड़कै तेरै पाच्छै हो लिए सा: तो हमनै के मिलैगा?” \p \v 28 यीशु नै उनतै कह्या, “मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के नयी सृष्टी म्ह जिब माणस का बेट्टा अपणी महिमा के सिंहासन पै बैठैगा, तो थम भी जो मेरै पाच्छै हो लिए सो, बारहां सिंहासनां पै बैठकै इस्राएल के बारहां गोत्रां का न्याय करोगे। \v 29 अर जिस किसे नै घर, या भाई-भाण, या माँ-बाप, या बाळ-बच्चे, या खेत्तां ताहीं मेरै नाम कै खात्तर छोड़ दिया सै, उस ताहीं सौ गुणा मिलैगा, अर वो अनन्त जीवन का हक्कदार होवैगा। \v 30 पर भोत से जो पैहले सै, पाच्छले होंगे; अर जो पाच्छले सै, पैहले होंगे।” \c 20 \p \v 1 यीशु नै अपणे चेल्यां ताहीं सिखाण खात्तर एक और उदाहरण दिया, “सुर्ग का राज्य किसे घर के माल्लिक की ढाळ सै, जो तड़कए लिकड़या के अपणे अंगूर के बाग म्ह मजदूरां नै लावै। \v 2 वो मजदूरां नै एक दीनार (एक दिन की मजदूरी) रोज की दिहाड़ी पै लाया अर उननै अपणे अंगूर के बाग म्ह भेज्या।” \p \v 3 “फेर सबेरै के नौ बजे पाच्छै उसनै लिकड़कै और माणसां ताहीं बजार म्ह खड़े देख्या, \v 4 अर उसनै कह्या, ‘थम भी अंगूर के बाग म्ह जाओ, अर मै एक दिन की जो भी मजदूरी थारी बणै सै वा थमनै दियुँगा।’ अर वे भी काम पै चले गये। \v 5 फेर उसनै बारहां बजे अर तीन बजे कै लोवै लिकड़कै उस्से तरियां करया। \v 6 तकरीबन पाँच बजे फेर वो अपणे घर तै गया अर उसनै फेर कई माणसां ताहीं ओड़ै खड़े देख्या, अर उसनै कह्या, ‘थम क्यांतै सारै दिन उरै बेकार खड़े रहों सों?’ उननै उसतै कह्या, ‘ज्यांतै के किसे नै म्हारै ताहीं मजदूरी पै कोनी लगाया।’” \p \v 7 “उसनै उनतै कह्या, ‘थम भी मेरे अंगूर के बाग म्ह काम करण खात्तर जाओ।’” \p \v 8 “साँझ नै अंगूर के बाग के माल्लिक नै अपणे भण्डारी तै कह्या, ‘मजदूरां ताहीं बुलाकै पाच्छल्यां तै लेकै पैहल्या ताहीं उननै मजदूरी दे-दे।’” \p \v 9 “जो पाँच बजे लगाये थे, ताहीं एक-एक दीनार (एक दिन की मजदूरी) मिल्या। \v 10 जो पैहल्या आये उननै यो सोच्या के म्हारै ताहीं घणा मिलैगा, पर उननै भी एक-एक दीनार (एक दिन की मजदूरी) ए मिल्या। \v 11 मजदूरी तो उननै ले ली पर वे अंगूर के बाग के माल्लिक पै बिरड़ाकै कहण लाग्गे, \v 12 ‘जो पाच्छै लाग्गे थे, नै बस एक घंटा काम करया, अर तन्नै म्हारै ताहीं भी उतनाए दिया जितना उन ताहीं, जिब के हमनै दिन-भर बोझ ठाया अर घाम सहया?’” \p \v 13 “बाग के माल्लिक नै उन म्ह तै एक ताहीं जबाब दिया, ‘हे दोस्त, मन्नै तेरै गेल कोए अन्याय कोनी करया। के तन्नै ए मेरै तै एक दीनार (एक दिन की मजदूरी) कोनी तय करया था? \v 14 जो तेरा सै, ठा ले अर चल्या जा; मेरी मर्जी, के जितना तन्नै दियुँ उतनाए इस पाच्छले ताहीं भी दियुँ। \v 15 के यो ठीक कोनी के मै अपणे धन का जो चाऊँ वो करूँ? के मेरै भले होण कै कारण तू कड़वी नजर तै देक्खै सै?’” \p \v 16 “इस तरियां तै जो पाच्छले सै, वे पैहले होंगे, जो पैहले सै, पाच्छले होवैगें।” \p \v 17 जब यीशु अपणे बारहां चेल्यां गेल यरुशलेम नगर म्ह जाण लागरया था तो उन ताहीं एकान्त म्ह लेग्या, अर राह म्ह चालते-चालते उनतै बोल्या, \v 18 “देक्खो, हम यरुशलेम नगर म्ह जावां सा; अर मै माणस का बेट्टा प्रधान याजकां अर शास्त्रियाँ कै हाथ्थां पकड़वाया जाऊँगा, वे मेरे खात्तर मौत की सजा तय करैगें। \v 19 अर मेरे ताहीं गैर यहूदियाँ कै हाथ्थां म्ह सौपैगें, वे मेरा मजाक उड़ावैगें, कोड़े मारैगें, क्रूस पै चढ़ावैगें, अर मै तीसरै दिन जिन्दा हो जाऊँगा।” \p \v 20 फेर जब्दी कै बेट्यां की माँ नै, अपणे बेट्यां कै गेल्या यीशु कै धोरै आकै प्रणाम करया, अर उसतै कुछ माँगण लाग्गी। \p \v 21 यीशु नै उसतै कह्या, “तू के चाहवै सै?” वा यीशु तै बोल्ली, “मन्नै वचन दे, के मेरे ये दो बेट्टे तेरै राज्य म्ह एक तेरै सोळै अर दुसरा तेरै ओळै बैट्ठै।” \p \v 22 यीशु नै जबाब दिया, “थमनै न्ही बेरा के थम के माँग्गो सों। जो दुख का कटोरा मै पीण पै सूं, के थम वो दुख का कटोरा पी सको सो?” उननै उस ताहीं कह्या, “पी सकां सा।” \p \v 23 उसनै उनतै कह्या, “थम मेरे दुख का कटोरा तो पी तो ल्योगे, पर अपणे सोळै अर ओळै किसे ताहीं बिठाणा मेरा काम कोनी, पर जिनकै खात्तर मेरै पिता की ओड़ तै त्यार करया गया, उननै-ए खात्तर सै।” \p \v 24 न्यू सुणकै दसो चेल्लें उन दोन्नु भाईयाँ पै छो करण लाग्गे। \v 25 यीशु नै उन ताहीं धोरै बुलाकै कह्या, “थम जाणो सो के गैर यहूदियाँ के हाकिम उनपै राज करै सै; अर जो बड्डे सै, वे उनपै हक जमावै सै। \v 26 पर थारै म्ह इसा कोनी होवैगा; जो कोए थारै म्ह बड्ड़ा होणा चाहवै, वो थारा सेवक बणै, \v 27 अर जो थारै म्ह प्रधान होणा चाहवैं, वो दास बणै, \v 28 जिसा के मै माणस का बेट्टा, ज्यांतै कोनी आया के मेरी सेवा-पाणी करी जावै, पर ज्यांतै आया के खुद सेवा-पाणी करूँ, अर घण-खरयां के छुटकारै कै खात्तर अपणी जान देऊँ।” \p \v 29 जिब वे यरीहो नगर तै लिकड़ै थे, तो एक बड्डी भीड़ यीशु कै पाच्छै हो ली। \v 30 अर दो आंधे, जो सड़क कै किनारै बैठे थे, न्यू सुणकै के यीशु जाण लागरा सै, रूक्का मारकै कहण लाग्गे, “हे प्रभु, हे दाऊद की ऊलाद, म्हारै पै दया कर।” \p \v 31 माणसां नै उन ताहीं धमकाया के बोल-बाल्ले रहवै; पर वे और भी रुक्के मारकै बोल्ले, “हे प्रभु, दाऊद की ऊलाद, म्हारै पै दया कर।” \p \v 32 फेर यीशु नै खड़े होकै, उन ताहीं बुलाया अर कह्या, “थम के चाहवो सो के मै थारै खात्तर करूँ?” \p \v 33 उननै उसतै कह्या, “हे प्रभु, योए के हम देक्खण लाग जावां।” \p \v 34 यीशु नै तरस खाकै उनकी आँखां कै हाथ लगाया, अर वे जिब्बे देखण लाग्गै; अर उसकै पाच्छै हो लिये। \c 21 \p \v 1 जिब वे यरुशलेम नगर कै लोवै पोहोचे अर जैतून पहाड़ पै बैतफगे गाम कै धोरै आये, तो यीशु नै दो चेल्यां ताहीं न्यू कहकै भेज्या, \v 2 “स्याम्ही कै गाम म्ह जाओ। ओड़ै पोहोचदये एक गधी बंधी होई, अर उसकै गेल्या बच्चा थमनै मिलैगा। उननै खोल कै मेरै धोरै ल्याओ। \v 3 जै थारै तै कोए कुछ कहवै, तो कहियो के प्रभु नै इसकी जरूरत सै, अर वो तोळा उसनै भेज देवैगा।” \p \v 4 यो ज्यांतै होया के जो वचन नबी के जरिये कह्या गया था, वो पूरा हो \p \v 5 “यरुशलेम के लोग्गां तै कहो, ‘देख, थारा राजा थारै धोरै आवै सै; वो नम्र सै, अर गधे पै बैठ्या सै; बल्के गधी के बच्चे पै।’” \p \v 6 चेल्यां नै जाकै, जिसा यीशु नै उनतै कह्या था, उस्से तरियां करया। \v 7 अर गधी अर बच्चे ताहीं ल्याकै, उसपै अपणे लत्ते गेरे, अर वो उसपै बैठग्या। \v 8 फेर घण-खरे माणसां नै अपणे लत्ते राह म्ह बिछाये, अर माणसां नै दरखतां तै डाळियां काटकै राह म्ह बिछाई। \p \v 9 जो भीड़ आग्गै-आग्गै अर पाच्छै-पाच्छै चाल्ली आवै थी, रूक्के मार-मारकै कहवै थी, “दाऊद की ऊलाद को होशाना, धन्य सै वो जो प्रभु के नाम तै आवै सै, अकास म्ह होशाना।” \p \v 10 जिब वो यरुशलेम म्ह बड़या, तो सारे नगर म्ह खलबल्ली माचगी, अर माणस कहण लाग्गे, “यो कौण सै?” \p \v 11 माणसां नै कह्या, “यो गलील परदेस के नासरत नगर का नबी यीशु सै।” \p \v 12 यीशु नै परमेसवर कै मन्दर म्ह जाकै उन सारया ताहीं, जो मन्दर म्ह लेण-देण कररे थे, काढ दिया, अर सर्राफां (पईसा का लेण देण करण आळे) के पीढ़े अर कबूतर बेचणीयाँ की चौकियाँ उल्ट दी; \v 13 अर उनतै कह्या, “लिख्या सै, ‘मेरा घर प्रार्थना का घर कुह्वावैगा’; पर थम उसनै डाकुवां की गुफा बणाओ सो।” \p \v 14 फेर आंधे अर लंगड़े, मन्दर म्ह उसकै धोरै आये, अर उसनै उन ताहीं ठीक करया। \v 15 पर जिब प्रधान याजकां अर शास्त्रियाँ नै इन अनोक्खे काम्मां ताहीं, जो उसनै करे, अर