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Shivangi Joshi ने केप टाउन में किया स्वैग भरा डांस, यूजर बोले- 'हमे...
मुंबई। सीरियल 'ये रिश्ता क्या कहलाता है' कि नायरा रह चुकीं एक्ट्रेस शिवांगी जोशी (Shivangi Joshi) जल्द ही स्टंट बेस्ड रियलिटी शो 'खतरों के खिलाड़ी 12' (Khatron Ke Khiladi 12) में नजर आने वाली हैं। एक्ट्रेस इन दिनों दक्षिण अफ्रीका के केप टाउन में शो की शूटिंग कर रही हैं, साथ ही बेहतरीन तस्वीरों और वीडियोज को साझा कर फैंस को विजुअल ट्रीट देती देखी जा रही हैं। इसी कड़ी में शिवांगी ने अपना स्टनिंग डांस वीडियो (Shivangi Joshi Dance Video) शेयर किया है, जिसमें वो हॉट मूव्स दिखाकर सोशल मीडिया का तापमान बढ़ाने में सफल हो गई हैं।
शिवांगी जोशी ने केप टाउन से अपना सोलो डांस वीडियो साझा (Shivangi Joshi Post) किया है, इस क्लिप में वो अंग्रेजी बीट पर हॉट मूव्स करती नजर आ रही हैं। साथ ही उनकी अदाएं और रिएक्शन्स दिल जीतने वाले हैं। वीडियो में शिवांगी को व्हाइट क्रॉप टॉप के ऊपर मल्टीकलर का सूट पहन स्वैग बिखेरते देखा जा रहा है, साथ ही लंबे स्ट्रेट बालों में उनका हेयरस्टाइल काफी आई कैची लगा है।
वीडियो को पोस्ट करते हुए शिवांगी ने हैशटैग ट्रेंडसेटर (#trendsetter) लिखा है। एक्ट्रेस का ये वीडियो सामने आने के बाद से ही ताबड़तोड़ वायरल हो रहा है। साथ ही फैंस इसपर बेहतरीन प्रतिक्रियाएं देते देखे जा रहे हैं।
शिवांगी की डांस क्लिप को अबतक इंस्टाग्राम वर्ल्ड में 2 लाख 81 हजार से ज्यादा लाइक्स मिल चुके हैं। वहीं, एक यूजर ने कमेंट कर लिखा है,'मुझे उम्मीद है कि आप ही जीतोगे शो।' दूसरे ने लिखा,'आप सबसे मजबूत लड़की हैं जिसे मैं जानता हूं और मुझे पता है कि आप निश्चित रूप से चमकेंगी।' एक अन्य लिखते हैं,'आपने हमेशा की तरह रॉक कर दिया।' कुछ दिनों पहले ही शिवांगी ने एक और वीडियो साझा किया था, जिसमें वो जन्नत जुबेर संग फुट स्टेप मैच करती नजर आई थीं। | 2022/07/05 02:37:21 | https://muftkhabar.com/treanding-news/Shivangi-Joshi-did-a-swag-dance-in-Cape-Town-user-said-We/cid7853688.htm | mC4 |
मोहम्मद सिराज भारत के पेस अटैक में शीर्ष 2 स्लॉट के लिए 'रन फॉर मनी' दे रहे हैं: एमएसके प्रसाद - APEDA
भारत के पूर्व मुख्य चयनकर्ता एमएसके प्रसाद को लगता है कि युवा तेज गेंदबाज मोहम्मद सिराज दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ आगामी टेस्ट सीरीज के लिए भारत के तीसरे डिफॉल्ट तेज गेंदबाज होंगे। टीम इंडिया प्रोटियाज सरजमीं पर तीन मैचों की टेस्ट सीरीज खेलने के लिए पूरी तरह तैयार है क्योंकि मेहमान टीम अपनी पहली सीरीज जीत के लिए छह फ्रंटलाइन तेज गेंदबाजों के साथ यात्रा करेगी। दक्षिण अफ्रीका में विकेट तेज गेंदबाजों को गति और उछाल प्रदान करते हैं और भारत के पास वर्तमान में दुनिया के सर्वश्रेष्ठ तेज आक्रमणों में से एक है।
जसप्रीत बुमराह मोहम्मद शमी के साथ पेस अटैक की अगुवाई करने के लिए टीम में वापसी करेंगे। हालांकि तीसरे पेसर की रेस सिराज और दो सीनियर पेसर ईशांत शर्मा और उमेश यादव के बीच होगी। हैदराबाद का यह युवा तेज गेंदबाज ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड दौरे पर अपने शानदार प्रदर्शन के बाद बाकी तेज गेंदबाजों से आगे निकलने की स्थिति में है।
प्रसाद को लगता है कि सिराज पेस अटैक में पहले दो स्लॉट के लिए पैसे की दौड़ लगा रहा है और वह दक्षिण अफ्रीका में भारत का तीसरा पेसर बनने जा रहा है।
"मुझे लगता है कि वह क्रम में तीसरे स्थान पर है और वह पहले और दूसरे स्लॉट (पेस अटैक में) के लिए पैसे के लिए एक रन दे रहा है, जिस तरह का प्रदर्शन उसने किया है। सभी निष्पक्षता में, यह बुमराह होगा , शमी और सिराज डिफ़ॉल्ट रूप से तीसरे तेज गेंदबाज होंगे। यहां तक कि भारतीय टीम ने भी पहला टेस्ट मैच (कानपुर में न्यूजीलैंड के खिलाफ) नहीं खेलकर एक चाल छूटी," प्रसाद ने इंडिया टुडे को बताया।
"अब, घर में दो सीनियर्स का होना थोड़ा मुश्किल है। आप सिराज और ईशांत या सिराज और उमेश के साथ जा सकते थे। आपको उस युवा उत्साह की आवश्यकता है। मुझे लगता है कि यह कानपुर टेस्ट के लिए एक गलती थी।"
27 वर्षीय तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह, ईशान शर्मा और मोहम्मद शमी की अनुपस्थिति में ऑस्ट्रेलिया के दौरान स्टैंड-इन कप्तान अजिंक्य रहाणे के लिए स्ट्राइक गेंदबाज थे। इंग्लैंड दौरे पर सिराज सीनियर गेंदबाजों की मौजूदगी के बावजूद फिर से चमके।
अपने पदार्पण के बाद से, सिराज ने रेड-बॉल क्रिकेट में अपने लिए एक बड़ा नाम बनाया है और आगामी दक्षिण अफ्रीका उनके लिए तेज आक्रमण में अपनी स्थायी जगह पक्की करने के लिए बहुत महत्वपूर्ण होने जा रहा है।
Categories Cricket Tags जसप्रीत बुमराह, दक्षिण अफ्रीका का भारत दौरा, भारत बनाम दक्षिण अफ्रीका, मोहम्मद शमी, मोहम्मद सिराजी, सिराज बनाम ईशांतो Post navigation | 2022/06/28 09:07:09 | https://apeda.co.in/mohd-siraj-giving-run-for-money-for-top-2-slots-in-indias-pace-attack-msk-prasad/ | mC4 |
कोरोना : अंतिम सांस तक याकूब ने निभाई दोस्ती, अंतिम सांसों तक दिया अमृत का साथ » मध्य प्रदेश
Home मध्य प्रदेश कोरोना : अंतिम सांस तक याकूब ने निभाई दोस्ती, अंतिम सांसों तक दिया अमृत का साथ
कोरोना : अंतिम सांस तक याकूब ने निभाई दोस्ती, अंतिम सांसों तक दिया अमृत का साथ
शिवपुरी: कोरोना संकट और लॉकडाउन के बीच लोग अपने घर पहुंचने की जद्दोजहद में हैं. रोजाना हजारों-लाखों की भीड़ सड़कों पर इस उम्मीद से दिख रही है कि वे एक दिन अपने गांव पहुंच जाएंगे. ऐसे में एक तस्वीर शिवपुरी से आई है. जहां एक दोस्त ने मरते दम तक अपने दोस्त का साथ नहीं छोड़ा. यह तस्वीर बताती है कि इंसानियत और दोस्ती का रिश्ता आज भी सबसे ऊपर है. याकूब ने अपने दोस्त के लिए इंसानियत की मिसाल पेश की है. इस पूरे वाकिये को पढ़ आप भी एक बार सोचने पर मजबूर हो जाएंगे.
दरअसल, कोरोना संदिग्ध 24 वर्षीय अमृत गुजरात के सूरत से यूपी के बस्ती जिला स्थित अपने घर एक ट्रक से लौट रहा था. उस ट्रक में कई और लोग सवार थे. ट्रक जब मध्य प्रदेश के शिवपुरी-झांसी फोरलेन से गुजर रहा था, तभी अमृत की तबियत बिगड़ने लगी.
ट्रक में सवार लोगों को लगा कि अमृत को कोरोना हो गया है, इसलिए डरकर लोगों ने उसे ट्रक से उतरवाने का फैसला किया. लोगों ने अमृत को ट्रक से उतार दिया और आगे बढ़ गए लेकिन इन सबके बीच याकूब मोहम्मद भी ट्रक से उतर गया. उसने अपने दोस्त अमृत के साथ रहने का फैसला किया. इधर अमृत की तबियत लगातार बिगड़ते जा रही थी तो याकूब ने उसका सिर अपनी गोद में रख लिया और मदद की आस में बैठा रहा है. याकूब अमृत की सलामती की दुआ करता रहा.
किसी तरह शाम तक अमृत को जिला अस्पताल पहुंचाया गया, जहां इलाज के दौरान उसने दम तोड़ दिया.अस्पताल पहुंचने तक याकूब ने अमृत का साथ नहीं छोड़ा था और उसे बचा लेने का ढांढस बंधाता रहा था, लेकिन खुदी को कुछ ही पसंद था. अव्यवस्था, बेबसी और इलाज में देरी से अमृत की तो मौत हो गई लेकिन इंसानियत की एक मिसाल जरूर देखने को मिल गई. इस घटना ने बता दिया कि भाईचारा अब भी कायम है.
जिला अस्पताल में मौजूद याकूब मोहम्मद (23) पुत्र मोहम्मद युनुस ने बताया कि हम दोनों गुजरात के सूरत स्थित फैक्ट्री में मशीन से कपड़ा बुनने का काम करते थे. लॉकडाउन की वजह से सूरत से ट्रक में 4-4 हजार रुपये किराया देकर नासिक, इंदौर होते हुए कानपुर जा रहे थे.
सफर के दौरान अचानक अमृत की तबियत बिगड़ गई थी. अमृत को तेज बुखार आया और उल्टी जैसी स्थित बनने लगी, हालांकि उल्टी नहीं हुई. ट्रक में बैठे 55-60 लोग विरोध करने लगे और अमृत को उतारने की जिद करने लगे. ट्रक वाले ने अमृत को उतार दिया तो अमृत का ख्याल रखने के लिए मैं भी उतर गया था.
जिला अस्पताल सिविल सर्जन सिविल सर्जन डॉ. पीके खरे ने बताया है कि उक्त युवक और उसके एक साथी का कोरोना टेस्ट कराया गया है रिपोर्ट आने का इंतजार किया जा रहा है. प्रशासन को उनकी रिपोर्ट का इंतजार है. अमृत की बॉडी अस्पताल में है. | 2020/10/31 10:23:54 | https://khabarsatta.com/mp-news/corona-mp-news-yakub-played-friendship-till-his-last-breath-supported-amrit-till-his-last-breath/ | mC4 |
अपने अतीत एवं विघा – वैभव के लिए सुविख्यात जनपद जौनपुर अपना एक विशिष्ट ऐतिहासिक, सामाजिक एवं राजनैतिक अस्तित्व रखता है। पौराणिक कथानकों, शिलालेखों, ध्वंसावशेषो एवं अन्य उपलब्ध तथ्यों के आधार पर अतीत का अध्ययन करने पर जनपद का वास्तविक स्वरूप किसी न किसी रूप में उत्तर वैदिक काल तक दिखाई पड़ता है। आदि गंगा गोमती नगर का गौरव एवं इसका शांतिमय तट तपस्वी, ऋषियों एवं महाऋषियों के चिन्तन व मनन का एक प्रमुख पुण्य स्थल था। जहॉ से वेदमंत्रों के स्वर प्रस्फुटित होते थे। आज भी गोमती नगर के तटवर्ती मंदिरों में देववाणियॉ गूंज रही है।
शिक्षा के क्षेत्र में इस जनपद का महत्वपूर्ण स्थान रहा है। यहॉ दूसरे देशो से अरबी व फारसी की शिक्षा ग्रहण करने के लिए छात्र आते रहे है। शेरशाह सूरी की शिक्षा – दीक्षा भी यही हुई थी। यहीं पर सूफीमत भी पल्लवित और पुष्पित हुआ। शर्की काल में हिन्दु – मुस्लिम साम्प्रदायिक सदभाव का अनूठा दिगदर्शन रहा और जो विरासत में आज भी विद्यमान है।
सप्त सिंधव पंजाब के राजा सहस्त्रार्जुन से मतभेद हो जाने पर महर्षि यमदग्नि दक्षिण की ओर चल पड़े कि गोमती के पावन अंचल में प्रशस्त प्रकृति की सुरम्य छटा में उलझ गये जफराबाद व जौनपुर के बीच गोमती के दाहिने तट पर महर्षि यमदग्नि ने अपना आश्रम बना लिया। आज भी इस स्थान पर एक प्राचीन मंदिर है। यह मंदिर महर्षि यमदग्नि का मंदिर कहलाता है। यह स्थान जमैथा ग्राम में है। यमदग्नि अपने पुत्र परशुराम के साथ यहीं रहने लगे। यह क्षेत्र उस समय अयोध्या राज्य के अन्तर्गत था और इसे अयोध्यापुरम् कहा जाता था। राजा सहस्त्रार्जुन ने पुरानी वैमनस्यता के कारण महर्षि यमदग्नि के आश्रम पर आक्रमण करके उनका वध कर दिया। पिता के वध के समाचार से प्रतापी परशुराम ने कुपित होकर प्रतिशोध के लिए युद्ध ठान लिया और युद्ध में अपने पिता के हत्यारों का वध कर दिया।
इस जनपद में सर्वप्रथम रघुवंशी क्षत्रियों का आगमन हुआ। बनारस के राजा ने अपनी पुत्री का विवाह अयोध्या के राजा देव कुमार के साथ किया और साथ ही अपने राज्य का कुछ भाग दहेज में दे दिया जिसमें डोभी के रघुवंशी आबाद हुए। उसके बाद ही वत्सगोत्री, दुर्गवंशी तथा व्यास क्षत्रिय इस जनपद में आये। जौनपुर में भरो एवं सोइरियों का प्रभुत्व था। क्षत्रियों का इनके साथ संघर्ष होने लगा। गहरवार क्षत्रियों ने भरो एवं सोइरियों के प्रभुत्व को पूरी तरह समाप्त कर दिया। ग्यारहवीं सदी में कन्नौज के गहरवार राजपूत जफराबाद और यौनापुर को समृद्ध एवं सुन्दर बनाने लगे। कन्नौज से यहॉ आकर विजय चन्द ने अनेकानेक भवन और गढ़ी का र्निमाण कराया। आज भी जफराबाद के दक्षिण में किले का ध्वंसावशेष देखा जा सकता है।
1194 ई0 में कुतुबुद्दीन ऐबक ने मनदेव या मनदेय वर्तमान में जफराबाद पर आक्रमण कर दिया। तत्कालीन राजा उदयपाल को पराजित किया और दीवानजीत सिंह को सत्ता सौप कर बनारस की ओर चल दिया। 1389 ई0 में फिरोजशाह का पुत्र महमूदशाह गद्दी पर बैठा। उसने मलिक सरवर ख्वाजा को मंत्री बनाया और बाद में 1393 ई0 में मलिक उसशर्क की उपाधि देकर कन्नौज से बिहार तक का क्षेत्र उसे सौप दिया । मलिक उसशर्क ने जौनपुर को राजधानी बनाया और इटावा से बंगाल तक तथा विन्धयाचल से नेपाल तक अपना प्रभुत्व स्थापित कर लिया। शर्की वंश के संस्थापक मलिक उसशर्क की मृत्यु 1398 ई0 में हो गयी। जौनपुर की गद्दी पर उसका दत्तक पुत्र सैयद मुबारकशाह बैठा। उसके बाद उसका छोटा भाई इब्राहिमशाह गद्दी पर बैठा। इब्राहिमशाह निपुण व कुशल शासक रहा। उसने हिन्दुओं के साथ सद् भाव की नीति पर कार्य किया।
शर्कीकाल में जौनपुर में अनेकों भव्य भवनों, मस्जिदों व मकबरों का र्निमाण हुआ। फिरोजशाह ने 1393 ई0 में अटाला मस्जिद की नींव डाली थी, लेकिन 1408 ई0 में इब्राहिम शाह ने पूरा किया। इब्राहिम शाह ने जामा मस्जिद एवं बड़ी मस्जिद का र्निमाण प्रारम्भ कराया, इसे हूसेन शाह ने पूरा किया। शिक्षा, संस्क़ृति, संगीत, कला और साहित्य के क्षेत्र में अपना महत्वपूर्ण स्थान रखने वाले जनपद जौनपुर में हिन्दू- मुस्लिम साम्प्रदायिक सद् भाव का जो अनूठा स्वरूप शर्कीकाल में विद्यमान रहा है, उसकी गंध आज भी विद्यमान है।
1484 ई0 से 1525 ई0 तक लोदी वंश का जौनपुर की गद्दी पर आधिपत्य रहा है। 1526 ई0 में दिल्ली पर बाबर ने आक्रमण कर दिया और पानीपत के मैदान में इब्राहिम लोदी को परास्त कर मार डाला। जौनपुर पर विजय पाने के लिये बाबर ने अपने पुत्र हुमायू को भेजा जिसने जौनपुर के शासक को परास्त कर दिया। 1556 ई0 में हुमायूं की मृत्यु हो गयी तो 18 वर्ष की अवस्था में उसका पुत्र जलालुद्दीन मोहम्मद अकबर गद्दी पर बैठा। 1567 ई0 में जब अली कुली खॉ ने विद्रोह कर दिया तो अकबर ने स्वयं चढ़ाई किया और युद्ध में अली कुली खॉ मारा गया। अकबर जौनपुर आया और यहॉ काफी दिनो तक निवास किया। तत्पश्चात सरदार मुनीम खॉ को शासक बनाकर वापस चला गया। अकबर के ही शासनकाल में शाही पुल जौनपुर का र्निमाण हुआ।
पौराणिक काल के बाद विद्वतजन जौनपुर को चन्द्रगुप्त विक्रमादित्य के काल से जोड़ते हुये ‘मनइच’ तक लाते है और तथ्य है कि यहॉ बौद्ध प्रभाव रहा है। भर एवं शोइरी, गूजर, प्रतिहार, गहरवार भी अधिपति रहे है। यहॉ मोहम्मद गजनवी के हटने के बाद 11 वीं सदी मोहम्मद गोरी ज्ञानचन्द संघर्ष में गोरी द्वारा जीत एवं अरूनी में खजाना भेजाना, 1321 ई0 में गयासुद्दीन तुगलक द्वारा अपने पुत्र जफर खॉ तुगलक की जौनपुर में नियुक्ति उसको वर्तमान शहर के र्निमाण से जोड़ती है। डेढ़ शताब्दी तक मुगल सल्तनत का अंग रहने के बाद 1722 ई0 में जौनपुर अवध के नवाब को सौपा गया। 1775 ई0 से 1788 ई0 तक यह बनारस के अधीन रहा और बाद में रेजीडेन्ट डेकना के साथ रहा। 1818 ई0 में जौनपुर के अधीन आजमगढ़ को भी कर दिया गया, लेकिन 1822 ई0 एवं 1830 ई0 में विभाजित कर अलग कर दिया गया।
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< आंतकी मसूद को बचाकर अपने ही घर में घिरे पाक पीएम इमरान खान Hindi News - Breaking News, Latest News in Hindi, हिंदी में समाचार, Samachar - Bundelkhand News
चीन की आड़ ल�"/>
अमेरिका ने चीन को दी चेतावनी
चीन की आड़ लेकर अपने घर में पलने वाले आतंकी मसूद अजहर को ग्लोबल आतंकी बनने से रोकने पर खुश हो रहे पाकिस्तान के अंदर ही इस बात का विरोध शुरु हो गया है। पूर्व प्रधानमंत्री आसिफ अली जरदारी और बेनजीर भुट्टो के बेटे और पीपुल्स पार्टी के चेयरमैन बिलावल भुट्टो ने इमरान सरकार पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं।
बिलावल ने कहा है कि पाकिस्तान की धरती और दूसरे देशों में आतंक फैलाने वाले खुलेआम घूम रहे हैं। बिलावल भुट्टो ने कहा, आज चाहे विपक्षी नेता हों या कोई ब्लॉगर या सरकार का कोई आलोचक उसके खिलाफ पूरे तंत्र का प्रयोग किया जाता है। हम प्रतिबंधित संगठनों को छूट देकर उन्हें मदद करके दुनिया में क्या संदेश दे रहे हैं।
ये कैसा देश है जहां एक चुने हुए प्रधानमंत्री को फांसी सुना सकते हो, लेकिन ये जो प्रतिबंधित संगठन हैं जो हमारे देश के बच्चों को मारते हैं और दूसरे देशों में आतंकवाद फैलाते हैं उनके खिलाफ कुछ नहीं कर सकते। भुट्टो ने कहा, ये कैसे हो सकता है कि तीन बार के चुने हुए प्रधानमंत्री (नवाज शरीफ) आज बीमार हैं लेकिन जेल में हैं।
लेकिन आप प्रतिबंधित संगठनों को गिरफ्तार नहीं कर सकते है। सिंध असेंबली के स्पीकर को आय से ज्यादा संपत्ति के मामले में इस्लामाबाद से गिरफ्तार करवा सकते हो लेकिन प्रतिबंधित संगठनों को नहीं करवा सकते। उनकी संपत्तियां कहां से आती हैं? उस पर भी तो जांच बैठाएं, इस सवाल का जवाब जरुर आना चाहिए।
दरअसल जैश के सरगना मसूद अजहर को ग्लोबल आतंकी घोषित करने का प्रस्ताव रद्द हो गया है। चीन ने यूएनएससी में मसूद अजहर को ग्लोबल आतंकवादी घोषित करने के प्रस्ताव पर वीटो लगा दिया है। इस तरह भारत सहित फ्रांस, अमेरिका और ब्रिटेन की मसूद अजहर को ग्लोबल आतंकी घोषित करने की कोशिशों को झटका लगा है।
सुरक्षा परिषद के स्थाई सदस्य चीन ने एक बार फिर अपनी वीटो पावर का इस्तेमाल कर मसूद अजहर को ग्लोबल आतंकवादी घोषित होने से रोक दिया है। अजहर को ग्लोबल आतंकी घोषित करने में चीन के अड़ंगे से अमेरिका भड़क गया है। अमेरिका ने चीन को साफ साफ लफ्जों में चेतावनी दी है। अमेरिका ने कहा है कि चीन ने चौथी बार मसूद अजहर को ग्लोबल आतंकी घोषित करने में चौथी बार अड़ंगा डाला है। अमेरिका ने कहा कि चीन ऐसा कर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद को उसका काम करने से रोक रहा है। | 2019/05/27 12:19:54 | http://bundelkhandnews.com/news_detail_pramuk.php?id=27212 | mC4 |
आप कितने वायु प्रदूषण के साथ रहते हैं? यह आपकी त्वचा के रंग पर निर्भर हो सकता है | Latest News
Homeयूएसए समाचारआप कितने वायु प्रदूषण के साथ रहते हैं? यह आपकी त्वचा...
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आप कितने वायु प्रदूषण के साथ रहते हैं? यह आपकी त्वचा के रंग पर निर्भर हो सकता है
आप अपने दैनिक जीवन में कितने वायु प्रदूषण के संपर्क में हैं? उत्तर आपकी त्वचा के रंग पर निर्भर हो सकता है, बुधवार को लॉन्च किया गया एक ब्रांड मूल झलक पुष्टि करता है।
पर्यावरण स्वास्थ्य परिप्रेक्ष्य में छपी झलक उस पर आई, कोई विषय नहीं है कि कौन सा सिद्धांत प्रकार है आप जिस वायु प्रदूषण की तलाश कर रहे हैं, उसमें रंग के लोग श्वसन अधिक हैं।
लंबे समय तक, नस्लीय असमानताएं बनी रहीं, मुख्य रूप से वाशिंगटन विश्वविद्यालय (यूडब्ल्यू) के नेतृत्व में शोधकर्ताओं की एक अंतरराष्ट्रीय टीम के काम के आधार पर।
समुदाय ने एक की सांद्रता का मॉडल तैयार किया पड़ोस के ब्लॉक चरण तक मिश्रित वायु प्रदूषण की मेजबानी, फिर गणना की गई कि विभिन्न जातियों की तुलना में प्रचार कैसे होता है।
"सभी प्रदूषण के लिए, प्रदूषण के चरणों में ध्यान देने योग्य अंतर थे , मूल रूप से सबसे अधिक खुला समुदाय अल्पसंख्यक समुदाय हुआ करता था," प्रमुख लेखक जियावेन लियू, यूडब्ल्यू डॉक्टरेट छात्र ने कहा सिविल और पर्यावरण इंजीनियरिंग में टी। और उसने कहा, "सभी राज्यों में नस्लीय और जातीय असमानताएं मौजूद थीं।"
अध्ययन ने अतिरिक्त रूप से पुष्टि की कि कमाई से अधिक महत्वपूर्ण यह निर्धारित करने में हलचल है कि मूल रूप से सबसे अधिक वायु प्रदूषण के साथ कौन रहता है।
झांकना वैज्ञानिक रूप से पुष्टि करता है कि कितने छायांकित और भूरे रंग के समुदाय, जिनके पास औद्योगिक धुएं की निरंतर मात्रा और जुड़वां कैरिजवे प्रदूषण के लिए कम कमाई का प्रवेश है, लंबे समय से घोषणा कर रहे थे।
"यदि आप एक ऐसे समुदाय में रहते हैं जो भ्रष्ट हवा का खामियाजा भुगत रहा है, तो यहां अब आपके लिए किसी भी प्रशंसा की जानकारी नहीं है; यूडब्ल्यू में सिविल और पर्यावरण इंजीनियरिंग के प्रोफेसर वरिष्ठ लेखक जूलियन मार्शल ने कहा, "आप इसे पहले ही ले लेते हैं।"
लंबे समय से, और कुल मिलाकर अब उनकी आवाज नहीं सुनी जाती है," उन्होंने कहा।
दक्षिण लॉस एंजिल्स निवासी इरेथा वार्मस्ले ने कहा कि वह हाल ही में चौंक गई थी जब वह सच कह सकती थी उसके दक्षिणी कैलिफोर्निया समुदाय को घेरने वाले पहाड़ों को हटा दें। जबकि वे लगभग एक मील दूर तथ्यात्मक हैं, वे कुल मिलाकर भूरे रंग के धुंध की मोटी धुंध से छिपे हुए हैं।
वार्मस्ले, जो अपने पूरे जीवन में अस्थमा से पीड़ित है, अब प्रतिनिधित्व करती है स्वच्छ वायु राजदूत के रूप में उनका ऐतिहासिक रूप से छायांकित समुदाय – प्रदूषण की समस्याओं पर ध्यान देने के लिए सामाजिक उत्तरदायित्व के लिए चिकित्सक के लॉस एंजिल्स अध्याय के साथ काम करना।
उसने कहा कि उसने कुछ सुधारों पर विचार किया है, एक पहाड़ी, प्रदूषण फैलाने वाली फैक्ट्रियों के बंद होने के समान। "फिर भी हम अभी भी कई विकल्प चाहते हैं।"
फ्रीवे अभी भी पड़ोस में हैं। और वार्मस्ले ने कहा कि प्रदूषण से दूर रहने वाली, ऑटो बॉडी रिटेलर्स और ड्राई क्लीनर्स की प्रशंसा करने वाली छोटी कंपनियों को अभी भी सूक्ष्म ध्यान से खोलने की अनुमति दी जा रही है कि पहले से ही खराब हवा पर अतिरिक्त प्रदूषण का प्रभाव कैसे पड़ेगा।
"वे निगमों में डालते हैं जहाँ वे ईमानदारी से इसकी प्रशंसा करते हैं," उसने कहा। "वे मानव जीवन पर विचार नहीं करते हैं।
"यह अब किसी के लिए भी स्वस्थ नहीं है। फिर भी हम सुकून देने वाले हैं समुदाय को साफ करने के विषय पर। "
झलक ने शेष वसंत में अपरिहार्य समान शोधकर्ताओं में से एक द्वारा शुरू किए गए ग्राउंडब्रेकिंग कार्य को अपनाया, जिसने एक एकल प्रदूषक के प्रचार में नस्लीय असमानताओं की पहचान की। , सुंदर कण विषय।
इस मूल झलक ने छह विविध वायु प्रदूषण की जाँच की, जिसमें नाइट्रोजन डाइऑक्साइड, वाहनों के टेलपाइप से फैलने वाली जुड़वां कैरिजवे गैस के लिए एक छोटी-सी कमाई का प्रवेश शामिल है। और वाहन, अत्यंत संयुक्त ओजोन प्रदूषण के लिए, जो रासायनिक पदार्थों के भंवरों के रूप में सौर के संपर्क में आते हैं। , झाँकी आ गई। कैलिफ़ोर्निया और यूनिक यॉर्क में अपरिहार्य सबसे बड़े नस्लीय मतभेदों में से एक था।
झलक, जो 1990 और 2010 के बीच संशोधनों पर केंद्रित थी, उस पर आई, जबकि अमेरिका ने विकास जारी रखा है। लंबे समय के भीतर वायु प्रदूषण को कम करने में लाभकारी गुण क्योंकि 1970 में टाइड एयर एक्ट पारित किया गया था, इसने विभिन्न जातियों के बीच की खाई को बंद नहीं किया है।
के भीतर इस बीच, भ्रष्ट हवा के बारे में चिंता बढ़ गई है। नवीनतम अध्ययनों के एक मेजबान ने पुष्टि की है कि वायु प्रदूषण जीवन प्रत्याशा को कम करता है और परिणामों को ठीक से खराब कर देता है, यहां तक कि कम सांद्रता पर भी जो पहले से जमा माना जाता था। अवलोकन ने पुष्टि की है कि वायु प्रदूषण से अमेरिका में साल में एक बार लगभग 100,000 मौतें होती हैं। अद्वितीय अध्ययन में समय से पहले जन्म, गर्भपात, मनोभ्रंश और कोविड -19 के लिए प्रदूषित हवा को बांधा गया है। मार्शल ने कहा, "इस धागे का आधा खाली, आधा पूर्ण संस्करण है।" "सकारात्मकता यह है कि समय के साथ हवा साफ हो गई है और (आयाम) असमानताएं भी कम हो रही हैं। हर कोई स्वच्छ हवा का अनुभव कर रहा है। "
दूसरे पहलू पर, उन्होंने कहा, यह महत्वपूर्ण हुआ करता था कि कैसे, सभी राज्यों के किसी न किसी स्तर पर और सभी प्रकार के प्रदूषण की जाँच की जाए, यह अल्पसंख्यक हुआ करते थे जो वायु प्रदूषण का सबसे बड़ा बोझ उठाते थे।
"अभी भी हमारे पास काम करने के लिए है," उन्होंने कहा। "हम कुल वायु प्रदूषण के योग को संबोधित करने पर तथ्यात्मक फोकल स्तर नहीं बना सकते। अब हम असमानताओं पर फोकल स्तर के पक्ष में हैं।"
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BJP leader Mukul Roy seeks Mamata Banerjee's resignation after Nazat killing-मुकुल रॉय ने ममता बनर्जी से मांगा इस्तीफा - Sabguru News
मुकुल रॉय ने ममता बनर्जी से मांगा इस्तीफा
कोलकाता। भारतीय जनता पार्टी के नेता मुकुल रॉय ने सोमवार को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से इस्तीफे की मांग की।
रॉय ने यह इस्तीफा बनर्जी के उस बयान के संदर्भ में मांगा है जिसमें उन्होंने कुछ घंटे पहले कहा था कि कुछ पुलिस अधिकारी गुंडागर्दी को बढ़ावा दे रहे हैं और गुंडों के खिलाफ कार्रवाई नहीं कर रहे हैं।
रॉय ने पार्टी कार्यालय में संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए राज्य सचिवालय नबान्ना में मुख्यमंत्री के दिए गए बयान का जिक्र करते हुए कहा कि बनर्जी को अपने पद से इस्तीफा दे देना चाहिए क्योंकि वह राज्य की गृह मंत्री भी हैं।
लोकसभा चुनाव के दौरान ओर इसके परिणाम के बाद राज्य हिंसक घटनाओं से त्रस्त हो गया है। शनिवार शाम इन हिंसक घटनाओं का सबसे खराब दौरा आया जिसमें उत्तर 24 परगना के संदेशखली के अंतर्गत नजत में खूनी संघर्ष में दो भाजपा कार्यकर्ता और एक तृणमूल कांग्रेस कार्यकर्ता की मौत हो गई।
रॉय ने राज्य सचिवालय नबान्ना में संवाददाताओं से बातचीत के दौरान मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के दिये गये बयान का जिक्र करते हुये संवाददाताओं से कहा कि अगर पुलिस वाले बात नहीं मानते तो फिर ममता बनर्जी को मंत्रालय छोड़ देना चाहिए क्योंकि वह राज्य की गृह मंत्री भी हैं। | 2022/07/03 12:11:01 | https://www.sabguru.com/bjp-leader-mukul-roy-seeks-mamata-banerjees-resignation-after-nazat-killing/ | mC4 |
ज्योतिषाचार्य डॉ. सुधानंद झा बता रहे हैं सभी 12 राशियों के जातकों के लिए कैसा रहेगा आज का दिन? कैसा रहेगा आपका व्यावसायिक और पारिवारिक जीवन? आचार्य दिन को शुभ बनाने के भी उपाय बता रहे हैं।
🐏मेष
यात्रा लाभदायक रहेगी। डूबी हुई रकम प्राप्त हो सकती है। प्रयास करें। उन्नति के मार्ग प्रशस्त होंगे। शेयर मार्केट से बड़ा लाभ हो सकता है। संचित कोष में वृद्धि होगी। नौकरी में प्रभाव बढ़ेगा। कारोबारी सौदे बड़े हो सकते हैं। व्यस्तता के चलते स्वास्थ्य प्रभावित होगा। सावधानी रखें।
🐂वृष
फालतू खर्च पर नियंत्रण रखें। बजट बिगड़ेगा। कर्ज लेना पड़ सकता है। शारीरिक कष्ट से बाधा उत्पन्न होगी। लेन-देन में सावधानी रखें। अपरिचित व्यक्तियों पर अंधविश्वास न करें। वाणी में हल्के शब्दों के प्रयोग से बचें। व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। आय होगी। संतुष्टि नहीं होगी।
👫मिथुन
नवीन वस्त्राभूषण की प्राप्ति संभव है। यात्रा लाभदायक रहेगी। बेरोजगारी दूर करने के प्रयास सफल रहेंगे। कारोबारी बड़े सौदे बड़ा लाभ दे सकते हैं। निवेश में सोच-समझकर हाथ डालें। आशंका-कुशंका रहेगी। पुराना रोग उभर सकता है। लापरवाही न करें। कीमती वस्तुएं संभालकर रखें। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी।
🦀कर्क
उत्साहवर्धक सूचना प्राप्त होगी। भूले-बिसरे साथियों से मुलाकात होगी। विरोधी सक्रिय रहेंगे। जल्दबाजी में कोई निर्णय न लें। बड़ा काम करने का मन बनेगा। झंझटों से दूर रहें। कानूनी अड़चन का सामना करना पड़ सकता है। फालतू खर्च होगा। व्यापार मनोनुकूल लाभ देगा। जोखिम बिलकुल न लें।
🐅सिंह
कीमती वस्तुएं संभालकर रखें। स्वास्थ्य का पाया कमजोर रहेगा। चिंता बनी रहेगी। जीवनसाथी से सहयोग मिलेगा। मेहनत का फल मिलेगा। कार्यसिद्धि होगी। निवेश लाभदायक रहेगा। व्यापार -व्यवसाय में मनोनुकूल लाभ होगा। सामाजिक प्रतिष्ठा बढ़ेगी। निवेश शुभ रहेगा। व्यस्तता रहेगी।
🙍♀️कन्या
दूर से बुरी खबर मिल सकती है। दौड़-धूप अधिक होगी। बेवजह तनाव रहेगा। किसी व्यक्ति से कहासुनी हो सकती है। फालतू बातों पर ध्यान न दें। मेहनत अधिक व लाभ कम होगा। किसी व्यक्ति के उकसाने में न आएं। शत्रुओं की पराजय होगी। व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। आय में निश्चितता रहेगी।
⚖️तुला
पार्टी व पिकनिक का आनंद मिलेगा। रचनात्मक कार्य सफल रहेंगे। मनपसंद भोजन का आनंद प्राप्त होगा। व्यापार-व्यवसाय लाभप्रद रहेगा। समय की अनुकूलता का लाभ मिलेगा। व्यस्तता के चलते स्वास्थ्य कमजोर रह सकता है। दूसरों के झगड़ों में न पड़ें। अपने काम पर ध्यान दें। लाभ होगा।
🦂वृश्चिक
बेरोजगारी दूर करने के प्रयास सफल रहेंगे। परीक्षा व साक्षात्कार आदि में सफलता प्राप्त होगी। स्थायी संपत्ति से बड़ा लाभ हो सकता है। समय पर कर्ज चुका पाएंगे। नौकरी में अधिकारी प्रसन्न तथा संतुष्ट रहेंगे। निवेश शुभ फल देगा। घर-परिवार के किसी सदस्य के स्वास्थ्य की चिंता रहेगी, ध्यान रखें।
🏹धनु
कानूनी अड़चन दूर होकर लाभ की स्थिति निर्मित होगी। प्रेम-प्रसंग में जोखिम न लें। व्यापार में लाभ होगा। नौकरी में प्रभाव बढ़ेगा। निवेश में सोच-समझकर हाथ डालें। शत्रु पस्त होंगे। विवाद में न पड़ें। अपेक्षाकृत कार्य समय पर होंगे। प्रसन्नता रहेगी। भाग्य का साथ मिलेगा। व्यस्तता रहेगी। प्रमाद न करें।
🐊मकर
घर-परिवार के किसी सदस्य के स्वास्थ्य की चिंता रहेगी। वाणी पर नियंत्रण रखें। चोट व दुर्घटना से बड़ी हानि हो सकती है। लेन-देन में जल्दबाजी न करें। फालतू खर्च होगा। विवाद को बढ़ावा न दें। अपेक्षाकृत कार्यों में विलंब होगा। चिंता तथा तनाव में रहेंगे। आय में निश्चितता रहेगी। शत्रुभय रहेगा।
🍯कुंभ
व्यवसाय में ध्यान देना पड़ेगा। व्यर्थ समय न गंवाएं। पूजा-पाठ में मन लगेगा। कानूनी अड़चन दूर होगी। जल्दबाजी से हानि संभव है। थकान रहेगी। कुसंगति से बचें। निवेश शुभ रहेगा। पारिवारिक सहयोग प्राप्त होगा। लाभ के अवसर हाथ आएंगे। दूसरों के काम में हस्तक्षेप न करें। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी।
🐟मीन
पुराना रोग उभर सकता है। योजना फलीभूत होगी। कार्यस्थल पर परिवर्तन संभव है। विरोधी सक्रिय रहेंगे। सामाजिक प्रतिष्ठा बढ़ेगी। मित्रों की सहायता कर पाएंगे। आय में वृद्धि होगी। शेयर मार्केट से लाभ होगा। नौकरी में प्रभाव वृद्धि होगी। व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। घर-परिवार में सुख-शांति रहेगी। जल्दबाजी न करें।
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सरकार अपने शाही खर्चे में कटौती कर स्कूलों में बच्चों की फीस माफ करे : मायावती - Government cuts its royal expenditure and waives childrens fees in schools says mayawati - Latest News & Updates in Hindi at India.com Hindi
केन्द्र व राज्य सरकारें अपने शाही खर्चे में कटौती करके जनहित में बच्चों की स्कूल फीस माफ करें.
