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0AWA
| वह बसि हनुमान दादा कि तस्बीर अपने अँचरे ते पोछिके वहिका निहारै लागति रहै । |
3BHO
| एक महीना पहिले जब हमनी के सरकार । |
2MAG
| उ दरोगबा पूछलक कि अहिरिनिया के का कयलहो ? |
0AWA
| सब ई माई भरेकि तौ होइनि जइहैं । |
3BHO
| तोहरा से झूठ ना बोलब, तोहार देहि छू के कहत बानी। |
2MAG
| ऊ बतौलकई कि नाक के सीध में चल जइहैंऽ तो ससुरारे पहुँच जयबऽ ! |
2MAG
| जइसे कि हम तोरा अकेल्ले छोड़ देबो ! |
3BHO
| ओकरा पइसा घटे तS चिखुरी से ले लेहल करे। |
3BHO
| अच्छा-अच्छा नेता होखले की बावजूद भी ए परिवार की खिलाफ केहू आवाज ना उठा सके और भीष्म पितामह की तरे मजबूर होके, आँखि पर पट्टर बाँधि के काम करता लोग। |
0AWA
| औ ई लरिका आज सवेरे जबसे तुमार ऊ भजन निर्गुन सुनिनि, तबसे जिद्दि किहे रहैं कि तुलसी भाई सेनी मिलाओ । |
3BHO
| प्रो खान साहब के सलाना पिटाई देखीके गांधीजी के बानर ईयाद पड़े लागेलऽन । |
4HIN
| अभी कुछ दिन पहले इलाहाबाद हाइकोर्ट ने एक फैसले के तहत भारत में इस्लाम मतावलंबी अल्पसंख्यक नहीं है ऐसा निर्णय दिया था, दुर्भाग्य है कि न तो भारत सरकार न तो राज्य सरकार ने इस निर्णय के प्रति गंभीरता दिखाई एक तरफ देश के गृहमंत्री कहते है कि इस्लाम विदेशी धर्म नहीं है दूसरी तरफ वे मुसलमानों को अल्पसंख्यक भी मानते है जब कि अल्पसंख्यक की परिभाषा में आता है कि जो विदेशी धर्म व संस्कृति है उनके सुरक्षा व संरक्षण हेतु उन्हें अल्पसंख्यक माना जाता है, कोर्ट का निर्णय भारतीय जनता ने ऐतिहासिक कहा तो भारत सरकार व सेकुलर फोर्सेस ने निर्णय की आलोचना की. बीसवी शताब्दी ने अनेक साम्राज्यों को नष्ट होते देखा, साथ ही धरती पर अनेक नए देशो को जन्म लेते हुए भी, इस उथल -पुथल ने कुछ ताकतों को अल्पसंख्यक से बहुसंख्यक बना दिया और बहुसंख्यको को अल्पसंख्यक में तब्दील कर दिया . |
3BHO
| सोंचता, बै! केहू अउर। |
2MAG
| एक दिन सियरा बूंट अगोरले हल । |
4HIN
| आपने पहली बार एडिट किया है ? |
0AWA
| ‘ रजाना हम तौ खाब न ,हम याकै टेम खाइति है । |
1BRA
| जुलूस निकसौ । |
1BRA
| ब्रज के भिन्न भिन्न स्थानन के परसाद की महिमा देखौ दाऊजी कौ माखन औ मिसरी अनौखी खीर, गोकुल की लोटी सी सवाद बन्दवाने की । |
0AWA
| तुम सबै चिन्ता न करौ । |
4HIN
| ताला की इमारत के ध्वस्त होने का कारण नौसिखियों ने उत्खनन किया, कहना लेखक की जानकारियों का अभाव दर्शाता है । |
1BRA
| या पत्रिका में शत शत भाव, विचारन और संवेदनान कूँ बानी मिली है । |
2MAG
| आत्म-समर्पण कर दे, ग्रिनेव, विरोध करना बेकार हउ । |
2MAG
| वृद्ध जेनरल हमर बात ध्यान से सुनलथिन आउ एहे दौरान सुक्खल टहनी काटते रहलथिन । |