छोरयां ताहीं मन्दर म्ह दाऊद की ऊलाद को होशाना रूक्के मारदे देख्या, तो वे छो मानगे, \p \v 16 अर उसतै कहण लाग्गे, “के तू सुणै सै के ये के कहवै सै?” यीशु नै उनतै कह्या, “हाँ; के थमनै यो कदे कोनी पढ्या: ‘बाळकां अर दूध पिन्दे बच्चां कै मुँह तै तन्नै घणी जै-जै कार कराई?’” \p \v 17 फेर वो उननै छोड़कै नगर कै बाहरणै आकै बैतनिय्याह गाम म्ह गया अर ओड़ै रात बिताई। \p \v 18 तड़कए जिब वो नगर नै बोहड़ण लागरया था तो उसनै भूख लाग्गी। \v 19 सड़क कै किनारै अंजीर का एक दरखत देखकै वो उसकै धोरै गया, अर पत्त्या नै छोड़ उस म्ह और कुछ ना पाकै उसतै कह्या, “इब तै तेरै म्ह फेर कदे फळ कोनी लाग्गै।” अर अंजीर का दरखत जिब्बे सूखग्या। \p \v 20 न्यू देखकै चेल्यां नै हैरानी होई अर उननै कह्या, “यो अंजीर का दरखत जिब्बे किस तरियां सूखग्या?” \p \v 21 यीशु नै उन ताहीं जबाब दिया, “मै थमनै साच्ची कहूँ सूं, जै थम बिश्वास राक्खो अर शक ना करो, तो ना केवल यो करोगे जो इस अंजीर कै दरखत गेल्या करया गया सै, पर जै इस पहाड़ नै कहोगे, ‘उखड़ जा, अर समुन्दर म्ह जा पड़’, तो यो हो जावैगा। \v 22 अर जो कुछ थम प्रार्थना म्ह बिश्वास तै माँगोगे वो सारा थमनै मिलैगा।” \p \v 23 वो मन्दर जाकै उपदेश देवै था, तो प्रधान याजकां अर यहूदी अगुवां नै उसकै धोरै आकै बुझ्झया, “तू ये काम किसकै हक तै करै सै? अर तेरै ताहीं यो हक किसनै दिया सै?” \p \v 24 यीशु नै उनतै जबाब दिया, “मै भी थारै तै एक बात बुझ्झु सूं; जै वो मन्नै बताओगे, तो मै भी थमनै बताऊँगा के ये काम किस हक तै करूँ सूं;। \v 25 यूहन्ना का बपतिस्मा कित्त तै था? सुर्ग की ओड़ तै या माणसां को ओड़ तै?” फेर वे आप्पस म्ह बहस करण लाग्गे, “जै हम कह्वां ‘सुर्ग की ओड़ तै’ तो वो म्हारै तै कहवैगा, ‘फेर थमनै उसका बिश्वास क्यांतै न्ही करया?’ \v 26 अर जै कह्वां ‘माणसां की ओड़ तै’ तो हमनै भीड़ का डर सै, क्यूँके वे सारे यूहन्ना ताहीं नबी मान्नै सै।” \p \v 27 फेर उननै यीशु ताहीं जबाब दिया, “हमनै न्ही बेरा।” यीशु नै भी उनतै कह्या, “तो मै भी थमनै कोनी बतान्दा के ये काम किस हक तै करूँ सूं।” \p \v 28 “आच्छा बताओ थम इस बारें म्ह के कहो सो? के किसे माणस कै दो बेट्टे थे; उसनै पैहले कै धोरै जाकै कह्या, ‘हे बेट्टे, आज अंगूर के बाग म्ह काम कर।’” \p \v 29 “पर बेट्टे नै जबाब दिया, ‘मै कोनी जान्दा’, पर कुछ बखत के बाद अपणे दिए होए उत्तर पै उसनै भोत पछतावा होया अर वो चल्या गया।” \p \v 30 “फेर पिता नै दुसरे कै धोरै जाकै न्यूए कह्या, उसनै जबाब दिया, ‘जी हाँ जाऊँ सूं’, पर कोनी गया।” \p \v 31 “इन दोनुवां म्ह तै किसनै पिता की मर्जी पूरी करी?” उननै कह्या, “पैहले नै।” यीशु नै उनतै कह्या, “मै थारै तै साच्ची कहूँ सूं के चुंगी लेण आळे अर बेश्याएँ थारै तै पैहल्या परमेसवर के राज्य म्ह बड़ै सै। \v 32 यो मै इस खात्तर कहूँ सूं क्यूँके यूहन्ना बपतिस्मा देण आळा धरम की राह दिखान्दे होए थारे धोरै आया, अर थमनै उसका बिश्वास कोनी करया; पर चुंगी लेण आळे अर बेश्यायाँ नै उसका बिश्वास करया अर थमनै न्यू देखकै भी पाप करणा कोनी छोड्या अर ना ए उसका बिश्वास करया।” \p \v 33 एक और उदाहरण सुणो एक घर का माल्लिक था, जिसनै अंगूर का बाग लगाया, अर उसकै चौगरदे नै बाड़ा बाँधया, अर रस का कुण्ड खोद्या, अर रुखाळ खात्तर एक मचान बणाया; अर किसानां ताहीं उसका ठेक्का देकै परदेस चल्या गया। \v 34 जिब फळ का बखत लोवै आया, तो उसनै अपणे नौकरां ताहीं उसका फळां का हिस्सा लेण नै किसानां धोरै भेज्या। \p \v 35 पर किसानां नै उसके नौकरां ताहीं पकड़कै, किसे ताहीं छेत्या, अर किसे ताहीं मार दिया, अर किसे पै पत्थर बरसाए। \v 36 फेर उसनै पैहल्या तै घणे और नौकरां ताहीं भेज्या, अर उननै भी उस्से तरियां करया। \v 37 आखर म्ह उसनै अपणे बेट्टे ताहीं उनकै धोरै न्यू सोचकै भेज्या के वे मेरै बेट्टे की इज्जत करैगें \p \v 38 “पर किसानां नै बेट्टे ताहीं देखकै आप्पस म्ह कह्या, ‘यो तो वारिस सै, आओ, इसनै मार देवा अर इसकी विरासत ले लेवां।’” \v 39 अर उननै उस ताहीं पकड्या अर अंगूर के बाग तै बाहरणै काडकै मार दिया। \p \v 40 “इस करकै जिब अंगूर के बाग का माल्लिक आवैगा, तो उन किसानां कै गेल्या के करैगा?” \p \v 41 उननै उसतै कह्या, “वो उन भुन्डे़ माणसां का भुंडी ढाळ नाश करैगा; अर अंगूर के बाग का ठेका दुसरे किसानां ताहीं देवैगा, जो बखत पै उस ताहीं फळ दिया करैगें।” \p \v 42 यीशु नै उनतै कह्या, “के थमनै कदे भी पवित्र ग्रन्थ म्ह यो कोनी पढ्या: ‘जिस पत्थर ताहीं राजमिस्त्रियाँ नै बेकार ठहराया था, वोए कुणे के सिरे का पत्थर होग्या? यो प्रभु की ओड़ तै होया, अर म्हारी निगांह म्ह अनोक्खा सै।’” \p \v 43 “ज्यांतै मै थमनै कहूँ सूं के परमेसवर का राज्य थारै तै ले लिया जावैगा अर इसी जात ताहीं दिया जावैगा, जो उसका आच्छा फळ ल्यावै सै। \v 44 जो इस पत्थर पै पड़ैगा, वो चकणाचूर हो जावैगा; अर जिसपै वो पड़ैगा, उसनै पीस देवैगा।” \p \v 45 प्रधान याजक अर फरीसी उसके उदाहरणां नै सुणकै समझगे, के वो उनकै बाबत कहवै सै। \v 46 अर उननै उस ताहीं पकड़ना चाह्या, पर माणसां तै डरगे क्यूँके वे उसनै नबी मान्नै थे। \c 22 \s ब्याह म्ह जिमण का दृष्टान्त \p \v 1 इसपै यीशु फेर उनतै उदाहरणां म्ह कहण लाग्या, \p \v 2 “सुर्ग का राज्य उस राजा की ढाळ सै, जिसनै अपणे बेट्टे का ब्याह करया। \v 3 अर उसनै अपणे नौकरां ताहीं भेज्या, के न्योंदे होड़ माणसां ताहीं ब्याह के जीमणे म्ह बुलावै; पर उननै आणा न्ही चाह्या।” \p \v 4 “फेर उसनै और नौकरां ताहीं न्यू कहकै भेज्या, ‘न्योंदे होड़ माणसां ताहीं कहो लखाओ, मन्नै भोज त्यार कर लिया सै, अर मेरे बळध अर पळे होड़ डान्गर काट लिये सै: सारा कुछ त्यार सै; ब्याह के जिमणे म्ह आओ।’” \p \v 5 पर वे बेपरवाह होकै चले गये, कोए अपणे खेत्तां म्ह, कोए अपणे धन्धे पै। \v 6 और कई माणसां नै तो राजा के नौकरां ताहीं पकड़कै उनकी बेईज्जती करी अर उन ताहीं मार दिया। \v 7 जिब राजा नै यो सुण्या तो छो म्ह भरग्या, अर अपणी पलटन खन्दाकै उन हत्यारा का नाश करया, अर उनके नगर फूँक दिए। \p \v 8 फेर राजा नै अपणे नौकरां तै कह्या, ब्याह का भोज तो त्यार सै, पर के न्योंदे होड़ माणस इस जोग्गे कोनी ठहरे। \v 9 इस करकै चौराहयां पै जाओ, अर जितने माणस थमनै मिलै, सारया ताहीं ब्याह कै भोज म्ह बुला ल्याओ। \v 10 इस तरियां उसके नौकरां नै सड़कां पै जाकै के भुन्डे़, के आच्छे, जितने मिले सारया ताहीं कट्ठा करया; ब्याह का घर मेहमानां तै भरग्या। \p \v 11 जिब राजा मेहमानां नै देखण भीत्त्तर आया, तो उसनै ओड़ै एक माणस ताहीं देख्या, जो ब्याह आळे लत्ते कोनी पहररया था। \v 12 उसनै उसतै बुझ्झया, हे दोस्त, तू ब्याह म्ह पैहरे जाण आळे लत्ते पहरे बिना उरै क्यातै आ ग्या। उसका मुँह बन्द होग्या। \p \v 13 फेर राजा नै नौकरां तै कह्या, इसके हाथ-पैर जुड़कै उस ताहीं बाहरणै अन्धेरे म्ह गेर द्यो, ओड़ै रोणा, अर दाँत पिसणा होवैगा। \p \v 14 “क्यूँके बुलाये होड़ तो घणे सै पर छाँटे होए कम सै।” \p \v 15 फेर फरिसियाँ नै आकै आप्पस म्ह बिचार करया, के उसनै किस ढाळ बात्तां म्ह फसावा। \v 16 इस तरियां उननै अपणे चेल्यां ताहीं हेरोदेस राजा के समर्थकां कै गेल्या उसकै धोरै न्यू कहण नै भेज्या, “हे गुरू, हमनै बेरा सै, के तू साच्चा सै, अर परमेसवर की राह सच्चाई तै सिखावै सै; अर किसे की परवाह कोनी करता, क्यूँके तू माणसां का मुँह देखकै बात कोनी करदा। \v 17 इस करकै हमनै बता तन्नै के समझ आवै सै? कैसर तै चुंगी देणा ठीक सै के न्ही।” \p \v 18 