Published: September 12, 2020 4:15 PM IST
लखनऊ: बहुजन समाज पार्टी की प्रमुख मायावती ने शनिवार को कहा कि केन्द्र और राज्य सरकारें अपने शाही खर्चे में कटौती कर व्यापक जनहित में बच्चों की स्कूल फीस माफ करें. Also Read - IPL 2020 CSK vs DC: जानें कैसे मिली श्रेयस अय्यर को MS Dhoni पर बड़ी जीत, ये है 5 बड़े कारण
बसपा प्रमुख ने ट्वीट किया, ''कोरोना लॉकडाउन से संक्रमित देश की आर्थिक मन्दी से भीषण बेरोजगारी व जीवन में अभूतपूर्व संकट झेल रहे करोड़ों लोगों के सामने बच्चों के फीस जमा करने की समस्या संगीन होकर अब धरना-प्रदर्शन आदि के रूप में सामने आई है व उन्हें पुलिस के डण्डे खाने पड़ रहे हैं, जो अति-दुःखद.' Also Read - NCB फैशन परेड करा है, CBI ने आज तक कोई भी प्रेस ब्रीफिंग नहीं की: सुशांत की फैमिली के वकील
उन्होंने दूसरे ट्वीट में कहा, 'ऐसे 'एक्ट ऑफ गॉड' के समय में संवैधानिक मंशा के अनुरूप सरकार की कल्याणकारी राज्य होने की भूमिका खास तौर से काफी बढ़ जाती है. केन्द्र व राज्य सरकारें अपने शाही खर्चे में कटौती करके सरकारी व प्राइवेट स्कूल फीस की प्रतिपूर्ति करें अर्थात व्यापक जनहित में बच्चों की स्कूल फीस माफ करें.' Also Read - IPL 2020 CSK vs DC: चेन्नई की लगातार दूसरी हार के बाद धोनी ने बल्लेबाजों पर निकाला गुस्सा, बोले- अगले मैच में... | 2020/09/25 19:18:05 | https://www.india.com/hindi-news/uttar-pradesh/government-cuts-its-royal-expenditure-and-waives-childrens-fees-in-schools-says-mayawati-4139454/ | mC4 |
बांदा जेल में कैद अंसारी को दिल का दौरा, सदमे को देख पत्नि को भी आया हार्ट अटैक
बांदा जेल में कैद मुख्तार अंसारी और उनकी पत्नी को एक साथ दिल का दौरा पड़ गया है। जिसके बाद उनके इलाज के लिए ट्रामा सेंटर में भर्ती कराया गया है। आज उनकी पत्नी उनसे मिलने के लिए बांदा जेल गई थी।
इस मुलाकात के दौरान मुख्तार अंसारी की तबीयत बिगड़ गई। सुबह अपनी पत्नि से मुलाकात करते समय उनको दिल का दौरा पड़ गया। कहा जा रहा है कि बांदा जेल में कैद मुख्तार अंसारी की तबीयत कुछ रोज से खराब चल रही थी।
आज सुबह उनकी पत्नी मिलने के लिए गई थी और इस दौरान उनको दिल का दौरा पड़ा। जिसके बाद उनके उपचार के लिए भर्ती कराया गया।
मुख्तार अंसारी जब अपनी पत्नी से जेल में मुलाकात कर रहे थे तो चाय पीने के दौरान उनको दिल का दौरा पड़ा। उनकी तबीयत को बिगड़ती देखे उनकी पत्नी को भी सदमा लगा और उनको भी दिल का दौरा पड़ गया।
जिसके बाद प्रशासन ने दोनों के उपचार के लिए हॉस्पिटल में भर्ती कराया है। डॉक्टरों ने कहा है कि उनकी पत्नी को सदमे के चलते हार्ट अटैक आया है। | 2018/07/17 09:40:38 | http://www.nationaldunia.com/ansari-a-prisoner-in-banda-jail-has-a-heart-attack/ | mC4 |
Easy Ways To Detox Your Soul In Hindi
Editorial01 Aug 2019, 13:24 IST
मन को डिटॉक्स करना भी है जरूरी, मिलते हैं यह जबरदस्त फायदे
अगर आप सिर्फ बाहर ही नहीं, भीतर से भी ,खुश रहना चाहती हैं तो अपने मन को भी डिटॉक्स करना सीखें।
हम सभी यह समझते हैं कि व्यस्त दिनचर्या का अर्थ है खुशहाल जीवन क्योंकि हमारे पास करने के लिए बहुत कुछ है। लेकिन इस भागदौड़ भरी जिन्दगी से आपको चंद मिनट निकालकर कभी गहराई से सोचा है कि वास्तव में क्या यही सच है। नहीं, अगर आप खुद से सच बोलने की हिम्मत रखती है तो आपको खुद ब खुद जवाब मिल जाएगा। आज के मॉडर्न लाइफस्टाइल में हमें वह खुशी व शांति नहीं मिलती, जो पुराने समय में लोगों के पास थी। यहां तक कि इस फास्ट लाइफ ने हमें तनाव व अन्य कई तरह की बीमारियां दी हैं। भले ही आज हमारे पास करने के लिए बहुत कुछ है, लेकिन उसे खुशी नहीं कहा जा सकता। यह ठीक वैसे ही है कि हमारे पास अधिक डॉक्टर हैं, लेकिन हेल्थ कम है। हमारे पास अधिक भोजन है, लेकिन कम पोषण है और यह सब इसीलिए है क्योंकि हमने अपनी soul के बारे में सोचना छोड़ दिया है।
इसे जरूर पढ़ें: 'ॐ' उच्चारण करने से मिलेंगे ये 5 फायदे, जो पैसा खर्च करने से भी नहीं मिल पाएंगे
अगर आप इंटरनेट पर देखेंगे तो आपको बॉडी को डिटॉक्स करने के हजारों तरीके नजर आएंगे, लेकिन आत्मा को डिटॉक्स करने के बारे में कोई बा नहीं करता। अपनी soul पर ध्यान न देने के कारण ही वह नकारात्मक विचारों से काफी टॉक्सिक हो जाती है। ऐसे में खुद को लाइट, बेहतर, खुश व सकारात्मक बनाने के लिए उसे भी समय-समय पर डिटॉक्स करना पड़ता है। तो चलिए आज हम आपको soul को डिटॉक्स करने के कुछ आसान तरीकों के बारे में बता रहे हैं-
आपने सुना ही होगा कि जैसी संगत, वैसी रंगत। अर्थात् आप जिस तरह के लोगों के साथ रहते हैं, आपकी सोच भी काफी हद तक वैसी ही हो जाती है। इसलिए अपनी आत्मा को डिटॉक्स करने का सबसे पहला कदम है कि आप नकारात्मक लोगों से दूरी बनाना शुरू कर दें। यह न सिर्फ आपके आत्मविश्वास को कमजोर करते हैं, बल्कि इसके कारण आपके भीतर नकारात्मक विचार आने शुरू हो जाते हैं, जिससे आपका मन हर गुजरते दिन के साथ और भी ज्यादा toxic होता चला जाता है।
Manish Malhotra Father Passes Away: मनीष मल्होत्रा के पिता का निधन,...
लखनऊ के फेमस फूड जॉइंट नेतराम मिठाई के बारे में जानिए
शाहरुख खान की बेटी सुहाना खान अपनी डेब्यू फिल्म में दिख रही हैं इंप...
हेल्दी डाइट
आपका आहार सिर्फ आपके तन ही नहीं, मन पर भी असर डालता है। जब आप अनहेल्दी डाइट लेती हैं तो इससे आपका शरीर तो प्रभावित होता है ही, साथ ही आपका मन भी काफी तनावपूर्ण हो जाता है। वहीं पोषक तत्वों युक्त संतुलित आहार आपके तन व मन दोनों को ही संतुष्टि प्रदान करता है। इससे आप बीमारियों से भी दूर रहती हैं और पोषक तत्व आपके शरीर के सभी हिस्सों को सही तरह से कार्य करने के लिए प्रेरित करते हैं। इसलिए हेल्दी डाइट को अपने जीवन का हिस्सा बनाएं। इस तरह आप तनाव को भी खुद से दूर रख सकती हैं। अगर आपने कभी नोटिस किया हो तो ऋषि-मुनि हमेशा सात्विक आहार खाने पर जोर देते हैं और वह खुद भी संयमित तरीके से भोजन करते हैं क्योंकि इससे उनका तन ही नहीं, मन भी toxic नहीं होता।
यह अपनी आत्मा को डिटॉक्स करने का सबसे आसान लेकिन प्रभावी तरीका है। आप दिन में महज 5 से 10 मिनट मौन में बैठें और अपनी श्वास पर ध्यान केंद्रित करें। जब आप अपनी आंखें खोलेंगी तो अपने भीतर एक स्फूर्ति व हैप्पीनेस का अहसास होगा। इस आंतरिक भाव को शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता। बस आप एक बार ध्यान करके देखें, आपको खुद-ब-खुद फर्क नजर आएगा।
फोन को करें बंद
आज के समय में फोन या इंटरनेट से पूरी तरह दूरी बनाना तो संभव नहीं हैं, लेकिन अगर आप सच में अपने मन को डिटॉक्स करना चाहती हैं तो दिन में एक घंटा फोन को बंद करें। आपको शायद अहसास न हो, लेकिन बहुत सी शारीरिक और मानसिक समस्याओं के पीछे का कारण यह स्क्रीन ही है। इसलिए इससे दूरी बनाकर आप अपने परिवार व हॉबी को टाइम दें। जब आप फोन की बजाय अपने आसपास की चीजों पर अधिक फोकस करेंगी तो आपका मानसिक और आध्यात्मिक स्वास्थ्य बेहतर होने लगेगा।
इसे जरूर पढ़ें: ये जादुई टिप्स अपनाएं, घर से नेगेटिव एनर्जी को कोसों दूर भगाएं
प्रकृति से दोस्ती
यह भी अपने मन को डिटॉक्स करने का एक बेहतरीन उपाय माना गया है। मानव निर्मित चीजें चाहे कितनी भी बेहतरीन हो, लेकिन वे हमें वह वह खुशी और शांति नहीं प्रदान करेंगी जो प्रकृति से मिलती है, क्योंकि हम अप्राकृतिक दुनिया में रहने के लिए डिज़ाइन नहीं किए गए हैं। इसलिए अपने मन को डिटॉक्स करने के लिए जितना संभव हो, आप प्रकृति से साथ उतना समय बिताएं। यह आपको अपना मन रीसेट करने और अपनी आत्मा को फिर से जीवंत करने में मदद करेगा। | 2019/11/18 09:55:20 | https://www.herzindagi.com/hindi/advice/easy-ways-to-detox-your-soul-article-120660 | mC4 |
हादसा | GLIBS | Glibs News | CG NEWS | Raipur NEWS
कार में लगी आग, पेट्रोल फीलिंग के समय हुआ हादसा
गीदम। एक पेट्रोल पंप पर कार में पेट्रोल फीलिंग के समय अचानक आग लग गई। गीदम बस स्टैंड के पास पेट्रोल पंप पर पेट्रोल फीलिंग के लिए गई मारुति वैन में अचानक आग लग गई। इससे पेट्रोल पंप पर हड़कंप मच गया। मशक्कत के बाद वाहन को खींचकर पेट्रोल पम्प से बाहर किया गया, जिससे एक बड़ा हादसा होने से टल गया। मारुति वैन किसी सब्जी व्यवसायी की बताई जा रही है।
Breaking : मानसून की पहली बारिश में गिरा आवासीय मकान, 11 की मौत, 8 घायल
महाराष्ट्र/रायपुर। मानसून की बारिश से देर रात एक बड़ा हादसा हो गया। दरअसल इमारत ढहने से 11 लोगों की मौत हो गई। बृहन्मुंबई नगर निगम (बीएमसी) ने सूचना दी कि बुधवार देर रात मुंबई के मलाड पश्चिम के न्यू कलेक्टर परिसर में एक आवासीय इमारत गिरने से कम से कम 11 लोगों की मौत हो गई और आठ अन्य घायल हो गए। बीएमसी के अनुसार इस क्षतिग्रस्त बिल्डिंग ने पास की एक और आवासीय घर को भी अपनी चपेट में ले लिया। नगर निगम ने कहा कि इसने क्षेत्र में एक और आवासीय संरचना को भी प्रभावित किया जो अब खतरनाक स्थिति में है। प्रभावित इमारतों में रहने वाले लोगों को सुरक्षित निकाला जा रहा है। बताया जा रहा है कि दुर्घटनाग्रस्त इमारत में फंसे लोगों को बचाने के लिए सर्च एंड रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है। घायलों को बीडीबीए अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उनका इलाज चल रहा है। मुंबई में जोन 11 के पुलिस उपायुक्त (डीसीपी) विशाल ठाकुर ने कहा कि महिलाओं और बच्चों सहित 15 लोगों को बचा लिया गया है और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
पार्षद की सक्रियता से बड़ा हादसा टला, कचरा साफ करने दिए निर्देश
रायपुर। पंडित रविशंकर शुक्ला वार्ड में पार्षद आकाश तिवारी की सक्रियता से बड़ा हादसा होते टल गया। वार्ड के एक बंगले में इतना वेस्टेज पाया गया कि अगर आग लग जाती तो बड़ी दुर्घटना हो सकती थी। दरअसल पंडित रविशंकर शुक्ला वार्ड के रवि नगर स्थित एक बंगले में लगभग चार ट्रक स्पंज और वेस्टेज छत के ऊपर पाया गया। पार्षद आकाश तिवारी ने बताया कि जैसे ही उन्हें सूचना मिली उन्होंने नगर निगम की टीम को बुलाया। पार्षद और निगम की टीम ने मौके पर पहुंचकर निरीक्षण किया, जिसमें सूचना सही निकली। इसके बाद मकान मालिक को 24 घंटे से 48 घंटे की मोहलत देकर छत को साफ करने को कहा और चालान भी काटा गया। साथ ही तत्काल प्रभाव से कचरे को साफ करने का निर्देश दिए।
चूना पत्थर खदान में ब्लास्ट से 10 मजदूरों की मौत,कई की मलबे में फंसे होने की आंशका
हैदराबाद। आंध्रप्रदेश के कडपा जिले में शनिवार को चूना पत्थर खदान में तेज विस्फोट के चलते बड़ा हादसा हो गया। खदान में काम कर रहे 10 मजदूरों की मौत हो गई जबकि कई लोगों के मलबे में फंसे होने की आशंका है। घटना कडपा के कलासापडू ब्लॉक के मामिलपल्ली गांव की है। बताया जा रहा है कि विस्फोटक सामग्री रखने के लिए ग्रेनाइट में ड्रिल करते वक्त हादसा हुआ। आरोप है कि मामिलपल्ली गांव के नजदीक यह खदान बिना लाइंसेस के चलाई जा रही थी। खदान के अंदर एक ग्रेनाइट में ड्रिलिंग करते वक्त ब्लास्ट हुआ और साइट पर बड़ी मात्रा में विस्फोटक सामग्री रखी होने के चलते काफी तेज विस्फोट हुआ और 10 मजदूरों की मौत हो गई। मामिलपल्ली गांव के ग्रामीण विस्फोट की आवाज सुनकर बाहर आए और खदान के पास धुएं का गुबार देखकर पुलिस को सूचना दी। मौके पर पहुंची पुलिस और राहत बल ने घायलों को मलबे से निकालकर अस्पताल में इलाज के लिए भेजा। जिला प्रशासन के अधिकारियों ने बताया कि खदान में ब्लास्ट की वजह की जांच कर रहे हैं।
स्लैग गिरने से जेसीबी चालक की मौत, जांच में जूटी पुलिस
भिलाई/रायपुर। भिलाई स्टील प्लांट में हादसा हो गया है। इसमें जेसीबी चालक की मौके पर ही मौत हो गई है। हादसा प्लांट के स्लैग डंप यार्ड में हुआ। यहां जेसीबी चालक के ऊपर भारी स्लैग गिरा,जिससे 24 वर्षीय चालक की मौके पर ही मौत हो गई। हादसा दोपहर करीब पौने एक बजे का है। भिलाई पुलिस ने जानकारी दी है कि जय इंटरप्राइजेस का जेसीबी चालक विनय कुमार स्लैग डंप यार्ड में जेसीबी चला रहा था। इस दौरान उसके ऊपर गरम स्लैग गिर गया। जेसीबी चालक विनय कुमार (24 वर्ष) कैंप-2 भिलाई का रहने वाला है। वह ठेका श्रमिक था। इस घटना के बाद मौके पर अफरा-तफरी मच गई। वहां मौजूद सभी कर्मचारी भाग गए। पूरे घटनाक्रम के बाद भट्टी थाने की पुलिस के द्वारा शव का पंचनामा कार्रवाई के बाद मर्ग कायम कर विवेचना में लिया गया है।
Video: हाथी के हमले से युवक की मौत, फोटो खींचने के दौरान हुआ हादसा
बेल्ट गोडाउन में लगी आग, दमकल की गाड़ियां मौके पर मौजूद
पावर प्लांट में हुआ हादसा, दो मजदूर घायल, हालत नाजुक
रिएक्टर फटने से पेट्रो-केमिकल कंपनी में लगी आग, 8 कर्मी झुलसे
वडोदरा। पेट्रो-केमिकल कंपनी का रिएक्टर फटने से भीषण आग लग गई। इससे आठ कामगार झुलस गए। हादसा शनिवार तड़के गुजरात के वडोदरा जिले के गोठड़ा गांव के पास स्थित शिवम पेट्रोकेम इंडस्ट्रीज का है। बताया जा रहा है कि वडोदरा से करीब 25 किमी दूर सावली तालुका के गोठड़ा गांव के पास स्थित शिवम पेट्रोकेम इंडस्ट्रीज का एक रिएक्टर आज तड़के फट गया। धमाका इतना जोरदार था कि इसकी आवाज आसपास के आठ से दस किमी तक सुनी गई। इसके बाद लगी आग में कम से कम आठ कर्मी झुलस गए। उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
हादसा: सरकारी स्कूल की दीवार ढहने से 6 की मौत, 10 से ज्यादा लोग दबे
पटना। बिहार के खगड़िया जिले में बड़ा हादसा होने की खबर है। यहां एक सरकारी स्कूल की दीवार ढह गई, जिसमें 10 से ज्यादा लोगों के दबने की जानकारी मिली है। मामले का पता लगते ही स्थानीय लोग बचाव कार्य में जुट गए। इस हादसे में अब तक छह लोगों की मौत हो चुकी है। वहीं, वरिष्ठ अधिकारी भी मौके पर पहुंच गए हैं। जांच में सामने आया है कि नाले की खुदाई के दौरान लापरवाही बरतने से यह हादसा हुआ। जानकारी के मुताबिक, यह हादसा गोगरी के चैधा बन्नी चंडी टोला में हुआ।
यहां चंडी टोला प्राथमिक विद्यालय के पास नाले बनवाया जा रहा है, जिसके लिए जेसीबी से खुदाई की जा रही थी। इस दौरान स्कूल की दीवार ढह गई। बताया जा रहा है कि दीवार के पास कुछ लोग बैठे हुए थे, जो इसकी चपेट में आ गए। हादसे के बाद इलाके में हड़कंप मच गया। स्थानीय लोगों के मुताबिक, इस दर्दनाक हादसे में जिन लोगों ने अपनी जान गंवाई है, वे सभी मजदूर हैं। ये सभी लोग नाले के निर्माण का काम कर रहे थे। बताया जा रहा है कि तीन लोग अब भी मलबे में फंसे हुए हैं। लोगों का कहना है कि लापरवाही के कारण यह हादसा हुआ। खगड़िया के जिलाधिकारी (डीएम) शत्रुंजय मिश्रा ने बताया कि नाले की खुदाई के दौरान दीवार ढहने की बात सामने आ रही है। यह घटना खगड़िया मुख्यालय से कुछ ही दूरी पर हुई। खगड़िया के डीएसपी भी मौके पर पहुंच गए हैं। घटनास्थल पर अफरातफरी का माहौल बना हुआ है।
एसईसीएल दीपका खदान में हुआ हादसा, कर्मी की मौत
कोरबा। एसईसीएल दीपका प्रबंधन की लापरवाही फिर सामने आई है। इसके परिणाम स्वरूप एक एसईसीएल कर्मी की मौत हो गई है। उत्पादन लक्ष्य पूरा करने के फेर में एसईसीएल की खदानों में काम जोरों पर है। अधिकारियों पर लक्ष्य को पूरा करने का दबाव है। ऐसे में अधिकारी भी अपने कर्मचारियों को लक्ष्य पूरा करने के लिए दबाव बनाए हुए है। ऐसे में दुर्घटना होने की संभावना बढ़ जाती है। दीपका खदान में मिट्टी खुदाई के दौरान हादसा हो गया। बताया जा रहा है कि केबल मेन गजपाल सिंह सुबह 5:30 बजे सावेल के समीप कार्य कर रहा था। इसी दौरान सावेल के बकेट में फंसे पत्थर गजपाल के सिर में गिर जाने से उसकी घटनास्थल पर ही मौत हो गई। आनन-फानन में सहकर्मियों ने गजपाल को नेहरू शताब्दी चिकित्सालय लाया जहां चिकित्सकों ने जांच के उपरांत उन्हें मृत घोषित कर दिया। घटना के समय एसईसीएल कर्मी हेलमेट नहीं पहना हुआ था। शायद कर्मी हेलमेट पहना होता तो इस हादसे से बचा जा सकता था। | 2021/06/19 14:49:34 | https://glibs.in/tagging/242.html | mC4 |
निर्दलीय विधायक अनंत सिंह के घर से AK-47 बरामद, बम निरोधक दस्ता भी बुलाया गया Police team-raid-on-independent-mla anant singh house-in-mokama ak 47 recoverd brvj | bihar - News in Hindi - हिंदी न्यूज़, समाचार, लेटेस्ट-ब्रेकिंग न्यूज़ इन हिंदी
निर्दलीय विधायक अनंत सिंह के घर से AK-47 बरामद, बम निरोधक दस्ता भी बुलाया गया
अनंत सिंह का आरोप है कि राज्य सरकार उनके खिलाफ साजिश रच रही है. उन्होंने इसके लिए जदयू सांसद ललन सिंह और राज्य के मंत्री नीरज पर साजिश का आरोप लगाया है.
Updated: August 17, 2019, 7:06 AM IST
अनंत सिंह के घर से एके-47 रायफल बरामद
बिहार के मोकामा से निर्दलीय और बाहुबली विधायक अनंत सिंह (Anant Singh) पर पुलिस का शिकंजा सख्त होता जा रहा है. शुक्रवार को उनके नदावां स्थित घर पर पुलिस छापेमारी में AK-47 बरामद की गई है. गामीण पुलिस अधीक्षक कांतेश कुमार मिश्र (Rural SP Kantesh Mishra) ने इस बात की पुष्टि की है. छापेमारी के दौरान AK-47 रायफल के साथ मैगजीन और गोलियां बरामद की है. ग्रामीण एसपी कांतेश मिश्र विधायक के घर पर कैंप कर रहे हैं. बम निरोधक दस्ता को भी बुलाया गया है. एसटीएफ और एटीएस की टीम भी पहुंच गई है.
इस बीच पुलिस ने विधायक का घर तोड़े जाने से स्पष्ट इनकार किया है. विधायक का घर पूरी तरह सही सलामत स्थिति में है. ग्रामीण एसपी कांतेश मिश्रा ने बताया कि संदिग्ध वस्तुओं के जमावड़े की सूचना मिलने के बाद छापामारी की गई है. विधायक के घर के केयरटेकर द्वारा ही घर का ताला खोला गया था.
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार पुलिस को सूचना मिली थी कि विधायक के घर से और दूसरे ठिकानों से हथियारों का मूवमेंट किया जाना है. कुछ दिनों पहले भी हथियारों का मूवमेंट किया गया था. प्रतिबंधित हथियारों के मूवमेंट की जानकारी मिलने के बाद पुलिस द्वारा की कार्रवाई के दौरान एके 47 और मैगजीन बरामद किया गया.
बाहुबली विधायक अनंत सिंह के घर से बरामद एके-47 रायफल
बताया जा रहा है कि एके 47 को कार्बन से कवर किया गया था. बता दें कि कार्बन से कवर करने के कारण किसी मशीनी उपकरणों द्वारा जांच में यह वस्तुएं पकड़ में नहीं आती हैं. मेटल डिटेक्टर या एक्सरे जांच से बचाने के लिए कार्बन कवर किया गया था. कार्बन से कवर करने का उद्देश्य था कि जांच से हथियार को बचाया जाए.
फिलहाल पुलिस ने घर घेर कर रखा है. पुलिस को शक है कि अभी और भी घर के अंदर कुछ संदिग्ध वस्तु मौजूद है. बम निरोधक दस्ता को बुलाया गया है. बाढ़ पुलिस को सूचना मिलने के बाद वरीय पुलिस पदाधिकारियों को सूचना से अवगत कराया गया. जिला पुलिस मुख्यालय की सूचना के बाद राज्य पुलिस मुख्यालय भी हरकत में आया.
बाहुबली विधायक अनंत सिंह के मोकामा के नदावां गांव स्थित घर पर छापेमारी करती पुलिस
राज्य पुलिस मुख्यालय के निर्देश पर तत्काल एसटीएफ और एटीएस को भी रवाना किया गया है. बम निरोधक दस्ता भी जांच कर रहा है. शक है कि कुछ और वस्तुएं बरामद की जा सकती हैं. बता दें कि एक फोन कॉल का ऑडियो वायरल होने के बाद उन पर दो लोगों की हत्या की साजिश रचने का आरोप लगा है. इसी सिलसिले में वह FSL के समक्ष उपस्थित भी हो चुके हैं.