2MAG
| जइसही सुन्नरी आघा दूर गेल होयत तइसहीं जेंन बांसुरी फुँक देलक । |
3BHO
| इनके समरस सिद्धान्तो से ओत प्रोत है और अब तक चम्पारण के जनमानस में स्मृतिरुप मैं विद्यमान है। |
3BHO
| कविता में नदी के जइसन बहाव होखेला । |
3BHO
| अयीसना में जी बेनिफिशरीज के नाम आवते अवुरी इ नाम टाटा अंबानी अवुरी मित्तल के होईत । |
3BHO
| इ उदाहरन से रउआ सभे के बुझा गईल होख। |
3BHO
| भोजपुरी का मांग के लेके जंतरमतर पर धरना दिआइल । |
4HIN
| आज ज्वलंत मुद्दा उस अल्प शातिर बालिग़ की उम्र बन गई है जिसने कोई भी काम बालकों जैसा नहीं किया था बर्बरता में पाशविकता में कामवासना में वह सभी हदें एक के बाद एक उलाकता चला गया . |
4HIN
| आदरणीय सरोज कुमार जी ( जिन्होंने मेरी कहानियां छाप छाप कर मुझे यहां तक पहुंचाया ), दादा चंद्रसेन विराट जी, दादा नरहरि पटेल जी, पुरुषोत्तम दुबे जी, प्रभु जोशी जी और ऐसे ही कितने ही नाम । |
0AWA
| अकबर जब नाई रहे तौ उनके सुत जहांगीर देश केरि शासन कमान संभारिनि । |
1BRA
| बिनके नीति वचन मानव समाज कूँ सही दिसा देवें में पूरी तरियां सक्षम है । |
1BRA
| द्वारकाधीश नख - शिख, वृन्दावन - विरुद, गंगा - गरिमा, यमुनाष्टक, गोबर्धन - पूजा, सूर - मीरा पच्चीसी, आदि कृतियां शान्त और भक्ति रस से मंडित हैं । |
0AWA
| बुढ़ऊ कैंहा थुनिहा मैंहा बांधि, मुंहि मां कपड़ा ठूंसि देई चलै बसि सब असबाब खोदि लेई चलौ । |
2MAG
| बेटा के बराती जाय के तइयारी भेल तो नहछूर के पहिले बेटवा कहलक कि हमरा बड़ी गरमी लाइत हे । |
0AWA
| बाहेर उजेर देखाय लाग औ मेहेरिया मरद दिशा मैदान भी जाति देखाय लागि । |
1BRA
| ब्रजभाषा माँहि क्षेत्रीय बोली - श्रीलाल शर्मा बनिता विक्रय दस्युदलन कूँ , आजु जगत में जो कुख्यात । |
0AWA
| वै हमका खींच कै लिपटाय लेतीं । |
4HIN
| दुःख और कष्ट से ही वो तान निकलती है, जिसे ईश्वर भी सुनता है . |
1BRA
| चोरी करि दान लेय माखन बहुत ही छेर्क, सात कोस बारो प्यारो गोवर्धन उठायो है । |
2MAG
| बड़ी उत्सुकता के मुद्रा में काउंटेस बोललथिन; आउ तूँ, हमर प्यारे, की तीस कदम दूर ताश के पत्ता पर निशाना लगा सकऽ हो ? |
3BHO
| ठीक ओही तरे एहू पंक्ति मे कहे बाड़े |
2MAG
| गिरजाघर में, हो सकऽ हइ - टहलते बखत ! |
0AWA
| खुदै थकि गयी रहैं । |
2MAG
| ” ऊ कहलक कि 'हम गरीब ही ! |
2MAG
| जब भाई - बाप पेड़ पर चढ़ जयतन तब तोहनी दुनो अस्सी कोस वाली साँढ़नी पर उतर जइहँऽ आउ हमनी तीनो कोई भाग चलब । |
3BHO
| अदालतो अपना फैसलन से देश का नजर में अपना का गिरवले जात बिया काहे कि लोग के लागत बा कि एह फैसलन का पाछे एगो खास मकसद बा. |