यीशु नै उनका भुन्डापण जाणकै कह्या, “हे कपटियों, मन्नै क्यांतै परखो सो? \v 19 कर का सिक्का मेरै ताहीं दिखाओ।” फेर उसकै धोरै एक दीनार (एक दिन की मजदूरी) लियाये। \v 20 उसनै उनतै कह्या, “या छाप अर नाम किसका सै?” \p \v 21 उननै उसतै कह्या, “कैसर का।” फेर उसनै उनतै कह्या, “जो कैसर का सै, वो कैसर ताहीं; अर जो परमेसवर का सै, वो परमेसवर ताहीं द्यो।” \p \v 22 न्यू सुणकै उननै हैरानी होई, उस ताहीं छोड़कै चले ग्ये। \p \v 23 उस्से दिन सदूकी जो कहवै सै के मरे होया का दुबारा जिन्दा उठणा सै ए कोनी, उसकै धोरै आये अर उसतै बुझ्झया, \v 24 “हे गुरू, मूसा नबी नै कह्या था के जै कोए माणस बेऊलादा मर जावै, तो उसका भाई उसकी घरआळी तै ब्याह करकै अपणे भाई कै खात्तर पीढ़ी पैदा करै। \v 25 इब म्हारै उरै सात भाई थे; पैहल्ड़ा ब्याह करकै मरग्या, अर ऊलाद ना होण कै कारण अपणी घरआळी अपणे भाई कै खात्तर छोड़ग्या। \v 26 इस्से तरियां दुसरे अर तीसरे नै भी करया, अर सातुवां तक योए होया। \v 27 सारया पाच्छै वा बिरबान्नी भी मरगी। \v 28 आखर म्ह जिन्दा होण पै वा सातुवां म्ह तै किसकी घरआळी होवैगी? क्यूँके वा सारया की घरआळी बण ली थी।” \p \v 29 यीशु नै उनतै जबाब दिया, “थारी गलती या सै के थम पवित्र ग्रन्थ अर परमेसवर की सामर्थ नै न्ही जाणते। \v 30 क्यूँके मरकै जिन्दा हो जाणकै बाद ब्याह शादी कोनी होन्दी, पर सुर्ग म्ह परमेसवर के सुर्गदूत्तां की ढाळ होवैगें। \v 31 पर मरकै जिन्दा हो जाणकै बाबत के थमनै यो वचन कोनी पढ़या जो परमेसवर नै थारै तै कह्या \v 32 ‘मै अब्राहम का परमेसवर, अर इसहाक का परमेसवर, याकूब का परमेसवर सूं’? वो मरे होया का न्ही, पर जिन्दा का परमेसवर सै।” \p \v 33 न्यू सुणकै माणस उसके उपदेश तै हैरान होए। \p \v 34 जिब फरिसियाँ नै सुण्या के यीशु नै सदूकियाँ का मुँह बन्द कर दिया, तो वे कट्ठे होए। \v 35 शास्त्री समाज के माणसां म्ह तै एक नै उस ताहीं परखण कै खात्तर उसतै बुझ्झया, \v 36 “हे गुरू, नियम-कायदा म्ह कौण-सा हुकम बड्ड़ा सै?” \p \v 37 यीशु नै उसतै कह्या, “तू परमेसवर अपणे प्रभु तै अपणे पूरे मन अर अपणे सारे जीं अर अपणी सारी बुध्दि के साथ प्यार राख। \v 38 बड्ड़ा अर खास हुकम तो योए सै। \v 39 अर उस्से जिसा यो दुसरा भी सै के तू अपणे पड़ोसी तै अपणे जिसा प्यार राख। \v 40 यो दो हुकम सारे नियम-कायदे अर नबियाँ का निचोड़ (आधार) सै।” \p \v 41 जिब फरीसी कट्ठे थे, तो यीशु नै उनतै बुझया, \v 42 “मसीह कै बारै म्ह थम के सोच्चो सो? वो किसका बेट्टा सै?” उननै यीशु तै कह्या, “दाऊद का।” \p \v 43 यीशु नै उनतै बुझया, “तो दाऊद आत्मा म्ह होकै उसनै प्रभु क्यांतै कहवै सै?” \p \v 44 “‘प्रभु नै, मेरै प्रभु तै कह्या, मेरै सोळै बैठ, जिब ताहीं के मै तेरे बैरियाँ ताहीं तेरे पायां म्ह ना झुका दियुँ।’” \p \v 45 “भला, जिब दाऊद उसनै प्रभु कहवै सै, तो वो उसका बेट्टा किस ढाळ होया?” \v 46 उसके जवाब म्ह कोए भी एक बात न्ही कह सका। पर उस दिन तै दूबारै उसतै कुछ और बुझ्झण की हिम्मत कोनी करी। \c 23 \p \v 1 फेर यीशु नै भीड़ तै अर अपणे चेल्यां ताहीं कह्या, \v 2 “शास्त्री अर फरीसी मूसा नबी के नियम-कायदे सिखाण का हक सै; \v 3 ज्यांतै वे थारै तै जो कुछ कहवै वो करीयो अर मानीयो, पर उन जिसे काम ना करीयो; क्यूँके वे सिखावै तो सै पर खुद करदे कोनी। \v 4 वे थारे पै कई नियम लाग्गू करै सै जिसका पालन करणा ओक्खा सै, वे माणसां नै उनपै चाल्लण खात्तर मजबूर करै सै; पर वे खुद अपणे नियमां नै कोनी मानते।” \p \v 5 वे अपणे सारे काम माणसां ताहीं दिखाण कै खात्तर करै सै: वे अपणे ताबिजां नै चौड़ा करै सै जिनपै वे पवित्र ग्रंथ के वचन लिखकै शरीर पै बाँधले सै, अर अपणे लत्यां की झाल्लर बधावै सै, ताके लोग उननै धर्मी समझै। \v 6 भोज म्ह खास-खास जगहां, अर आराधनालयाँ के खास-खास जगहां बैठणा, \v 7 बजारां म्ह नमस्कार, अर माणसां म्ह गुरु कुह्वाणा उननै भावै सै। \p \v 8 पर थम गुरु ना कुह्वाणा, क्यूँके थारा एकै ए गुरू सै, अर थम सारे भाई-भाण के समान सों। \v 9 धरती पै किसे नै अपणा पिता ना कहियो, क्यूँके थारा एकै ए आत्मिक पिता सै, जो सुर्ग म्ह सै। \v 10 अर स्वामी भी ना कुह्वाणा, क्यूँके थारा एकै ए माल्लिक सै, यानिके मसीह। \v 11 जो थारै म्ह बड्ड़ा हो, वो थारा सेवक या नौक्कर बणै। \v 12 जो कोए अपणे आपनै बड्ड़ा बणावैगा, वो छोट्टा करया जावैगा: अर जो कोए अपणे आपनै छोट्टा बणावैगा, वो बड्ड़ा करया जावैगा। \p \v 13 हे कपटी शास्त्रियो अर फरीसियों, थारै पै धिक्कार सै! थम माणसां कै खात्तर सुर्ग राज्य का बारणा बन्द करो सो, ना तो थम खुद उस म्ह बड़ो सो अर ना उस म्ह बड़ण आळा ताहीं बड़ण द्यो सो। \v 14 (हे कपटी शास्त्रियो अर फरीसियों, थारै पै धिक्कार सै! थम बिधवा के घरां नै खा जाओ सो, अर अपणे आपनै धर्मी दिखाण खात्तर घणी वार ताहीं प्रार्थना करदे रहो सो: ज्यांतै थारै ताहीं परमेसवर ओड़ तै घणा दण्ड मिलैगा।) \p \v 15 हे कपटी शास्त्रियो अर फरीसियों, थारै पै धिक्कार सै! थम एक माणस ताहीं अपणे पंथ म्ह ल्याण कै खात्तर दूर-दूर ताहीं हान्डो सो, अर जिब वो पंथ म्ह आ जावै सै तो खुद तो नरक जाओ सों पर दुसरयां नै अपणे तै दुगणा नरक जाण जोग्गा बणा द्यो सो। \p \v 16 हे आंधे अगुवो, थारै पै धिक्कार सै! थम जो या शिक्षा द्यो सो, के जै कोए मन्दर की सूह खावै तो किमे न्ही, पर जै कोए मन्दर कै सोन्ने की सूह खावै तो उसतै बन्ध जावैगा। \v 17 हे बेअक्लो अर आंध्यो, कौण बड्ड़ा सै; मन्दर का सोन्ना या वो मन्दर जिसनै उस सोन्ने ताहीं पवित्र बणाया सै? \v 18 थम यो भी सिखाओ सो के जै कोए मंढही\f + \fr 23:18 \ft मंढही-वेदी\f* की सूह खावै तो किमे न्ही, पर जो भेंट उसपै सै, जै कोए उसकी कसम खावै तो बन्ध जावैगा। \v 19 हे आंध्यो, कौण बड्ड़ा सै; भेंट या मंढही जिसम्ह भेंट पवित्र होवै सै? \v 20 इस करकै जो मंढही की कसम खावै सै, वो उसकी अर जो कुछ उसपै सै, उसकी भी कसम खावै सै। \v 21 जो मन्दर की कसम खावै सै, वो परमेसवर जो उस म्ह रहवै सै, उसकी भी कसम खावै सै। \v 22 जो सुर्ग कसम खावै सै, वो परमेसवर कै सिंहासन की अर उसपै बैठण आळै की भी कसम खावै सै। \p \v 23 हे कपटी शास्त्रियो अर फरीसियों, थारै पै धिक्कार सै! थम पुदीने, सौंफ, जीरै का दसमां हिस्सा तो द्यो सो, पर थमनै नियम-कायदा की डून्घी बात्तां ताहीं यानिके न्याय, दया, अर वफादारी का तिरस्कार करो सों; थमनै दशमास भी देणा चाहिये पर उन खास बात्तां नै भी नजरअंदाज ना करो। \v 24 हे आंधे अगुवो, थम छोटे-छोटे नियमां का पालन करण का तो भोत ध्यान राक्खों सों, जिस तरियां पाणी म्ह तै माच्छर ताहीं तो छाण ल्यो सो, पर परमेसवर के खास हुकम का पालन कोनी करते, जो ऊँट नै निगळ जाणकै समान सै। \p \v 25 हे कपटी शास्त्रियो अर फरीसियों, थारै पै धिक्कार सै! क्यूँके थम लालची अर स्वार्थी सों, पर थम अपणे आपनै पवित्र राक्खण का ढोंग करो सों, इस खात्तर थम उन कटोरे अर थाळी के समान सों जो उप्पर तै तो साफ सै पर भित्तर तै वे गन्दे सै। \v 26 हे आंधे फरीसियों, पैहल्या माणस नै लूटणा बन्ध करो जिब्बे थम धरम के काम का पालन कर पाओगे अर फेर थम उस कटोरे अर थाळी के समान होवैगें जो भीत्त्तर बाहर तै भी साफ हों सै। \v 27 हे कपटी शास्त्रियो अर फरीसियों, थारै पै धिक्कार सै! थम चुन्ने फिरी होई कब्रां के जिसे सो जो उप्पर तै तो सुथरी दिखै सै, पर भीत्त्तर मुर्दां की हाड्डियाँ अर सारे ढाळ की गन्दगी तै ठुकी होई सै। \v 28 इस्से तरियां तै थम भी उप्पर तै माणसां ताहीं धर्मी दिक्खो सो, पर भीत्त्तर अधर्म अर कपट तै भररे सो। \p \v 29 हे कपटी शास्त्रियो अर फरीसियों, थारै पै धिक्कार सै! थम उन नबियाँ की कब्र समारो सो अर धर्मियाँ की कब्र सजाओ सो, जिन ताहीं थारे पूर्वजां नै मारा था। \v 30 “अर कहो सो, ‘जै हम अपणे बाप-दाद्यां के दिनां म्ह होंदे तो नबियाँ की हत्या म्ह उनके साझ्झी कोनी होंदे।’ \v 31 इसतै तो थम अपणे पै आप ए गवाही द्यो सो के थम नबियाँ के हत्यारां के वंशज सो। \v 32 ठीक सै थम अपणे पूर्वजां कै पाप का घड़ा भरते जाओ।” \p \v 33 हे साँप के सप्पोलों जिसे माणसों, थम नरक की सजा तै किस ढाळ बचोगे? \v 34 इस करकै देक्खो, मै थारै धोरै नबियाँ अर समझदार अर शास्त्रियाँ ताहीं भेज्जू सूं, अर थम उन म्ह तै कुछां नै मार द्योगे अर क्रूस पै चढ़ावोगे, अर कुछां नै अपणे आराधनालयाँ म्ह कोड़े मारोगे अर एक नगर तै दुसरे नगर ताहीं भजांदे फिरोगे। \v 35 जिसतै धर्मी हाबिल तै लेकै बिरिक्याह के बेट्टे जकरयाह तक, जिस ताहीं थमनै मन्दर अर मंढही कै बिचाळै मार दिया था, जितने भी धर्मी माणसां ताहीं मारया सै, वो सारा दण्ड थारे सिर पै पड़ैगा। \v 36 मै थमनै सच कहूँ सूं, ये सब का दण्ड इस पीढ़ी के माणसां नै भुगतणा पड़ैगा। \p \v 37 “हे यरुशलेम, हे यरुशलेम के लोगों! तू नबियाँ नै मार देवै सै, अर जो तेरै धोरै खन्दाए गए, उनपै पत्थर बरसावै सै। कितनी ए बर मन्नै चाह्या के जिस ढाळ मुर्गी अपणे बच्चां ताहीं अपणे पाक्खां कै तळै छुपा ले सै, उस्से तरियां ए मै भी तेरे बाळकां नै कट्ठा कर ल्युँ, पर थमनै कोनी चाह्या। \v 38 देक्खो, थारा घर थारे खात्तर उजाड़ छोड्या जावै सै। \v 39 क्यूँके मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के इब तै जिब ताहीं थम न्ही कहोगे, ‘धन्य सै वो, जो प्रभु कै नाम तै आवै सै’ जिद ताहीं थम मन्नै फेर दुबारै कदे कोनी देक्खोगे। \c 24 \p \v 1 जिब यीशु मन्दर तै लिकड़कै जाण लागरया था, तो उसके चेल्लें उस ताहीं मन्दर की बणावट दिखाण कै खात्तर उसकै धोरै आये। \v 2 यीशु नै उनतै कह्या, “के थम ये सारे इमारत न्ही देखते? मै थमनै साच्ची कहूँ सूं, उरै पत्थर पै पत्थर भी कोनी रहवैगा, जो गेरया ना जावैगा।” \p \v 3 जिब यीशु जैतून कै पहाड़ पै बैठ्या था, तो चेल्यां नै एक्लै म्ह उसकै धोरै आकै कह्या, “हमनै बता, ये बात कद होवैगीं? तेरै आण का अर दुनिया कै अन्त की के निशान्नी होवैगी?” \p \v 4 यीशु नै उन ताहीं जबाब दिया, “चौकन्ने रहियो! कोए थमनै भकाण न्ही पावै, \v 5 क्यूँके घण-खरे इसे होवैगें जो मेरै नाम तै आकै कहवैगें, मै मसीह सूं, अर घणाए ताहीं भकावैगें। \v 6 थम रोळे अर लड़ाईया का जिक्रा सुणोगे, तो घबराईयो ना क्यूँके इनका होणा जरूरी सै, पर उस बखत खात्मा कोनी होवैगा। \v 7 क्यूँके जात पै जात, अर राज्य पै राज्य चढ़ाई करैगा, अर जगहां-जगहां अकाळ पड़ैंगें, अर हाल्लण आवैगें। \v 8 ये सारी बात दुखां की सरूआत होवैगी।” \p \v 9 फेर माणस क्ळेश देण कै खात्तर थमनै पकड़वावैगें, अर थमनै मार देवैगें, अर मेरै नाम कै कारण सारी जात्तां के माणस थारै तै बैर राक्खैगें, क्यूँके थम मेरे पै बिश्वास करो सों। \v 10 फेर घण-खरे मेरे पै बिश्वास करणा छोड़ देंगें, अर एक-दुसरै नै पकड़वावैगें, अर एक-दुसरै तै बैर राक्खैगें। \v 11 घण-खरे झूठ्ठे नबी आवैगें, अर घणाए ताहीं भकावैगें। \v 12 अधर्म कै बढ़ण तै वे एक दुसरे तै प्यार करणा छोड़ देंगे, \v 13 पर जो अन्त ताहीं मेरे पै बिश्वास राक्खैगा, उस्से ताहीं बचाया जावैगा। \v 14 अर परमेसवर के राज्य का यो सुसमाचार सारी दुनिया म्ह प्रचार करया जावैगा, ताके सारी जात्तां इस ताहीं स्वीकार करण का मौक्का मिलै, ताके थम मेरे गवाह होवै, फेर दुनिया का अन्त आ जावैगा। \p \v 15 इस करकै जिब थम उस उजाड़ण आळी घृणित चीज ताहीं जिसका जिक्रा दानिय्येल नबी कै जरिये होया था, पवित्र जगहां पै खड़े देक्खो (जो पढ़ै, वो समझै), \v 16 फेर जो यहूदिया परदेस म्ह हो, वे पहाड़ां पै भाज जावैं। \v 17 जो छात पै हो, वो अपणे घर म्ह तै समान लेण नै तळै न्ही उतरै, \v 18 अर जो खेत म्ह हो, वो अपणा लत्ता लेण नै पाच्छै न्ही बोहड़ैं। \v 19 उन दिनां म्ह जो गर्भवती अर दूध पिलान्दी बिरबान्नी होवैगीं, उनकै खात्तर भागणा भी मुश्किल होगा! \v 20 प्रार्थना करया करो के थमनै जाड्डै म्ह या आराम कै दिन भाजणा ना पड़ै। \v 21 क्यूँके उस बखत इसा भारया क्ळेश होवैगा, जिसा दुनिया की सरूआत तै ना इब ताहीं होया ना कदे होवैगा। \p \v 22 “अर जै वे दिन घटाए न्ही जांदे तो कोए जीव कोनी बचदा, पर छाँटे होया कै कारण वे दिन घटाए जावैंगे। \v 23 उस बखत जै कोए थमनै कहवै, ‘देक्खो, मसीह उरै सै!’ या ‘ओड़ै सै!’ तो बिश्वास ना” करियो। \v 24 क्यूँके झूठ्ठे मसीह अर झूठ्ठे नबी उठ खड़े होवैगें, अर बड़े-बड़े चमत्कार, अर अनोक्खे काम दिखावैगें के जै हो सक्या तो छांटे होया ताहीं भी भका देवैगें। \v 25 देक्खो, मन्नै पैहल्याए थारै तै यो सारा कुछ कह दिया सै। \p \v 26 “इस करकै जै वे थारै तै कहवै, ‘देक्खो, वो बण म्ह सै’, तो बाहरणै ना लिकड़यो; या ‘देक्खो, वो कोठड़िया म्ह सै’, तो बिश्वास ना करियो। \v 27 क्यूँके जिस तरियां बिजळी पूरब तै लिकड़कै पश्चिम ताहीं चमकै सै, उस्से तरियां मुझ माणस के बेट्टे का भी आणा होवैगा। \v 28 जड़ै लाश हो, उड़ैए चील कट्ठे होवैगें।” \p \v 29 उन दिनां के क्ळेश कै पाच्छै जिब्बे सूरज अन्धेरै म्ह हो जावैगा, चाँद का चाँदणा जान्दा रहवैगा, अर तारे अकास तै तळै पड़ैंगें, अर अकास की शक्तियाँ हलाई जावैंगी। \p \v 30 फेर माणस के बेट्टे का निशान अकास म्ह दिखैगा, अर फेर धरती के सारे खानदान्ना के माणस छात्त्ती पिटैगें; अर माणस के बेट्टे ताहीं बड्डी सामर्थ अर महिमा कै गेल्या अकास के बादळां पै आंदे देक्खोगे। \v 31 वो तुरही की तेज आवाज कै गेल्या अपणे सुर्गदूत्तां नै खन्दावैगा, अर वे अकास के इस सिरे तै उस सिरे ताहीं, च्यारू दिशायां तै उसके चुणे होया नै कट्ठे करैगें। \p \v 32 अंजीर के दरखत तै यो उदाहरण सीक्खो: जिब उसकी डाळी कोमल हो जावै अर पत्ते लिकड़ण लाग ज्या सै, तो थम जाण ल्यो के गर्मी का बखत लोवै सै। \v 33 इस्से तरियां तै जिब थम इन सारी बात्तां नै देक्खो, तो जाण ल्यो के वो लोवै सै, बल्के दरबाजे पै सै। \v 34 मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के जिब ताहीं ये सारी बात पूरी ना हो लेवै, जद ताहीं उस पीढ़ी का अन्त कोनी होवैगा। \v 35 धरती अर अकास टळ जावैंगे, पर मेरी बात कदे न्ही टळैगी। \p \v 36 “उस दिन अर उस बखत कै बारै म्ह कोए न्ही जाण्दा, ना सुर्गदूत अर ना बेट्टा, पर सिर्फ पिता। \v 37 जिसा पूर्वज नूह के दिनां होया था, उस्से तरियां ए माणस के बेट्टे का आणा होगा। \v 38 क्यूँके जिस तरियां बाढ़ तै पैहले के दिनां म्ह, जिस दिन ताहीं नूह जहाज पै न्ही चढ़या, उस दिन ताहीं माणस खावै-पीवै थे, अर उन म्ह ब्याह होवै थे। \v 39 अर जिब ताहीं बाढ़ आकै उन सारया ताहीं बहा न्ही लेग्या, जद ताहीं उननै किमे बेरा न्ही पाट्या; इस्से तरियां ए मुझ माणस के बेट्टे का आणा भी होगा। \v 40 उस बखत दो जणे खेत म्ह होंगे, एक ठाया जावैगा अर दुसरा छोड़ दिया जावैगा। \v 41 दो बिरबान्नी एक साथ चाक्की पीसदी होवैगी, एक ठा ली जावैगी अर दुसरी छोड़ दी जावैगी।” \p \v 42 इस करकै जागदे रहो, क्यूँके थमनै न्ही बेरा के थारा प्रभु किस दिन आवैगा। \v 43 पर न्यू जाण ल्यो के जै घर का माल्लिक नै बेरा हो के चोर किस घड़ी आवैगा तो जागदा रहन्दा, अर अपणे घर म्ह सेंध लागण न्ही देन्दा। \v 44 ज्यांतै थम भी त्यार रहो, क्यूँके जिस घड़ी कै बारै म्ह थम सोचदे भी कोनी, उस्से घड़ी