हालांकि, अनंत सिंह का आरोप है कि राज्य सरकार उनके खिलाफ साजिश रच रही है. उन्होंने इसके लिए जदयू सांसद ललन सिंह और राज्य के मंत्री नीरज पर साजिश का आरोप लगाया है. | 2019/09/15 07:38:07 | https://hindi.news18.com/news/bihar/patna-police-team-raid-on-independent-mla-anant-singh-house-in-mokama-ak-47-recoverd-brvj-2330200.html | mC4 |
नई दिल्ली (मा.स.स.). अभ्यास – हाई स्पीड एक्सपैंडेबल एरियल टार्गेट (एचईएटी) का ओडिशा के तट पर स्थित चांदीपुर के इंटीग्रेटेड टेस्ट रेंज (आईटीआर) से सफलतापूर्वक उड़ान परीक्षण किया गया। उड़ान परीक्षण के दौरान निरंतर स्तर तथा उच्च गतिशीलता सहित कम ऊंचाई पर विमान का निष्पादन प्रदर्शित किया गया। टार्गेट विमान को एक पूर्व-निर्धारित निम्न ऊंचाई वाले उड़ान पथ में एक ग्राउंड आधारित कंट्रोलर से उड़ाया गया जिसकी निगरानी राडार तथा इलेक्ट्रो-ऑप्टिकल टारगेटिंग सिस्टम सहित आईटीआर द्वारा तैनात विभिन्न ट्रैकिंग सेंसरों द्वारा की गई।
अभ्यास की डिजाइन एवं उसका विकास रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (डीआरडीओ) के वैमानिकी विकास प्रतिष्ठान द्वारा किया गया है। इस हवाई वाहन को ट्विन अंडर-स्लग बूस्टर का उपयोग करने के जरिये लॉन्च किया गया जो व्हीकल को आरंभिक गति प्रदान करते हैं। यह हाई सबसोनिक स्पीड पर एक लंबी इंड्यूरेंस फ्लाइट को बनाये रखने के लिए एक छोटे से गैस टरबाइन द्वारा संचालित है। टारगेट विमान बहुत ऊंची उड़ान के लिए स्वदेशी रेडियो अल्टीमीटर तथा ग्राउंड कंट्रोल स्टेशन तथा टारगेट विमान के बीच इनक्रिप्टेड कम्युनिकेशन के लिए डाटा लिंक के साथ-साथ गाइडेंस और कंट्रोल के लिए फ्लाइट कंट्रोल कंप्यूटर के साथ नैविगेशन के लिए माइक्रो-इलेक्ट्रोमैकेनिकल सिस्टम आधारित इनर्शियल नैविगेशन स्स्टिम के साथ सुसज्जित है। इस व्हीकल को पूरी तरह स्वचालित उड़ान के लिए प्रोग्राम किया गया है।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने अभ्यास के सफल उड़ान परीक्षण के लिए डीआरडीओ, सशस्त्र बलों तथा उद्योग को बधाई दी है और कहा कि इस सिस्टम का विकास सशस्त्र बलों के लिए एरियल टार्गेट की आवश्यकता को पूरा करेगा। रक्षा अनुसंधान एवं विकास विभाग के सचिव तथा डीआरडीओ के अध्यक्ष डॉ. जी सतीश रेड्डी ने सिस्टम के डिजाइन, विकास और परीक्षण से जुड़ी टीमों के प्रयासों की सराहना की।
यह भी पढ़ें : भारत दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी शहरी प्रणाली है : हरदीप सिंह पुरी
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Tags हाई स्पीड एक्सपैंडेबल एरियल टार्गेट
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हाॅमर्टन ग्रामर स्कूल की छात्रायें ज्ञानदा-रिदिया नलवा करेंगी फिल्म में अभिनय - AbTakNews
हाॅमर्टन ग्रामर स्कूल की छात्रायें ज्ञानदा-रिदिया नलवा करेंगी फिल्म में अभिनय
dushyanttyagi 1:54:00 PM 0 Comment Badhkal education Entertainment Faridabad Haryana India News
पफरीदाबाद(abtaknews.com) सैक्टर-21ए में स्थित हाॅमर्टन ग्रामर स्कूल के छात्रों के व्यक्तित्व नित नए आयामों की ओर अग्रसर हो रहे हैं। पहले खेलों, में फिर चित्राकला में और अब अभिनय कला में भी हाॅमर्टन की छात्राओं ने ज्ञानदा नलवा (कक्षा 9) और रिदिया नलवा (कक्षा 5) ने अपने कदम बढ़ा दिए। नासिक (महाराष्ट्र) की एक संस्था विक्रमादित्य पिफल्म्स के बैनर तले बच्चों की एक फिल्म का निर्माण हो रहा है, जिसमें देश के कई राज्यों से आए बच्चों में ज्ञानदा और दिमा को लीड रोल में लिया गया है। पिफल्म के समर कैम्प की शूटिंग शुरू हो चुकी है जिसमें ये बच्चे अपनी कला का जलवा बिखेरेंगे। बच्चों द्वारा अभिनीत इस पारिवारिक पिफल्म अगले वर्ष मई-जून तक रिलीज होगी और पफरीदाबाद शहर और हाॅमर्टन ग्रामर स्कूल का नाम भी ये बच्चे रोशन करेंगे। स्कूल की प्रधानाचार्या, शिक्षकों और प्रबंधन तंत्रा की ओेर से इन बचचों को हार्दिक शुभकामनायें दी जा रही हैं।
ज्ञानदा और रिदिमा को नृत्यकला में पारंगत बनाने में स्कूल के साथ साथ उनके माता पिता श्रीमती सारिका और श्री विनीत नलवा का भी विशेष योगदान है। श्रीमती एवं श्री नलवा ने बचपन से ही दोनों बच्चों को नृत्य क्षेत्रा में विकास के लिए अथक प्रयास किए और हर तरह की नृत्य प्रतियोगिताओं में भाग लेने के लिए प्रोत्साहित किया। ज्ञानदा, जिसने बचपन से नगर और स्कूल में अनेक पुरस्कार जीते, नेशनल डांस टैलेंट सर्च तक में अपना स्थान बना चुकी है। फरीदाबाद शहर से समर कैम्प शूटिंग के लिए इन्हीं देा बच्चों का चुना जाना इनकी प्रतिभा को दर्शाता है। | 2018/10/24 01:05:00 | http://www.abtaknews.com/2017/11/Gyanada-nalwa-ridiya-nalwa-faridabad.html | mC4 |
बंगाल को 'सोनार बांग्ला' बनाने का स्वप्न केवल हम ही पूरा सकते हैं: शेखावत - दैनिक जलतेदीप
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बंगाल को 'सोनार बांग्ला' बनाने का स्वप्न केवल हम ही पूरा सकते हैं: शेखावत
कोलकाता। विधानसभा चुनाव 2021 के पहले पश्चिम बंगाल में जनसंपर्क में जुटे केंद्रीय जलशक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने शनिवार को गृह संपर्क अभियान के तहत राजधानी कोलकाता से सटे उत्तर 24 परगना के बारासत, हाबरा विधानसभा क्षेत्र का दौरा किया। उन्होंने जगह-जगह लोगों से मुलाकात की और भाजपा के बारे में जानना चाहा।
इसके बाद मीडिया से मुखातिब शेखावत ने कहा कि स्पष्ट दिख रहा है कि बंगाल की जनता का भाजपा में विश्वास लगातार बढ़ता जा रहा है। लोग मानते हैं कि ममता बनर्जी बौखलाई हुई हैं। शीर्षस्थ नेताओं के खिलाफ उनकी बयानबाजी उनके खिलाफ ही जा रही है। उनका व्यवहार किसी को पसंद नहीं आ रहा है। बंगालवासियों को मोदी जी में वह नायक नजर आता है, जो उन्हें तृणमूल कांग्रेस के कुचक्र से बाहर ला सकता है।
केंद्रीय मंत्री जब पत्रकारों से बात कर रहे थे, तब वहां सैकड़ों लोग जमा हो गए थे। शेखावत ने जनता की ओर इशारा करते हुए कहा कि जनता में ममता बनर्जी सरकार के प्रति काफी गुस्सा है। यही कारण है कि लोग अब सड़कों पर उतर आए हैं। ममता सरकार ने पिछले 10 सालों में विकास के नाम पर सिर्फ जनता को ठगने का काम किया है।
उन्होंने कहा कि मां-माटी-मानुष के साथ दशकों से छल होता रहा है। बंगाल की जनता ने तीन दशक तक कांग्रेस को मौका दिया। कम्युनिस्टों को मौके दिए। ममता दीदी ने भी 10 वर्ष तक राज काज किया। हम यहां की जनता से कहना चाहते हैं कि भाजपा को भी एक मौका दीजिए, बंगाल को 'सोनार बांग्ला' बनाने का स्वप्न केवल हम ही पूरा सकते हैं। | 2021/10/23 14:03:00 | https://dainikjaltedeep.com/only-we-can-fulfill-the-dream-of-making-bengal-sonar-bangla-shekhawat/ | mC4 |
सीडी कांड में कटवाल की याचिका SC से डिसमिस सीडी को बताया फ्राड | Reporters Eye
शिमला। मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह व उनकी पत्नी प्रतिभा सिंह की पूर्व डीसी महेंद्रलाल व बाकियों के साथ लेन देन की हुई बातचीत को लेकर जिस सीडी कांड ने प्रदेश की राजनीति में तूफान मचा दिया था उसे सुप्रीम कोर्ट ने फ्राड करार दे मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह को बड़ी राहत दी है। पूर्व आईएएस अफसर सुरेंद्र मोहन कटवाल की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस गोपाल गौड़ा व अमिता राय की खंड पीठ ने कहा कि इस सीडी में 1989 में की बातें रिकार्ड है। उस समय तो सीडी होती ही नहीं थी फिर रिकार्ड कैसे हुए। खंडपीठ ने इस फ्राड करार दे दिया। साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि आप(कटवाल) चार पर प्रदेश सरकार की ओर से दायर मामलों में दोषी पाए जा चुके हो । ऐसे में आप बदले की भावना से इस मामले को तुल दे रहे हो।सुप्रीम कोर्ट ने इन टिप्पणियों केसाथ कटवाल की याचिका खारिज कर दी।
सुप्रीम कोर्ट की मोहर लग जाने के बाद अब स्पेशल कोट वन और प्रदेश हाईकोर्ट के फैसलो पर मोहर लगा दी है।
इस सीडी को भाजपा ने 2012 के चुनावाें व इससे पहले वीरभद्र सिंह के खिलाफ जनता के बीच खूब जहर उगला था।इस मामले में मुख्यमंत्री व उनकी पत्नी प्रतिभा सिंह को स्पेशल जज वन की अदालत ने 1 दिसंबर 2012 में वीरभद्र सिंह को मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने से एक दो दिन पहले वरी कर दिया था।
सीडी को कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेता मेजर विजय सिंह मनकोटिया ने धर्मशाला में जारी किया था व इसे भाजपा ने हाथों हाथ लेकर पूरे प्रदेश में बजाया था। 2007 के विधानसभा चुनावों में ये सीडी खूब बजी थी। इसके बाद प्रदेश में धूमल की सरकार आ गई । बाद में कटवाल ने इसे हाईकोर्ट में चुनौती दे दी । इससे पहले ये याचिका सोमवार को सुप्रीम कोर्ट की जस्टिस टीएस ठाकुर की बैंच में लगी थी। ठाकुर ने याचिका को सुनने से इंकार कर दिया था। | 2021/02/27 01:00:14 | http://reporterseye.com/himachal-cm-virbhdra-singh-gor-reprive-sc-dismissed-cd-case/ | mC4 |
SBL EUPHRASIA Eye Drops in Hindi संकेत: यह आँखों में तनाव, थकावट और जलन, संयुग्मशोथ, आंखों में दर्द, लाली, आंखों से पानी आना, आंखों में सनसनी, कंप्यूटर उपयोगकर्ताओं में आंखों की सूखापन जैसी रेत के लिए इंगित किया गया है।
विपरीत संकेत: कोई ज्ञात विपरीत संकेत नहीं।
SBL EUPHRASIA Eye Drops in Hindi सामग्री: इसमें यूफ्रेसिया ऑफिसिनालिस क्यू आइसोटॉनिक सोडियम क्लोराइड शामिल हैं। | 2022-11-28T18:32:44Z | https://homeopathyhindi.com/sbl-euphrasia-eye-drops-hindi-aankhon-ki-sujan-ki-dawa/ | OSCAR-2301 |
'लिटरेचर एण्ड आर्ट फेस्टिवल' : उत्तराखंड की भूमि लेखकों व कलाकारों के लिए प्रेरणाश्रोत-राज्यपाल | Devbhoomi Live
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'लिटरेचर एण्ड आर्ट फेस्टिवल' : उत्तराखंड की भूमि लेखकों व कलाकारों के लिए प्रेरणाश्रोत-राज्यपाल
देहरादून। राज्यपाल बेबी रानी मौर्य ने शुक्रवार को होटल मधुबन में 'वैली आॅफ वर्डस' द्वारा आयोजित 'लिटरेचर एण्ड आर्ट फेस्टिवल' कार्यक्रम का शुभारंभ किया। कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए राज्यपाल ने विश्वास व्यक्त किया कि विभिन्न विधाओं के लेखकों, कलाकारों, शिल्पकारों के एक मंच पर आने से समाज एवं राष्ट्र के लिए उपयोगी परिणाम प्राप्त होंगे। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड की पावन धरती वर्षों से लेखकों और कलाकारों को प्रेरणा देती रही है। साहित्य और आध्यात्म यहाँ के कण-कण में विराजमान हैं।
राज्यपाल ने कहा कि साहित्य, संगीत और कला से विहीन मनुष्य साक्षात पशु के समान होता है। साहित्य और कला समाज के दर्पण होते हैं। यह समाज को आत्म अवलोकन करने का अवसर प्रदान करते हैं। आगे बढ़ने का मार्ग दिखाते हैं। राज्यपाल ने कहा कि साहित्य और कला को आमजन के निकट ले जाना जरूरी है। अभिव्यक्ति को सदैव सहज और सरल बनाने का प्रयास किया जाना चाहिए। आज के व्यस्त जीवन में लोग पुस्तकों से दूर हो रहे हैं। विशेष रूप से युवा पीढ़ी में पुस्तकें पढ़ने की आदत कम हो रही है। इस पर ध्यान दिया जाना आवश्यक है। बच्चों की रूचि के अनुरूप साहित्य विकसित करने पर भी विशेष ध्यान देना चाहिए।
पुस्तकों के अनुवाद के महत्व को बताते हुए कहा कि अच्छी रचना भाषा की सीमा में नहीं बांधी जा सकती है। हिन्दी की अच्छी पुस्तकें अंग्रेजी पाठकों को तथा अंग्रेजी की अच्छी पुस्तकें, हिन्दी के पाठकों को भी पढ़नी चाहिए। यह तभी सम्भव है जब पुस्तकों का अनुवाद किया जाए। उन्होंने कहा कि मेरा मानना है कि यदि उस समय मुंशी प्रेमचन्द्र की रचनाओं का अंग्रेजी अनुवाद किया गया होता तो हिन्दी भाषी क्षेत्रों से बाहर निकल कर उनकी ख्याति का प्रसार और अधिक दूर तक होता। उद्घाटन सत्र में संजीव चोपड़ा, रश्मि चोपड़ा, विवेक देबराॅय, लक्ष्मी शंकर बाजपेयी सहित देश के विभिन्न भागो से आये मूर्धन्य साहित्यकार, कलाकार एवं अन्य गणमान्य अतिथि उपस्थित थे। | 2022/05/17 07:40:38 | http://devbhoomilive.com/literature-and-art-festival/ | mC4 |
जी का जंजाल बना है जीका, बचने के लिए अपनाएं ये उपाय!! - Mithila Awaz
Home हेल्थ जी का जंजाल बना है जीका, बचने के लिए अपनाएं ये उपाय!!
जी का जंजाल बना है जीका, बचने के लिए अपनाएं ये उपाय!!
Mithila AawazSep 02, 2016हेल्थ0
जीका वायरस के नाम सुनते ही सब डरने लगे हैं और डरें भी क्यों ना? आखिर ये वायरस है ही इतना खतरनाक कि जो सूनता है डरने लगता है। डेंगू और चिकनगूनिया जैसे ये भी आम बीमारी लगती है, लेकिन ऐसा है नहीं। जीका बहुत ही खतरनाक वायरस है।
ये वायरस दिन के समय सक्रिय रहते हैं। इंसानों में ये मामूली बीमारी के रूप में जाना जाता है, लेकिन चंद रोज बाद इसके लक्षण इतने खतरनाक हो जाते हैं कि आपको मौत के मुंह में धकेल सकते हैं। हालिया एक स्टडी में ये बात सामने आई है, कि एशिया और अफ्रीका में दो अरब लोग इस वायरस के जंजाल से प्रभावित हैं।
भारत भी इस वायरस अछूता नहीं है। शोधकर्ताओं ने बताया है पाकिस्तान, फिलिपिंस, बांग्लादेश में ये वायरस ज्यादा प्रभावित है। कुछ साल पहले इस वायरस के बारे में लोगों को ज्यादा जानकारी नहीं थी। लेकिन साल 2016 के आंकड़े चौंका देने वाले हैं। अफ्रीका और ब्राजील में लोग इससे सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने चेतावनी दी है, कि जीका वायरस विस्फोटक तरीके से बढ़ रहा है।
जीका के लक्षण- पहले हल्का सा बुखार होता है। जीका वायरस मच्छर से फैलता है। यह सीधे नवजात को अपना शिकार बनाता है। इस वायरस से प्रभावित होने वाले बच्चे की सारी जिंदगी विशेष देखभाल करनी पड़ती है। जीका विषाणु से संक्रमित होने पर बुखार, त्वचा पर चकत्ते और आंखों में जलन, मांसपेशी और जोड़ों में दर्द की परेशानी होती है। यह लक्षण आमतौर पर 2 से 7 दिनों तक रहते हैं।
क्या है जीका वायरस का इतिहास- वैसे तो जीका वायरस 1940 में सबसे पहले युगांडा में पाया गया था। लेकिन बाद में यह महामारी की तरह अफ्रीका के कई हिस्सों में फैला गया। अफ्रीका के बाद ये दक्षिण प्रशांत और एशिया के कुछ देशों में भी फैला। कुछ समय पहले यह लातिन अमेरिका पहुंचा और दो तीन-सालों में भारत में आ गया।
किस साल में कहां दिखा ज्यादा असर- सबसे पहले ये वायरस 1940 में युगांडा में पाया गया। फिर 2013 में फ्रांस पहुंचा। 2014 न्यू कैलिडोनिया और पूर्वी ऑस्ट्रेलिया में पाया गया। 2014 अमेरिकी राज्य चिली पहुंचा। 2015 ब्राजील 2400 नए मामले देखे गए। साल 2016 में ब्राजील और भारत में भी इसका असर दिखा। पिछले दिनों सिंगापुर में भी इसके कई मामले सामने आए हैं।
संक्रमण- यह एडीज एजिप्ती मच्छर के काटने से फैलता है। यही मच्छर डेंगू, चिकनगुनिया और पीत ज्वर के लिए जिम्मेदार होता है।
बचने के उपाय- मच्छरों से बचने के लिए पूरे शरीर को ढंक कर रखें और हल्के रंग के कपड़े पहनें। इसके अलावा, कीड़ों से बचाने वाली क्रीम और मच्छरदानी का उपयोग करें। मच्छरों के प्रजनन को रोकने के लिए अपने घर के आसपास गमले, बाल्टी, कूलर आदि में भरा पानी निकाल दें।
चिकित्सा- अब तक इससे बचने के लिए कोई खास टीका नहीं बना है। लेकिन दवाईयों के सहारे, घर में आराम करके और खुश रहकर आप इसका रोकधाम कर सकते हैं।
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OMG! this actor make tattoo on his back of sonam kapoor's name
Home › मनोरंजन › OMG! this actor make tattoo on his back of sonam kapoor's name
BhaskarHindi.com | Last Modified - September 08th, 2017 14:58 IST
डिजिटल डेस्क,मुंबई। यू तो एक्ट्रेस सोनम कपूर के लाखों प्यार करने वाले हैं, लेकिन एक उनके प्यार एक शख्स इस कदर डूब गया है कि उसने सोनम कपूर का नाम अपनी पीठ पर गुदवा लिया। जरा रुकिए इस दीवाने ने सोनम का ही नहीं बल्कि उनकी बहन रिया कपूर का भी नाम अपनी पीठ पर गुदवाया है।
अब आप सोच रहे होंगे कि इतनी हिम्मत आखिर किसमें हो सकती है जो अनिल कपूर की बेटियों का नाम अपनी पीठ पर गुदवाए घुम रहा हैं। जनाब तो जान लीजिए ये कोई और नहीं बल्की अनिल के बेटे हर्षवर्धन कपूर हैं।
सोनम और रिया के भाई एक्टर हर्षवर्धन कपूर ने अपनी पीठ पर दोनों बहनों के नाम का टैटू बनवाया हैं। भई अब आज कल के जमाने में भाईयों का ऐसा प्यार कम ही देखने को मिलता हैं, वो भी तब जब भाई खुद एक्टर हो।
हर्षवर्धन ने ट्विटर पर एक वीडियो शेयर किया है। वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि हर्षवर्धन कितने अच्छे भाई हैं।
हर्षवर्धन ने हाल ही में विक्रमादित्य मोटवानी के निर्देशन में बन रही फिल्म भावेश जोशी की शूटिंग पूरी की है। इस ट्वीट के साथ ही भावेश ने इस फिल्म का प्रमोशन भी कर दिया है। दरअसल, अनिल कपूर के बेटे हर्षवर्धन कपूर ने 'मिर्जिया' फिल्म से बॉलीवुड में डेब्यू किया था। फिल्म में हर्षवर्धन के अभिनय की चर्चा जरूर हुई थी, लेकिन बॉक्स ऑफिस पर ये ज्यादा नहीं चली थी। | 2019/03/23 11:01:14 | https://www.bhaskarhindi.com/news/omg-this-actor-make-tattoo-on-his-back-of-sonam-kapoors-name-11347 | mC4 |
सुरक्षा के बीच चल रही है सलमान खान और कटरीना कैफ की फिल्म 'भारत' की शूटिंग | Laughing Colours Hindi
सुरक्षा के बीच चल रही है सलमान खान और कटरीना कैफ की फिल्म 'भारत' की शूटिंग
बॉलीवुड के दबंग खान इन दिनों अपनी आने वाली फिल्म 'भारत' की शूटिंग में व्यस्त हैं. इस फिल्म में सलमान के साथ कटरीना कैफ, दिशा पाटनी, तब्बू और सुनील ग्रोवर लीड रोल में नजर आने वाले हैं. इस फिल्म के माल्टा शेड्यूल के बाद अब आबू धाबी शेड्यूल की भी शूटिंग पूरी हो चुकी है.
आबू धाबी शेड्यूल की शूटिंग पूरी करने के बाद अब सलमान अपनी को स्टार के साथ मेज़्याद बॉर्डर पर शूटिंग करने के लिए पहुंच चुके हैं. रिपोर्ट्स की मानें तो इस बॉर्डर पर सलमान और कटरीना की सुरक्षा के लिए यूएई आर्मी इन दोनों स्टार्स के साथ तैनात है. बताते चलें ओमान फोर्स का इस जगह पर खासा दबदबा है. जिसकी वजह से यूएई आर्मी को लगा कि सलमान और 'भारत' की टीम को यह फाॅर्स खतरा पैदा कर सकती है. जिसके बाद से उन्होंने इनकी सुरक्षा का फैसला किया है.
यही नहीं सुरक्षा के लिए डोम एजेंसी से ट्रेंड गार्ड भी हायर किए गए हैं जो कि भारत की यूनिट के हर व्यक्ति को सुरक्षा देने का काम कर रहे हैं. 'भारत' फिल्म को अली अब्बास ज़फर डायरेक्ट कर रहे हैं. इससे पहले सलमान और अली अब्बास जफ़र 'सुलतान', 'टाइगर जिंदा है' और 'एक था टाइगर ' जैसी बेहतरीन फिल्में बना चुके हैं.
बात करें 'भारत' फिल्म की तो यह फिल्म अगले साल ईद के मौके पर रिलीज होगी. फिल्म के सेट से अब तक कई फोटोज सोशल साइट्स पर वायरल हो चुके हैं. इस फिल्म में सुनील ग्रोवर सलमान खान के करीबी दोस्त के किरदार में नजर आने वाले हैं. इस फिल्म में आपको सलमान खान के पांच लुक देखने को मिलने वाले हैं. दरअसल सलमान फिल्म में 18 साल के यंग लड़के के किरदार से लेकर 70 साल के बुजूर्ग का रोल अदा करने वाले हैं.
इस फिल्म के अलावा सलमान खान 'बिग बॉस' के 12 वें सीजन को होस्ट कर रहे हैं. खैर फ़िलहाल सलमान के फैन्स को फिल्म 'भारत' का बेसब्री से इंतजार है. फिल्म 'रेस-3' फ्लॉप होने के बाद अब देखना बड़ा ही दिलचस्प होगा कि सलमान की 'भारत' अपने फैंस का दिल जीत पाती हैं या नहीं? | 2020/11/27 11:59:49 | https://hindi.laughingcolours.com/2018/10/18/%E0%A4%B8%E0%A5%81%E0%A4%B0%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%B7%E0%A4%BE-%E0%A4%95%E0%A5%87-%E0%A4%AC%E0%A5%80%E0%A4%9A-%E0%A4%9A%E0%A4%B2-%E0%A4%B0%E0%A4%B9%E0%A5%80-%E0%A4%B9%E0%A5%88-%E0%A4%B8%E0%A4%B2/ | mC4 |
समुद्र की गहराई से लड़ाकू: "ऐश-एम" रहस्यों को उजागर करता है
किसी भी पनडुब्बी का प्रक्षेपण एक घटना है, लेकिन यह घटना एक मील का पत्थर है। "ऐश-एम" एक नए सिद्धांत के अनुसार डिज़ाइन की गई पनडुब्बियों के वर्ग को संदर्भित करता है। पहले, इस रैंक की पनडुब्बियां डबल-पतवार थीं - बाहरी और आंतरिक। यहाँ केवल एक शरीर है। और यह बड़े अभिनव परिवर्तनों का केवल एक छोटा सा हिस्सा है।
स्पीड "लीरा": पनडुब्बी परियोजना 705पनडुब्बी "K" श्रृंखला XIV - "कत्युशा"
Spartanez300 3 दिसंबर 2017 11: 44
धीरे-धीरे एक बेड़े की भरपाई होती है और यह प्रसन्न होता है।
NEXUS 3 दिसंबर 2017 12: 29
ऐश-एम निश्चित रूप से एक अद्भुत बहुउद्देश्यीय कार्यकर्ता है, लेकिन इसकी एक खामी है कि इसके समकक्ष सिवुल्फ ने भी कीमत की है। इसलिए, श्रृंखला छोटी होगी, और फिर हम हस्की की प्रतीक्षा कर रहे हैं, जो वास्तव में धारावाहिक बन जाना चाहिए।
MOSKVITYANIN 3 दिसंबर 2017 20: 28
इसलिए, श्रृंखला छोटी होगी, और फिर हम हस्की की प्रतीक्षा कर रहे हैं, जो वास्तव में धारावाहिक बन जाना चाहिए।
6 PLA एक श्रृंखला नहीं है?
सेवनफुल्स की अट्ठाईस एक्सएनयूएमएक्स-टन पनडुब्बियां लॉस एंजिल्स-श्रेणी के शीत युद्ध युग की पनडुब्बियों को बदलने वाली थीं, लेकिन सीवॉल्फ बहुत महंगे थे। इस प्रकार, केवल तीन नावों का निर्माण किया गया था। शीत युद्ध के लिए डिज़ाइन किया गया, सीवॉल्फ को पचास टॉरपीडो, हार्पून क्रूज मिसाइलों या एंटी-शिप मिसाइलों के साथ आठ 660-mm टारपीडो ट्यूबों के माध्यम से लॉन्च किया गया था।
आपकी राय में स्पष्ट रूप से अमेरिकी पनडुब्बियों को एक बड़ी श्रृंखला में बनाया गया था?
NEXUS 3 दिसंबर 2017 20: 41
मैंने लिखा-SMALL SERIES। एक ही समय में, हमें ऐसे कई बहुउद्देश्यीय श्रमिकों की तुलना में दोगुना चाहिए।
Sivulfs को 3 इकाइयों, प्रत्येक के लिए 4 से अधिक लॉर्ड बनाया गया था। भेड़ियों की उच्च लागत के कारण, उन्होंने बनाने का फैसला किया, इसलिए बोलने के लिए, एक अर्थव्यवस्था विकल्प, वर्जीनिया, जिसमें प्रति यूनिट $ 2 से अधिक लागत है। लेकिन एक ही समय में, संयुक्त राज्य अमेरिका के पास पहले से ही 13 वर्जीनिया है और 30 ऐसी परमाणु पनडुब्बियों की श्रृंखला बनाने की योजना है (यह एक श्रृंखला है)।
यदि हम केवल नए बहुउद्देश्यीय श्रमिकों पर विचार करते हैं, तो गणना दृढ़ता से हमारे पक्ष में नहीं है। इसी समय, ShchUK-B के आधे मरम्मत या आधुनिकीकरण की प्रतीक्षा कर रहे हैं। तो गिन लो।
MOSKVITYANIN 3 दिसंबर 2017 20: 50
NEXUS एक ही समय में, हमें ऐसे कई बहुउद्देश्यीय श्रमिकों की तुलना में दोगुना चाहिए।
कोई बहस नहीं करता। आपको बस विभिन्न प्रकार की पनडुब्बियों से दूर होने की जरूरत है, इसके अलावा आपको न केवल अमेरिकी बल्कि ब्रिटिश और फ्रेंच को भी ध्यान में रखने की आवश्यकता है, लेकिन एसएसबीएन की तरह, हमारी पनडुब्बियों के गश्ती जोन एक ही आईएसएस की तुलना में बहुत कम विविध हैं .... तदनुसार, पकड़ने का कोई मतलब नहीं है। और पीएलए की संख्या से संयुक्त राज्य से आगे निकल .... यह अभी भी पनडुब्बी नहीं है ...
кедр 3 दिसंबर 2017 12: 30
सोवियत संघ ने रूस को परमाणु बेड़े, पनडुब्बी और बर्फबारी के क्षेत्र में विज्ञान और उत्पादन का सबसे शक्तिशाली परिसर छोड़ दिया। मुख्य बात यह है कि लोगों को अपने अद्वितीय ज्ञान और रचनात्मक क्षमताओं के साथ खोना नहीं है, और निश्चित रूप से यूएसएसआर की विरासत को बढ़ाना है। रूस, पूर्ण गति आगे!
निकोलाई ग्रीक 3 दिसंबर 2017 23: 36
मुख्य बात यह नहीं भूलना चाहिए कि यूएसएसआर रूस था !!!
Rudolff 3 दिसंबर 2017 12: 47
यह शायद कज़ान की उपस्थिति का पहला ऐसा विस्तृत शॉट है। परिवर्तन नाटकीय नहीं हैं, लेकिन महत्वपूर्ण हैं।
वदिम झिवोव 3 दिसंबर 2017 13: 17
फिर भी, मैं ऐश और ऐश-एम को तुलना में देखना चाहूंगा। लेकिन यह शायद वास्तविक नहीं है।
Rudolff 3 दिसंबर 2017 14: 20
क्यों, सेवेरोडविंस्क की तस्वीरें और वीडियो पहले से ही काफी हैं, कज़ान के साथ तुलना करना काफी संभव है। लेकिन सबसे स्पष्ट तस्वीर होगी जब आधार की जगह पर साइड स्टैंड होंगे, अर्थात। कुछ वर्षों में।
वदिम झिवोव 3 दिसंबर 2017 15: 57
खैर, एक दो साल रुकिए फिर सब साफ हो जाएगा ।।
Dementor 3 दिसंबर 2017 23: 13
मैं निश्चित रूप से माफी माँगता हूँ कि यहाँ के लोग एक दिलचस्प सा लेख यहाँ एक कड़ी है))), मुझे लगता है कि आप इसे पसंद करेंगे)
व्लादिमीर SHajkin 4 दिसंबर 2017 00: 41
लंबी पैदल यात्रा और लंबे समुद्री जीवन में शुभकामनाएँ।
कोमावप 4 दिसंबर 2017 05: 46
अस्पष्ट ..