2MAG
| बेहतर हमरा कहीं क्वार्टर में ले जाय के आदेश द । |
2MAG
| एकरा बाद राजा चारों बेटवन के साथ आनन्द से राज-पाट करे लगलन । |
0AWA
| याक घरी दुख तकलीफ तौ आगेन सुख कै बहार लै आवति हैं । |
2MAG
| फिन बाबा आउ लड़की में बात - चीत होयल तऽ सारा हाल मालूम भेल । |
2MAG
| हमनी गोरमिंट करके तय कर चुकली हे । |
4HIN
| यह कविता मेरी जिंदगी के हालिया दौर का चित्र बना रही है . |
1BRA
| सूर की जी बरनन कोयल कू एक आध्यात्मिक प्रानी के रूप में चित्रन करै है । |
0AWA
| ' ' फिरि का हमतौ कमलेंस औ विनोद कि सिकाइति करै गे रहन ! |
1BRA
| इनके पूर्वज 1857 की आजादी की लड़ाई में बढ़चढ़ के भाग ले चुके हैं । |
2MAG
| तब पंडी जी कहलन कि कुछ न खैलऽ ? |
4HIN
| क्या जनपदों के कवि सच में लुप्त हो गए हैं या ----लुप्त करने की एक साजिस में उन्हें कैद कर दिया गया है अलमारी के घुन लगी पुस्तकों में ? |
0AWA
| हे राम जी यू का किहेउ प्रभु जी ? |
2MAG
| हम खुश हलिअइ, बिलकुल खुश, लेकिन मानव के अभागल जिनगी में की अइसन क्षण बहुत होवऽ हइ ? |
1BRA
| स्वतंत्र लेखन में मन कौ हुलास होय स्वतंत्र रुप सौं लिखी गई गोवरधन लीला याही सौ उत्तम बन परी है । |
0AWA
| तू . |
3BHO
| टी. सिरीज के मुख्य सलाहकार सह कानुनी परामशर्दता रहनी. |
0AWA
| हम जल्दी से दउरि के मेज पर कपड़ा मारित है । |
4HIN
| बक़ौल रंजू ,मोनालिसा वो औरत है जो अपना दर्द या अपनों का दर्द पीकर के मुस्कुरा रही है ! |
0AWA
| कुछ पानी पत्ता कराय दियौ तब्बै हम सबै वापस चलै लायक होइ पउबै । |
1BRA
| करत सहाय रहे संकट परे पे सदां, नाथन के नाथ प्रभु गोवर्धन नाथ हैं । |
2MAG
| लइका फाटक पर पहुँचल आउ ओहिजे अप्पन घोड़ा खड़ा कर देलक आउ लाल सहजादी के असरा देखे लगल । |
2MAG
| नयँ कर, लड़की, कम उमर में शादी;तूँ पूछ ले, लड़की, बाप से, माय से,बाप से, माय से, रिश्तेदार लोग से;जौर कर ले, लड़की, बुद्धि-विवेक,बुद्धि-विवेक तोर दहेज होवे । |
1BRA
| इनके कछू-कछू परिवर्तित रूप न्यारे-न्यारे अंचलन में जरूर मिल जाँय जैसैं- गदरायौ गोरडी, गूँठा, ठूँटा, ऐंठ । |
4HIN
| उम्र बढ़ने के साथ न सिर्फ अंडाणु (डिम्ब ,ओवम ,ह्यूमेन एग )की संख्या कमतर होती जाती हैं ,इनकीगुणवत्ता का भी क्षय होता जाता है . |
3BHO
| मध्यम वर्ग के केंद्र में राख के जवन साहित्य रचाला ओकरा में सौंदर्य आ संघर्ष के अद्भुत समन्वय देखे के मिलेला। |
3BHO
| उनकर पूरा कविता-संसार प्रकृति-वर्णन से भरल बा। |
1BRA
| जा संदर्भ में ब्रजभाषा में अब तक लिख्यौ गयौ जो साहित्य है , बाकी अनिवार्यता कूँ अस्वीकृत नाँय कर्यौ जाय सकैं । |
4HIN