मै माणस का बेट्टा आ जाऊँगा। \p \v 45 “आखर म्ह वो बिश्वास जोग्गा अर अकलमंद दास कौण सै, जिस ताहीं माल्लिक नै अपणे नौक्कर-चाकरां पर सरदार ठहराया के बखत पै उननै खाणा देवै? \v 46 धन्य सै वो नौक्कर, जिस ताहीं उसका माल्लिक आकै इसाए करदा पावै। \v 47 मै थमनै साच्ची कहूँ सूं, वो उसनै अपणी सारी धन-सम्पत्ति का माल्लिक बणावैगा। \v 48 पर जै वो दुष्ट दास सोच्चण लाग्गै के मेरै माल्लिक कै आण म्ह वार सै, \v 49 अर अपणे साथी नौकरां नै पिट्टण लाग्गै, अर शराबियाँ कै गेल्या खावै-पीवै। \v 50 तो उस नौक्कर का माल्लिक उस दिन बोहड़ैगा, जिब वो उसकी बाट ना देख्दा हो, अर इसे बखत म्ह आवैगा जिसका उसनै ना बेरा हो, \v 51 जिब वो उसनै भारी सजा देगा उसकी गिणती कपटियाँ कै म्ह गिणी जावैगी: ओड़ै रोणा अर दाँत पिसणा होगा।” \c 25 \p \v 1 यीशु नै अपणे चेल्यां ताहीं एक और उदाहरण देकै कह्या, “सुर्ग का राज्य उन दस कुँवारियाँ के जिसा होगा जो अपणी मशाल लेकै बन्दड़े तै फेटण लिकड़ी। \v 2 उन म्ह पाँच बेअक्ल अर पाँच समझदार थी। \v 3 बेअक्ली कुवारियाँ नै अपणी मशाल तो ली, पर अपणे गेल्या फालतू तेल न्ही लिया; \v 4 पर समझदारां नै अपणी मशालां कै गेल्या अपणी कुप्पियाँ म्ह तेल भी भर लिया। \v 5 जिब बन्दड़े कै आण म्ह वार होई, तो वे सारी ऊँघण लाग्गी अर सो गी।” \p \v 6 “आध्धी रात नै धूम माच्ची: ‘देक्खो, बन्दड़ा आण लागरया सै! उसतै फेटण नै चाल्लों।’” \p \v 7 “फेर वे सारी कुँवारियाँ उठकै अपणी मशाल ठीक करण लाग्गी। \v 8 अर बेअक्लियाँ नै समझदारों तै कह्या, ‘अपणे तेल म्ह तै कुछ हमनै भी द्यो, क्यूँके म्हारी मशाल बुझ्झण लागरी सै।’” \p \v 9 “पर समझदारां नै जबाब दिया, ‘कदे यो म्हारै अर थारै खात्तर पूरा ना पड़ै; भला तो योए सै के थम बेचणीयाँ कै धोरै जाकै अपणे खात्तर मोल लियाओ।’” \p \v 10 जिब वे मोल लेण नै जावै थी तो बन्दड़ा आण पोहुच्या, अर जो त्यार थी, वे उसकै गेल्या ब्याह कै घर म्ह चली गई अर बारणा मूंद दिया गया। \p \v 11 “इसकै पाच्छै वे दुसरी कुँवारियाँ भी बोहड़कै आई अर बन्दड़े तै कहण लाग्गी, ‘हे माल्लिक, हे माल्लिक, म्हारै खात्तर किवाड़ खोल दे।’” \p \v 12 “उसनै जबाब दिया, ‘मै थारै ताहीं साच्ची कहूँ सूं, मै थमनै कोनी जाण्दा।’” \p \v 13 इस करकै चोक्कने रहो, क्यूँके मेरे आण के उस दिन नै थम कोनी जाणते, ना उस घड़ी नै जिस दिन म्ह आऊँगा। \p \v 14 सुर्ग का राज्य उस माणस के उदाहरण के समान भी सै, जिसनै परदेस जान्दे बखत अपणे नौकरां ताहीं बुलाकै अपणी कुछ सम्पत्ति उन ताहीं सौप दी, ताके वे व्यापर करकै घणा धन जोड़ ले। \v 15 उसनै एक तै पाँच तोड़े (1 तोड़ा 15 साल की मजदूरी के बराबर सै), दुसरे ताहीं दो, अर तीसरे ताहीं एक; यानिके हरेक नै उसकी काबिलियत कै मुताबिक दिया, अर फेर परदेस चल्या गया। \v 16 फेर, जिस ताहीं पाँच तोड़े मिले थे, उसनै जिब्बे जाकै उनतै लेण-देण करया, अर पाँच तोड़े\f + \fr 25:16 \ft (1 तोड़ा 15 साल की मजदूरी के बराबर सै)\f* और कमाए। \v 17 इस्से तरियां तै जिस ताहीं दो मिले थे, उसनै भी दो और कमाए। \v 18 पर जिस ताहीं एक मिल्या था, उसनै जाकै माट्टी खोद्दी, अर अपणे माल्लिक का धन लह्को दिया। \p \v 19 घणे दिनां पाच्छै उन नौकरां का माल्लिक आया, अर उनतै हिसाब लेण लाग्या, के उननै उन पईसा तै के कुछ करया। \v 20 जिसनै पाँच तोड़े मिले थे, उसनै पाँच तोड़े और ल्याकै कह्या, हे माल्लिक, तन्नै मेरै ताहीं पाँच तोड़े सौप्पे थे, लखा, मन्नै ये पाँच तोड़े और कमाए सै। \p \v 21 उसकै माल्लिक नै उसतै कह्या, शाबाश, हे भरोस्से के लायक आच्छे नौक्कर, तू थोड़े-से धन म्ह भी भरोसमंद लिकड़या, मै तन्नै घणी चिज्जां का अधिकारी बणाऊँगा। अपणे माल्लिक कै आनन्द म्ह साझ्झी हो। \p \v 22 फेर जिस ताहीं दो तोड़े मिले थे, उसनै भी आकै कह्या, हे माल्लिक, तन्नै मेरै ताहीं दो तोड़े सौप्पे थे, देख, मन्नै दो तोड़े और कमाए। \p \v 23 उसकै माल्लिक नै उसतै कह्या, शाबाश, हे भरोस्से के लायक आच्छे नौक्कर, तू थोड़ै-से म्ह भी भरोसमंद लिकड़या; मै तन्नै घणी चिज्जां का अधिकारी बणाऊँगा। अपणे माल्लिक कै आनन्द म्ह साझ्झी हो। \p \v 24 फेर जिस ताहीं एक तोड़ा\f + \fr 25:24 \ft (1 तोड़ा 15 साल की मजदूरी के बराबर सै)\f* मिल्या, उसनै आकै कह्या, हे माल्लिक, मै तन्नै जाणु था के तू इसे माणस की तरियां सै: तू जित किते बीज न्ही बोन्दा ओड़ै फसल काट्टै सै, अर जित न्ही खिंडान्दा ओड़ै तै कट्ठा करै सै। \v 25 जै मै तेरा तोड़ा खो देता तो तू मन्नै दण्ड देता, ज्यांतै मै डरग्या अर जाकै तेरा तोड़ा माट्टी म्ह दबा दिया। देख, जो तेरा सै, वो यो सै। \p \v 26 उसकै माल्लिक नै उस ताहीं जबाब दिया, हे दुष्ट अर आलसी नौक्कर, जिब तन्नै न्यू बेरा था के जित मन्नै बीज न्ही बोया ओड़ै तै फसल काट्टू सूं, अर जित मन्नै न्ही खिंडाया ओड़ै तै कट्ठा करूँ सूं; \v 27 जै तन्नै बेरा था के मै इसा सूं, तो तू मेरा रपियाँ सर्राफां नै ए दे देंदा, फेर मै आकै अपणा धन ब्याज सुधां ले लेन्दा। \p \v 28 माल्लिक नै अपणे नौकरां तै कह्या, ज्यातै वो तोड़ा\f + \fr 25:28 \ft (1 तोड़ा 15 साल की मजदूरी के बराबर सै)\f* उसतै ले ल्यो, अर जिसकै धोरै दस तोड़े सै उसनै दे द्यो। \v 29 क्यूँके जिस किसे धोरै सै, उस ताहीं और दिया जावैगा; अर उसकै धोरै घणा हो जावैगा: पर जिसकै धोरै न्ही सै, उसतै वो भी जो उसकै धोरै सै, ले लिया जावैगा। \v 30 इस निकम्मे नौक्कर नै बाहर अन्धेरै म्ह गेर द्यो, जित रोणा अर दाँत पिसणा होगा। \p \v 31 जिब मै माणस का बेट्टा अपणी महिमा म्ह आऊँगा अर सारे सुर्गदूत मेरे गेल्या आवैगें, तो मै अपणी महिमा कै सिंहासन पै बैठैगा। \v 32 अर सारी जात मेरे स्याम्ही कट्ठी करी जावैगी; अर जिस ढाळ पाळी भेड्डां नै बकरियाँ तै न्यारी कर देवै सै, उस्से तरियां मै उननै एक-दुसरे तै न्यारा करूँगा। \v 33 मै भेड्डां नै अपणी सोळी ओड़ अर बकरियाँ नै ओळी ओड़ खड्या करूँगा। \p \v 34 “फेर मै राजा अपणी सोळी ओड़ आळा नै कहूँगा, ‘हे मेरे पिता के धन्य माणसों, आओ, उस राज्य के हक्कदार हो जाओ, जो दुनिया की सरूआत तै थारै खात्तर त्यार करया गया सै। \v 35 क्यूँके जिब मै भूक्खा था, अर थमनै मेरै ताहीं खाण नै दिया; मै तिसाया था, अर थमनै मेरै ताहीं पाणी पिलाया; मै परदेशी था, अर थमनै मेरै ताहीं अपणे घरां ठहराया; \v 36 मै उघाड़ा था, अर थमनै मेरै ताहीं लत्ते पिहराए; मै बीमार था, अर थमनै मेरा बेरा लिया, मै जेळ म्ह था, अर थम मेरै तै फेटण आये।’” \p \v 37 “फेर धर्मी उस ताहीं जबाब देवैगें, ‘हे प्रभु, हमनै कद तेरै ताहीं भूक्खा देख्या अर खुवाया? या कद तिसाया देख्या अर पाणी पिलाया? \v 38 हमनै कद तेरै ताहीं परदेशी देख्या अर अपणे घरां ठहराया? या उघाड़ा देख्या अर लत्ते पिहराये? \v 39 हमनै कद तेरै ताहीं बीमार या जेळ म्ह देख्या अर तेरा बेरा लेण न्ही आये?’” \p \v 40 “फेर मै राजा उननै जबाब देऊँगा, ‘मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के थमनै जो मेरे इन छोट्या तै छोट्टे बिश्वासी भाईयाँ म्ह तै किसे एक कै गेल्या करया, वो मेरै ए गेल्या करया।’” \p \v 41 “फेर मै ओळै कान्ही आळा ताहीं कहूँगा, ‘हे श्रापित माणसों, मेरै स्याम्ही तै उस अनन्त आग म्ह चले जाओ, जो परमेसवर नै शैतान अर उसके दूत्तां खात्तर त्यार करी सै। \v 42 क्यूँके मै भूक्खा था, अर थमनै मेरै ताहीं खाण नै कोनी दिया; मै तिसाया था, अर थमनै मेरै ताहीं पाणी कोनी पिलाया; मै परदेशी था, अर थमनै मेरै ताहीं अपणे घरां कोनी ठहराया; \v 43 मै नंगा था, अर थमनै मेरै ताहीं लत्ते कोनी पिहराए; मै