वे कहते थे कि सोवियत और रूसी पनडुब्बियों के 2-पतले लेआउट में अमेरिकियों के 1-पतले लेआउट के फायदे हैं (और जिसके साथ मैं मूल रूप से सहमत था)
और फिर अचानक वे 1 वाहिनी का निर्माण करने लगे। और हर्षित विस्मयादिबोधक के साथ - "आधुनिकीकरण !!!"
gregor6549 8 दिसंबर 2017 04: 52
पनडुब्बी के दो-पतले लेआउट का मुख्य नुकसान एकल-पतवार क्रिटिस परगना की तुलना में इसका बढ़ा हुआ शोर है। | 2021/01/22 06:57:00 | https://hi.topwar.ru/131061-istrebitel-iz-morskih-glubin-yasen-m-raskryvaet-sekrety.html | mC4 |
परमेश्वर जो पूर्व से आए - चर्च ऑफ गॉड वर्ल्ड मिशन सोसाइटी भारत
परमेश्वर जो पूर्व से आए
पूर्व से शुरू हुआ उद्धार का कार्य
बाइबल ने उस जगह के बारे में जहां से उद्धारकर्ता आएंगे, भविष्यवाणी की। पुराने नियम में मीका की भविष्यवाणी के अनुसार, पहली बार आने वाले यीशु ने बैतलहम में जन्म लिया(मी 5:2)।
तब, बाइबल कहां भविष्यवाणी करती है जहां दूसरी बार आने वाले यीशु आएंगे? जवाब पाने के लिए, हमें वहां खोजना चाहिए जहां अंतिम उद्धार का कार्य शुरू होता है। सिर्फ तब उद्धार का कार्य किया जा सकता है, जब यीशु दूसरी बार आते हैं(इब्र 9:28, लूक 21:27–28)। अंत के दिनों में जहां उद्धार का कार्य शुरू होता है, वही से दूसरी बार आने वाले मसीह आएंगे।
तब अंत के दिनों में उद्धार का कार्य कहां से शुरू होता है?
प्रक 7:1–3 इसके बाद मैं ने पृथ्वी के चारों कोनों पर चार स्वर्गदूत खड़े देखे। वे पृथ्वी की चारों हवाओं को थामे हुए थे ताकि पृथ्वी या समुद्र या किसी पेड़ पर हवा न चले। फिर मैं ने एक और स्वर्गदूत को जीवते परमेश्वर की मुहर लिए हुए पूरब से ऊपर की ओर आते देखा; उसने उन चारों स्वर्गदूतों से जिन्हें पृथ्वी और समुद्र की हानि करने का अधिकार दिया गया था, ऊंचे शब्द से पुकारकर कहा, "जब तक हम अपने परमेश्वर के दासों के माथे पर मुहर न लगा दें, तब तक पृथ्वी और समुद्र और पेड़ों को हानि न पहुंचाना।"
हवा विपत्ति को दर्शाती है। जैसे चारों हवा दुनिया के चारों ओर चलती है, यह अंतिम विपत्ति है जो दुनिया को नष्ट करेगी। दुनिया पर अंतिम विपत्ति पड़ने से पहले परमेश्वर के मुहर लगाने का कार्य अंतिम उद्धार का कार्य है जो परमेश्वर अपने लोगों को बचाने के लिए करते हैं। कहां से उद्धार का कार्य शुरू होता है? वह पूर्व से होता है। तब, दूसरी बार आने वाले यीशु कहां से आते हैं? वह पूर्व से आते हैं।
दूसरी बार आने वाले मसीह के द्वारा मुहर लगाने का कार्य किया जाता है
बाइबल हमसे कहती है कि प्रकाशितवाक्य अध्याय 7 के मुहर लगाने का कार्य शुरू होने से पहले एक विशेष चिन्ह है।
प्रक 6:12–13 जब उसने छठवीं मुहर खोली, तो मैं ने देखा कि एक बड़ा भूकंप हुआ, और सूर्य कम्बल के समान काला और पूरा चंद्रमा लहू के समान हो गया। आकाश के तारे पृथ्वी पर ऐसे गिर पड़े जैसे बड़ी आंधी से हिलकर अंजीर के पेड़ में से कच्चे फल झड़ते हैं।
परमेश्वर के मुहर लगाने का कार्य शुरू होने से पहले, सूर्य, चंद्रमा और तारों में एक चिन्ह होता है। यह चिन्ह सुसमाचार की पुस्तकों में दूसरी बार आने वाले यीशु के बारे में भविष्यवाणी में भी देखा जाता है।
मत 24:29–30 "उन दिनों के क्लेश के तुरन्त बाद सूर्य अन्धियारा हो जाएगा, और चन्द्रमा का प्रकाश जाता रहेगा, और तारे आकाश से गिर पड़ेंगे और आकाश की शक्तियां हिलाई जाएंगी। तब मनुष्य के पुत्र का चिन्ह आकाश में दिखाई देगा, और तब पृथ्वी के सब कुलों के लोग छाती पीटेंगे; और मनुष्य के पुत्र को बड़ी सामर्थ्य और ऐश्वर्य के साथ आकाश के बादलों पर आते देखेंगे।
इसलिए परमेश्वर के मुहर लगाने का कार्य दूसरी बार आने वाले यीशु के द्वारा किया जाता है। प्रकाशितवाक्य अध्याय 7 अंतिम उद्धार के कार्य के बारे में एक भविष्यवाणी है जिसे दूसरी बार आने वाले यीशु पृथ्वी की चारों हवाओं से दर्शाई गई अंतिम विपत्ति छोड़ी जाने से पहले आकर पूरा करेंगे। तब, वह कार्य कहां से शुरू होता है? वह पूर्व से शुरू होता है। इसलिए दूसरी बार आने वाले यीशु को पूर्व से आना आवश्यक है।
दूसरी बार आने वाले यीशु जो पूर्व से एक मनुष्य के रूप में प्रकट होंगे
परमेश्वर ने कहा कि वह दूर देश से अपनी युक्ति के पूरा करनेवाले पुरुष को बुलाते हैं।
यश 41:2–4 किसने पूर्व दिशा से एक को उभारा है, जिसे वह धर्म के साथ अपने पांव के पास बुलाता है? वह जातियों को उसके वश में कर देता और उसको राजाओं पर अधिकारी ठहराता है; वह अपनी तलवार से उन्हें धूल के समान, और अपने धनुष से उड़ाए हुए भूसे के समान कर देता है। वह उन्हें खदेड़ता और ऐसे मार्ग से, जिस पर वह कभी न चला था, बिना रोक टोक आगे बढ़ता है। किसने यह काम किया है और आदि से पीढ़ियों को बुलाता आया है? मैं यहोवा, जो सब से पहला, और अन्त के समय रहूंगा; मैं वही हूं।
परमेश्वर कहां से उद्धारकर्ता को उभारते हैं? पूर्व से। पहली बार आने वाले यीशु इस्राएल से आए, न कि पूर्व से। इसलिए पूर्व से उभारा हुआ उद्धारकर्ता दूसरी बार आने वाले यीशु है।
यश 41:17–18 जब दीन और दरिद्र लोग जल ढूंढ़ने पर भी न पायें और उनका तालू प्यास के मारे सूख जाये; मैं यहोवा उनकी विनती सुनूंगा, मैं इस्राएल का परमेश्वर उनको त्याग न दूंगा। मैं मुण्डे टीलों से भी नदियां और मैदानों के बीच में सोते बहाऊंगा; मैं जंगल को ताल और निर्जल देश को सोते ही सोते कर दूंगा।
परमेश्वर ने कहा कि जब पूर्व से एक व्यक्ति प्रकट होता है, तब मुण्डे टीलों से नदियां और मैदानों के बीच में सोते बहेंगे और निर्जल देश सोते ही सोते बन जाएंगे। केवल कौन इसे संभव बना सकता है? वह केवल जीवन का जल का स्रोत, परमेश्वर हैं जो शरीर धरकर मसीह के रूप में आते हैं(यश 35:4–6; मत 11:2–5)।
पूर्व में दूर देश कोरिया
पूर्व में दूर देश कहां है जहां दूसरी बार आने वाले यीशु आएंगे? क्योंकि पृथ्वी गोल है, दिशा को बताने के लिए एक मानक होना चाहिए।
पहले, वह पूर्व में दूर देश होना चाहिए जहां से नबी ने प्रकाशन देखा। अत: हमें पतमुस और इस्राएल से पूर्व में देश को खोजना चाहिए। यदि आप दुनिया के नक्शे में उसको ढूंढ़ें, तब आपको कोरिया मिलेगा।
दूसरा, बाइबल में भविष्यवाणी किया हुआ पूर्व वह जगह होना चाहिए जहां प्रकाशितवाक्य अध्याय 7 की भविष्यवाणी के अनुसार परमेश्वर के मुहर लगाने का कार्य शुरू होता है। परमेश्वर की मुहर क्या है? वह नई वाचा का फसह है जिसके द्वारा हम अंतिम विपत्ति से बच सकते हैं। यहां पर पूर्व कोरिया है। फसह का सत्य कहां से प्रकट हुआ है? क्या वह भारत या चीन या जापान से प्रकट हुआ? नहीं। इसी वजह से बाइबल में भविष्यवाणी किया गया पूर्व देश कोरिया है।
इस भविष्यवाणी के अनुसार, दूर देश कोरिया से किसने आकर हमें उद्धार दिया? वह मसीह आन सांग होंग जी हैं। इसलिए आइए हम मसीह आन सांग होंग जी को ग्रहण करें और उद्धार पाएं। | 2021/04/18 07:43:35 | https://indiawmscog.org/hi/%E0%A4%B5%E0%A4%BF%E0%A4%B6%E0%A5%8D%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%B8/%E0%A4%AE%E0%A4%B8%E0%A5%80%E0%A4%B9-%E0%A4%86%E0%A4%A8-%E0%A4%B8%E0%A4%BE%E0%A4%82%E0%A4%97-%E0%A4%B9%E0%A5%8B%E0%A4%82%E0%A4%97/%E0%A4%AA%E0%A4%B0%E0%A4%AE%E0%A5%87%E0%A4%B6%E0%A5%8D%E0%A4%B5%E0%A4%B0-%E0%A4%9C%E0%A5%8B-%E0%A4%AA%E0%A5%82%E0%A4%B0%E0%A5%8D%E0%A4%B5-%E0%A4%B8%E0%A5%87-%E0%A4%86%E0%A4%8F/ | mC4 |
बीबीसी Archives - छत्तीसगढ़ बास्केट
By Lakhan Singh August 9, 2019 August 9, 2019
रेहान फ़ज़ल बीबीसी संवाददाता. 1945 आते आते एक आम जापानी की ज़िंदगी बहुत मुश्किल हो चुकी थी दुकानों में अंडे, दूध, चाय और कॉफ़ी पूरी तरह से ग़ायब हो चुके थे. स्कूलों के मैदानों और घरों के बगीचों में सब्ज़ियाँ उगाई जा रही थीं. पेट्रोल भी आम लोगों की पहुंच Continue Reading
भार्गव परीख और पार्थ पांड्याबीबीसी गुजराती, अमीरगढ़ और पालनपुर से लौटकर . "हमें सरकार पर भरोसा नहीं है, इसलिए हम खुद से कुंआ खोद रहे हैं, पीने के लिए पानी नहीं है." ये कहना है सेमाभाई का, इनके मक्के की फसल पूरी तरह सूख गई है. सेमाभाई के पास दो Continue Reading
आंदोलन / दलित / महिला सम्बन्धी मुद्दे / मानव अधिकार
सुधारक ओल्वेडॉक्यूमेंट्री फ़ोटोग्राफ़ 18 अगस्त 2015 इमेज कॉपीरइटOTHER ये कहानी है उन हज़ारों लोगों की, जो शहर भर की गंदगी साफ़ करते हैं. इनमें से कुछ लोग तो जान जोखिम में डालकर ज़हरीली गैस से भरे चैंबरों में घुस कर सफ़ाई करते हैं. सिर्फ़ मुंबई शहर की बात करें तो Continue Reading
By CG Basket January 31, 2018
30.01.2018 मोहनदास करमचंद गांधी की हत्या की साज़िश में शामिल लोगों की पहचान को लेकर पिछले दो-तीन सालों से लगातार भ्रम फैलाने की कोशिश की जा रही है. सुप्रीम कोर्ट ने भी अक्टूबर 2017 में गांधी की हत्या की जांच फिर से शुरू करने को लेकर दायर की गई याचिका Continue Reading
By CG Basket December 30, 2017
29 दिसंबर 2017 तीन तलाक़ पर होने वाली टीवी की सभी पुरानी बहसें निकाल कर देखिए. मुस्लिम महिलाएं तीन तलाक़ को ग़ैर-क़ुरानी, 'तलाक़-उल बिद्दत' और गुनाह बता कर "प्रतिबंधित" या बैन करने की मांग करती रही हैं. उन्हीं बहसों में मौलाना तीन तलाक को बिद्दत बता कर उस को गुनाह, Continue Reading
By CG Basket October 3, 2017
3.10.2017 ** रायगढ़ जिले में मानव तस्करी और विस्थापन पर बीबीसी की टीम बनाखेता ,कोंडकोल ,तमनार फ़िल्मांकन करने गई है,टीम के सहयोगी डिग्री प्रासाद चौहान ने बताया कि हिन्डाल्को कम्पनी के अधिकारियों ने टीम को घेर लिया ,काफी बहस के हमे जाने दिया गया .बहुत दूर तक कम्पनी के लोगों Continue Reading
फैक्ट फाइंडिंग रिपोर्ट्स / राजनीति
जब भारतीय सैनिकों ने सिक्किम के चोग्याल के महल को घेरा रेहान फ़ज़लबीबीसी संवाददाता 15 जुलाई 2017 इस पोस्ट को शेयर करें Facebook इस पोस्ट को शेयर करें Twitter साझा कीजिए इमेज कॉपीरइटLOC.IN छह अप्रैल, 1975 की सुबह सिक्किम के चोग्याल को अपने राजमहल के गेट के बाहर भारतीय सैनिकों Continue Reading | 2019/08/21 12:02:34 | http://cgbasket.in/?tag=%E0%A4%AC%E0%A5%80%E0%A4%AC%E0%A5%80%E0%A4%B8%E0%A5%80 | mC4 |
चला आया बंदूक का लाईसेंस लेने...फरियादी की शिकायत पर मुख्यमंत्री के तेवर तल्ख
06-Sep-2021 11:52 AM
PATNA: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का जनता दरबार शुरू है। सितंबर महीने के पहले सोमवार को सीएम नीतीश गृह विभाग, राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग, मद्य निषेध उत्पाद एवं निबंधन विभाग, निगरानी, खान भूतत्व और सामान्य प्रशासन विभाग से जुड़ी शिकायतों को सुन रहे हैं। सबसे अधिक मामले भूमि और पुलिस के आ रहे हैं। समस्तीपुर की एक लड़की ने एसटीएफ के डीएसपी पर सनसनीखेज आरोप लगाई। एक फरियादी ने सीएम नीतीश से कहा कि बंदूक के लाईसेंस को लेकर 2015 से चक्कर लगा रहे। दौड़ते-दौड़ते थक गये लेकिन बंदूक का हथियार नहीं मिला। | 2021/10/25 05:07:56 | https://news4nation.com/news/came-to-get-gun-license-chief-minister-s-stance-on-complainant-s-complaint-593751 | mC4 |
7th pay commission:जल्द बढ़ सकती है 50 लाख कर्मचारियों की सैलरी, पेंशन में होगा बढ़ा इजाफा 7th pay commission: 50 lakh employees may increase Salary soon, pension will increase जल्द बढ़ सकती है 50 लाख कर्मचारियों की सैलरी, पेंशन में होगा बढ़ा इजाफा
Published on: November 28, 2020 2:32 PM
7th pay commission: जल्द ही सरकार केंन्द्रीय कर्मचारियों को एक बड़ी खुशखबरी दे सकती है. बताया जा रहा है कि सरकार सातवें वेतन आयोग (7th pay commission) की सिफारिशों के तहत कर्मचारियों की सैलरी में बढ़ोतरी कर सकती है.
नई दिल्ली : लंबे समय के बाद केंन्द्रीय कर्मचारियों का इंतजार खत्म होने वाला है. बताया जा रहा है कि सरकार जल्द ही सातवें वेतन आयोग (7th pay commission) पर बड़ा फैसला दे सकती है. ये फैसला अगली साल जून में दिया जाएगा, जिसके तहत केंद्रीय कर्मचारियों के महंगाई भत्ते (DA) में चार फीसदी का इजाफा हो सकता है. बता दें कि यदि महंगाई भत्ते में चार फीसदी की बढ़ोतरी हुई तो, करीब 50 लाख केंद्रीय कर्मचारियों और 61 लाख पेंशनर्स को सीधे तौर पर फायदा पहुंचेगा.
जून 2021 में बढ़ सकता है सातवां वेतन आयोग
सातवें वेतन आयोग में बढ़ोतरी की अटकले इसी साल मार्च से लगी हुई थी. लेकिन कोरोना वायरस महामारी के चलते इसे जून 2021 तक के लिए रोक दिया गया. जिसके चलते वर्तमान में लगभग 50 लाख केंद्र सरकार के कर्मचारी और 61 लाख पेंशनभोगी प्रभावित हुई, हालांकि अभी कर्मचारियों को पिछली दर के हिसाब से 17 फीसदी डीए का भुगतान किया जा रहा है. जो अब सातवें वेतन आयोग के तहत 21 फीसदी हो जाएगी.
इससे पहले भी कई बार सुनने को मिला है कि सरकार जून से पहले सातवें वेतन आयोग में इजाफा कर सकती है, लेकिन अब ये बात साफ है कि जून 2021 से पहले सरकार महंगाई भत्ते (DA) में इजाफा नहीं करेगी.
बता दें कि महंगाई भत्ता साल में दो बार बढ़ाया जाता है लेकिन इस साल बढ़ोतरी पर रोक लगा दी गई, न सिर्फ 2020 बल्कि जनवरी 2021 में होने वाली बढ़ोतरी पर भी प्रतिबंद लगा दिया गया. लेकिन, महंगाई भत्ते (DA) में इजाफा न होने के कारण 30 लाख से ज्यादा कर्मचारियों को दिवाली बोनस दिया गया था, इसके अलावा पेंशनर्स को भी सरकार ने खुश किया था. वहीं इस साल कर्मचारियों को एलटीए और एलटीसी पर भी फायदा दिया गया है. | 2021/01/20 16:35:33 | https://www.inkhabar.com/job-and-education/7th-pay-commission-50-lakh-employees-may-increase-salary-soon-pension-will-increase/amp | mC4 |
PNB, ED के बाद CBI को भी नीरव मोदी का जांच में सहयोग देने से इंकार - Kohram Hindi News
Home राष्ट्रीय PNB, ED के बाद CBI को भी नीरव मोदी का जांच में...
PNB, ED के बाद CBI को भी नीरव मोदी का जांच में सहयोग देने से इंकार
March 1, 2018 6:19 pm Published by:-Hindi News
पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) के कर्ज के तौर पर तकरीबन 12 हज़ार करोड़ रुपये लेकर देश से फरार हुए हीरा कारोबारी नीरव मोदी ने सीबीआई जांच में सहयोग करने से साफ़ इनकार कर दिया है.
दरअसल, कथित घोटाले को लेकर सीबीआई ने नीरव मोदी को जाँच के लिए पेश होने को कहा था. नीरव मोदी ने अपनी कामकाजी व्यस्तता का हवाला देने हुए सीबीआई के समक्ष पेश होने में असमर्थता जताई है. इसके बाद अब एजेंसी ने मोदी को अधिक कड़ा पत्र जारी कर अगले सप्ताह उसके समक्ष पेश होने को कहा है.
ध्यान रहे इससे पहले नीरव मोदी इस तरह से पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) और प्रवर्तन निर्देशालय (ईडी) को भी मना कर चूका है. साथ ही वह कर्ज की रकम लौटाने से भी मना कर चूका है.
साथ ही अब नीरव मोदी और मेहुल चोकसी के खिलाफ ब्यूरो ऑफ इमिग्रेशन ने लुकआउट नोटिस जारी कर दिया गया है. साथ ही नीरव की चार और संपत्ति को भी जब्त कर लिया गया है. सीबीआई ने इस मामले में पीएनबी के आंतरिक मुख्य आॅडिटर एमके शर्मा को गिरफ्तार किया है.
वहीँ प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गीतांजलि जेम्स और इसके प्रवर्तक मेहुल चौकसी की 41 संपत्तियों को कुर्क किया है जिनकी कीमत 1,200 करोड़ रुपये से अधिक है. निदेशालय ने इस मामले में धन शोधन (मनी लॉन्ड्रिंग) रोकथाम अधिनियम के तहत संपत्तियों की कुर्की के अस्थायी आदेश दिए हैं. | 2019/03/21 18:37:20 | https://kohraam.com/national/neerav-refuses-to-cooperate-in-probe-of-cbi-129665.html/ | mC4 |
अभिनेत्री ऐश्वर्या राजेश (Aishwarya Rajesh) को कब करना पड़ा था रंग भेद का सामना
Home Entertainment तमिल अभिनेत्री ऐश्वर्या राजेश (Aishwarya Rajesh) को कब करना पड़ा था रंग...
आए दिन बॉलीवुड में राज खुलते रहते हैं. फिलहाल तमिल अभिनेत्री ऐश्वर्या राजेश (Aishwarya Rajesh) ने अपनी फिल्मी यात्रा की एक बेहद शर्मनाक पक्ष से पर्दा उठाया है. जाहीर है फिल्म इंडस्ट्री में कैरियर बनाना मुश्किलों से भरा होता है. उन मुश्किलों का डटकर मुक़ाबला करने वाले ही आगे तक जा पाते हैं.
क्या है Aishwarya Rajesh का खुलासा?
आम तौर पर ऐसा होता है कि सबके जीवन में कुछ न कुछ राज की बातें होतीं हैं. अपनी फिल्म के प्रमोशन के दौरान उन्होंने कुछ ऐसी बात कही जिससे शर्मिंदगी होती है. उन्होंने कहा कि जब वो रिऐलिटी शो में भाग लेना शुरू कर रहीं थी तो कई लोगों ने उन्हें हतोत्साहित किया. लोगों ने उन्हें कहा कि वो कभी अभिनेत्री नहीं बन सकेंगी. लोगों ने कहा कि उनका रंग सांवला है और एक अभिनेत्री के लिए जो आवश्यक चीजें हैं वो उनके पास नहीं है.
इस विषय में उन्होंने खुलकर बात करते हुए कहा कि दक्षिण भारतीय फिल्म इंडस्ट्री गोरे रंग के लोगों के प्रति बहुत ज्यादा जुनूनी है. टीवी में काम करने के बाद छोटे बजट की उनकी फिल्में फ्लॉप हो गईं. लोग उनके साँवले रंग को स्वीकार करने के लिए तैयार नहीं थे. उनकी फिल्म 'काका मुतई' से लोगों ने उन्हें स्वीकार करना शुरू किया. उसके बाद से ही लोगों ने उनके रंग के बजाय उनके काम को प्राथमिकता देना शुरू किया. उन्होंने खुलकर कहा कि साँवले रंग के हीरो तो लोग पसंद कर लेते हैं लेकिन लोग हीरोइन गोरी ही चाहते हैं.
आ रही है उनकी फिल्म 'डैडी'
तमिल अभिनेत्री ऐश्वर्या राजेश फिल्म 'डैडी' से बॉलीवुड में डेब्यू कर रही हैं. ये फिल्म वह डॉन अरुण गवली की जिंदगी पर आधारित है. इस बायॉपिक में उनके अपॉजिट अर्जुन रामपाल दिखाई देंगे. आपके बता दें कि इनकी ये फिल्म 8 सितंबर को रिलीज़ होगी. उन्हें उम्मीद है कि उनकी डेब्यू फिल्म को दर्शकों का प्यार मिलेगा. | 2018/06/24 00:59:38 | http://www.exgag.com/aishwarya-rajesh-faces-discrimination/ | mC4 |
sensex: मिडकैप, स्मॉलकैप की समस्या का अंत नहीं, चुनिंदा शेयरों में करें खरीदारी | ET Hindi
ईटी हिंदी›मार्केट›शेयर बाजार›मिडकैप, स्मॉलकैप की समस्या का अंत नहीं, चुनिंदा शेयरों में करें खरीदारी
Feb 16, 2019, 07.41 PM IST
म्यूचुअल फंडों के दोबारा वर्गीकरण के सेबी के आदेश के बाद मिडकैप और स्मॉलकैप शेयरों में गिरावट आई है
डी के अग्रवाल
पिछले कुछ महीनों में शेयर बाजार ऊंचाई के अपने स्तर से काफी गिर चुका है. इसके लिए घरेलू और विदेशी कारण जिम्मेदार हैं. कारोबार के मोर्चे पर अनिश्चितता बरकरार है. वैश्विक ग्रोथ सुस्त पड़ने की आंशका बढ़ी है. अमेरिका में फेडरल रिजर्व का रुख साफ नहीं है.
अमेरिका बॉन्ड यील्ड बढ़ने और डॉलर में मजबूती से भारत सहति उभरते बाजारों में बिकवाली देखने को मिली है. 2018 में मिडकैप और स्मॉलकैप शेयरों में दहाई अंक में (फीसदी में) गिरावट देखने को मिली है. 2019 में भी यह सिलसिला जारी है. म्यूचुअल फंडों के दोबारा वर्गीकरण के सेबी के आदेश के बाद मिडकैप और स्मॉलकैप शेयरों में गिरावट आई है.
पिछले करीब 5 साल की तेजी के दौरान कुछ खास मिडकैप और स्मॉलकैप शेयरों की वैल्यूएशन काफी बढ़ गई थी. असल में फंडों की खरीदारी से वैल्यूएशन अव्यावहारिक स्तर पर पहुंच गए थे.
कुछ कंपनियों में कॉर्पोरेट गवर्नेंस का भी मसला रहा है. कुछ कंपनियों के ऑडिटर के इस्तीफा देने का असर भी निवेशकों के सेंटिमेंट पर पड़ा है. लोकसभा चुनावों, वैश्विक स्तर पर तनाव, रुपये में कमजोरी, क्रूड की बढ़ती कीमतों, करेंट अकाउंट घाटे में वृद्धि और एनबीएफसी शेयरों की पिटाई के चलते मिडकैप और स्मॉलकैप शेयरों में निवेशकों का भरोसा डगमगा गया है.
म्यूचुअल फंड की मिडकैप स्कीमों में पहले काफी निवेश देखने को मिला था. अब निवेशक उनसे अपना पैसा निकाल रहे हैं. हालांकि, आरबीआई की क्रेडिट पॉलिसी और अंतरिम बजट से बाजार को सहारा मिला है. बजट में ग्रामीण इलाकों में रहने वाले लोगों और मध्यम वर्ग के लिए काफी अच्छी बाते शामिल थीं. सरकार ने खर्च करने योग्य आय में इजाफा के लिए ये कदम उठाए हैं.
बुनियादी आर्थिक स्थितियां अनुकूल नहीं होने से निवेशकों ने बाजार में निवेश घटाया है, जबकि कुछ निवेशक सुरक्षित माने जाने वाले खासकर लार्जकैप शेयरों में निवेश कर रहे हैं. अच्छी क्षमता और कीमत निर्धारण की ताकत रखने वाली लार्जकैप कंपनियां अच्छा प्रदर्शन कर रही हैं.
आगे चुनावों तक बाजार में अस्थिरता बने रहने के आसार हैं. इस बीच अमेरिका और चीन के बीच ट्रेड वॉर को लेकर चल रही बातचीत पर निवेशकों की नजरें होंगी. हालांकि, हालिया गिरावट के बाद मिडकैप शेयरों की कीमतें कुछ नीचे आई हैं, लेकिन अच्छी क्वालिटी के शेयरों में निवेश करना समझदारी होगी.
निवेशकों को निवेश की अपनी रणनीति और पोर्टफोलियो में शामिल शेयरों की समीक्षा करनी चाहिए. उन्हें बहुत चुनिंदा नजरिया रखने की जरूरत है. इस बीच कारोबार के परिदृश्य, मैनेजमेंट की क्वलिटी, कंपनी की मुनाफा बनाने की क्षमता और अंत में वैल्यूएशन पर नजर रखनी होगी. | 2019/06/26 00:36:26 | https://economictimes.indiatimes.com/hindi/there-is-no-end-to-problem-of-midcap-smallcap-buy-good-quality-shares/articleshow/68025941.cms?from=mdr | mC4 |
VIDEO: दो सांड़ों की भीषण लड़ाई में फंसा बच्चा, हालत नाजुक VIDEO Boy comes between bullfight in Lakhimpur Kheri
उत्तर प्रदेश में छुट्टा जानवर लोगों की जान के दुश्मन बनते जा रहे हैं. इसी का नजारा लखीमपुर खीरी जिले में देखने को मिला.
Last Updated: March 16, 2018, 3:56 PM IST
यूपी के लखीमपुर खीरी जिले में दो सांड़ों की भीषण लड़ाई की चपेट में आने से एक बच्चा गंभीर रूप से घायल हो गया. बच्चे को अस्पताल में भर्ती करवाया गया है, जहां उसकी हालत नाजुक बनी हुई है. सांड़ों की लड़ाई का यह वीडियो सोशल मीडिया पर भी वायरल है.
दरअसल उत्तर प्रदेश में योगी सरकार बनने के बाद से अवैध बूचड़खानों पर प्रतिबंध लगने के बाद से छुट्टा जानवर लोगों की जान के दुश्मन बनते जा रहे हैं. इसी का नजारा लखीमपुर खीरी जिले में देखने को मिला. पसगवां थाना क्षेत्र के बनका गांव में दो आवारा सांड आपस में लड़ने लगे. सांड़ों की इस रोमांचक लड़ाई को देखने के लिए भीड़ भी जमा हो गई. लड़ते-लड़ते दोनों सांडों ने पहले उपलों के ढेर को उजाड़ दिया. फिर लड़ते-लड़ते दोनों तेजी से सड़क पर आ गए.
इस बीच सड़क के किनारे सांड़ों की लड़ाई देख रहा नौ साल का मेहताब उनकी चपेट में आ गया. दोनों सांड मेहताब को रौंदते हुए निकल गए. मेहताब के सिर, हाथ और पैरों में गंभीर चोटें आईं हैं.
मौके पर मौजूद लोगों ने घायल मेहताब को इलाज के लिए निजी डॉक्टर के यहां पहुंचाया. ये दोनों सांड करीब आधे घंटे तक आपस मे लड़ते रहे. मौके पर मौजूद वीडियो बनाने वाले अनवर ने बताया कि बच्चा गम्भीर रूप से घायल है, जिसका इलाज अस्पताल में चल रहा है. | 2021/04/22 17:38:41 | https://hindi.news18.com/news/uttar-pradesh/lakhimpur-kheri-uttar-pradesh-lakhimpur-kheri-bull-fight-video-boy-injured-1305521.html | mC4 |
और यदि हम इसके सुधार पर काम करेंगे, बुरा आदानों की को फ़िल्टर और उदाहरण के लिए सफल लेन-देन का प्रतिशत ऊपर ले% 70 के लिए, हम पहले से ही 519 डॉलर के मुनाफे में पिछले से अधिक मिल जाएगा महीने यह एक बुरा आंकड़ा नहीं है, अगर हम अपने व्यापार पूंजी में वृद्धि, लेकिन जोखिम बने हुए हैं ही, और इस तरह, $ 1000 (पूरी तरह से nezaoblachnaya राशि) की जमा राशि बनाने के लिए और 5% की अधिकतम जोखिम के साथ व्यापार करेंगे, तो महीने के अंत में हमारे लाभ 2599 डॉलर हो जाएगा। जैसा कि आप देख सकते हैं, कोई नुकसान या हानि नहीं है। यदि आप व्यापार के विकल्प में रुचि रखते हैं, तो ट्रेडपो अकादमी में आपके लिए कई अलग-अलग पाठ्यक्रम और सेवाएं उपलब्ध हैं। विकल्प आमतौर पर दिन के कारोबार नहीं होते हैं, हालांकि, रणनीतियों के आधार पर आप सीखेंगे कि आप दोनों दिन के व्यापार और स्विंग ट्रेडिंग के लिए, अल्पकालिक विकल्प व्यापार कर सकते हैं।
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दिल्लीः करोल बाग अग्निकांड के बाद आपस में उलझे NDMC और दिल्ली सरकार - The Political India
by Editor ThePoliticalIndia February 13, 2019 0257
दिल्ली के करोलबाग के एक होटल में हुई अग्निकांड के बाद उत्तरी दिल्ली नगर निगम और दिल्ली सरकार के बीच तनातनी बन गई है. नगर निगम ने हादसे के लिए सरकार को जिम्मेदार ठहराया है. वहीं, दिल्ली में सत्तारुढ़ आम आदमी पार्टी ने उत्तरी दिल्ली नगर निगम के मेयर से इस्तीफा मांगा है.