| वाडिया अस्पताल के एक बाल रोगों के माहिर के अनुसार इन रोगों की कुल हिस्सेदारी ४५% के पार चली जाती है जिनकी चपेट में मुंबई की बाहों में पलते बच्चे जब तब आते रहतें हैं . |
4HIN
| शाम होती होगी तो थके-हारे दंपत्ति घर लौटते होंगे । |
3BHO
| अपने कूल्हि मिल के सब हजम क गइलें सन आ ओह बेचारा के मोकदमों मे फँसा दीहलें सन । |
2MAG
| अगर जगा के ले चलब तो डर के मारे मर जायत । |
4HIN
| अत: इस विलम्बित बधाई के लिये अत्यन्त विनम्रता पूर्वक क्षमा-याचना सहित प्रस्तुत है बस्तर के रचन . |
2MAG
| उ लोग के घर-दुआर के देखऽ, पचासे बरिस पहिले मलिकान छोड़ के आन केउ के घर में दसो-पाँच इँटा न जनाऽ हल, से इ घड़ी कोठा-सोफा हो गेल । |
3BHO
| गोंड़ भाई लोग आजों हुरुका बजा के गावेला- "गवना करवला ए पीया घरे बइठवला अपने बसे ल पीया हो पुरुबी बनिजिया |
4HIN
| मां ने और कुछ सिखाया या नहीं, ज़िन्दगी को लेकर उदार बनना ज़रूर सिखाया । |
0AWA
| गोंहू लल्लाय गवा है औ सुरजन केरि तपनि तौ द्याखौ लागति है अबकी होली बादिनि भरदर रबी केरि कटाई मड़ाई शुरु होई जाई । |
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| वकील साहब करिया कोट झुलाय के चीखे । |
4HIN
| बाकी, अंगदान का शपथपत्र, जितनी जल्दी हो सके, मैं भर दूंगी । |
4HIN
| उनके इस बयान के बाद उनको कानूनी नोटिस तक भेज दिया गया है । |
4HIN
| तुम सम कौन कुटिल, खल, लम्पट ? |
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| रमेसर बाबा भी मुस्किआए लगने । |
2MAG
| हमन्हीं काफी तेजी से जाब करऽ हलिअइ । |
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| औ जरूर वा साध्वी गायिका सुन्दरौ बड़ी होई । |
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| तोका पूर परधान बनाइत है । |
1BRA
| मैं बाहर ठाड़ौ ठाड़ौ सुन रह्यौ , परि भीतरई भीतर घुन रह्यौ । |
4HIN
| हाड तोड़ कसरत करते रहतें हैं . |
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| भस्टाचार मुक्त ना होई तवलेक ए लोगन की तबका वाला लोगन के दसो अंगुरी घी में रही। |
3BHO
| उहे विस्तार से रउवा लोग जुड़ जातानी। |
2MAG
| काहेकि, ऊ उत्तर देलकइ, अइसन कविता हमर शिक्षक किरीलिच त्रेद्याकोव्स्की [26] के शोभा दे हइ, आउ उनकर प्रेमछन्द के हमरा बहुत आद देलावऽ हइ । |
2MAG
| दोसर दिन फिन लकड़हारा राजा के पास गेल । |
3BHO
| साह जी के अचरज क चिहुंकी आवे लगल। |
0AWA
| कुछ दिन उइ कक्षा मैंहा आवति उनकी सबकी तुलसीदास के प्रति मुखरित होति दुर्भावना सुनिनि तौ मुल कहिनि सिर्फ यहै, द्याखौ चन्द्रभूषण तुम ई कक्षा मैंहा सबसे सरियारिक हौ तौ तुमारि या जिम्मेदारिउ है कि अपने सब साथिनि कैंहा साथे लैकै पढ़ाई करौ । |