बीमार था, अर थमनै मेरा बेरा कोनी लिया, मै जेळ म्ह था, अर थम मेरै तै फेटण कोनी आये।’” \p \v 44 “फेर वे जबाब देवैगें, ‘हे प्रभु, हमनै तेरै ताहीं कद भूक्खा, या तिसाया, या परदेशी, या उघाड़ा, या बीमार, या जेळ म्ह देख्या, अर तेरी सेवा-पाणी न्ही करी?’” \p \v 45 “फेर मै उननै जबाब देऊँगा, ‘मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के थमनै जो मेरे इन छोट्या तै छोट्या म्ह तै किसे एक कै गेल्या न्ही करया, वो मेरै गेल्या भी न्ही करया।’” \p \v 46 “अर अधर्मी जन अनन्त दण्ड भोगैगें पर धर्मी जन अनन्त जीवन म्ह दाखल होंगे।” \c 26 \p \v 1 जिब यीशु नै ये सारी बात कह ली तो अपणे चेल्यां तै कहण लाग्या, \v 2 “थमनै बेरा सै के दो दिनां पाच्छै फसह का त्यौहार सै, अर मै माणस का बेट्टा क्रूस पै चढ़ाण कै खात्तर पकड़वाया जाऊँगा।” \p \v 3 फेर प्रधान याजक अर प्रजा के यहूदी अगुवें, काइफा नामक महायाजक कै आँगण म्ह कट्ठे होए, \v 4 अर आप्पस म्ह बिचार करण लाग्गे के यीशु ताहीं धोक्खै तै पकड़कै मार देवा। \v 5 पर वे कहवै थे, “त्यौहार कै बखत न्ही, कदे इसा ना हो के माणसां म्ह रोळा माच ज्या।” \p \v 6 जिब यीशु बैतनिय्याह गाम म्ह शमौन कोढ़ी कै घरां था, \v 7 तो एक बिरबान्नी संगमरमर कै बरतन म्ह महँगा खसबूदार तेल लेकै उसकै धोरै आई, अर जिब वो खाणा खाण नै बैठ्या था तो उसकै सिर पै उंडेल दिया। \p \v 8 न्यू देखकै उसके चेल्लें खीजकै अर कहण लाग्गे, “इसका क्यांतै नाश करया गया? \v 9 इस ताहीं तो बढ़िया दाम्मां पै बेचकै कंगालां म्ह बांडया जा सकै था।” \p \v 10 न्यू जाणकै यीशु नै उनतै कह्या, “बिरबान्नी नै क्यांतै सताओ सो? उसनै मेरै गेल्या भलाई करी सै। \v 11 कंगाल तो थारै गेल्या सारी हाण रहवै सै, पर मै थारै गेल्या सारी हाण कोनी रहूँगा। \v 12 उसनै मेरी देह पै जो यो महँगा खसबूदार तेल उंडेला सै, वो मेरे गाड़े जाणकै खात्तर करया सै। \v 13 मै थमनै साच्ची कहूँ सूं, के सारे जगत म्ह जित किते भी यो सुसमाचार प्रचार करया जावैगा, ओड़ै उसकै इस काम का जिक्रा भी उसकी याद म्ह करया जावैगा।” \p \v 14 फेर यहूदा इस्करियोती नै, जो बारहां चेल्यां म्ह तै एक था, प्रधान याजकां कै धोरै जाकै कह्या, \v 15 “जै मै यीशु नै थारे हाथ्थां म्ह पकड़वा दियुँ, तो मन्नै के द्योगे?” उननै तीस चाँदी के सिक्के तौलकै दे दिये। \v 16 अर वो उस्से बखत तै यीशु नै पकड़वाण का मौक्का टोह्ण लाग्या। \p \v 17 अखमीरी रोट्टी कै त्यौहार कै पैहल्ड़े दिन, चेल्लें यीशु कै धोरै आकै बुझ्झण लाग्गे, “तू कित्त चाहवै सै के हम तेरै खात्तर फसह खाण की त्यारी करा?” \p \v 18 यीशु बोल्या, “नगर म्ह फलाणा माणस नै जाकै उसतै कहो, ‘गुरू कहवै सै के मेरा बखत लोवै सै। मै अपणे चेल्यां कै गेल्या तेरै उरै फसह का त्यौहार बणाऊँगा’।” \p \v 19 आखर चेल्यां नै यीशु का हुकम मान्या अर फसह का भोज त्यार करया। \p \v 20 जिब साँझ होई तो यीशु बारहां चेल्यां कै गेल्या खाणा खाण कै खात्तर बैठ्या। \v 21 जिब वे खाण लागरे थे तो यीशु नै कह्या, “मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के थारै म्ह तै एक मन्नै धोक्खा देकै पकड़वावैगा।” \p \v 22 इसपै चेल्लें घणे उदास होए, अर हरेक उसतै बुझ्झण लाग्या, “हे गुरू, के वो मै सूं?” \p \v 23 यीशु नै जबाब दिया, “जिसनै मेरै गेल्या थाळी म्ह हाथ घाल्या सै, वोए मन्नै पकड़वावैगा। \v 24 मै माणस का बेट्टा तो जिसा मेरे बारै म्ह लिख्या सै, जावै ए सै; पर उस माणस पै धिक्कार सै जिसकै जरिये मै माणस का बेट्टा पकड़वाया जाऊँगा: जै उस माणस का जन्म ए न्ही होंदा, तो उसकै खात्तर भला होंदा।” \p \v 25 फेर यीशु कै पकड़वाण आळे यहूदा नै कह्या, “हे गुरु, के वो मै सूं?” यीशु उसतै बोल्या, “तन्नै कह लिया।” \p \v 26 जिब वे फसह खाण लागरे थे, तो यीशु नै रोट्टी ली, अर आशीष माँगकै तोड़ी, अर चेल्यां ताहीं देकै कह्या, “ल्यो, खाओ; या मेरी देह सै।” \p \v 27 फेर यीशु नै अपणा कटोरा लेकै परमेसवर का धन्यवाद करया, अर उन ताहीं देकै कह्या, “थम सारे इस म्ह तै पियो, \v 28 क्यूँके यो करार का मेरा वो लहू सै, जो घण-खरयां कै खात्तर पापां की माफी कै खात्तर बहाया जावै सै। \v 29 मै थमनै साच्ची कहूँ सूं के अंगूर का यो रस उस दिन ताहीं कदे न्ही पिऊँगा, जिब थारे गेल्या अपणे पिता कै राज्य म्ह नया न्ही पीऊँ।” \p \v 30 फेर वे भजन गाकै जैतून कै पहाड़ पै गए। \p \v 31 फेर यीशु नै उनतै कह्या, “थम आज ए रात नै मेरै बाबत ठोक्कर खाओगे, क्यूँके लिख्या सै: ‘मै पाळी नै मारूँगा, अर टोळ की भेड़ तित्तर-बित्तर हो जावैंगी।’” \p \v 32 “पर मै अपणे जिन्दा उठण कै बाद थारै तै पैहल्या गलील परदेस म्ह मिलूगाँ।” \p \v 33 इसपै पतरस नै उसतै कह्या, “जै सारे छोड़ै तो छोड़ै, पर मै तेरा साथ कदे न्ही छोडुंगा।” \p \v 34 यीशु नै उसतै कह्या, “मै तेरै तै सच कहूँ सूं के आज ए रात नै मुर्गे के बाँग देण तै पैहल्या, तू तीन बर मेरै बारे म्ह मुकरैगा।” \p \v 35 पतरस नै उसतै कह्या, “जै मन्नै तेरै गेल्या मरणा भी पड़ै, तौभी मै तेरा इन्कार कदे कोनी करूँगा।” इस्से तरियां और सारया नै भी कह्या। \p \v 36 फेर यीशु नै अपणे चेल्यां कै गेल्या गतसमनी नामक एक जगहां म्ह आया अर अपणे चेल्यां तै कहण लाग्या, “उरैए बैट्ठे रहियो, जिब ताहीं मै ओड़ै प्रार्थना करूँ।” \v 37 वो पतरस अर जब्दी के दोन्नु बेट्टा नै गेल्या लेग्या, अर उदास अर कांल होण लाग्या। \v 38 फेर उसनै उनतै कह्या, “मेरा मन घणा उदास सै, उरै ताहीं के मेरा जीं लिकड़ण नै होरया सै। थम उरै ठहरो अर जागदे रहो।” \p \v 39 फेर वो माड़ा और आग्गै सरक कै मुँह कै बळ गिरया, अर या प्रार्थना करण लाग्या, “हे मेरे पिता, जै हो सकै तो यो दुख का कटोरा मेरै तै टळ जावै, तौभी जिसा मै चाऊँ सूं इसा न्ही, पर जिसा तू चाहवै सै उस्से तरियां ए होवै।” \p \v 40 फेर उसनै चेल्यां कै धोरै आकै उन ताहीं सोन्दे पाया अर पतरस तै कह्या, “के थम मेरै गेल्या एक घड़ी भी कोनी जाग सके? \v 41 जागदे रहो, अर प्रार्थना करदे रहो के थम परखे ना जाओ, आत्मा तो त्यार सै पर देह कमजोर सै।” \p \v 42 फेर उसनै दुसरी बै जाकै या प्रार्थना करी, “हे मेरे पिता, जै यो मेरै पिए बिना न्ही हट सकदा, तो तेरी मर्जी पूरी हो।” \v 43 फेर उसनै आकै उन ताहीं फेर सोन्दे पाया, क्यूँके उनकी आँखां म्ह नींद भरी थी। \v 44 उननै छोड़कै वो फेर चल्या गया, अर उन्ने शब्दां म्ह फेर तीसरी बै प्रार्थना करी। \p \v 45 फेर उसनै चेल्यां कै धोरै आकै उनतै कह्या, “इब सोन्दे रहो, अर आराम करो: देक्खो, बखत आण पोहुच्या सै, अर मै माणस का बेट्टा पापियाँ के हाथ्थां पकड़वाया जाऊँगा। \v 46 उठो, चाल्लां; देक्खो, मेरा पकड़ाण आळा धोरै आण पोहुच्या सै।” \p \v 47 वो न्यू कहण ए लागरया था के यहूदा जो बारहां चेल्यां म्ह तै एक था आया, अर उसकै गेल्या प्रधान याजकां अर यहूदी अगुवां की ओड़ तै बड्डी भीड़, तलवार अर लाठ्ठी लिये होए, आई। \v 48 यीशु कै पकड़वाण आळे यहूदा नै उन ताहीं यो इशारा दिया था: “जिस ताहीं मै चूम ल्युँ वोए सै; उस ताहीं पकड़ लियो।” \v 49 अर जिब्बे यीशु कै धोरै आकै कह्या, “हे गुरु, नमस्कार!” अर उस ताहीं घणा चुम्या। \p \v 50 यीशु नै उसतै कह्या, “हे दोस्त, जिस काम कै खात्तर तू आया सै, उसनै करले।” फेर उननै धोरै आकै यीशु पै हाथ गेरया अर उस ताहीं पकड़ लिया। \v 51 यीशु के साथियाँ म्ह तै एक नै हाथ बढ़ाकै अपणी तलवार खिंच ली अर महायाजक के नौक्कर पै चलाकै उसका कान उड़ा दिया। \p \v 52 फेर यीशु नै उसतै कह्या, “अपणी तलवार म्यान म्ह धर ले क्यूँके जो तलवार चलावै सै