दिल्ली के करोलबाग के होटल में हुए भीषण अग्निकांड के बाद सवालों के घेरे में आए मेयर ने दिल्ली सरकार पर हमला बोला है. उत्तरी दिल्ली नगर निगम (NDMC)के मेयर आदेश गुप्ता ने कहा कि प्रथम दृष्ट्या गलती दिल्ली सरकार के फायर विभाग की लग रही है. फायर विभाग ने बगैर जांच के होटल को फायर की एनओसी क्यों और कैसे दे दी, इसकी जांच होनी चाहिए.
मेयर आदेश गुप्ता ने कहा कि बिल्डिंग डिपार्टमेंट के अधिकारियों को इस बारे में चेता दिया गया है कि आसपास के तमाम रिहायशी इलाकों में इस तरीके का सर्वे किया जाए कि कहां-कहां व्यवसायिक गतिविधियां चल रही हैं और उनकी स्थिति कितनी खतरनाक स्तर तक है. दिल्ली के करोल बाग स्थित अर्पित पैलेस होटल में मंगलवार को शॉर्ट सर्किट से लगी आग से 17 लोगों की मौत हो गई है, इनमें कई महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं. हादसे के बाद होटल के जनरल मैनेजर राजेंद्र और मैनेजर विकास को गिरफ्तार कर लिया गया है.
एमसीडी सूत्रों के अनुसार दिल्ली के मास्टर प्लान के अनुसार का करोल बाग इलाका दिल्ली के वाल्ड सिटी (walled city) के अंदर आता है ऐसे में यहां पर जितनी भी बिल्डिंग 2007 के पहले बनी हुई है उन्हें छूट दी गई है यानी उन बिल्डिंग में किसी भी तरह की नगर निगम तोड़फोड़ या कार्रवाई नहीं कर सकता है भले ही कितना उल्लंघन किया गया हो.
दरअसल, 1983 के दिल्ली म्युनिसिपल एक्ट के स्पेशल प्रोटेक्शन के तहत दिल्ली के कई इलाके जो कि बेहद पुराने हैं उन्हें इस तरीके की छूट मिली हुई है कि नगर निगम उन इमारतों पर किसी भी तरह की कार्रवाई नहीं कर सकता है. यही वजह है कि नगर निगम ने इस होटल और इसकी वजह से कई होटलों पर किसी भी तरह की कार्रवाई करने से असमर्थता जता दी है.
करोलबाग हादसे के बाद उत्तरी दिल्ली नगर निगम की कमिश्नर वर्षा जोशी ने केशवपुरम जोन की डिप्टी कमिश्नर इरा सिंघल के निर्देशन में जांच समिति बना दी है. कमिश्नर का कहना है कि इस समिति को जांच के लिए 3 दिन दिए गए हैं और शुक्रवार शाम 5 बजे यह जांच समिति अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत कर देगी. इसके साथ ही कमिश्नर ने सभी अधिकारियों को जांच में सहयोग करने का निर्देश दिया है. कमिश्नर का कहना है कि जाच रिपोर्ट के बाद जो भी अफसर दोषी पाया जाएगा, उस पर सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी.
उत्तरी दिल्ली नगर निगम में नेता विपक्ष और आम आदमी पार्टी (आप) के नेता अनिल लाकड़ा ने इस घटना के बाद मेयर आदेश गुप्ता का इस्तीफा मांग लिया है. अनिल लाकड़ा का कहना है कि जब से आदेश गुप्ता ने कुर्सी संभाली है, उत्तरी दिल्ली नगर निगम में एक के बाद एक हादसे हो रहे हैं, और इन हादसों में लोगों की जानें भी जा रही हैं, लेकिन नगर निगम के मेयर को जरा भी फर्क पड़ता हुआ नहीं दिख रहा है. उन्होंने कहा कि इसी के साथ जिम्मेदार अधिकारियों पर भी कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जानी चाहिए. | 2020/07/03 12:51:46 | https://hindi.thepoliticalindia.com/%E0%A4%A6%E0%A4%BF%E0%A4%B2%E0%A5%8D%E0%A4%B2%E0%A5%80%E0%A4%83-%E0%A4%95%E0%A4%B0%E0%A5%8B%E0%A4%B2-%E0%A4%AC%E0%A4%BE%E0%A4%97-%E0%A4%85%E0%A4%97%E0%A5%8D%E0%A4%A8%E0%A4%BF%E0%A4%95%E0%A4%BE/ | mC4 |
राशन बांटने के नाम पर डिपो संचालक ने की धोखाधडी, पढिए कैसे किया खुलासा. | Voice Of Panipat
by Voice of Panipat September 9, 2021 September 9, 2021 0815
वायस ऑफ पानीपत(देवेंद्र शर्मा)- सिरसा में खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के उपनिरीक्षक की शिकायत पर डिंग थाना पुलिस ने गांव कोटली के राशन डिपो संचालक मुलखराज के खिलाफ धोखाधड़ी करने का मामला दर्ज किया है। डिपो संचालक पर आरोप है कि उसने मृतक व जीवित व्यक्तियों का राशन खुद बुर्द कर दिया। डिपो धारक ने पीएएस मशीन के माध्यम से स्वयं नोमिनी बन कर राशन खुर्द बुर्द किया। डिंग थाना पुलिस ने खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के उपनिरीक्षक रमेश कुमार की शिकायत पर मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
पुलिस को दी शिकायत में उपनिरीक्षक रमेश कुमार ने बताया कि आरोपित मुलखराज ने गांव कोटली निवासी मृतक देवी, कर्मचंद, रूकमा देवी, बनवारी लाल के नाम से 2.95 क्विंटल गेहूं, 10 किलो चीनी, आठ किलो नमक व 20 किलो सरसों के तेल का गबन किया। वहीं उसने गांव कोटली के ही जीवित व्यक्तियों जिनमें परमेश्वरी देवी, नेतराम, माया देवी, सुरजमुखी के नाम से 2.72 क्विंटल गेहूं, पांच किलो गेहूं, दो किलो नमक व 10 किलो सरसों के तेल का गबन कर लिया। आरोपित ने कुल 5.67 क्विंटल गेहूं, 15 किलो चीनी, 10 किलो नमक व 30 लीटर सरसों के तेल का गबन किया। आरोपित के खिलाफ सरकारी राशन खुर्द बुर्द व गबन करने के लिए धोखाधड़ी, पीडीएस कंट्रोल आर्डर 2009, खाद्य सुरक्षा अधिनियम 2013 के तहत अभियोग दर्ज किया गया है। मामले की जांच पीएसआइ संदीप कुमार कर रहे हैं।
वहीं कालांवाली थाना पुलिस ने वार्ड आठ निवासी दिनेश जैन द्वारा मई माह में सीएम विंडो पर दी शिकायत पर कार्रवाई करते हुए मृत व्यक्ति का राशन हड़पने के मामले में डिपो होल्डर पवन जिंदल के खिलाफ मामला दर्ज किया है तथा उसका डिपो रद कर दिया है। आरोप है कि वार्ड आठ निवासी तरसेम कुमार की दिसंबर 2019 में मौत हो गई थी। महामारी के चलते किए गए लाकडाउन में मार्च 2020 से मई 2020 तक डिपू होल्डरों को ही डीलर नोमनी बनाकर राशन वितरित किया गया था। सबंधित डिपू होल्डर ने मृतक तरसेम कुमार का उक्त तीन माह का राशन निकाल कर गबन किया था। | 2022/01/28 05:09:32 | https://voiceofpanipat.com/big-breaking-news/in-the-name-of-distributing-ration-the-depot-operator-cheated-read-how-it-was-disclosed/ | mC4 |
आजम खान को लगा झटका, लखनऊ खंडपीठ ने खारिज की अग्रिम जमानत याचिका | Lucknow bench rejects MP Azam Khan anticipatory bail plea - Hindi Oneindia
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| Updated: Saturday, June 12, 2021, 13:37 [IST]
लखनऊ, जून 12: समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता व रामपुर से सांसद आजम खान की मुश्किलें कम होती नजर नहीं आ रही हैं। यूपी जल निगम में इजीनियर, क्लर्क और स्टेनोग्राफर के 1300 पदों पर भर्ती मामले में आजम खान को बड़ा झटका लगा है। हाईकोर्ट की लखनऊ खंडपीठ ने शुक्रवार को उनकी अग्रिम जमानत देने से इनकार करते हुए उनकी अर्जी को खारिज कर दिया है। आपको बता दें कि यह भर्ती उस वक्त हुई थी जब आजम खान शहरी विकास मंत्री थे।
Azam Khan को लगा झटका, Court ने खारिज की Anticipatory Bail Petition, जानिए वजह | वनइंडिया हिंदी
बता दें कि, 25 अप्रैल 20218 को इस केस में आजम खान के खिलाफ लखनऊ के एसआईटी थाने में भारतीय दंड सहिंता की धारा 409, 420, 120बी और 201 के तहत केस दर्ज हुआ था। इस मामले में शुक्रवार को आजम खान की अग्रिम जमानत याचिका की वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से हाईकोर्ट की लखनऊ खंडपीठ में सुनवाई थी। सुनवाई करते हुए जस्टिस राजीव सिंह की एकल पीठ ने यह आदेश मोहम्मद आजम खान की याचिका पर दिया है। बता दें कि आजम खान की इस याचिका पर वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल और आईबी सिंह ने बहस की। याचिका में आजम खान को जमानत देने की मांग की गई थी।
कोर्ट ने कहा कि आजम का वारंट पहले से उन्हें सीतापुर जेल में 19 नवंबर 2020 को दिया जा चुका है, इसलिए इस मामले में वह पहले से ही न्यायिक हिरासत में लिए जा चुके हैं। इस कारण से यह अर्जी विचार योग्य नहीं है। वहीं, अपर शासकीय अधिवक्ता संतोष कुमार मिश्रा ने आजम की अर्जी का जोरदार विरोध किया। उन्होंने कोर्ट को बताया कि आजम पहले से ही इस मुकदमे में न्यायिक हिरासत में है क्योंकि सक्षम अदालत ने 18 नवंबर 2020 को ही सीतापुर जेल में उन्हें वारंट भेज दिया था जो कि अगले दिन उन्हें सौंप भी दिया गया था।
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सक्षम कोर्ट में अर्जी दे सकते हैं आजम
इस पर आजम के अधिवक्ताओं ने कहा कि यदि उनकी न्यायिक हिरासत मान लिया जाए तो इस मामले में उनके खिलाफ आरोप पत्र 24 मई को दाखिल किया गया था जो कि उनकी न्यायिक हिरासत से 90 दिन बाद था। इसलिए उन्हें स्वत: ही जमानत मिलनी चाहिए। इस पर हाईकोर्ट ने कहा कि आजम इसके लिए सक्षम अदालत में अर्जी दे सकते हैं।
azam khan samajwadi party lucknow uttar pradesh up news आजम खान समाजवादी पार्टी लखनऊ उत्तर प्रदेश coronavirus | 2021/08/05 06:14:41 | https://hindi.oneindia.com/news/lucknow/lucknow-bench-rejects-mp-azam-khan-anticipatory-bail-plea-622962.html?ref_source=articlepage-Slot1-17&ref_medium=dsktp&ref_campaign=citylinkslider | mC4 |
हरदोई। राष्ट्रीय महिला आयोग एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के तत्वावधान मेे 02 अक्टूबर से 14 नवम्बर तक चलने वाले आजादी का अमृत महोत्सव माह के अन्तर्गत तहसील सदर के सभागार में विधिक सेवा प्राधिकरण शिविर का उद्घाटन मुख्य अतिथि एडीएम वन्दना त्रिवेदी एवं विधिक सेवा प्राधिकरण सचिव अलका पाण्डेय ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्जवलन कर किया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि ने उपस्थित महिलाओ, युवतियों एवं छात्राओं को सम्बोधित करते हुए कहा कि वह नारी शक्ति को पहचाने और समाज में पुरूषों के बराबर हक पाने के लिए विधिक सेवा प्राधिकरण से निःशुल्क सलाह एवं परामर्श प्राप्त करें। उन्होने कहा कि समाज में फैली दहेज प्रथा, भ्रूण हत्या, महिला व बालिका उत्पीड़न जैसी कुतियों का विरोध करें और इस प्रकार की कहीं भी घटना होने पर सूचना तत्काल अपने बड़ों के साथ पुलिस एवं संबंधित विभाग के अधिकारियों को दें। शिविर में एडीएम ने एक भक्ति गीत के माध्यम से नारी शक्ति का वर्णन करते हुए उपस्थित महिलाओं को जागरूक किया। कार्यक्रम में विधिक सेवा प्राधिकरण सचिव ने कहा कि विधिक सेवा का मतलब है कि आम जनमानस को समस्त विधिक जानकारी निःशुल्क देना और इसी के तहत पीड़ित गरीब असहाय लोगों एवं महिलाओं को न्याय दिलाने के लिए प्राधिकरण की ओर से निःशुल्क अधिवक्ता की व्यवस्था दी जाती है। उन्होने कहा कि आजादी का अमृत महोत्सव कार्यक्रम के अन्तर्गत जनपद की सभी तहसील, ब्लाक, ग्राम पंचायतों एवं मजरों में शिविर तथा डोर टू डोर अभियान चलाकर लोगों को विधिक जानकारी के साथ सरकार की विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं की जानकारी भी उपलब्ध कराई गयी है। श्रीमती पाण्डे ने महिलाओं, युवतियों व छात्राओं से कहा कि आज का शिविर विशेष कर महिलाओं के बारे आयोजित किया जा रहा है और यहां से विधिक सेवा एवं अन्य विभागों से प्राप्त जानकारी को अपने गांव तथा मोहल्ले के लोगों को भी दें। तहसीलदार सदर प्रतिक त्रिपाठीने शिविर में उपस्थित मुख्य अतिथि विधिक सेवा प्राधिकरण सचिव आदि अधिकारियों का आभार व्यक्त किया। शिविर में जिला प्रोबेशन अधिकारी सुशील कुमार सिंह, जिला सूचना अधिकारी संतोष कुमार, जिला समाज कल्याण अधिकारी राजमती, सीडीपीओ टड़ियावा कुमुद मिश्रा सहित आशा, आंगनबाड़ी, नेहरू युवा केन्द्र आदि की महिलायें, युवतियां एवं विभिन्न विद्यालयों की छात्राओं ने प्रतिभाग किया।
हरदोई S.D. Shukla
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- अप्रैल 20, 2021
लखनऊ , कोरोना संक्रमण से उपजे हालात को देखते हुए बैंकों के समय में भी बदलाव किया गया है। राज्य स्तरीय बैंकर्स कमेटी (एसएलबीसी) की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से हुई बैठक में मंगलवार को अहम निर्णय लिया गया। इसके तहत अब प्रदेश भर के बैंकों का समय सुबह 10 से दोपहर 2 बजे तक ही रहेगा। मतलब कोरोना काल के दौरान रोजाना महज 4 घंटे के लिए ही लोगों को बैंकिंग सुविधाएं मुहैया हो सकेगी। यह आदेश 22 अप्रैल से लागू होगा और 15 मई तक प्रभावी रहेगा। अगर जरूरत पड़ी तो आदेश को आगे भी जारी रखा जाएगा। राज्य स्तरीय बैंकर्स कमेटी के समन्वयक बृजेश कुमार की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह निर्णय लिया गया कि सुबह 10 बजे से दोपहर दो बजे तक के बैंकिंग कार्यकाल के दौरान अभी सिर्फ चार प्रकार की सेवाएं ही मुहैया होंगी। इसके तहत नगद जमा नगद निकासी, चेकों की क्लीयरिंग, रेमिटेंस और सरकारी लेनदेन ही होंगे। शाम 4 बजे बैंक बंद हो जाएगा। 50 प्रतिशत कर्मियों से लिया जाएगा काम: बैठक में यह भी निर्णय लिया गया कि मौजूदा हालात को देखते हुए बैंकों में 50% कर्मचारियों से ही काम लिया जाएगा। व्यवस्था रोटेशनल मोड में रहेगी। सामान्य रूप से संच | 2021-11-29T18:44:32Z | https://www.saketlehernews.page/2021/11/blog-post_42.html | OSCAR-2201 |
ये रहा दुनिया का सबसे बड़ा मेंढक, इसका वजन जानकर उड़ जाएंगे आपके होश - worlds largest frog goliath lives in african | Dailynews
Aug 17, 2019, 1:58:32 PM IST
आमतौर पर भारत में बरसात के दिनों में जो पीले वाले मेंढक निकलते हैं, उन्हें ही हम वजनदार मानते हैं। ये मुश्किल से आधा किलो या एक किलो वजनी होते होंगे, लेकिन आपको जानकर हैरानी होगी कि मेंढक तीन किलो से ऊपर के भी होते हैं और ये दुनिया के सबसे बड़े मेंढकों में शुमार हैं। हालांकि यह भारत में नहीं बल्कि अफ्रीका में पाये जाते हैं।
दुनिया के सबसे बड़े मेंढकों की प्रजाति का नाम गोलियथ है। हाल ही में बर्लिन के नेचुरल हिस्ट्री म्यूजियम द्वारा किए गए शोध में इन मेंढकों के बारे में कई चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। शोधकर्ताओं के मुताबिक, गोलियथ अपने रहने के लिए खुद ही एक छोटे तालाब का निर्माण करते हैं, यह उनके व्यवहार में शामिल है। कभी-कभी तो ये तालाब का निर्माण करने के लिए दो किलो से भी अधिक वजन वाले पत्थरों को भी हटा देते हैं।
इन मेंढकों का वजन 3.3 किलो तक और लंबाई 34 सेंटीमीटर यानी 13 इंच तक होती है। शोधकर्ता मार्विन शेफ के मुताबिक, ये मेंढक काफी बड़े और वजनदार तो होते ही हैं, साथ ही ये अपने बच्चों की देखभाल भी खास तरीके से करते हैं। ये जिस तालाब में रहते हैं, उसके पानी में झाग बना देते हैं, ताकि कोई जानवर इनके बच्चों को नुकसान न पहुंचा सके।
गोलियथ मेंढक की ये प्रजाति अफ्रीकी देश कैमरून और इक्वेटोरियल गिनी में पायी जाती है। दक्षिण अफ्रीका में एम्पुला नदी के किनारे इन मेंढकों की संख्या बहुत ज्यादा है। शोधकर्ताओं ने 22 ऐसी जगहों की खोज की है, जहां इन मेंढकों के अंडे मौजूद हैं। इनमें से कई जगहों पर करीब 2700-2800 अंडे मौजूद हैं। | 2022/06/24 23:24:45 | https://dailynews360.patrika.com/weird-news/worlds-largest-frog-goliath-lives-in-african-38605.html | mC4 |
Jai Mahakaal: June 2015
तीसरे महाविद्या के रूप में श्री विद्या महा त्रिपुरसुन्दरी, षोडशी, ललित, कामेश्वरी नमो से विख्यात हैं, देवी अत्यंत मनोहर तथा सुन्दर रूप वाली सोलह वर्षीय कन्या रूप में विद्यमान हैं ।
**श्रीविद्या साधना की प्रमाणिकता एवं
जिस प्रकार अपौरूषेय वेदों की प्रमाणिकता है
शिव प्रोक्त होने से आगमशास्त्र (तंत्र)
की भी प्रमाणिकता है। सूत्ररूप (सूक्ष्म
रूप) में वेदों में ,
एवं विशद्रूप से तंत्र-शास्त्रों में
श्रीविद्या साधना का विवेचन है।
शास्त्रों में श्रीविद्या के बारह उपासक बताये गये है-
चन्द्र , कुबेर, लोपामुद्रा , मन्मथ, अगस्त्य अग्नि , सूर्य ,
इन्द्र , स्कन्द, शिव और दुर्वासा ये श्रीविद्या के द्वादश
उपासक है।
श्रीविद्या के उपासक आचार्यो में दत्तात्रय , परशुराम,
ऋषि अगस्त , दुर्वासा , आचार्य गौडपाद ,
आदिशंकराचार्य , पुण्यानंद नाथ, अमृतानन्द नाथ,
भास्कराय , उमानन्द नाथ प्रमुख है।
इस प्रकार श्रीविद्या का अनुष्ठान चार भगवत्
अवतारों दत्तात्रय, श्री परशुराम, भगवान
ह्यग्रीव और
आद्यशंकराचार्य ने किया है। श्रीविद्या साक्षात्
ब्रह्मविद्या है।
समस्त ब्रह्मांड प्रकारान्तर से
शक्ति का ही रूपान्तरण
है। सारे जीव-निर्जीव , दृश्य-अदृश्य ,
चल-अचल
पदार्थो और उनके समस्त क्रिया कलापों के मूल में
शक्ति ही है। शक्ति ही उत्पत्ति ,
संचालन और संहार
का मूलाधार है।
जन्म से लेकर मरण तक सभी छोटे-बड़े कार्यो के मूल
शक्ति ही होती है।
शक्ति की आवश्यक मात्रा और उचित
उपयोग ही मानव जीवन में
सफलता का निर्धारण
करती है, इसलिए शक्ति का अर्जन और
उसकी वृद्धि ही मानव की मूल
कामना होती है। धन ,
सम्पत्ति , समृद्धि , राजसत्ता , बुद्धि बल , शारीरिक
बल ,
अच्छा स्वास्थ्य, बौद्धिक क्षमता , नैतृत्व
क्षमता आदि ये सब शक्ति के ही विभिन्न रूप है। इन
असन्तुलन होने पर अथवा किसी एक
की अतिशय
वृद्धि मनुष्य के विनाश का कारण बनती है। सर्वाधिक
महत्वपूर्ण तथ्य है
कि शक्ति की प्राप्ति पूर्णता का प्रतीक
नहीं है, वरन्
शक्ति का सन्तुलित मात्रा में होना ही पूर्णता है।
शक्ति का सन्तुलन विकास का मार्ग प्रशस्त करता है।
वहीं इसका असंतुलन विनाश का कारण बनता है।
प्रकृति पूर्णता और सन्तुलन के सिद्धांत पर कार्य
मनुष्य के पास प्रचुर मात्र में केवल धन
ही हो तो वह
धीरे-धीरे विकारों का शिकार होकर वह ऐसे
कार्यों में लग
जायेगा जो उसके विनाश का कारण बनेगें। इसी प्रकार
यदि मनुष्य के पास केवल ज्ञान हो तो वह केवल चिन्तन
और विचारों में उलझकर योजनाएं बनाता रहेगा। साधनों के
अभाव में योजनाओं का क्रियान्वयन नहीं हो पायेगा।
यदि मनुष्य में असिमित शक्ति हो तो वह
अपराधी या राक्षसी प्रवृत्ति का हो जायेगा।
इसका परिणाम विनाश ही है।
जीवन के विकास और उसे सुन्दर बनाने के लिये धन-
और शक्ति के बीच संतुलन आवश्यक है।
श्रीविद्या-
साधना वही कार्य करती है,
श्रीविद्या-साधना मनुष्य
को तीनों शक्तियों की संतुलित मात्रा प्रदान
करती है और
उसके लोक परलोक दोनों सुधारती है।
जब मनुष्य में शक्ति संतुलन होता है तो उसके विचार
पूर्णतः पॉजिटिव (सकारात्मक , धनात्मक) होते है। जिससे
प्रेरित कर्म शुभ होते है और शुभ कर्म ही मानव के
लोक-
लोकान्तरों को निर्धारित करते है तथा मनुष्य सारे भौतिक
सुखों को भोगता हुआ मोक्ष प्राप्त करता है।
श्रीविद्या-साधना ही एक मात्र
ऐसी साधना है
जो मनुष्य के जीवन में संतुलन स्थापित
करती है। अन्य
सारी साधनाएं असंतुलित या एक तरफा शक्ति प्रदान
करती है। इसलिए कई तरह की साधनाओं
को करने के बाद
भी हमें साधकों में न्यूनता (कमी) के दर्शन
होते है। वे कई
तरह के अभावों और संघर्ष में दुःखी जीवन
दिखाई देते है और इसके परिणाम स्वरूप जन सामान्य के
मन में साधनाओं के प्रति अविश्वास और भय का जन्म
होता है और वह साधनाओं से दूर भागता है। भय और
अविश्वास के अतिरिक्त योग्य गुरू का अभाव , विभिन्न
यम-नियम-संयम , साधना की सिद्धि में लगने
वाला लम्बा समय और कठिन परिश्रम भी जन सामान्य
को साधना क्षेत्र से दूर करता है। किंतु श्रीविद्या-
साधना की सबसे बड़ी विशेषता यह है
कि वह अत्यंत
सरल , सहज और शीघ्र फलदायी है।
सामान्य जन अपने
जीवन में बिना भारी फेरबदल के सामान्य
जीवन जीते हुवे
भी सुगमता पूर्वक साधना कर लाभान्वित हो सकते है।
परम पूज्य गुरूदेव डॉ. सर्वेश्वर शर्मा ने
चमत्कारी शीघ्र
फलदायी श्रीविद्या-साधना को जनसामान्य तक
के लिए विशेष शोध किये और कई निष्णात विद्ववानों,
साधकों और सन्यासियों से वर्षो तक विचार-विमर्श और
गहन अध्ययन चिंतन के बाद यह विधि खोज
निकाली जो जनसामान्य को सामान्य जीवन
अल्प प्रयास से ही जीवन में सकारात्मक
परिवर्तन कर
सफलता और समृद्धि प्रदान करती है। गुरूदेव
श्रीविद्या-साधना जीवन के प्रत्येक क्षे़त्र
नौकरी ,
व्यवसाय , आर्थिक उन्नति , सामाजिक उन्नति ,
पारिवारिक शांति , दाम्पत्य सुख , कोर्ट कचहरी , संतान-
सुख, ग्रह-नक्षत्रदोष शांति में साधक को पूर्ण
सफलता प्रदान करती है। यह साधना व्यक्ति के
सर्वांगिण विकास में सहायक है। कलियुग में
श्रीविद्या की साधना ही भौतिक ,
आर्थिक समृद्धि और
मोक्ष प्राप्ति का साधन है।
श्रीविद्या-साधना के सिद्धांत
संतुलन का सिद्धांत- शक्ति के सभी रूपों में धन-
समृद्धि , सत्ता, बुद्धि, शक्ति , सफलता के क्षेत्र में।
संपूर्णता का सिद्धांत- धर्म-अर्थ-काम-मोक्ष
की प्राप्ति।
सुलभता का सिद्धांत- मिलने में आसान।
सरलता का सिद्धांत- करने में आसान।
निर्मलता का सिद्धांत- बिना किसी दुष्परिणाम के
साधना।
निरंतरता का सिद्धांत- सदा , शाश्वत लाभ और
उन्नति।
सार्वजनिकता का सिद्धांत - हर किसी के लिए
सर्वश्रेष्ठ साधना ।
देवताओं और ऋषियों द्वारा उपासित श्रीविद्या-
साधना वर्तमान समय की आवश्यकता है। यह
परमकल्याणकारी उपासना करना मानव के लिए अत्यंत
सौभाग्य की बात है। आज के युग में
बढ़ती प्रतिस्पर्धा ,
अशांति , सामाजिक असंतुलन और मानसिक तनाव ने
व्यक्ति की प्रतिभा और क्षमताओं को कुण्ठित कर
दिया है। क्या आपने कभी सोचा है
कि हजारों प्रयत्नों के
बाद भी आप वहां तक क्यों नहीं पहुच
जहां होना आपकी चाहत रही है ?
आप के लिए अब कुछ
भी असंभव नहीं है, चाहें वह सुख-
समृद्धि हो , सफलता ,
शांति ऐश्वर्य या मुक्ति (मोक्ष) हो। ऐसा नहीं कि साधक
के जीवन में विपरीत
परिस्थितियां नहीं आती है।
परिस्थितियां तो प्रकृति का महत्वपूर्ण अंग है। संसार में
प्रकाश है तो अंधकार भी है। सुख-दुःख ,
सही-गलत , शुभ-
अशुभ , निगेटिव-पॉजिटिव , प्लस-मायनस आदि। प्रकाश
का महत्व तभी समझ में आता है जब अंधकार हो।
का अहसास तभी होता हैं जब दुःख का अहसास
भी हो चुका हो। श्रीविद्या-साधक के
जीवन में भी सुख-
दुःख का चक्र तो चलता है, लेकिन अंतर यह है
कि श्रीविद्या-साधक की आत्मा व मस्तिष्क
शक्तिशाली हो जाते है कि वह ऐसे कर्म
ही नहीं करता कि उसे दुःख उठाना पड़े किंतु
भी यदि पूर्व जन्म के संस्कारों , कर्मो के कारण
दुःख संघर्ष है तो वह उन सभी विपरीत
आसानी से मुक्त हो जाता है। वह अपने
दुःखों को नष्ट
करने में स्वंय सक्षम
औषधे चिंतये विष्णुम(1),भोजने च जनार्दनम(2),
शयने पद्मनाभं च(3), विवाहे च प्रजापतिम(4),
युद्धे चक्रधरम देवं(5), प्रवासे च त्रिविक्रमं(6),
नारायणं तनु त्यागे(7), श्रीधरं प्रिय संगमे(8),
दुःस्वप्ने स्मर गोविन्दम(9),संकटे मधुसूधनम(10),
कानने नारासिम्हम च(11),पावके जलाशयिनाम(12),
जलमध्ये वराहम च(13), पर्वते रघु नन्दनं(14),
गमने वामनं चैव(15), सर्व कार्येशु माधवं(16).