वे सारे तलवार तै नाश करे जावैंगे। \v 53 के तन्नै न्ही बेरा के मै अपणे पिता तै बिनती कर सकूँ सूं, अर वो सुर्गदूत्तां की बारहां पलटन तै घणे मेरै धोरै इब्बे हाजर कर देवैगा? \v 54 पर पवित्र ग्रन्थ की ये बात के इसाए होणा जरूरी सै, किस ढाळ पूरी होवैगी?” \p \v 55 उस बखत यीशु नै भीड़ तै कह्या, “के थम तलवार अर लाठ्ठी लेकै मन्नै डाकू की ढाळ पकड़न कै खात्तर लिकड़े सो? मै हरेक दिन मन्दर म्ह बैठकै उपदेश दिया करूँ था, अर थमनै मेरै ताहीं कोनी पकड्या। \v 56 पर यो सारा ज्यांतै होया सै के नबियाँ के वचन पूरे होवै।” फेर सारे चेल्लें उसनै छोड़कै भाजगे। \p \v 57 फेर यीशु के पकड़न आळे उस ताहीं काइफा नामक महायाजक कै धोरै लेगे, जित शास्त्री अर यहूदी अगुवें कट्ठे होए थे। \v 58 पतरस दूर ए दूर उसकै पाच्छै-पाच्छै महायाजक कै आँगण ताहीं गया, अर भीत्त्तर जाकै अन्त देखण नै सिपाहियाँ कै गेल्या बैठग्या। \p \v 59 प्रधान याजक अर सारी बड्डी सभा यीशु नै मारण कै खात्तर उसकै बिरोध म्ह झूठ्ठी गवाही की टोह् म्ह थे, \v 60 पर घण-खरे झूठ्ठे गवाह कै आण पै भी कोनी पाई। आखर म्ह दो जणे आये, \v 61 अर बोल्ले, “इसनै कह्या सै के मै परमेसवर कै मन्दर नै गेर सकूँ सूं अर उस ताहीं तीन दिन म्ह बणा सकूँ सूं।” \p \v 62 फेर महायाजक नै खड़े होकै यीशु तै कह्या, “के तू कोए जबाब न्ही देंदा? ये माणस तेरै बिरोध म्ह के गवाही देवै सै?” \v 63 पर यीशु बोल-बाल्ला रहया। फेर महायाजक नै उसतै कह्या, “मै तन्नै जिन्दे परमेसवर की कसम दियुँ सूं के जै तू परमेसवर का बेट्टा मसीह सै, तो म्हारै ताहीं कह दे।” \p \v 64 यीशु नै उसतै कह्या, “तन्नै आप ए कह दिया; बल्के मै तेरै तै यो भी कहूँ सूं के इब तै थम मुझ माणस के बेट्टे ताहीं सारया तै सब तै सर्वशक्तिमान की सोळी ओड़ बैट्ठे, अर अकास के बादळां पै आंदे देक्खोगे।” \p \v 65 फेर महायाजक नै अपणे लत्ते पाड़कै अर बोल्या, “इसनै परमेसवर की बुराई करी सै, इब हमनै गवाह की के जरूरत? देक्खो, थमनै इब्बे या बुराई सुणी सै! \v 66 थम के सोच्चो सो?” उननै जबाब दिया, “यो मारण जोग्गा सै।” \p \v 67 फेर उननै उसकै मुँह पै थुक्या अर उसकै घुस्से मारे, दुसरयां नै थप्पड़ मारकै कह्या, \v 68 “हे मसीह, म्हारै तै भविष्यवाणी करकै कह के किसनै तेरै ताहीं मारया?” \p \v 69 पतरस बाहरणै आँगण म्ह बैठ्या था के एक नौकराणी उसकै धोरै आई अर बोल्ली, “तू भी तो गलीलवासी यीशु कै गेल्या था।” \p \v 70 उसनै सारया कै स्याम्ही यो कहकै नाट्या, “मन्नै न्ही बेरा तू के कहवै सै।” \p \v 71 जिब वो बाहरणै देहळियाँ म्ह गया, तो दुसरी नौकराणी उसनै देखकै उनतै जो ओड़ै थे कह्या, “यो भी तो यीशु नासरी\f + \fr 26:71 \ft नासरत नगर का रहण आळा\f* कै गेल्या था।” \p \v 72 वो कसम खाकै फेर नाट्या: “मै उस माणस नै कोनी जाण्दा।” \p \v 73 माड़ी बार पाच्छै माणसां नै जो ओड़ै खड़े थे, पतरस कै धोरै आकै उसतै कह्या, “साच्चए तू भी उन म्ह तै एक सै, क्यूँके तेरी बोल्ली तेरा भेद खोल्लै सै।” \p \v 74 फेर वो धिक्कारण अर कसम खाण लाग्या: “मै उस माणस नै कोनी जाण्दा।” जिब्बे मुर्गे नै बाँग देई। \v 75 जिब पतरस नै यीशु की कही होई बात याद आई “मुर्गे कै बाँग देण तै पैहल्या तीन बर तू मेरा इन्कार करैगा।” अर वो बारणै ज्याकै फूट-फूट कै रोण लाग्या। \c 27 \p \v 1 जिब तड़कै ए तड़कै तो सारे प्रधान याजकां अर यहूदी अगुवां नै यीशु ताहीं मारण की सलाह करी। \v 2 उननै यीशु ताहीं बाँधया अर ले जाकै पिलातुस राज्यपाल कै हाथ्थां म्ह सौप दिया। \p \v 3 जिब उसकै पकड़वाण आळे यहूदा नै अहसास होया के यीशु ताहीं मौत की सजा सुणाई गई सै तो वो पसताया अर वे तीस चाँदी के सिक्के प्रधान याजकां अर यहूदी अगुवां ताहीं बोहड़ाया \v 4 अर कह्या, “मन्नै बेकसुरावर माणस ताहीं मारण कै खात्तर पकड़वाकै पाप करया सै।” उननै कह्या, “हमनै के मतलब? तू ए जाणै।” \p \v 5 फेर वो उन सिक्का नै मन्दर के आंगण म्ह बगाकै बाहरणै चल्या गया, अर जाकै अपणे आप ताहीं फाँसी लगा ली। \p \v 6 प्रधान याजकां नै उन सिक्का ताहीं लेकै कह्या, “म्हारे नियम-कायदे इस बात की इजाजत कोनी देंदा के हम इन सिक्कयां नै मन्दर के खजान्ने म्ह धरा, क्यूँके इसका इस्तमाल किसे ताहीं मारवाण खात्तर करया गया सै, या लहू की किम्मत सै।” \v 7 आखर म्ह उननै सलाह करकै उन सिक्कयां तै परदेशियाँ के गाड्डे जाणकै खात्तर कुम्हार का खेत मोल ले लिया। \v 8 इस कारण वो खेत आज ताहीं लहू का खेत कुह्वावै सै। \v 9 ताके जो वचन यिर्मयाह नबी कै जरिये कह्या गया था वो पूरा होया: “उननै वे तीस सिक्के यानिके उस ठहराए होए मोल ताहीं (जिस ताहीं इस्राएल की ऊलाद म्ह तै कितन्याँ नै ठहराया था) ले लिया, \v 10 अर जिस तरियां प्रभु नै मेरै ताहीं हुकम दिया था, उस्से तरियां ए उननै कुम्हार के खेत नै खरीदण खात्तर उसका इस्तमाल करया।” \p \v 11 जिब यीशु राज्यपाल कै स्याम्ही खड्या था तो राज्यपाल नै उसतै बुझ्झया, “के तू यहूदिया का राजा सै?” यीशु नै उसतै कह्या, “तू आप ए कहण लागरया सै।” \p \v 12 जिब प्रधान याजक अर यहूदी अगुवें उसपै इल्जाम लावै थे, तो उसनै कुछ जबाब कोनी दिया। \v 13 इसपै पिलातुस नै उसतै कह्या, “के तू न्ही सुणदा के ये तेरै बिरोध म्ह कितनी गवाही देवै सै?” \v 14 पर उसनै उस ताहीं एक बात का भी जबाब कोनी दिया, उरै ताहीं के राज्यपाल ताहीं घणी हैरानी होई। \p \v 15 राज्यपाल का यो रिवाज था के उस त्यौहार म्ह माणसां कै खात्तर किसे एक कैदी नै जिसनै वे चाहवै थे, रिहा कर देवै था। \p \v 16 उस बखत उनकै उरै बरअब्बा नाम का एक मान्या होड़ कैदी था। \v 17 आखर जिब वो कट्ठे होए, तो पिलातुस नै उनतै कह्या, “थम किसनै चाहो सो के मै थारे खात्तर रिहा करूँ? बरअब्बा ताहीं, या यीशु ताहीं जो मसीह कुह्वावै सै।” \v 18 क्यूँके उसनै बेरा था के उननै उस ताहीं जळण तै पकड़वाया था। \p \v 19 जिब वो न्याय की गद्दी पै बैठ्या होया था तो उसकी घरआळी नै उस ताहीं कुह्वा भेज्या, “तू उस धर्मी कै मामलै म्ह हाथ ना गेरिये, क्यूँके मन्नै आज सपनै म्ह उसकै कारण घणा दुख ठाया सै।” \p \v 20 प्रधान याजकां अर यहूदी अगुवां नै माणसां ताहीं उकसाया के वे बरअब्बा नै माँग ले, अर यीशु का नाश करावै। \p \v 21 राज्यपाल नै उसतै बुझ्झया, “इन दोनुआ म्ह तै किसनै चाहो सो के मै थारै खात्तर छोड़ दियुँ?” उननै कह्या, “बरअब्बा ताहीं।” \p \v 22 पिलातुस नै उनतै कह्या, “फेर यीशु ताहीं, जो मसीह कुह्वावै सै, के करूँ?” सारया नै उसतै कह्या, “यीशु क्रूस पै चढ़ाया जावै!” \p \v 23 हाकिम नै कह्या, “क्यांतै, उसनै के बुरा करया सै?” पर वे और भी रूक्के मारण लाग्गे, “वो क्रूस पै चढ़ाया जावै।” \p \v 24 जिब पिलातुस नै देख्या के किमे न्ही बण पडरया पर उल्टा दंगा बढ़दा जावै सै, तो उसनै पाणी लेकै भीड़ कै स्याम्ही अपणे हाथ धोए अर कह्या, “मै इस धर्मी कै लहू तै बेकसूर सूं: थमे जाणो।” \p \v 25 सारे माणसां नै जबाब दिया, “इसकी मौत के जिम्मेदार हम अर म्हारी ऊलाद होवांगे!” \p \v 26 इसपै उसनै बरअब्बा ताहीं उनकै खात्तर रिहा कर दिया, अर यीशु कै कोड़े लगवाकै सौप दिया, के क्रूस पै चढ़ाया जावै। \p \v 27 फेर राज्यपाल के सिपाहियाँ नै यीशु ताहीं किले\f + \fr 27:27 \ft जो प्रिटोरियुम कुह्वावै सै\f* म्ह ले जाकै सारी पलटन उसकै चौगरदे नै कट्ठी करी, \v 28 अर उसके लत्ते तारकै उस ताहीं लाल रंग का चोग्गा पिहराया, \v 29 अर कांड्यां का ताज गुन्दकै उसकै सिर पै धरया, अर उसकै सोळे हाथ्थां म्ह सरकण्डा दिया अर उसकै आग्गै गोड्डे टेक कै उसका मखौल उड़ाण लाग्गे अर कह्या, “हे यहूदिया