श्रीविद्या त्रिपुरसुन्दरी साधना
श्रीविद्या साधना भारतवर्ष की परम रहस्यमयी सर्वोत्कृष्ट साधना प्रणाली मानी जाती है। ज्ञान, भक्ति, योग, कर्म आदि समस्त साधना प्रणालियों का समुच्चय (सम्मिलित रूप) ही श्रीविद्या-साधना है। जिस प्रकार अपौरूषेय वेदों की प्रमाणिकता है उसी प्रकार शिव प्रोक्त होने से आगमशास्त्र (तंत्र) की भी प्रमाणिकता है। सूत्ररूप (सूक्ष्म रूप) में वेदों में, एवं विशद्रूप से तंत्र-शास्त्रों में श्रीविद्या साधना का विवेचन है।
शास्त्रों में श्रीविद्या के बारह उपासक बताये गये है- मनु, चन्द्र, कुबेर, लोपामुद्रा, मन्मथ, अगस्त्य अग्नि, सूर्य, इन्द्र, स्कन्द, शिव और दुर्वासा ये श्रीविद्या के द्वादश उपासक है। श्रीविद्या के उपासक आचार्यो में दत्तात्रय, परशुराम, ऋषि अगस्त, दुर्वासा, आचार्य गौडपाद, आदिशंकराचार्य, पुण्यानंद नाथ, अमृतानन्द नाथ, भास्कराय, उमानन्द नाथ प्रमुख है। इस प्रकार श्रीविद्या का अनुष्ठान चार भगवत् अवतारों दत्तात्रय, श्री परशुराम, भगवान ह्यग्रीव और आद्यशंकराचार्य ने किया है। श्रीविद्या साक्षात् ब्रह्मविद्या है।
समस्त ब्रह्मांड प्रकारान्तर से शक्ति का ही रूपान्तरण है। सारे जीव-निर्जीव, दृश्य-अदृश्य, चल-अचल पदार्थो और उनके समस्त क्रिया कलापों के मूल में शक्ति ही है। शक्ति ही उत्पत्ति, संचालन और संहार का मूलाधार है। जन्म से लेकर मरण तक सभी छोटे-बड़े कार्यो के मूल में शक्ति ही होती है। शक्ति की आवश्यक मात्रा और उचित उपयोग ही मानव जीवन में सफलता का निर्धारण करती है, इसलिए शक्ति का अर्जन और उसकी वृद्धि ही मानव की मूल कामना होती है। धन, सम्पत्ति, समृद्धि, राजसत्ता, बुद्धि बल, शारीरिक बल, अच्छा स्वास्थ्य, बौद्धिक क्षमता, नैतृत्व क्षमता आदि ये सब शक्ति के ही विभिन्न रूप है। इन में असन्तुलन होने पर अथवा किसी एक की अतिशय वृद्धि मनुष्य के विनाश का कारण बनती है। सर्वाधिक महत्वपूर्ण तथ्य है कि शक्ति की प्राप्ति पूर्णता का प्रतीक नहीं है, वरन् शक्ति का सन्तुलित मात्रा में होना ही पूर्णता है। शक्ति का सन्तुलन विकास का मार्ग प्रशस्त करता है। वहीं इसका असंतुलन विनाश का कारण बनता है। समस्त प्रकृति पूर्णता और सन्तुलन के सिद्धांत पर कार्य करती है। जीवन के विकास और उसे सुन्दर बनाने के लिये धन-ज्ञान और शक्ति के बीच संतुलन आवश्यक है। श्रीविद्या-साधना वही कार्य करती है, श्रीविद्या-साधना मनुष्य को तीनों शक्तियों की संतुलित मात्रा प्रदान करती है और उसके लोक परलोक दोनों सुधारती है।
श्रीविद्या-साधना ही एक मात्र ऐसी साधना है जो मनुष्य के जीवन में संतुलन स्थापित करती है। श्रीविद्या-साधना की सबसे बड़ी विशेषता यह है कि वह अत्यंत सरल, सहज और शीघ्र फलदायी है। सामान्य जन अपने जीवन में बिना भारी फेरबदल के सामान्य जीवन जीते हुवे भी सुगमता पूर्वक साधना कर लाभान्वित हो सकते है। यह साधना व्यक्ति के सर्वांगिण विकास में सहायक है। कलियुग में श्रीविद्या की साधना ही भौतिक, आर्थिक समृद्धि और मोक्ष प्राप्ति का साधन है। देवताओं और ऋषियों द्वारा उपासित श्रीविद्या-साधना वर्तमान समय की आवश्यकता है। यह परमकल्याणकारी उपासना करना मानव के लिए अत्यंत सौभाग्य की बात है। आज के युग में बढ़ती प्रतिस्पर्धा, अशांति, सामाजिक असंतुलन और मानसिक तनाव ने व्यक्ति की प्रतिभा और क्षमताओं को कुण्ठित कर दिया है। श्रीविद्या-साधक के जीवन में भी सुख-दुःख का चक्र तो चलता है, लेकिन अंतर यह है कि श्रीविद्या-साधक की आत्मा व मस्तिष्क इतने शक्तिशाली हो जाते है कि वह ऐसे कर्म ही नहीं करता कि उसे दुःख उठाना पड़े किंतु फिर भी यदि पूर्व जन्म के संस्कारों, कर्मो के कारण जीवन में दुःख संघर्ष है तो वह उन सभी विपरीत परिस्थितियों से आसानी से मुक्त हो जाता है। वह अपने दुःखों को नष्ट करने में स्वंय सक्षम होता है।…
भोग और मोक्ष देती हैं मां त्रिपुरसुंदरी
महात्रिपुर सुन्दरी माहेश्वरी शाक्ति की सबसे मनोहर श्री विग्रह वाली सिद्घ देवी हैं। महात्रिपुर सुन्दरी को श्री विद्या, षोडशी, ललिता, राज-राजेश्वरी, बाला पंचदशी अनेक नामों से जाना जाता है। इनके चारों हाथों में पाश, अंकुश, धनुष और बाण सुशोभित है। वर देने के लिए सदा-सर्वदा तत्पर भगवती मां का श्रीविग्रह सौम्य और हृदय दया से पूर्ण है। जो इनका आश्रय लेते है, उन्हें इनका आशीर्वाद प्राप्त होता है। इनकी महिमा अवर्णनीय है। संसार के समस्त तंत्र-मंत्र इनकी आराधना करते हैं। प्रसन्न होने पर ये भक्तों को अमूल्य निधियां प्रदान कर देती हैं। चार दिशाओं में चार और एक ऊपर की ओर मुख होने से इन्हें तंत्र शास्त्रों में 'पंचवक्त्र' अर्थात् पांच मुखों वाली कहा गया है। आप सोलह कलाओं से परिपूर्ण हैं, इसलिए इनका नाम 'षोडशी' भी है।
एक बार पार्वती जी ने भगवान शिवजी से पूछा, 'भगवन! आपके द्वारा वर्णित तंत्र शास्त्र की साधना से जीव के आधि-व्याधि, शोक संताप, दीनता-हीनता तो दूर हो जाएगी, किन्तु गर्भवास और मरण के असह्य दुख की निवृति और मोक्ष पद की प्राप्ति का कोई सरल उपाय बताइये।' तब पार्वती जी के अनुरोध पर भगवान शिव ने त्रिपुर सुन्दरी श्री विद्या साधना प्रणाली को प्रकट किया। ''भैरवयामल और शक्ति लहरी'' में आपकी उपासना का विस्तृत वर्णन मिलता है। ऋषि दुर्वासा आपके परम आराधक थे। आपकी उपासना ''श्री चक्र'' में होती है। आदि गुरू शंकरचार्य ने भी सौन्दर्य लहरी में त्रिपुर सुन्दरी श्री विद्या की स्तुति की है। भगवती के आशीर्वाद से साधक को भोग और मोक्ष दोनों सहज उपलब्ध हो जाते हैं।
महात्रिपुर सुन्दरी श्री कुल की विद्या है। महाविद्या समुदाय में त्रिपुरा नाम की अनेक देवियां हैं, जिनमें त्रिपुरा-भैरवी, त्रिपुरा और त्रिपुर सुंदरी विशेष रूप से उल्लेखनीय हैं। देवी त्रिपुरसुंदरी ब्रह्मस्वरूपा हैं, भुवनेश्वरी विश्वमोहिनी हैं। ये श्रीविद्या, षोडशी, ललिता, राज-राजेश्वरी, बाला पंचदशी अनेक नामों से जानी जाती हैं। त्रिपुरसुंदरी का शक्ति-संप्रदाय में असाधारण महत्त्व है। महात्रिपुर सुन्दरी देवी माहेश्वरी शाक्ति की सबसे मनोहर श्री विग्रह वाली सिद्घ देवी हैं।
इनकी महिमा अवर्णनीय है। संसार के समस्त तंत्र-मंत्र इनकी आराधना करते हैं। प्रसन्न होने पर ये भक्तों को अमूल्य निधियां प्रदान कर देती हैं। चार दिशाओं में चार और एक ऊपर की ओर मुख होने से इन्हें तंत्र शास्त्रों में 'पंचवक्त्र' अर्थात् पांच मुखों वाली कहा गया है। आप सोलह कलाओं से परिपूर्ण हैं, इसलिए इनका नाम 'षोडशी' भी है।
ये चार पायों से युक्त हैं जिनके नीचे ब्रह्मा, विष्णु, रुद्र, ईश्वर पाया बन जिस सिंहासन को अपने मस्तक पर विराजमान किए हैं उसके ऊपर सदा शिव लेटे हुए हैं और उनकी नाभी से एक कमल जो खिलता है, उस पर ये त्रिपुरा विराजमान हैं। सैकड़ों पूर्वजन्म के पुण्य प्रभाव और गुरु कृपा से इनका मंत्र मिल पाता है। किसी भी ग्रह, दोष, या कोई भी अशुभ प्रभाव इनके भक्त पर नहीं हो पाता। श्रीयंत्र का पूजन सभी के वश की बात नहीं है।
कलिका पुराण के अनुसार एक बार पार्वती जी ने भगवान शंकर से पूछा, 'भगवन! आपके द्वारा वर्णित तंत्र शास्त्र की साधना से जीव के आधि-व्याधि, शोक संताप, दीनता-हीनता तो दूर हो जाएगी, किन्तु गर्भवास और मरण के असह्य दुख की निवृत्ति और मोक्ष पद की प्राप्ति का कोई सरल उपाय बताइए।'
तब पार्वती जी के अनुरोध पर भगवान शंकर ने त्रिपुर सुन्दरी श्रीविद्या साधना-प्रणाली को प्रकट किया। "भैरवयामल और शक्तिलहरी" में त्रिपुर सुन्दरी उपासना का विस्तृत वर्णन मिलता है। ऋषि दुर्वासा आपके परम आराधक थे। इनकी उपासना "श्री चक्र" में होती है। आदिगुरू शंकरचार्य ने भी अपने ग्रन्थ सौन्दर्यलहरी में त्रिपुर सुन्दरी श्रीविद्या की बड़ी सरस स्तुति की है। कहा जाता है भगवती त्रिपुर सुन्दरी के आशीर्वाद से साधक को भोग और मोक्ष दोनों सहज उपलब्ध हो जाते हैं।
शाम सुर्यास्त से एक घंटा पूजा घर में उत्तरमुखी होकर गुलाबी रंग के आसन पर बैठ जाएं। अपने सामने लकड़ी के पट्टे पर गुलाबी वस्त्र बिछाकर उस पर महात्रिपुर सुन्दरी का चित्र और श्री यंत्र को विराजमान करें। दाएं हाथ में जल लेकर संकल्प करें तत्पश्चात हाथ जोड़कर महात्रिपुर सुन्दरी का ध्यान करें।
ध्यान: सा काली द्विविद्या प्रोक्ता श्यामा रक्ता प्रभेदत:। श्यामा तु दक्षिणा प्रोक्ता रक्ता श्री सुन्दरी मता।।
देवी महात्रिपुर सुन्दरी की विभिन्न प्रकार से पूजा करें। आटे से बना चौमुखी शुद्ध घी का दीपक जलाएं। देवी पर गुलाल चढ़ाएं। देवी पर गुलाब के फूल चढ़ाएं। खुशबूदार धूप जलाएं और इत्र अर्पित करें। काजू व मावे से बने मिष्ठान का भोग लगाएं। तत्पश्चात बाएं हाथ मे कमलगट्टे लेकर दाएं हाथ से स्फटिक की माला से देवी के इस अदभूत मंत्र का यथासंभव जाप करें।
मंत्र: ह्रीं क ए इ ल ह्रीं ह स क ह ल ह्रीं स क ल ह्रीं ॥
जाप पूरा होने के बाद कमलगट्टे गुलाबी कपड़े मे बांधकर घर की उत्तर दिशा में स्थापित करें तथा स्फटिक की माला गले में पहन लें। बची हुई सामग्री को जल प्रवाह कर दें। इस साधना से धन, सुख, वैभव और सर्व ऐश्वर्य प्राप्त होता है तथा सर्व मनोकामनाएंं पूर्ण होती हैं।
श्री विद्या, महा त्रिपुरसुन्दरी
महाविद्याओं में तीसरी श्री विद्या महा त्रिपुर सुन्दरी, तीनो लोको में सर्व गुण सम्पन्न या सर्व प्रकार से पूर्ण ।
आद्या शक्ति माँ, अपने तीसरे महाविद्या के रूप में श्री विद्या, महा त्रिपुरसुन्दरी के नाम से जानी जाती हैं, देवी अत्यंत सुन्दर रूप वाली सोलह वर्षीय कन्या रूप में विद्यमान हैं । तीनो लोको ( स्वर्ग, पाताल तथा पृथ्वी ) में देवी सर्वाधिक सुन्दर, मनोहर रूप वाली तथा चिर यौवन हैं । देवी आज भी यौवनावस्था धारण की हुई है तथा सोलह कला सम्पन्न है । सोलह अंक जो की पूर्णतः का प्रतिक है (सोलह की संख्या में प्रत्येक तत्व पूर्ण मानी जाती हैं, जैसे १६ आना एक रूपया होता हैं), सोलह प्रकार के कलाओं तथा गुणों से परिपूर्ण, देवी का एक अन्य नाम षोडशी विख्यात हैं । देवी प्रत्येक प्रकार कि मनोकामनाओं को पूर्ण करने में समर्थ हैं, मुख्यतः सुंदरता तथा यौवन से घनिष्ठ सम्बन्ध होने के परिणामस्वरूप, मोहित कार्य और यौवन स्थाई रखने हेतु, इनकी साधना उत्तम मनी जाती हैं । ये ही धन, संपत्ति, समृद्धि दात्री श्री शक्ति के नाम से भी जानी जाती है, इन्हीं देवी की आराधना कर कमला नाम से विख्यात दसवी महाविद्या, धन, सुख तथा समृद्धि की देवी महा लक्ष्मी हुई । देवी का घनिष्ठ सम्बन्ध पारलौकिक शक्तियों से हैं, समस्त प्रकार की दिव्य, अलौकिक तंत्र तथा मंत्र शक्तिओ की ये अधिष्ठात्री हैं । तंत्रो में उल्लेखित मारण, मोहन, वशीकरण, उच्चाटन, स्थम्भन इत्यादि (जादुई शक्ति) या इंद्रजाल विद्या, देवी कि कृपा के बिना पूर्ण नहीं होते हैं ।
योनि पीठ 'कामाख्या', देवी श्री विद्या महा त्रिपुरसुंदरी, षोडशी से सम्बंधित सर्वश्रेष्ठ तंत्र पीठ या तीर्थ ।
काम देव द्वारा सर्वप्रथम तथा समस्त देवताओं द्वारा पूजित देवी की योनि पीठ, कामाख्या नाम से विख्यात हैं । यहाँ शिव पत्नी सती कि योनि गिरी थी, यह आदि काल से ही सिद्धि दायक शक्ति पीठ रहा हैं । यह पीठ नीलाचल पर्वत श्रेणी के ऊपर विद्यमान हैं तथा इस प्रान्त को आदि काल मैं प्रागज्योतिषपुर के नाम से जाना जाता था । आज यहाँ देवी का एक भव्य मंदिर विद्यमान है, जिसे कूचबिहार के राज वंश ने बनवाया था तथा ये भारत वर्ष के असम राज्य में अवस्थित हैं । आदि काल से ही यह पीठ समस्त प्रकार के आगमोक्त तांत्रिक, पारा विद्या तथा गुप्त साधनाओ हेतु श्रेष्ठ माना जाता हैं तथा आदि कल से ही प्रयोग किया जाता हैं । त्रेता तथा द्वापर युग में इस पीठ पर देवी की आराधना नरकासुर करते थे, इस प्रान्त के विभिन्न स्थानों का उल्लेख महाभारत ग्रन्थ से प्राप्त होता हैं । वाराणसी में विद्यमान राज राजेश्वरी मंदिर में देवी राज राजेश्वरी ( तीनो लोको की रानी ) के रूप में पूजिता हैं । कामाक्षी स्वरूप में देवी तमिलनाडु के कांचीपुरम में पूजी जाती हैं । मीनाक्षी स्वरुप में देवी का विशाल तथा भव्य मंदिर तमिलनाडु के मदुरै में हैं । बंगाल के हुगली जिले में बाँसबेरिआ नमक स्थान में देवी हंशेश्वरी नाम से पूजित हैं ।
देवी श्री विद्या त्रिपुरसुन्दरी के स्वरूप का वर्णन ।
महाविद्याओं में तीसरे स्थान पर विद्यमान महा शक्ति त्रिपुर सुंदरी, तीनो लोकों में, सोलह वर्षीय कन्या स्वरूप में सर्वाधिक मनोहर तथा सुन्दर रूप से सुशोभित हैं । देवी का शारीरक वर्ण हजारों उदयमान सूर्य के कांति कि भाति है, देवी की चार भुजाये तथा तीन नेत्र ( त्रि-नेत्रा ) हैं । अचेत पड़े हुए सदाशिव के ऊपर कमल जो सदाशिव के नाभि से निकली है, के आसन पर देवी विराजमान हैं । देवी अपने चार हाथों में पाश, अंकुश, धनुष तथा बाण से सुशोभित है । देवी षोडशी पंचवक्त्र है अर्थार्त देवी के पांच मस्तक या मुख है, चारो दिशाओं में चार तथा ऊपर की ओर एक मुख हैं । देवी के पांचो मस्तक या मुख तत्पुरुष, सद्ध्योजात, वामदेव, अघोर तथा ईशान नमक पांच शिव स्वरूपों के प्रतिक हैं क्रमशः हरा, लाल, धूम्र, नील तथा पीत वर्ण वाली हैं । देवी दस भुजाओ वाली हैं तथा अभय, वज्र, शूल, पाश, खड़ग, अंकुश, टंक, नाग तथा अग्नि धारण की हुई हैं । देवी अनेक प्रकार के अमूल्य रत्नो से युक्त आभूषणो से सुशोभित हैं तथा देवी ने अपने मस्तक पर अर्ध चन्द्र धारण कर रखा हैं । ब्रह्मा, विष्णु, महेश तथा यम देवी के आसन को अपने मस्तक पर धारण करते हैं ।
श्री विद्या, महा त्रिपुर सुंदरी की प्रादुर्भाव से सम्बंधित कथा ।
हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार देवी त्रिपुरसुंदरी के उत्पत्ति का रहस्य; सती वियोग के पश्चात् भगवान शिव सर्वदा ध्यान मग्न रहते थे । उन्होंने अपने संपूर्ण कर्म का परित्याग कर दिया था, परिणामस्वरूप तीनो लोको के सञ्चालन में व्याधि उत्पन्न हो रही थी । उधर तारकासुर ब्रह्मा जी से वार प्राप्त कर, कि उसकी मृत्यु शिव के पुत्र द्वारा ही होगी । एक प्रकार से अमर हो, तारकासुर ने तीनो लोको पर अपना आधिपत्य स्थापित कर लिया, समस्त देवताओं को प्रताड़ित कर स्वर्ग से निकल दिया तथा समस्त भोगो को वो स्वयं ही भोगने लगा । समस्त देवताओ ने भगवान शिव को ध्यान से जगाने हेतु, कामदेव तथा उन की पत्नी रति देवी को कैलाश भेजा । (सती हिमालय राज के यहाँ पुनर्जन्म ली चुकी थी तथा भगवान शिव को पति रूप में पाने के लिया वो नित्य शिव के सन्मुख जा उन की साधना करती थी ।) काम देव ने कुसुम सर नमक वाण से भगवान शिव पर प्रहार किया, परिणामस्वरूप शिव जी का ध्यान भंग हो गया । देखते ही देखते काम देव, भगवान शिव के तीसरे नेत्र से उत्पन्न क्रोध अग्नि में जल कर भस्म हो गया । तदनंतर भगवान शिव के एक गण द्वारा काम देव के भस्म से मूर्ति निर्मित की गई तथा उस निर्मित मूर्ति से एक परुष का प्राकट्य हुआ । उस प्राकट्य पुरुष ने भगवान शिव कि, अति उत्तम स्तुति की तथा स्तुति से प्रसन्न हो भगवान शिव ने भांड (अच्छा)! भांड! कहा । तदनंतर भगवान शिव द्वारा उस पुरुष का नाम भांड रखा गया तथा तथा उसे ६० हजार वर्षों कर राज दे दिया गया । शिव के क्रोध से उत्पन्न होने के परिणामस्वरूप वो तमो गुण सम्पन्न था तथा वो धीरे धीरे तीनो लोको पर भयंकर उत्पात मचाने लगा ।देवराज इंद्र के राज्य के समान ही, भाण्डासुर ने स्वर्ग जैसे राज्य का निर्माण किया तथा राज करने लगा । तदनंतर, भाण्डासुर ने स्वर्ग लोक पर अपना अधिकार आक्रमण कर देवराज इन्द्र तथा स्वर्ग राज्य को चारो ओर से घेर लिया । भयभीत इंद्र, नारद मुनि के शरण में गए तथा इस समस्या के निवारण हेतु उपाए पूछा । देवर्षि नारद ने, आद्या शक्ति की यथा विधि अपने रक्त तथा मांस से आराधना करने का परामर्श दिया । देवराज इंद्र ने देवर्षि नारद द्वारा बताये हुए साधना पथ का अनुसरण कर, देवी की आराधना की तथा देवी ने त्रिपुरसुंदरी स्वरूप से प्रकट हो भाण्डासुर का वध कर देवराज पर कृपा की तथा समस्त देवताओं को भय मुक्त किया ।
कहा जाता हैं, भण्डासुर तथा देवी त्रिपुर सुंदरी ने अपने चार-चार अवतारी स्वरूपों को युद्ध लड़ने हेतु अवतरित किया । भाण्डासुर ने हिरण्यकश्यप दैत्य का अवतार धारण किया तथा देवी ललित प्रह्लाद स्वरूप में प्रकट हो, हिरण्यकश्यप का वध किया । भाण्डासुर ने महिषासुर का अवतार धारण किया तथा देवी त्रिपुरा, दुर्गा अवतार धारण कर महिषासुर का वध किया । भाण्डासुर, रावण अवतार धारण कर, देवी के नखो द्वारा अवतार धारण करने वाले राम के हाथों मारा गया । अंततः देवी त्रिपुरा ने, भाण्डासुर का वध किया ।
देवी श्री विद्या त्रिपुरसुंदरी से सम्बंधित अन्य तथ्य ।
समस्त तंत्र और मंत्र देवी कि आराधना करते है तथा वेद भी इनकी महिमा करने में असमर्थ हैं । अपने भक्तों के सभी प्रार्थना स्वीकार कर, देवी भक्त के प्रति समर्पित रहती है । भक्त पर प्रसन्न हो देवी सर्वस्व प्रदान करती हैं । देवी की साधना, आराधना योनि रूप में भी की जाती है, देवी का घनिष्ठ सम्बन्ध काम उत्तेजना से हैं, इस स्वरूप में देवी कामेश्वरी नाम से पूजित हैं ।
देवी काली की समान ही देवी त्रिपुर सुंदरी चेतना से सम्बंधित हैं । देवी त्रिपुरा ब्रह्मा, शिव, रुद्र तथा विष्णु के शव पर आरूढ़ हैं, तात्पर्य, चेतना रहित देवताओं के देह पर देवी चेतना रूप से विराजमान हैं तथा ब्रह्मा, शिव, विष्णु, लक्ष्मी तथा सरस्वती द्वारा पूजिता हैं । कुछ शास्त्रों के अनुसार, देवी कमल के आसन पर भी विराजमान हैं, जो अचेत शिव के नाभि से निकलती हैं तथा शिव, ब्रह्मा, विष्णु तथा यम, चेतना रहित शिव को अपने मस्तक पर धारण किये हुए हैं ।
यंत्रो में श्रेष्ठ श्री यन्त्र या श्री चक्र, साक्षात् देवी त्रिपुरा का ही स्वरूप हैं तथा श्री विद्या या श्री संप्रदाय, पंथ या कुल का निर्माण करती हैं । देवी त्रिपुरा आदि शक्ति हैं, कश्मीर, दक्षिण भारत तथा बंगाल में आदि काल से ही, श्री संप्रदाय विद्यमान हैं तथा देवी अराधना की जाती हैं, विशेषकर दक्षिण भारत में देवी, श्री विद्या नाम से विख्यात हैं । मदुरै में विद्यमान मीनाक्षी मंदिर, कांचीपुरम में विद्यमान कामाक्षी मंदिर, दक्षिण भारत में हैं तथा यहाँ देवी श्री विद्या के रूप में पूजिता हैं । वाराणसी मैं विद्यमान राजराजेश्वरी मंदिर, देवी श्री विद्या से ही सम्बंधित हैं तथा आकर्षण सम्बंधित विद्याओ की प्राप्ति हेतु प्रसिद्ध हैं ।
देवी की उपासना श्री चक्र में होती है, श्री चक्र से सम्बंधित मुख्य शक्ति देवी त्रिपुर सुंदरी ही हैं । देवी का घनिष्ठ सम्बन्ध गुप्त अथवा परा शक्तियों, विद्याओं से हैं, तन्त्रो की ये अधिष्ठात्री मानी जाती हैं । समस्त प्रकार के तांत्रिक कर्म देवी की कृपा के बिना सफल नहीं होते हैं । तंत्र में वर्णित मरण, मोहन, वशीकरण, उच्चाटन, स्तंभन इत्यादि प्रयोगों की देवी अधिष्ठात्री है । आदि काल से ही देवी के पीठ कामाख्या में, समस्त तंत्र साधनाओ का विशेष विधान हैं । देवी आज भी वर्ष में एक बार ऋतु वत्सला होती है जो ३ दिन का होता है, इस काल में असंख्य भक्त तथा साधु, सन्यासी देवी कृपा प्राप्त करने हेतु कामाख्या आते हैं । देवी कि रक्त वस्त्र जो ऋतुस्रव के पश्चात् प्राप्त होता है, प्रसाद के रूप में प्राप्त कर उसे अपनी सुरक्षा हेतु अपने पास रखते हैं । देवी का घनिष्ठ सम्बन्ध गुप्त अथवा परा शक्तियों, विद्याओं से हैं, तन्त्रो की ये अधिष्ठात्री मानी जाती हैं । समस्त प्रकार के तांत्रिक कर्म देवी की कृपा के बिना सफल नहीं होते हैं ।
यंत्रो में सर्वश्रेष्ठ तथा सर्वोच्च श्री यन्त्र, से देवी की समरसता ।
देवी त्रिपुरा या त्रिपुर सुंदरी, श्री यंत्र तथा श्री मंत्र के स्वरूप से समरसता रखती हैं, जो यंत्रो-मंत्रो में सर्वश्रेष्ठ पद पर आसीन हैं, यन्त्र शिरोमणि हैं, देवी साक्षात् श्री चक्र के रूप में यन्त्र के केंद्र में विद्यमान हैं । श्री विद्या के नाम से देवी, एक अलग संप्रदाय का भी निर्माण करती हैं, जो श्री कुल के नाम से विख्यात हैं तथा देवी श्री कुल की अधिष्ठात्री हैं । देवी श्री विद्या, स्थूल, सूक्ष्म तथा परा, तीनो रूपों में 'श्री चक्र' में विद्यमान हैं, चक्र स्वरूपी देवी त्रिपुरा, श्री यन्त्र के केंद्र में निवास करती हैं तथा चक्र ही देवी का अराधना स्थल हैं, चक्र के रूप में देवी श्री विद्या की पूजा आराधना होती हैं । श्री यन्त्र, सर्व प्रकार के कामनाओ को पूर्ण करने की क्षमता रखती हैं, इसे त्रैलोक्य मोहन यन्त्र भी कहाँ जाता हैं । श्री यन्त्र को महा मेरु, नव चक्र के नाम से भी जाना जाता हैं ।
यह यन्त्र देवी लक्ष्मी से भी समरसता रखती हैं, देवी श्री लक्ष्मी जो धन, सौभाग्य, संपत्ति की अधिष्ठात्री देवी हैं, उन की आराधना श्री यन्त्र के मध्य में होती हैं । सामान्यतः धन तथा सौभाग्य की दात्री होने के परिणामस्वरूप, श्री चक्र में देवी की आराधना, पूजा होती हैं, सामान्य लोगो के पूजा घरों से कुछ विशेष मंदिरों में देवी इसी श्री चक्र के रूप में ही पूजिता हैं । कामाक्षी मंदिर, कांचीपुरम, तमिलनाडु, अम्बाजी मंदिर, गब्बर पर्वत, गुजरात (सती पीठो), देवी की पूजा श्री चक्र के रूप में ही होती हैं । शास्त्रों में यंत्रो को देवताओं का स्थूल देह माना गया हैं, श्री यन्त्र की मान्यता सर्वप्रथम यन्त्र के से भी हैं, यह सर्वरक्षा कारक, सौभाग्य प्रदायक, सर्व सिद्धि प्रदायक तथा सर्वविघ्न नाशक हैं । निर्धनता तथा ऋण से मुक्ति हेतु, श्री यन्त्र की स्थापना तथा पूजा अत्यंत महत्त्वपूर्ण हैं, श्री यन्त्र के स्थापना मात्र से लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होती हैं ।