परदेस के राजा, नमस्कार!” \v 30 अर उसपै थुक्या; अर वोए सरकण्डा लेकै उसकै सिर पै मारण लाग्गे। \v 31 जिब उननै उसका मखौल कर लिया, तो वो चोग्गा उसपै तै तारकै फेर उस्से के लत्ते उस ताहीं पिहराए, अर क्रूस पै चढ़ाण कै खात्तर ले चाल्ले। \p \v 32 बाहरणै जान्दे होए, उन ताहीं शमौन नाम का एक कुरेनी माणस फेट्या। उननै उस ताहीं बेकार म्ह पकड्या के उसका क्रूस ठाकै ले चाल्लै। \v 33 उस जगहां पै पोहचे जो “खोपड़ी” यानी इब्रानी भाषा म्ह “गुलगुता” कुह्वावै सै। \v 34 उननै सिरका मिल्या होड़ अंगूर का रस उस ताहीं पीण नै दिया, पर उसनै चाखकै पिणा न्ही चाह्या। \v 35 फेर उननै उस ताहीं क्रूस पै चढ़ाया, अर पर्ची गेर कै उसके लत्ते बांड लिये, \v 36 अर ओड़ै बैठकै उसका पैहरा देण लागगे। \v 37 अर उसका दोषपत्र लिखकै उसकै सिर पै लगाया, के, “यो यहूदिया का राजा यीशु सै।” \p \v 38 फेर उसकै गेल्या दो डाकू एक सोळी ओड़ अर एक ओळी ओड़, क्रूस पै चढ़ाए गए। \v 39 राह म्ह आण-जाण आळे सिर हला-हलाकै उसकी बेजती करै थे, \v 40 अर वे कहवै थे, “हे मन्दर नै ढाण आळे अर तीन दिनां म्ह बनाण आळे, अपणे आपनै तो बचा! जै तू परमेसवर का बेट्टा सै, तो क्रूस पै तै उतर आ।” \v 41 इस्से तरियां तै प्रधान याजक भी शास्त्रियाँ अर यहूदी अगुवां सुदा मजाक करकै कहवै थे, \v 42 “इसनै औरां ताहीं बचाया, अर अपणे आपनै न्ही बचा सकदा। यो तो ‘इस्राएल का राजा’ सै। इब क्रूस पै तै उतर आवै तो हम उसपै बिश्वास करया। \v 43 उसनै परमेसवर पै भरोस्सा राख्या सै; जै वो इसनै चाहवै सै, तो इब इसनै छुड़ा लेवै, क्यूँके इसनै कह्या था, ‘मै परमेसवर का बेट्टा सूं’।” \v 44 इस्से ढाळ डाक्कू भी जो उसकै गेल्या क्रूस पै चढ़ाए गए थे, उसकी बेजती करै थे। \p \v 45 दोफारी तै लेकै तीन बजे ताहीं उस सारे देश म्ह अँधेरा छाया रहया। \v 46 तीसरै पहर कै लोवै यीशु नै जोर तै बोल्या, “एली, एली, लमा शबक्तनी?” यानिके “हे मेरे परमेसवर, हे मेरे परमेसवर, तन्नै मेरै ताहीं क्यांतै छोड़ दिया?” \p \v 47 जो उड़ै खड़े थे, कितन्याँ नै न्यू सुणकै कह्या, “वो तो एलिय्याह ताहीं बुलावै सै।” \p \v 48 उन म्ह तै एक जिब्बे भाज्या, अर स्पंज (फोम) लेकै सिरके म्ह ड्बोया, अर सरकण्डे पै धरकै उस ताहीं चुसाया। \v 49 औरां नै कह्या, “रहज्या, देक्खा एलिय्याह उसनै बचाण आवै सै के न्ही।” \p \v 50 फेर यीशु नै जोर तै किल्की मारकै जी दे दिया। \p \v 51 अर देक्खो, मन्दर का पड़दा उप्पर तै तळै ताहीं पाटकै दो टुकड़े होग्या अर धरती काम्बगी चट्टान तड़कगी, \v 52 अर कब्रे खुलगी, अर मरे होड़ पवित्र माणसां की घण-खरे मुर्दे जिन्दा होग्ये, \v 53 अर उसकै जिन्दा होण कै पाच्छै वे कब्रां म्ह तै लिकड़कै पवित्र नगर म्ह गए अर घणाए ताहीं दिक्खे। \p \v 54 फेर सूबेदार अर जो उसकै गेल्या पैहरा दे रे थे, हाल्लण अर जो कुछ होया था उस ताहीं देखकै घणे डरगे अर कह्या, “साच्चए यो परमेसवर का बेट्टा था।” \p \v 55 ओड़ै घणखरी बिरबान्नी जो गलील परदेस तै यीशु की सेवा कर दी होई उसकै गेल्या आई थी, दूर तै देक्खै थी। \v 56 उन म्ह मरियम\f + \fr 27:56 \ft मगदला गाम की मरियम\f* मगदलीनी, अर याकूब अर योसेस की माँ मरियम, अर जब्दी के बेट्यां की माँ थी। \p \v 57 जिब साँझ होई तो यूसुफ नामका अरिमतिया गाम का एक साहूकार माणस, जो खुदे यीशु का चेल्ला था। \v 58 उसनै पिलातुस धोरै जाकै यीशु की लाश माँगी। इस करकै पिलातुस नै यीशु की लाश देण का हुकम दिया। \v 59 यूसुफ नै यीशु की लाश ली, उस ताहीं धोळी चाद्दर म्ह लपेट्या, \v 60 अर उस ताहीं अपणी नई कब्र म्ह धरया, जो उसनै चट्टान म्ह खुदवाई थी, अर कब्र के बारणे पै एक बड्ड़ा पत्थर गिरड़ा कै चल्या गया। \v 61 मरियम मगदलीनी\f + \fr 27:61 \ft मगदला गाम की मरियम \f* अर दुसरी मरियम ओड़ैए कब्र कै स्याम्ही बैठी थी। \p \v 62 अगला दिन आराम का दिन\f + \fr 27:62 \ft जो के तैयारी के बाद का दिन था\f* था, उस दिन प्रधान याजकां अर फरिसियाँ नै पिलातुस कै धोरै कट्ठे होकै कह्या, \v 63 “हे महाराज, म्हारै ताहीं याद सै के उस धोख्खेबाज नै जिब वो जिन्दा था, तो उसनै न्यू कह्या था, ‘मै मरण के तीन दिन पाच्छै जिन्दा हो जाऊँगा।’ \v 64 इस करकै हुकम दे के तीसरे दिन ताहीं कब्र की रुखाळी सावधानी तै करी जावै, इसा ना हो के उसके चेल्लें आकै उसकी लाश नै चुरा ले जावै, अर माणसां तै कहण लाग्गै, ‘वो मरे होया म्ह तै जिन्दा होग्या सै।’ फेर पाच्छला धोक्खा पैहल्ड़े तै भी बड्ड़ा होगा।” (पैहला धोक्खा के वो खुद नै परमेसवर का बेट्टा बतावै सै, दुसरा यो के इब वो तीसरे दिन मरे होया मै तै जी उठ्ठुँगा) \p \v 65 “पिलातुस नै उनतै कह्या, ‘थारै धोरै पहरेदार तो सै जाओ, अपणी समझकै मुताबिक कब्र की रुखाळी करो’। \v 66 आखर वे पैहरेदारां नै गेल लेकै ग्ये, अर कब्र के पत्थर पै मोंहर लगाकै कब्र की रुखाळी करी।” \c 28 \p \v 1 आराम कै दुसरै दिन पाच्छै, हफ्ते कै पैहल्ड़े दिन, तड़कै ए तड़कै मगदला कस्बे की मरियम अर दुसरी मरियम कब्र नै देखण आई। \p \v 2 अर देक्खो, एक बड्ड़ा हाल्लण आया, क्यूँके प्रभु का सुर्गदूत सुर्ग तै उतरया अर धोरै आकै उसनै पत्थर ताहीं गिरड़या दिया, अर उसपै बैठग्या। \p \v 3 उसका रूप बिजळी बरगा था अर उसका लत्ता पाळे की ढाळ धोळा था। \v 4 उसकै डर तै पहरेदार काम्बगें, अर मुर्दे की ढाळ होग्ये। \p \v 5 सुर्गदूत नै बिरबानियाँ ताहीं कह्या, “मतना डरो, मन्नै बेरा सै के थम यीशु नै जो क्रूस पै चढ़ाया गया था, टोह्वो सो। \v 6 वो उरै न्ही सै, पर अपणे वचन कै मुताबिक जिन्दा होग्या सै। आओ, या जगहां देक्खो, जित प्रभु राख्या गया था, \v 7 अर तोळी जाकै उसके चेल्यां ताहीं कहो के वो मरे होया म्ह तै जिन्दा होग्या सै, अर वो थारै तै पैहल्या गलील परदेस म्ह जावै सै, उड़ै उसका दर्शन पाओगे! देक्खो, मन्नै थारै तै कह दिया।” \p \v 8 वे भय अर घणी खुशी कै गेल्या कब्र तै तोळी बोहड़कै उसके चेल्यां ताहीं खबर देण नै भाज्जी गई। \v 9 फेर यीशु उन ताहीं फेट्या। अर कह्या, “सुखी रहो।” उननै धोरै आकै अर उसके पाँ पकड़कै उस ताहीं प्रणाम करया। \v 10 फेर यीशु नै उनतै कह्या, “मतना डरो; मेरे चेल्यां तै जाकै कहो के गलील परदेस म्ह चले जावै, उड़ै वो मन्नै देखैगें।” \p \v 11 जिब वे चेल्यां ताहीं या खबर देण जाण लागरी थी। तो पैहरेदारां म्ह तै, जो कब्र की रुखाळी करै थे, उन म्ह तै कईयाँ नै नगर म्ह आकै सारा हाल प्रधान याजकां तै कह सुणाया। \v 12 फेर उननै यहूदी अगुवां कै गेल्या कट्ठे होकै सलाह करी अर सिपाहियाँ ताहीं घणाए धन देकै हुकम दिया, \v 13 “के माणसां नै न्यू कहियो के जिब हम रात नै सोण लागरे थे, तो उसके चेल्लें आकै उसकी लाश नै चुरा लेगे। \v 14 जै थारे सोण की खबर राज्यपाल कै कान ताहीं पोहोचैगी, तो हम उसनै समझा लेवैगें अर थमनै जोखिम तै बचा लेवैगें।” \v 15 आखर उननै रपिये लेकै जिसे सिखाए गये थे, उस्से तरियां ए करया। या बात आज ताहीं यहूदी माणसां म्ह मान्नी जावै सै। \p \v 16 ग्यारहां चेल्लें गलील परदेस म्ह उस पहाड़ पै गये, जिस ताहीं यीशु नै उन ताहीं बताया था। \p \v 17 उननै उसका दर्शन पाकै उस ताहीं प्रणाम करया, पर कईयाँ नै शक होया के यीशु जिन्दा होग्या सै। \v 18 यीशु नै उनकै धोरै आकै कह्या, “सुर्ग अर धरती का सारा हक मेरै ताहीं दिया गया सै। \v 19 इस करकै थम जाओ, सारी जात्तां के माणसां ताहीं चेल्ला बणाओ; अर उननै पिता, पुत्र अर पवित्र आत्मा कै नाम तै बपतिस्मा द्यो, \v 20 अर उननै सारी बात जो मन्नै थारे ताहीं हुकम दिया सै, माणना सिखाओ: अर देक्खो मै जगत कै अंत तक सदा थारै गेल रहूँगा।”