श्री यंत्र के मध्य या केन्द्र या में एक बिंदु है, इस बिंदु के चारों ओर ९ अंतर्ग्रथित त्रिभुज हैं जो ९ शक्तिओ का प्रतिनिधित्व करती हैं । १. बिंदु, २. त्रिकोण, ३. अष्टकोण, ४. दशकोण, ५. बहिर्दर्शरा, ६. चतुर्दर्शारा, ७. अष्ट दल, ८. षोडश दल, ९. वृत्तत्रय, १०. भूपुर से श्री यन्त्र का निर्माण हुआ हैं, ९ त्रिभुजों के अन्तःग्रथित होने से कुल ४३ लघु त्रिभुज बनते हैं तथा अपने अंदर समस्त प्रकार के अलौकिक तथा दिव्या शक्ति समाये हुए हैं । ९८ शक्तिओ की अराधना श्री चक्र में की जाती हैं तथा समस्त शक्तियां सम्पूर्ण ब्रह्माण्ड का नियंत्रण तथा सञ्चालन करती हैं ।
कामेश्वरी की स्वारसिक समरसता को प्राप्त परातत्व ही महा त्रिपुर सुंदरी के रूप में विराजमान हैं तथा यही सर्वानन्दमयी, सकलाधिष्ठान ( सर्व स्थान में व्याप्त ) देवी ललिताम्बिका हैं । देवी में सभी वेदांतो का तात्पर्य-अर्थ समाहित हैं तथा चराचर जगत के समस्त कार्य इन्हीं देवी में प्रतिष्ठित हैं । देवी में न शिव के प्रधानता हैं और न ही शक्ति की, अपितु शिव तथा शक्ति, दोनों की समानता हैं । समस्त तत्वों के रूप में विद्यमान होते हुए भी, देवी सबसे अतीत हैं, परिणामस्वरूप इन्हें 'तात्वातीत' कहा जाता हैं, देवी जगत के प्रत्येक तत्व में व्याप्त भी हैं और पृथक् भी, परिणामस्वरूप इन्हें 'विश्वोत्तीर्ण' भी कहा जाता हैं । ये ही परा ( जिसे हम देख नहीं सकते ) विद्या भी कही गए हैं, ये दृश्यमान प्रपंच इनका केवल उन्मेष मात्र हैं , देवी चर तथा अचर दोनों तत्वों के निर्माण करने में समर्थ हैं तथा निर्गुण तथा सगुण दोनों रूप में अवस्थित हैं । ऐसे ही परा शक्ति, नाम रहित होते हुए भी अपने साधको पर कृपा कर, सगुण रूप धारण करती हैं, देवी विविध रूपों में अपने रूपों का अवतरण कर विश्व का कल्याण करती हैं, तथा श्री विद्या के नाम से विख्यात हैं । देवी ब्रह्माण्ड की नायिका हैं तथा विभिन्न प्रकार के असंख्य देवताओं, गन्धर्वो, राक्षसों इत्यादि द्वारा सेवित तथा वन्दित हैं । देवी त्रिपुरा, चैतान्यरुपा चिद शक्ति तथा चैतन्य ब्रह्म हैं । भंडासुर की संहारिका, त्रिपुर सुंदरी, सागर के मध्य में स्थित मणिद्वीप का निर्माण कर चित्कला के रूप में विद्यमान हैं । तदनंतर, तत्वानुसार अपने त्रिविध रूप को व्यक्त करती हैं, १. अत्मतत्व, २. विद्यातत्व, ३. शिवतत्व, इन्हीं तत्वत्रय के कारण ही देवी १. शाम्भवी २. श्यामा तथा ३. विद्या के रूप में त्रिविधता प्राप्त करती हैं । इन तीनो शक्तिओ के पति या भैरव क्रमशः परमशिव, सदाशिव तथा रूद्र हैं ।
देवी त्रिपुरसुन्दरी के पूर्व भाग में श्यामा और उत्तर भाग में शाम्भवी विराजित हैं तथा इन्हीं तीन विद्याओं के द्वारा अन्य अनेक विद्याओं का प्राकट्य या प्रादुर्भाव हुआ हैं तथा श्री विद्या परिवार का निर्माण करती हैं । भक्तों को अनुग्रहीत करने की इच्छा से, भंडासुर का वध करने के निमित्त एक होना महाशक्ति का वैविध्य हैं ।
संक्षेप में देवी श्री विद्या त्रिपुर सुंदरी से सम्बंधित मुख्य तथ्य ।
मुख्य नाम : महा त्रिपुर सुंदरी ।
अन्य नाम : श्री विद्या, त्रिपुरा, श्री सुंदरी, राजराजेश्वरी, ललित, षोडशी, कामेश्वरी, मीनाक्षी ।
भैरव : कामेश्वर ।
तिथि : मार्गशीर्ष पूर्णिमा ।
भगवान विष्णु के २४ अवतारों से सम्बद्ध : भगवान परशुराम ।
कुल : श्री कुल ( इन्हीं के नाम से उत्पन्न तथा संबंधित ) ।
दिशा : उत्तर पूर्व ।
स्वभाव : सौम्य ।
सम्बंधित तीर्थ स्थान या मंदिर : कामाख्या मंदिर, ५१ शक्ति पीठो में सर्वश्रेष्ठ, योनि पीठ गुवहाटी, आसाम ।
कार्य : सम्पूर्ण या सभी प्रकार के कामनाओं को पूर्ण करने वाली ।
शारीरिक वर्ण : उगते हुए सूर्य के समान ।
By Pukhraj mewara at June 30, 2015 2 comments:
1॰ यदि परिश्रम के पश्चात् भी कारोबार ठप्प हो, या धन आकर खर्च हो जाता हो तो यह टोटका काम में लें। किसी गुरू पुष्य योग और शुभ चन्द्रमा के दिन प्रात: हरे रंग के कपड़े की छोटी थैली तैयार करें। श्री गणेश के चित्र अथवा मूर्ति के आगे "संकटनाशन गणेश स्तोत्र´´ के 11 पाठ करें। तत्पश्चात् इस थैली में 7 मूंग, 10 ग्राम साबुत धनिया, एक पंचमुखी रूद्राक्ष, एक चांदी का रूपया या 2 सुपारी, 2 हल्दी की गांठ रख कर दाहिने मुख के गणेश जी को शुद्ध घी के मोदक का भोग लगाएं। फिर यह थैली तिजोरी या कैश बॉक्स में रख दें। गरीबों और ब्राह्मणों को दान करते रहे। आर्थिक स्थिति में शीघ्र सुधार आएगा। 1 साल बाद नयी थैली बना कर बदलते रहें।
5॰ व्यापार, विवाह या किसी भी कार्य के करने में बार-बार असफलता मिल रही हो तो यह टोटका करें- सरसों के तैल में सिके गेहूँ के आटे व पुराने गुड़ से तैयार सात पूये, सात मदार (आक) के पुष्प, सिंदूर, आटे से तैयार सरसों के तैल का रूई की बत्ती से जलता दीपक, पत्तल या अरण्डी के पत्ते पर रखकर शनिवार की रात्रि में किसी चौराहे पर रखें और कहें -"हे मेरे दुर्भाग्य तुझे यहीं छोड़े जा रहा हूँ कृपा करके मेरा पीछा ना करना।´´ सामान रखकर पीछे मुड़कर न देखें।
By Pukhraj mewara at June 30, 2015 No comments:
ॐ अस्य श्रीललिता चिन्तामणिमाला स्तोत्र महामन्त्रस्य दक्षिणामूर्तिर्भगवान् ऋषिः अनुष्टुप् छन्दः श्रीचिन्तामणि महाविद्येश्वरी ललिता महाभट्टारिका देवता ऐं बीजं क्लीं शक्तिः सौः कीलकं श्रीललिताम्बिका प्रसादसिद्धर्थे जपे विनियोगः ||
बालार्कमण्डलाभासां चतुर्बाहुं त्रिलोचनाम् |
पाशाङ्कुशधनुर्बाणान् धारयन्तीं शिवां भजे ||
ॐ श्रीमाता श्रीमहाराज्ञी श्रीमत्सिंहासनेश्वरी |
चिदग्निकुण्डसम्भूता देवकार्यसमुद्यता ||
उद्यद्भानुसहस्राभा चतुर्बाहुसमन्विता |
रागस्वरूपपाशाढ्या क्रोधाकाराङ्कुशोज्ज्वला ||
मनोरूपेक्षुकोदण्डा पञ्चतन्मात्रसायका |
निजारुणप्रभापूरमज्जद्ब्रह्माण्डमण्डला ||
चम्पकाशोकपुन्नागसौगन्धिकलसत्कचा |
कुरुविन्दमणिश्रेणीकनत्कोटीरमण्डिता ||
अष्टमीचन्द्रविभ्राजदलिकस्थलशोभिता |
मुखचन्द्रकलङ्काभमृगनाभिविशेषका ||
वदनस्मरमाङ्गल्यगृहतोरणचिल्लिका |
वक्त्रलक्ष्मीपरीवाहचलन्मीनाभलोचना ||
नवचम्पकपुष्पाभनासादण्डविराजिता |
ताराकान्तितिरस्कारिनासाभरणभासुरा ||
कदम्बमञ्जरीकॢप्तकर्णपूरमनोहरा |
ताटङ्कयुगलीभूततपनोडुपमण्डला ||
पद्मरागशिलादर्शपरिभाविकपोलभूः |
नवविद्रुमबिम्बश्रीन्यक्कारिरदनच्छदा ||
शुद्धविद्याङ्कुराकारद्विजपङ्क्तिद्वयोज्ज्वला |
कर्पूरवीटिकामोदसमाकर्षद्दिगन्तरा || १०||
निजसल्लापमाधुर्यविनिर्भर्त्सितकच्छपी |
मन्दस्मितप्रभापूरमज्जत्कामेशमानसा ||
अनाकलितसादृश्यचिबुकश्रीविराजिता |
कामेशबद्धमाङ्गल्यसूत्रशोभितकन्धरा ||
कनकाङ्गदकेयूरकमनीयभुजान्विता |
रत्नग्रैवेयचिन्ताकलोलमुक्ताफलान्विता ||
कामेश्वरप्रेमरत्नमणिप्रतिपणस्तनी |
नाभ्यालवालरोमालिलताफलकुचद्वयी ||
लक्ष्यरोमलताधारतासमुन्नेयमध्यमा |
स्तनभारदलन्मध्यपट्टबन्धवलित्रया ||
अरुणारुणकौसुम्भवस्त्रभास्वत्कटीतटी |
रत्नकिङ्किणिकारम्यरशनादामभूषिता ||
कामेशज्ञातसौभाग्यमार्दवोरुद्वयान्विता |
माणिक्यमुकुटाकारजानुद्वयविराजिता ||
इन्द्रगोपपरिक्षिप्तस्मरतूणाभजङ्घिका |
गूढगुल्फा कूर्मपृष्ठजयिष्णुप्रपदान्विता ||
नखदीधितिसंछन्ननमज्जनतमोगुणा |
पदद्वयप्रभाजालपराकृतसरोरुहा ||
शिञ्जानमणिमञ्जीरमण्डितश्रीपदाम्बुजा |
मरालीमन्दगमना महालावण्यशेवधिः ||
सर्वारुणाऽनवद्याङ्गी सर्वाभरणभूषिता |
शिवकामेश्वराङ्कस्था शिवा स्वाधीनवल्लभा ||
सुमेरुमध्यशृङ्गस्था श्रीमन्नगरनायिका |
चिन्तामणिगृहान्तस्था पञ्चब्रह्मासनस्थिता ||
महापद्माटवीसंस्था कदम्बवनवासिनी |
सुधासागरमध्यस्था कामाक्षी कामदायिनी ||
देवर्षिगणसंघातस्तूयमानात्मवैभवा |
भण्डासुरवधोद्युक्तशक्तिसेनासमन्विता ||
सम्पत्करीसमारूढसिन्धुरव्रजसेविता |
अश्वारूढाधिष्ठिताश्वकोटिकोटिभिरावृता ||
चक्रराजरथारूढसर्वायुधपरिष्कृता |
गेयचक्ररथारूढमन्त्रिणीपरिसेविता ||
किरिचक्ररथारूढदण्डनाथापुरस्कृता |
ज्वालामालिनिकाक्षिप्तवह्निप्राकारमध्यगा ||
भण्डसैन्यवधोद्युक्तशक्तिविक्रमहर्षिता |
नित्यापराक्रमाटोपनिरीक्षणसमुत्सुका ||
भण्डपुत्रवधोद्युक्तबालाविक्रमनन्दिता |
मन्त्रिण्यम्बाविरचितविषङ्गवधतोषिता ||
विशुक्रप्राणहरणवाराहीवीर्यनन्दिता |
कामेश्वरमुखालोककल्पितश्रीगणेश्वरा ||
महागणेशनिर्भिन्नविघ्नयन्त्रप्रहर्षिता |
भण्डासुरेन्द्रनिर्मुक्तशस्त्रप्रत्यस्त्रवर्षिणी ||
कराङ्गुलिनखोत्पन्ननारायणदशाकृतिः |
महापाशुपतास्त्राग्निनिर्दग्धासुरसैनिका ||
कामेश्वरास्त्रनिर्दग्धसभण्डासुरशून्यका |
ब्रह्मोपेन्द्रमहेन्द्रादिदेवसंस्तुतवैभवा ||
हरनेत्राग्निसंदग्धकामसञ्जीवनौषधिः |
श्रीमद्वाग्भवकूटैकस्वरूपमुखपङ्कजा ||
कण्ठाधःकटिपर्यन्तमध्यकूटस्वरूपिणी |
शक्तिकूटैकतापन्नकट्यधोभागधारिणी ||
मूलमन्त्रात्मिका मूलकूटत्रयकलेबरा |
कुलामृतैकरसिका कुलसंकेतपालिनी ||
कुलाङ्गना कुलान्तस्था कौलिनी कुलयोगिनी |
अकुला समयान्तस्था समयाचारतत्परा ||
मूलाधारैकनिलया ब्रह्मग्रन्थिविभेदिनी |
मणिपूरान्तरुदिता विष्णुग्रन्थिविभेदिनी ||
आज्ञाचक्रान्तरालस्था रुद्रग्रन्थिविभेदिनी |
सहस्राराम्बुजारूढा सुधासाराभिवर्षिणी ||
तटिल्लतासमरुचिः षट्चक्रोपरिसंस्थिता |
महासक्तिः कुण्डलिनी बिसतन्तुतनीयसी |
श्रीशिवा शिवशक्त्यैक्यरूपिणी ललिताम्बिका ||
|| इति शिवम् ||
आत्म-संरक्षणार्थाय, मन्त्र-संसिद्धयेऽपि च। यः पठेत् कवचं देव्यास्ततो भीतिर्न जायते।।
तस्मात् पूर्वं विधायैवं, रक्षां सावहितो नरः। प्रजपेत् स्वेष्ट-मन्त्रस्तु, निर्भीतो मुनि-सत्तम!।।
कवचं कीदृशं देव्या, महा-भय-निवर्तकम्। कामाख्यायास्तु तद् ब्रूहि, साम्प्रतं मे महेश्वर!।।
श्रीमहादेव उवाच-
श्रृणुष्व परमं गुह्यं, महा-भय-निवर्तकम्। कामाख्यायाः सुर-श्रेष्ठ, कवचं सर्व-मंगलम्।।
यस्य स्मरण-मात्रेण, योगिनी-डाकिनी-गणाः। राक्षस्यो विघ्न-कारिण्यो। याश्चात्म-विघ्नकारिकाः।।
क्षुत्-पिपासा तथा निद्रा, तथाऽन्ये ये च विघ्नदाः। दूरादपि पलायन्ते, कवचस्य प्रसादतः।।
निर्भयो जायते मर्त्यस्तेजस्वी भैरवोपमः। समासक्त-मनासक्त-मनाश्चापि, जप-होमादि-कर्मसु।।
भवेच्च मन्त्र-तन्त्राणां, निर्विघ्नेन सु-सिद्धये।।
ॐ प्राच्यां रक्षतु मे तारा, कामरुप-निवासिनी। आग्नेय्यां षोडशी पातु, याम्यां धूमावती स्वयम्।।
नैऋत्यां भैरवी पातु, वारुण्यां भुवनेश्वरी। वायव्यां सततं पातु, छिन्न-मस्ता महेश्वरी।।
कौबेर्यां पातु मे नित्यं, श्रीविद्या बगला-मुखी। ऐशान्यां पातु मे नित्यं, महा-त्रिपुर-सुन्दरी।।
ऊर्ध्वं रक्षतु मे विद्या, मातंगी पीठ-वासिनी। सर्वतः पातु मे नित्यं, कामाख्या-कालिका स्वयम्।।
ब्रह्म-रुपा महाविद्या, सर्वविद्यामयी-स्वयम्। शीर्षे रक्षतु मे दुर्गा, भालं श्री भव-मोहिनी।।
त्रिपुरा भ्रू-युगे पातु, शर्वाणी पातु नासिकाम्। चक्षुषी चण्डिका पातु, श्रोत्रे नील-सरस्वती।।
मुखं सौम्य-मुखी पातु, ग्रीवां रक्षतु पार्वती। जिह्वां रक्षतु मे देवी, जिह्वा ललन-भीषणा।।
वाग्-देवी वदनं पातु, वक्षः पातु महेश्वरी। बाहू महा-भुजा पातु, करांगुलीः सुरेश्वरी।।
पृष्ठतः पातु भीमास्या, कट्यां देवी दिगम्बरी। उदरं पातु मे नित्यं, महाविद्या महोदरी।।
उग्रतारा महादेवी, जंघोरु परि-रक्षतु। गुदं मुष्कं च मेढ्रं च, नाभिं च सुर-सुन्दरी।।
पदांगुलीः सदा पातु, भवानी त्रिदशेश्वरी। रक्त-मांसास्थि-मज्जादीन्, पातु देवी शवासना।।
महा-भयेषु घोरेषु, महा-भय-निवारिणी। पातु देवी महा-माया, कामाख्या पीठ-वासिनी।।
भस्माचल-गता दिव्य-सिंहासन-कृताश्रया। पातु श्रीकालिका देवी, सर्वोत्पातेषु सर्वदा।।
रक्षा-हीनं तु यत् स्थानं, कवचेनापि वर्जितम्। तत् सर्वं सर्वदा पातु, सर्व-रक्षण-कारिणी।।
फल-श्रुति-
इदं तु परमं गुह्यं, कवचं मुनि-सत्तम! कामाख्याया मयोक्तं ते, सर्व-रक्षा-करं परम्।।
अनेन कृत्वा रक्षां तु, निर्भयः साधको भवेत्। न तं स्पृशेद् भयं घोरं, मन्त्र-सिद्धि-विरोधकम्।।
जायते च मनः-सिद्धिर्निर्विघ्नेन महा-मते! इदं यो धारयेत् कण्ठे, बाही वा कवचं महत्।।
अव्याहताज्ञः स भवेत्, सर्व-विद्या-विशारदः। सर्वत्र लभते सौख्यं, मंगलं तु दिने-दिने।।
यः पठेत् प्रयतो भूत्वा, कवचं चेदमद्भुतम्। स देव्याः पदवीं याति, सत्यं सत्यं न संशयः।।
भगवती महालक्ष्मी की कृपा प्राप्ति का सबसे प्रभावी उपाय है श्री यंत्र की विधिवत साधना. यह एक ऐसा विधान है जो अभूतपूर्व सफलता प्रदायक है. जब किसी भी अन्य उपाय से भगवती की प्रसन्नता प्राप्त न हो पा रही हो तो यह साधना विधान प्रयोग करना चाहिए. श्री यंत्र के बारे में कहा गया है कि.
चतुः षष्टया तंत्रै सकल मति संधाय भुवनम ।
स्थितस्तत्सिद्धि प्रसव परतंत्रैः पशुपतिः ।
पुनस्त्वनिर्बन्धादखिल पुरूषार्थैक घटना ।
स्वतंत्रं ते तंत्रं क्षितितलमवातीतरदिदम ।
देवाधिदेव भगवान महादेव शिव ने इस सकल भुवन को ६४ तंत्रो से भर दिया और फिर अपने दिव्य तापसी तेज से समस्त पुरूषार्थों को प्रदान करने में सक्षम श्री तंत्र को इस धरा पर प्रतिष्ठित किया. आशय यह कि श्री विद्या से संबंधित तंत्र ब्रह्माण्ड का सर्वश्रेष्ठ तंत्र है जिसकी साधना ऐसे योग्य साधकों और शिष्यों को प्राप्त होती है जो समस्त तंत्र साधनाओं को आत्मसात कर चुके हों. इस साधना को प्रदान करने के लिए कहा गया है कि :-
गोपनीयं गोपनीयं गोपनीयं प्रयत्नतः, पिता पुत्रो न दातव्यं गोपनीयं महत्वतः ...
इस विद्या को सप्रयास गोपनीय रखना चाहिये, यह इतनी गोपनीय विद्या है कि इसे पिता को पुत्र से भी छुपाकर रखना चाहिये.
तंत्र के क्षेत्र में श्री विद्या को निर्विवाद रूप से सर्वश्रेष्ठ तथा सबसे गोपनीय माना जाता है. श्री विद्या की साधना का सबसे प्रमुख साधन है श्री यंत्र... इसकी विशिष्टता का अनुमान इसी बात से लगाया जाता है कि सनातन धर्म के पुनरूद्धारक, भगवान शिव का अवतार माने जाने वाले, जगद्गुरू आदि शंकराचार्य ने जिन चार पीठों की स्थापना की, उनमें उन्होने पूरी प्रामाणिकता के साथ श्री यंत्र की स्थापना की. जिसके परिणाम के रूप में आज भी चारों पीठ हर दृष्टि से,फिर वह चाहे साधनात्मक हो या फिर आर्थिक, पूर्णता से युक्त हैं.
श्री यंत्र की आकृति
तंत्र में त्रिकोण को अत्यंत महत्व दिया गया है. मुख्य रूप से दो प्रकार के त्रिकोणों का प्रयोग यंत्रों के निर्माण में किया जाता है. पहला अधोमुखी तथा दूसरा उर्ध्वमुखी. एक पुरूष रूपी शिव का प्रतीक है तथा दूसरा स्त्री रूपी शक्ति का प्रतीक होता है. इन दोनों त्रिकोणों के विविध संयोजनों से यंत्रों का निर्माण होता है.
शिव प्रतीक शक्ति प्रतीक :
श्री यंत्र भी इन दोनों प्रतीकों का एक विशिष्ट संयोजन है. श्री यंत्र में चार उर्ध्वमुखी शिव प्रतीक त्रिकोण तथा पांच अधोमुखी शक्ति प्रतीक त्रिकोण हैं. इस प्रकार यह यंत्र शक्ति बाहुल्यता से युक्त भगवती महाविद्या श्री त्रिपुरसुंदरी का सिद्ध यंत्र है.
इन नौ त्रिकोणों के संयोग से निर्मित इस यंत्र के मय में स्थित त्रिकोण के अंदर इस यंत्र का हृदय भाग होता है जिसमें बिंदु प्रतीक के रूप में महाविद्या श्री त्रिपुरसुंदरी का वास होता है. इन नवत्रिकोणों को शरीर के नवद्वारों का प्रतीक है. इन नवत्रिकोणों को वृत्त के अंदर निर्मित किया जाता है. वृत्त के बाहर पहले अष्ट(आठ) दल वाला कमल होता है जो अष्ट सिद्धियों का प्रतीक है. पुनः वृत्त जो ब्रह्माण्ड का प्रतीक है के बाद षोडश (सोलह) दल वाला कमल होता है जो जीवन की संपूर्णता माने जाने वाले षोडश कलाओं का प्रतीक हैं. इसके बाहर चार द्वारों से युक्त आवरण होता ह.ै
भोजपत्र पर श्री यंत्र के निर्माण के लिए अष्टगंध को गंगाजल में घोलकर सोने की कलम से भोजपत्र पर लिखा जाना चाहिये. धातु पर यंत्र निर्माण की आधुनिक विधियां श्रेष्ठ हैं जिनमें इचिंग नामक तकनीक के द्वारा रेखाओं को बेहद स्पष्टता के साथ उकेरा जाता है. यदि प्राचीन विधि से धातु पर यंत्र को उकेरा जाए तो यह ध्यान रखना चाहिये कि उभरा हुआ भाग यंत्र का सीधा वाला भाग हो. अर्थात नालीदार भाग पीछे रहे.
श्री यंत्र से होने वाले लाभ
श्री यंत्र प्रमुख रूप से ऐश्वर्य तथा समृद्धि प्रदान करने वाली महाविद्या त्रिपुरसुंदरी महालक्ष्मी का सिद्ध यंत्र है. यह यंत्र सही अर्थों में यंत्रराज है. इस यंत्र को स्थापित करने का तात्पर्य श्री को अपने संपूर्ण ऐश्वर्य के साथ आमंत्रित करना होता है. कहा गया है कि :-
श्री सुंदरी साधन तत्पराणाम् , भोगश्च मोक्षश्च करस्थ एव....
अर्थात जो साधक श्री यंत्र के माध्यम से त्रिपुरसुंदरी महालक्ष्मी की साधना के लिए प्रयासरत होता है, उसके एक हाथ में सभी प्रकार के भोग होते हैं, तथा दूसरे हाथ में पूर्ण मोक्ष होता है. आशय यह कि श्री यंत्र का साधक समस्त प्रकार के भोगों का उपभोग करता हुआ अंत में मोक्ष को प्राप्त होता है. इस प्रकार यह एकमात्र ऐसी साधना है जो एक साथ भोग तथा मोक्ष दोनों ही प्रदान करती है, इसलिए प्रत्येक साधक इस साधना को प्राप्त करने के लिए सतत प्रयत्नशील रहता है.
श्री यंत्र के स्थापन मात्र से भगवती लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होती है.
कार्यस्थल पर इसका नित्य पूजन व्यापार में विकास देता है.
घर पर इसका नित्य पूजन करने से संपूर्ण दांपत्य सुख प्राप्त होता है.
पूरे विधि विधान से इसका पूजन यदि प्रत्येक दीपावली की रात्रि को संपन्न कर लिया जाय तो उस घर में साल भर किसी प्रकार की कमी नही होती है.
श्री यंत्र पर ध्यान लगाने से मानसिक क्षमता में वृद्धि होती है. उच्च यौगिक दशा में यह सहस्रार चक्र के भेदन में सहायक माना गया है.
यह विविध वास्तु दोषों के निराकरण के लिए श्रेष्ठतम उपाय है.
श्री यंत्र का निर्माण विविध पदार्थों से किया जा सकता है. इनमें श्रेष्ठता के क्रम में प्रमुख हैं े-
पारद श्रीयंत्र
पारद को शिववीर्य कहा जाता है. पारद से निर्मित यह यंत्र सबसे दुर्लभ तथा प्रभावशाली होता है. यदि सौभाग्य से ऐसा पारद श्री यंत्र प्राप्त हो जाए तो रंक को भी वह राजा बनाने में सक्षम होता है.
स्फटिक का बना हुआ श्री यंत्र अतिशीघ्र सफलता प्रदान करता है. इस यंत्र की निर्मलता के समान ही साधक का जीवन भी सभी प्रकार की मलिनताओं से परे हो जाता है.
स्वर्ण श्रीयंत्र
स्वर्ण से निर्मित यंत्र संपूर्ण ऐश्वर्य को प्रदान करने में सक्षम माना गया है. इस यंत्र को तिजोरी में रखना चाहिए तथा ऐसी व्यवस्था रखनी चाहिये कि उसे कोई अन्य व्यक्ति स्पर्श न कर सके.
मणि श्रीयंत्र
ये यंत्र कामना के अनुसार बनाये जाते हैं तथा दुर्लभ होते हैं
रजत श्रीयंत्र
ये यंत्र व्यावसायिक प्रतिष्ठानों की उत्तरी दीवाल पर लगाए जाने चाहिये.इनको इस प्रकार से फ्रेम में मढवाकर लगवाना चाहिए जिससे इसको कोई सीधे स्पर्श न कर सके.
ताम्र श्रीयंत्र
ताम्र र्निमित यंत्र का प्रयोग विशेष पूजन अनुष्ठान तथा हवनादि के निमित्त किया जाता है. इस प्रकार के यंत्र को पर्स में रखने से अनावश्यक खर्च में कमी होती है तथा आय के नए माध्यमों का आभास होता है.
भोजपत्र श्रीयंत्र
आजकल इस प्रकार के यंत्र दुर्लभ होते जा रहे हैं. इन पर निर्मित यंत्रों का प्रयोग ताबीज के अंदर डालने के लिए किया जाता है. इस प्रकार के यंत्र सस्ते तथा प्रभावशाली होते हैं.
उपरोक्त पदार्थों का उपयोग यंत्र निर्माण के लिए करना श्रेष्ठ है. लकडी, कपडा या पत्थर आदि पर श्री यंत्र का निर्माण न करना श्रेष्ठ रहता है.
श्री यंत्र के निर्माण के समान ही इसका पूजन भी श्रम साध्य होने के साथ-साथ विशेष तेजस्विता की अपेक्षा भी रखता है. कोई भी श्रेष्ठ कार्य करने के लिए श्रेष्ठ मुहूर्त का होना भी अनिवार्य होता है. श्री यंत्र की प्राण प्रतिष्ठा के निमित्त श्रेष्ठतम मुहूर्तों पर एक दृष्टिपात करते हुए पूजन विधि पर प्रकाश डालने का प्रयास करूंगा.
श्री यंत्र के निर्माण व पूजन के लिए सर्वश्रेष्ठ मुहुर्त है कालरात्रि अर्थात दीपावली की रात्रि. इस रात्रि में स्थिर लग्न में यंत्र का निर्माण व पूजन संपन्न किया जाना चाहिये.
इसके बाद माघ माह की पूर्णिमा, शिवरात्रि, शरद पूर्णिमा, सूर्यग्रहण या चंद्रग्रहण का मुहूर्त श्रेष्ठ होता है. यद्यपि ग्रहण को सामान्यतः शुभ कर्मों के लिए प्रयोग नही किया जाता इसलिए यहां संदेह होना स्वाभाविक है, मगर श्री विद्या पूर्णते तांत्रोक्त विद्या है तथा तांत्रोक्त साधनाओं के लिए ग्रहण को श्रेष्ठतम मुहूर्त मान गया है.
उपरोक्त मुहूर्तों के अलावा अक्षय तृतीया, रवि पुष्य योग, गुरू पुष्य योग, आश्विन माह को छोडकर किसी भी अमावस्या या किसी भी पूर्णिमा को भी श्रेष्ठ समय मे यंत्र निर्माण व पूजन किया जा सकता है.
यहां मैं यह स्पष्ट कर देना अनिवार्य समझता हूं कि, सभी तांत्रोक्त विधानों की तरह, यदि श्री यंत्र का निर्माण तथा पूजन करने वाला, श्री विद्या का सिद्ध साधक या गुरू हो, तो उनके द्वारा निर्दिष्ट समय उपरोक्त मुहूर्तों से भी ज्यादा श्रेष्ठ तथा फलदायक होगा. किसी भी पूजन की विधि से ज्यादा महत्व पूजन को संपन्न कराने वाले साधक की साधनात्मक तेजस्विता का होता है. यदि पूजनकर्ता की साधनात्मक उर्जा नगण्य है तो पूजन और प्राण-प्रतिष्ठा अर्थहीन हो जाएगी. इसलिए श्री यंत्र के पूजन से पहले पूजनकर्ता के लिए यह आवश्यक है कि, वह कम से कम एक बार श्री विद्या या महालक्ष्मी मंत्र का पुरश्चरण पूर्ण कर चुका हो.
सबसे पहले शुद्ध जल से स्नान करके पूर्व दिशा की ओर देखते हुए बैठ जायें. सामने यंत्र को स्थापित करें.
सर्वप्रथम ÷क्क श्रीं ह्रीं श्रीं महालक्ष्म्यै नमे' से आचमन करें .
पवित्री करण करें.
संकल्प लें अपनी कामना को व्यक्त करें.
भूमि पूजन करें.
गणपति पूजन करें.
भैरव पूजन करें.
गुरू पूजन करें.
भूतशुद्धि करें, इसके लिए पुरूष सूक्त का पाठ करें.
घी का दीपक जलायें.
ऋष्यादिन्यास. करन्यास तथा अंगन्यास संपन्न करें.
श्री विद्या का ध्यान करने के बाद श्री सूक्त के सोलह पाठ संपन्न करें.
इसके पश्चात लक्ष्मी सूक्त का एक पाठ संपन्न करें.
श्री सूक्त के सोलह श्लोकों से श्री यंत्र का षोडशोचार पूजन संपन्न करें.
प्रत्येक श्लोक के साथ यंत्र के मध्य में केसर से बिंदी लगायें जैसे आप षोडशी की सोलह कलाओं को वहां स्थापित कर रहे हों.
अंत में श्री सूक्त के सोलह श्लोकों के साथ आहुति संपन्न करें. विधान १००० बार पाठ तथा १०० बार हवन का है.
इसमें प्रत्येक श्लोक के साथ स्वाहा लगाकर आहुति देंगें.
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मालामाल बनाती है श्रीयंत्र पूजा:
श्रीयंत्र पूजा के पहले कुछ सामान्य नियमों का जरुर पालन करें -
- ब्रह्मचर्य का पालन करें और ऐसा करने का प्रचार न करें।
- स्वच्छ वस्त्र पहनें।
- सुगंधित तेल, परफ्यूम, इत्र न लगाएं।
- बिना नमक का आहार लें।
- प्राण-प्रतिष्ठित श्रीयंत्र की ही पूजा करें। यह किसी भी मंदिर, योग्य और सिद्ध ब्राह्मण, ज्योतिष या तंत्र विशेषज्ञ से प्राप्त करें।
- यह पूजा लोभ के भाव से न कर सुख और शांति के भाव से करें। इसके बाद श्रीयंत्र पूजा की इस विधि से करें। इसे किसी योग्य ब्राह्मण से भी करा सकते हैं - नवरात्रि या किसी भी दिन सुबह स्नान कर एक थाली में श्रीयंत्र स्थापित करें।
- इस श्रीयंत्र को लाल कपड़े पर रखें।
- श्रीयंत्र का पंचामृत यानि दुध, दही, शहद, घी और शक्कर को मिलाकर स्नान कराएं। गंगाजल से पवित्र स्नान कराएं।
- इसके बाद श्रीयंत्र की पूजा लाल चंदन, लाल फूल, अबीर, मेंहदी, रोली, अक्षत, लाल दुपट्टा चढ़ाएं। मिठाई का भोग लगाएं।
- धूप, दीप, कर्पूर से आरती करें।
- श्रीयंत्र के सामने लक्ष्मी मंत्र, श्रीसूक्त, दुर्गा सप्तशती या जो भी श्लोक आपको आसान लगे, का पाठ करें। किंतु लालच, लालसा से दूर होकर श्रद्धा और पूरी आस्था के साथ करें।
- अंत में पूजा में जाने-अनजाने हुई गलती के लिए क्षमा मांगे और माता लक्ष्मी का स्मरण कर सुख, सौभाग्य और समृद्धि की कामना करें। श्रीयंत्र पूजा की यह आसान विधि नवरात्रि में बहुत ही शुभ फलदायी मानी जाती है। इससे नौकरीपेशा से लेकर बिजनेसमेन तक धन का अभाव नहीं देखते। इसे प्रति शुक्रवार या नियमित करने पर जीवन में आर्थिक कष्टों का सामना नहीं करना पड़ता।
श्री महालक्षमी यंत्र की अधिष्ठात्री देवी कमला हैं,अर्थात इस यंत्र का पूजन करते समय श्वेत हाथियों के द्वारा स्वर्ण कलश से स्नान करती हुयी कमलासन पर बैठी लक्ष्मी का ध्यान करना चाहिये,विद्वानों के अनुसार इस यंत्र के नित्य दर्शन व पूजन से लक्ष्मी की प्राप्ति होती है। इस यंत्र की पूजा वेदोक्त न होकर पुराणोक्त है इसमे बिन्दु षटकोण वृत अष्टदल एवं भूपुर की संरचना की गयी है,धनतेरस दीवावली बसन्त पंचमी रविपुष्य एवं इसी प्रकार के शुभ योगों में इसकी उपासना का महत्व है,स्वर्ण रजत ताम्र से निर्मित इस यन्त्र की उपासना से घर व स्थान विशेष में लक्ष्मी का स्थाई निवास माना जाता है।
बगला दस महाविद्याओं में एक है इसकी उपासना से शत्रु का नाश होता है,शत्रु की जिव्हा वाणी व वचनों का स्तम्भन करने हेतु इससे बढकर कोई यंत्र नही है। इस यंत्र के मध्य बिंदु पर बगलामुखी देवी का आव्हान व ध्यान करना पडता है,इसे पीताम्बरी विद्या भी कहते हैं,क्योंकि इसकी उपासना में पीले वस्त्र पीले पुष्प पीली हल्दी की माला एवं केशर की खीर का भोग लगता है। इस यंत्र में बिन्दु त्रिकोण षटकोण वृत्त अष्टदल वृत्त षोडशदल एवं भूपुर की रचना की गयी है,नुकसान पहुंचाने वाले दुष्ट शत्रु की जिव्हा हाथ से खींचती हुयी बगलादेवी का ध्यान करते हुये शत्रु के सर्वनाश की कल्पना की जाती है। इस यंत्र के विशेष प्रयोग से प्रेतबाधा व यक्षिणीबाधा का भी नाश होता है।
श्रीमहाकाली यन्त्र
शमशान साधना में काली उपासना का बडा भारी महत्व है,इसी सन्दर्भ में महाकाली यन्त्र का प्रयोग शत्रु नाश मोहन मारण उच्चाटन आदि कार्यों में किया जाता है। मध्य बिन्दु में पांच उल्टे त्रिकोण तीन वृत अष्टदल वृत एव भूपुर से आवृत महाकाली का यंत्र तैयार होता है। इस यंत्र का पूजन करते समय शव पर आरूढ मुण्डमाला धारण की हुयी कडग त्रिशूल खप्पर व एक हाथ में नर मुण्ड धारण की हुयी रक्त जिव्हा लपलपाती हुयी भयंकर स्वरूप वाली महाकाली का ध्यान किया जाता है। जब अन्य विद्यायें असफ़ल होजातीं है,तब इस यंत्र का सहारा लिया जाता है। महाकाली की उपासना अमोघ मानी गयी है। इस यंत्र के नित्य पूजन से अरिष्ट बाधाओं का स्वत: ही नाश हो जाता है,और शत्रुओं का पराभव होता है,शक्ति के उपासकों के लिये यह यंत्र विशेष फ़लदायी है। चैत्र आषाढ अश्विन एवं माघ की अष्टमी इस यंत्र के स्थापन और महाकाली की साधना के लिये अतिउपयुक्त है।
इस यंत्र के माध्यम से मृत्यु को जीतने वाले भगवान शंकर की स्तुति की गयी है,भगवान शिव की साधना अमोघ व शीघ्र फ़लदायी मानी गयी है। आरक दशाओं के लगने के पूर्व इसके प्रयोग से व्यक्ति भावी दुर्घटनाओं से बच जाता है,शूल की पीडा सुई की पीडा में बदल कर निकल जाती है। प्राणघातक दुर्घटना व सीरियस एक्सीडेंट में भी जातक सुरक्षित व बेदाग होकर बच जाता है। प्राणघातक मार्केश टल जाते हैं,ज्योतिषी लोग अरिष्ट ग्रह निवारणार्थ आयु बढाने हेतु अपघात और अकाल मृत्यु से बचने के लिये महामृत्युयंत्र का प्रयोग करना बताते हैं। शिवार्चन स्तुति के अनुसार पंचकोण षटकोण अष्टदल व भूपुर से युक्त मूल मन्त्र के बीच सुशोभित महामृत्युंजय यंत्र होता है। आसन्न रोगों की निवृत्ति के लिये एवं दीर्घायु की कामना के लिये यह यंत्र प्रयोग में लाया जाता है। इस यंत्र का पूजन करने के बाद इसका चरणामृत पीने से व्यक्ति निरोग रहता है,इसका अभिषिक्त किया हुआ जल घर में छिडकने से परिवार में सभी स्वस्थ रहते हैं,घर पर रोग व ऊपरी हवाओं का आक्रमण नहीं होता है।
लक्ष्मी प्राप्ति के लिये यह अत्यन्त दुर्लभ और रामबाण प्रयोग है,इस यंत्र के पूजन से दरिद्रता का नाश होता है,पूर्व में आद्य शंकराचार्य ने इसी यंत्र के प्रभाव से स्वर्ण के आंवलों की वर्षा करवायी थी। यह यंत्र रंक को राजा बनाने की सामर्थय रखता है। यह यंत्र अष्ट सिद्धि व नव निधियों को देने वाला है,इसमें बिन्दु त्रिकोण एवं दो वृहद कोण वृत्त अष्टदल वृत्त षोडस दल एव तीन भूपुर होते हैं,इस यंत्र के साथ कनकधारा स्तोत्र का पाठ करना अनिवार्य होता है।
श्रीदुर्गा यंत्र
यह श्री दुर्गेमाता अम्बेमाता का यंत्र है,इसके मूल में नवार्ण मंत्र की प्रधानता है,श्री अम्बे जी का ध्यान करते हुये नवार्ण मंत्र माला जपते रहने से इच्छित फ़ल की प्राप्ति होती है। विशेषकर संकट के समय इस यंत्र की प्रतिष्ठा करके पूजन किया जाता है। नवरात्र में स्थापना के दिन अथवा अष्टमी के दिन इस यंत्र निर्माण करना व पूजन करना विशेष फ़लदायी माना जाता है,इस यन्त्र पर दुर्गा सप्तशती के अध्याय चार के श्लोक १७ का जाप करने पर दुख व दरिद्रता का नाश होता है। व्यक्ति को ऋण से दूर करने बीमारी से मुक्ति में यह यंत्र विशेष फ़लदायी है।
सिद्धि श्री बीसा यंत्र
कहावत प्रसिद्ध है कि जिसके पास हो बीसा उसका क्या करे जगदीशा,अर्थात साधकों ने इस यंत्र के माध्यम से दुनिया की हर मुश्किल आसान होती है,और लोग मुशीबत में भी मुशीबत से ही रास्ता निकाल लेते हैं। इसलिये ही इसे लोग बीसा यंत्र की उपाधि देते हैं। नवार्ण मंत्र से सम्पुटित करते हुये इसमे देवी जगदम्बा का ध्यान किया जाता है। यंत्र में चतुष्कोण में आठ कोष्ठक एक लम्बे त्रिकोण की सहायता से बनाये जाते हैं,त्रिकोण को मन्दिर के शिखर का आकार दिया जाता है,अंक विद्या के चमत्कार के कारण इस यंत्र के प्रत्येक चार कोष्ठक की गणना से बीस की संख्या की सिद्धि होती है। इस यंत्र को पास रखने से ज्योतिषी आदि लोगों को वचन सिद्धि की भी प्राप्ति होती है। भूत प्रेत और ऊपरी हवाओं को वश में करने की ताकत मिलती है,जिन घरों में भूत वास हो जाता है उन घरों में इसकी स्थापना करने से उनसे मुक्ति मिलती है।
यह धन अधिपति धनेश कुबेर का यंत्र है,इस यंत्र के प्रभाव से यक्षराज कुबेर प्रसन्न होकर अतुल सम्पत्ति की रक्षा करते हैं। यह यंत्र स्वर्ण और रजत पत्रों से भी निर्मित होता है,जहां लक्ष्मी प्राप्ति की अन्य साधनायें असफ़ल हो जाती हैं,वहां इस यंत्र की उपासना से शीघ्र लाभ होता है। कुबेर यंत्र विजय दसमीं धनतेरस दीपावली तथा रविपुष्य नक्षत्र और गुरुवार या रविवार को बनाया जाता है। कुबेर यंत्र की स्थापना गल्ले तिजोरियों सेफ़ व बन्द अलमारियों में की जाती है। लक्ष्मी प्राप्ति की साधनाओं में कुबेर यंत्र अपना महत्वपूर्ण स्थान रखता है।
गणेश यंत्र सर्व सिद्धि दायक व नाना प्रकार की उपलब्धियों व सिद्धियों के देने वाला है,इसमें देवताओं के प्रधान गणाध्यक्ष गणपति का ध्यान किया जाता है। एक हाथ में पास एक अंकुश एक में मोदक एवं वरद मुद्रा में सुशोभित एक दन्त त्रिनेत्र कनक सिंहासन पर विराजमान गणपति की स्तुति की जाती है। इस यंत्र के प्रभाव से और भक्त की आराधना से व्यक्ति विशेष पर रिद्धि सिद्धि की वर्षा करते हैं,साधक को इष्ट कृपा की अनुभूति होने लगती है। उसके कार्यों के अन्दर आने वाली बाधायें स्वत: ही समाप्त हो जातीं हैं,व्यक्ति को अतुल धन यश कीर्ति की प्राप्ति होती है,रवि पुष्य गुरु पुष्य अथवा गणेश चतुर्थी को इस यंत्र का निर्माण किया जाता है,इन्ही समयों में इस यंत्र की पूजा अर्चना करने पर सभी कामनायें सिद्धि होती हैं।
गायत्री की महिमा शब्दातीत है,इस यंत्र को बनाते समय कमल दल पर विराजमान पद्मासन में स्थिति पंचमुखी व अष्टभुजा युक्त गायत्री का ध्यान किया जाता है,बिन्दु त्रिकोण षटकोण व अष्टदल व भूपुर से युक्त इस यंत्र को गायत्री मंत्र से प्रतिष्ठित किया जाता है। इस यंत्र की उपासना से व्यक्ति लौकिक उपलब्धियों को लांघ कर आध्यात्मिक उन्नति को स्पर्श करने लग जाता है। व्यक्ति का तेज मेधा व धारणा शक्ति बढ जाती है। इस यंत्र के प्रभाव से पूर्व में किये गये पाप कर्मों से मुक्ति मिल जाती है। गायत्री माता की प्रसन्नता से व्यक्ति में श्राप व आशीर्वाद देने की शक्ति आ जाती है। व्यक्ति की वाणी और चेहरे पर तेज बढने लगता है। गायत्री का ध्यान करने के लिये सुबह को माता गायत्री श्वेत कमल पर वीणा लेकर विराजमान होती है,दोपहर को गरूण पर सवार लाल वस्त्रों में होतीं है,और शाम को सफ़ेद बैल पर सवार वृद्धा के रूप में पीले वस्त्रों में ध्यान में आतीं हैं।
दाम्पत्य सुख कारक मंगल यंत्र
विवाह योग्य पुत्र या पुत्री के विवाह में बाधा आना,विवाह के लिये पुत्र या पुत्री का सीमाओं को लांघ कर सामाजिक मर्यादा को तोडना विवाह के बाद पति पत्नी में तकरार होना,विवाहित दम्पत्ति के लिये किसी न किसी कारण से सन्तान सुख का नहीं होना,गर्भपात होकर सन्तान का नष्ट हो जाना, मनुष्य का ध्यान कर्ज की तरफ़ जाना और लिये हुये कर्जे को चुकाने के लिये दर दर की ठोकरें खाना,किसी को दिये गये कर्जे का वसूल नहीं होना,आदि कारणों के लिये ज्योतिष शास्त्र में मंगल व्रत का विधान है,मंगल के व्रत में मंगल यंत्र का पूजन आवश्यक है। यह यंत्र जमीन जायदाद के विवाद में जाने और घर के अन्दर हमेशा क्लेश रहने पर भी प्रयोग किया जाता है,इसके अलावा इसे वाहन में प्रतिष्ठित कर लगाने से दुर्घटना की संभावना न के बराबर हो जाती है।
श्री पंचदसी यंत्र
पंचदसी यंत्र को पन्द्रहिया यन्त्र भी कहा जाता है,इसके अन्दर एक से लेकर नौ तक की संख्याओं को इस प्रकार से लिखा जाता है दायें बायें ऊपर नीचे किधर भी जोडा जाये तो कुल योग पन्द्रह ही होता है,इस यन्त्र का निर्माण राशि के अनुसार होता है,एक ही यन्त्र को सभी राशियों वाले लोग प्रयोग नहीं कर सकते है,पूर्ण रूप से ग्रहों की प्रकृति के अनुसार इस यंत्र में पांचों तत्वों का समावेश किया जाता है,जैसे जल तत्व वाली राशियां कर्क वृश्चिक और मीन होती है,इन राशियों के लिये चन्द्रमा का सानिध्य प्रारम्भ में और मंगल तथा गुरु का सानिध्य मध्य में तथा गुरु का सानिध्य अन्त में किया जाता है। संख्यात्मक प्रभाव का असर साक्षात देखने के लिये नौ में चार को जोडा जाता है,फ़िर दो को जोड कर योग पन्द्रह का लिया जाता है,इसके अन्दर मंगल को दोनों रूपों में प्रयोग में लाया जाता है,नेक मंगल या सकारात्मक मंगल नौ के रूप में होता है और नकारात्मक मंगल चार के रूप में होता है,तथा चन्द्रमा का रूप दो से प्रयोग में लिया जाता है। यह यंत्र भगवान शंकर का रूप है,ग्यारह रुद्र और चार पुरुषार्थ मिलकर ही पन्द्रह का रूप धारण करते है। इस यंत्र को सोमवार या पूर्णिमा के दिन बनाया जाता है,और उसे रुद्र गायत्री से एक बैठक में पन्द्रह हजार मंत्रों से प्रतिष्टित किया जाता है।
सम्पुटित गायत्री यंत्र
वेदमाता गायत्री विघ्न हरण गणपति महाराज समृद्धिदाता श्री दत्तात्रेय के सम्पुटित मंत्रों द्वारा इस गायत्री यंत्र का निर्माण किया जाता है। यह यंत्र व्यापारियों गृहस्थ लोगों के लिये ही बनाया जाता है इसका मुख्य उद्देश्य धन,धन से प्रयोग में लाये जाने वाले साधन और धन को प्रयोग में ली जाने वाली विद्या का विकास इसी यंत्र के द्वारा होता है,जिस प्रकार से एक गाडी साधन रूप में है,गाडी को चलाने की कला विद्या के रूप में है,और गाडी को चलाने के लिये प्रयोग में ली जाने वाली पेट्रोल आदि धन के रूप में है,अगर तीनों में से एक की कमी हो जाती है तो गाडी रुक जाती है,उसी प्रकार से व्यापारियों के लिये दुकान साधन के रूप में है,दुकान में भरा हुआ सामान धन के रूप में है,और उस सामान को बेचने की कला विद्या के रूप में है,गृहस्थ के लिये भी परिवार का सदस्य साधन के रूप में है,सदस्य की शिक्षा विद्या के रूप में है,और सदस्य द्वारा अपने को और अपनी विद्या को प्रयोग में लाने के बाद पैदा किया जाने फ़ल धन के रूप में मिलता है,इस यंत्र की स्थापना करने के बाद उपरोक्त तीनों कारकों का ज्ञान आसानी से साधक को हो जाता है,और वह किसी भी कारक के कम होने से पहले ही उसे पूरा कर लेता है।
श्री नित्य दर्शन बीसा यंत्र
इस यंत्र का निर्माण अपने पास हमेशा रखने के लिये किया जाता है,इसके अन्दर पंचागुली महाविद्या का रोपण किया जाता है,अष्टलक्ष्मी से युक्त इस यंत्र का निर्माण करने के बाद इसे चांदी के ताबीज में रखा जाता है,जब कोई परेशानी आती है तो इसे माथे से लगाकर कार्य का आरम्भ किया जाता है,कार्य के अन्दर आने वाली बाधा का निराकरण बाधा आने के पहले ही दिमाग में आने लगता है,इसे शराबी कबाबी लोग अपने प्रयोग में नही ला सकते हैं।
शिव चरित्र के अनुसार, सती शक्ति पीठो की संख्या 51 हैं ।
शिव चरित्र के अनुसार, सती शक्ति पीठो की संख्या ५१ हैं ।
कालिका पुराण के अनुसार, सती शक्तिपीठों की संख्या २६ हैं ।
श्री देवी भागवत, पुराण के अनुसार, सती शक्तिपीठों की संख्या १०८ हैं ।
तंत्र चूड़ामणि तथा मार्कण्डेय पुराण के अनुसार, सती शक्तिपीठों की संख्या ५२ हैं ।
हिंगलाज शक्तिपीठ, ब्रह्मरंध्र (सिर के ऊपर), बलूचिस्तान, पाकिस्तान ।
हिंगलाज या हिंगुला में, ब्रह्मरंध्र (सिर के ऊपर), हिंगलाज पर्वत के पहाड़ी गुफा में, हिंगोल नदी के तट पर, लास बेला के बलूचिस्तान प्रांत, ल्यारी तहसील, पाकिस्तान में गिरी । जो कराची से १२५ कि. मी. उत्तर-पूर्व, हिंगोल राष्ट्रीय उद्यान के मध्य में स्थित हैं । यहाँ देवी कोट्टरी शक्ति और के रूप में तथा भीमलोचन भैरव के रूप में अवस्थित हैं । मंदिर में सिंदूर के साथ लिप्त गोल शिलाओं के रूप में देवी पूजिता हैं जो यहाँ के प्राकृतिक गुफा में स्थित है ।
शिवहारकराय या करविपुर शक्तिपीठ, (आंखें), कराची, पाकिस्तान ।
शिवहारकराय या करविपुर शक्ति पीठ, यह पाकिस्तान में कराची के, परकै रेलवे स्टेशन के पास स्थित है। हिंदू शास्त्र के अनुसार सती की आँखों यहाँ गिर गया। देवी महिषमर्दिनी और भैरव क्रोधीश के रूप में पूजित तथा विद्यमान हैं ।
सुंगधा शक्तिपीठ, (नाक), बरिसाल, बांग्लादेश ।
सुगंधा शक्तिपीठ, बांग्लादेश में बरिसाल जिले, से २० कि. मी. उत्तर, शिकारपुर नमक स्थान में स्थित एकजटा के रूप में विद्यमान हैं। शिकारपुर गांव, सुगंधा नदी के तट पर, सती की नाक गिरी थी और यहां वह सुगंधा या देवी तारा के एकजटा स्वरूप के रूप में विद्यमान हैं तथा यहाँ के भैरव त्र्यंबक हैं । यह मंदिर शिव शिवरात्रि या शिव चतुर्दशी के उत्सव के लिए प्रसिद्ध है।
महामाया शक्तिपीठ, (गाला), अमरनाथ, पहलगाम, जम्मू और कश्मीर, भारत ।
महामाया शक्तिपीठ, जम्मू और कश्मीर, भारत के पहलगाम जिले में स्थित हैं । सती के गले का भाग यहाँ गिर गया था और यहां वह देवी "महामाया" के रूप में और त्रिसन्ध्येश्वर भैरव के रूप में स्थित है । भगवान शिव के इस पवित्र गुफा में लिंग, बर्फ से तथा प्राकृतिक रूप से बनती है, इस स्थान मैं शिव जी ने अपनी पत्नी पार्वती को जीवन और मरण चक्र से सम्बंधित रहस्य समझाया था । दो अन्य बर्फ संरचनायें माता पार्वती और शिव के पुत्र गणेश का प्रतिनिधित्व करते हैं । अमरनाथ के दर्शन के साथ श्रावण पूर्णिमा पर इस शक्ति पीठ भी दर्शन किया जाता हैं ।
ज्वाला शक्तिपीठ, (जीभ), ज्वालामुखी, कांगड़ा, हिमाचल प्रदेश, भारत ।
ज्वालामुखी, कांगड़ा घाटी के दक्षिण से ३० कि. मी. दूर स्थित हैं । भारत में एक बहुत प्रसिद्ध धार्मिक स्थल के रूप में जाना जाता है । पांडवों इस पवित्र पीठ की खोज की । यहाँ, सती की जीभ गिरी थी; यहाँ देवी अंबिका या सिद्धिदा और उन्मत्त भैरव के रूप में विद्यमान हैं । देवी के मंदिर में दर्शन, लौ के रूप में है और लौ चट्टानों की परत के नीचे से जलती रहती हैं । यह मंदिर मुहम्मद गजनी द्वारा १००९ में नष्ट कर दिया गया था। काँगड़ा के राजा भूमि चंद कटोच, देवी दुर्गा के बड़े भक्त थे, उन्हें देवी माँ ने रात को सपने में दर्शन दे, इस पवित्र स्थान के बारे में बताया । राजा ने उस स्थान को खोज कर, उस स्थान पर एक मंदिर का निर्माण किया तथा चमत्कारिक ढंग से, अग्नि का एक स्रोत मिल। सम्राट अकबर ने इस पवित्र अग्नि को बुझाने के लिए, कई बार प्रयास किए लेकिन हर बार असफल उन्हें असफलता ही मिली । अंत में उन्होंने भी यहाँ के अलौकिक शक्ति को स्वीकार कर लिया ।
त्रिपुरा मालिनी शक्तिपीठ, (बायाँ सीना), जालंधर, पंजाब, भारत ।
त्रिपुरा मालिनी, यह पीठ भारत के राज्य में पंजाब, जालंधर रेलवे स्टेशन से एक किलोमीटर दूर जालंधर शहर में स्थित है। सती की बाई छाती गिर गया था, वह देवी "त्रिपुरा-मालिनी" के रूप में और भीषण भैरव के रूप में विद्यमान हैं । वशिष्ठ, व्यास, मनु, जमदग्नि, परशुराम जैसे विभिन्न महर्षिओं ने, त्रिपुरा मालिनी के रूप में, यहाँ आद्या शक्ति की पूजा की। जालंधर नमक दैत्य भगवान शिव द्वारा मारा गया था, दैत्य के नाम से ही शहर का नाम जालंधर पड़ा । यहाँ, ताजा पानी के एक तालाब के साथ, त्रिपुरा मालिनी के मंदिर खूबसूरती बहुत मनमोहक हैं ।
अंबा शक्तिपीठ, (ह्रदय), बनासकांठा, गुजरात, भारत ।
अंबाजी शक्तिपीठ, अंबाजी मंदिर अरावली पर्वत श्रृंखला से घिरा हुआ है, यह पालनपुर से लगभग ६५ कि. मी., माउंट आबू से ४५ किलोमीटर दूर, गुजरात-राजस्थान सीमा पर, श्री अमीरगढ़ से 42 कि. मी. और बनासकांठा जिले में कडियादृ गांव से ५० कि. मी. दुरी पर स्थित हैं । यहाँ, सती का हृदय गिर गया था; आद्या शक्ति देवी, अंबा नाम से और बटुक, भैरव रूप में विद्यमान है। यहाँ देवी यंत्र के रूप में अवस्थित है और केवल इसी रूप में पूजिता हैं; किसी की कोई प्रतिमा नहीं है । अंबा जी मंदिर गब्बर पर्वत के शिखर पर स्थित है । सुंदर पर्यटन स्थलों से युक्त ये एक उत्कृष्ट भ्रमण स्थानों में गिना जाता हैं, सूर्यास्त, गुफाएँ और रोपवे यहाँ के मुख्य आकर्षण का केंद्र हैं । अंबाजी मंदिर सूर्यवंशी सम्राट अरुण सेन द्वारा, ४ शताब्दी में वल्लभी के शासक द्वारा निर्मित किया गया था ।
गुह्येश्वरी शक्तिपीठ, (दोनों घुटनों), काठमांडू, नेपाल ।
गुह्येश्वरी मंदिर, काठमांडू, नेपाल में पशुपति नाथ मंदिर के पास स्थित है । यहाँ, सती के दोनों घुटने गिरे थे, यहाँ देवी महाशिरा के रूप में और कपाली भैरव रूप में विद्यमान है । यहाँ मंदिर पशुपतिनाथ मंदिर के निकट, बागमती नदी के तट पर स्थित है । गुह्येश्वर मंदिर, धर्मशाला (तीर्थयात्रियों विश्राम गृह) से घिरे हुए एक पक्का आँगन में है, 17 वीं सदी में राजा प्रताप मल्ल द्वारा गुहेश्वरी मंदिर बनाया गया था ।
दाक्षायनी शक्तिपीठ, (दांया हाथ), कैलाश पर्वत, तिब्बत, चीन ।
दाक्षायनी शक्तिपीठ, यह तिब्बत में कैलाश पर्वत, मानसरोवर (चीन) के पास एक शिला के रूप में विद्यमान हैं । यहाँ, सती का दाहिने हाथ गिर गया था, देवी यहाँ दाक्षायनी (दक्षा यज्ञ या यज्ञ को नष्ट कर दिया है) के रूप में और अमर भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
बिराज शक्तिपीठ, (नाभि), जाजपुर, भवनेश्वर, ओडिशा, भारत ।
बिराज शक्तिपीठ, लगभग १२५ कि. मी. भुवनेश्वर से उत्तर दिशा में, भारत के ओडिशा राज्य में है। यहाँ देवी विरजा या गिरिजा के नाम से पूजित हैं । यहाँ, सती की नाभि गिरी थी, वह देवी विमला के रूप में और जगन्नाथ भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
गंडकी चंडी शक्तिपीठ, (माथा), मुक्तिनाथ, नेपाल ।
गंडकी चंडी शक्तिपीठ, गंडकी नदी के किनारे स्थित हैं तथा नेपाल में मुक्तिनाथ, धवलगिरि में स्थित है। यहाँ, सती का माथा गिर गया था तथा देवी गंडकी-चंडी के रूप में और चक्रपाणी भैरव के रूप में विद्यमान । इस पवित्र स्थान के महत्व का विष्णु पुराण में वर्णन किया गया है, यह स्थान मुक्तिनाथ, हिंदुओं और बौद्धों के लिए, मुक्ति या मोक्ष प्रदान करने वाला हैं । यह स्थान चक्र निर्मित शालग्राम शीला के लिया विख्यात हैं ।
बहुला शक्तिपीठ, (बांया हाथ), बर्धमान, पश्चिम बंगाल, भारत ।
बहुला शक्तिपीठ, यह पीठ केतुग्राम, कटवा, वर्धमान जिला, पश्चिम बंगाल, भारत में अजय नदी के तट पर स्थित है। यहाँ, सती का बाँया हाथ गिरा था तथा यहाँ देवी बहुला के रूप में तथा भीरुक या सर्व-सिद्धिदायक, भैरव के रूप में अवस्थित हैं । यहाँ देवी अपने दोनों बेटो, कार्तिक और गणेश के साथ विद्यमान है। यह मंदिर १८ वीं सदी में बनाया गया था।
मंगला चंडिका शक्तिपीठ, ( दायी कलाई ), बर्धमान, पश्चिम बंगाल, भारत ।
मंगला चंडिका शक्तिपीठ, यह पीठ बर्द्धमान जिले के गुस्कारा के उजनी ग्राम, भारत, पश्चिम बंगाल में स्थित है। इस पवित्र स्थान पर, सती के दाहिनी कलाई गिर थी,यहाँ देवी मंगला चंडिका या मंगल चंडी के रूप में और कपिलाम्बर भैरव के रूप में विद्यमान है। यह गुस्कारा रेलवे स्टेशन से १६ किलोमीटर दूर हैं ।
त्रिपुरेश्वरी शक्तिपीठ, (दाहिना पैर), उदयपुर, त्रिपुरा, भारत ।
त्रिपुरेश्वरी शक्तिपीठ, यह महाराजा धन्य माणिक्य द्वारा १५०१ ईसवी में बनाया हुआ, बहुत ही शक्तिशाली तंत्र पीठ है । अगरतला, भारत में त्रिपुरा राज्य की राजधानी से करीब ५५ कि. मी. दूर, उदयपुर नमक स्थान पर, राधा किशोरपुर गांव में स्थित है तथा माता बाड़ी के नाम से प्रसिद्ध हैं । यहाँ सती देवी का दाहिना पैर गिरा, यहाँ देवी त्रिपुरेश्वरी या त्रिपुर सुंदरी और त्रिपुरेश भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
भवानी या चन्द्रनाथ शक्तिपीठ, (दाहिनी भुजा), चिटगांव, बांग्लादेश ।
भवानी या चन्द्रनाथ शक्तिपीठ, सीताकुंड चन्द्रनाथ मंदिर के नाम से भी प्रसिद्ध है, यह पीठ बांग्लादेश के चंद्र-नाथ पर्वत के पास सीताकुंड स्टेशन, चटगांव, पर स्थित हैं । यहाँ, सती का दाहिना हाथ गिरा था, यहाँ देवी भवानी के रूप में और चंद्रशेखर भैरव के रूप में विद्यमान हैं । यहाँ गरम पानी के प्राकृतिक स्रोत हैं ।
भ्रामरी या त्रिसोता शक्तिपीठ, (बाया पैर), वोड़ागंज, जलपाईगुड़ी, पश्चिम बंगाल, भारत ।
भ्रामरी या त्रिसोता शक्तिपीठ, यह पीठ भारत के पश्चिम बंगाल राज्य में जलपागुड़ी जिले, के वोड़ागंज ग्राम में तीस्ता नदी के तट पर स्थित हैं । यहाँ, सती के बायाँ पैर गिर गया था, यहाँ देवी भ्रामरी या त्रिस्रोता और अंबर, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
कामाख्या शक्तिपीठ, (योनि या प्रजनन अंग), कामाख्या, आसाम, भारत ।
कामाख्या शक्ति पीठ, सर्वाधिक प्रसिद्ध एवं महत्त्वपूर्ण, तंत्र पीठ, गुवाहाटी, आसाम, भारत में नील-पर्वत या नीलांचल पर्वत में स्थित है । सती की योनि (प्रजनन अंग), यहाँ गिर गया था । यहाँ देवी कामाख्या और उमानंद भैरव के रूप में विद्यमान हैं । यहाँ पीठ, देव शिल्पी विश्वकर्मा द्वारा बनाया गया था यहाँ देवी की कोई प्रतिमा नहीं हैं । जिस स्थान पर देवी का प्रजनन अंग गिरा था, वहाँ सर्वदा ही प्राकृतिक जल श्रोत का प्रवाह होता रहता हैं ।
जुगाड़्या शक्तिपीठ, (दाहिने पैर का अंगूठा), खीरग्राम, बर्द्धमान, पश्चिम बंगाल, भारत ।
जुगाड़्या शक्तिपीठ, सती के दाहिने पैर का अँगूठा, भारत के पश्चिम बंगाल राज्य में बर्द्धमान जिले के खीरग्राम गांव, मंगलकोट ब्लॉक के पास गिरा । यहाँ देवी जुगाड़्या शक्ति और क्षीर खंडक, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
कालिका शक्तिपीठ, दाहिने पैर की चार उँगलियाँ, कोलकाता (कलकत्ता), पश्चिम बंगाल, भारत ।
कालिका शक्तिपीठ, सती के दाहिने पैर के चार उँगलियाँ, आदि गंगा, नदी के तट पर गिरी थी । यह जगह कोलकाता के काली-घाट के नाम से प्रसिद्ध हैं, यह भी सती की पीठो के बीच बहुत प्रसिद्ध पीठ हैं । यहाँ देवी महा काली और नकुलेश्वर भैरव के रूप में विद्यमान हैं । भगवान ब्रह्मा ने इसी स्थान पर बैठ, देवी की साधना की थी । देवी काली की प्रतिमा, ब्रह्मा बेदी पर प्रतिष्ठित हैं, जिस आसन पर बैठ ब्रह्मा जी ने तपस्या की थी ।
ललिता या अलोपी शक्तिपीठ, (दोनों हाथों की उंगलियां), इलाहाबाद, उत्तर प्रदेश, भारत ।
ललिता या अलोपी, प्रयाग शक्तिपीठ के नाम से भी जाना जाता है । सती के दोनों हाथों की उंगलियां, उत्तर प्रदेश राज्य, भारत के, अक्षय वट, इलाहाबाद के पास गिरा । यहाँ देवी "ललिता" शक्ति और वभ, भैरव के रूप में विद्यमान हैं । यह मंदिर तीन नदियों, गंगा, यमुना और सरस्वती के संगम, इलाहाबाद किले के निकट स्थित है ।
जयंती शक्तिपीठ, (बाईं जांघ), कलजोरे बौरभग गांव, सिलेट जिला, बांग्लादेश ।
जयंती शक्तिपीठ, सती की बाई जाँघ, बांग्लादेश के कलजोरे बौरभग गाँव के पास जयंतिया पुर, सिलेट जिले में गिरा । यहाँ देवी जयंती शक्ति और क्रमदीश्वर, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
विमला शक्तिपीठ, (मुकुट), मुर्शिदाबाद, पश्चिम बंगाल, भारत ।
विमला शक्तिपीठ, यह पीठ भारत के पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद जिले के लालबाग कोर्ट रोड के पास स्थित है। यहाँ, सती के सर का मुकुट गिरा था, यहाँ देवी विमला के रूप में और संवर्त भैरव, के रूप में विद्यमान हैं ।
श्रावणी शक्तिपीठ, (रीढ़ की हड्डी), कुमारी कुंदा, चटगांव, बांग्लादेश ।
श्रावणी शक्तिपीठ, यह पीठ बांग्लादेश के चटगांव जिले, के कुमारी कुंदा गाँव में हैं । यहाँ, सती की रीढ़ की हड्डी गिरी थी, वह देवी श्रावणी के रूप में और भैरव के रूप में निमिष, विद्यमान हैं ।
सावित्री या भद्रकाली शक्तिपीठ, (टखने की हड्डी), थानेसर, कुरुक्षेत्र, हरियाणा, भारत ।
सावित्री या भद्रकाली शक्तिपीठ, द्वैपायन सरोवर के पास थानेसर, कुरुक्षेत्र, हरियाणा, भारत में हैं । सती के टखने की हड्डी यहाँ गिरी थी, यहाँ देवी सावित्री या भद्र काली, स्वरूप में और स्थाणु, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
गायत्री शक्तिपीठ, (कंगन), पुष्कर, राजस्थान, भारत ।
गायत्री शक्तिपीठ, भारत के राजस्थान राज्य, अजमेर में पुष्कर पर्वत श्रृंखला पर, सती के दो कंगन गिरे थे । यहाँ देवी गायत्री और "सर्वानंद भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
महालक्ष्मी शक्तिपीठ, (गर्दन), जौनपुर, सिलेट, बांग्लादेश ।
महालक्ष्मी शक्तिपीठ, बांग्लादेश में सिलेट शहर से 3 कि. मी. उत्तर-पूर्व, जौनपुर गांव के श्री-शैल पर, सती की गर्दन गिरी थी । यहाँ देवी महा-लक्ष्मी (धन की देवी) और शम्बरानन्द, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
देवगर्भ या कनकलेश्वरी शक्तिपीठ, (अस्थि), कनकली ताला या काँच, बोलपुर, बीरभूम, पश्चिम बंगाल, भारत ।
देवगर्भ या कनकलेश्वरी शक्तिपीठ, सती की अस्थियां, भारत में पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में, बोलपुर (शांतिनिकेतन) के उत्तर पूर्व में कोपाई नदी के तट पर, गिरी । यहां देवी कनकलेश्वरी और रुरु, भैरव के रूप में अवस्थित हैं ।
काली शक्तिपीठ, (बायां कूल्हा), अमरकंटक, शहडोल, मध्य प्रदेश, भारत ।
काली शक्तिपीठ, सती की वाम भाग का कूल्हा, भारत के मध्य प्रदेश राज्य, शहडोल जिले के अमरकंटक नमक स्थान पर सोन नदी के तट पर, एक गुफा में गिरी । यहाँ देवी काली और असितांग, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
नर्मदा शक्तिपीठ, (दांया कूल्हा), सोनदेश, अमरकंटक, मध्य प्रदेश, भारत ।
नर्मदा शक्तिपीठ, सती का दाहिना कूल्हा, भारत में मध्य प्रदेश राज्य, के शहडोल जिले में सोनदेश, अमरकंटक नमक स्थान पर, नर्मदा नदी के उद्गम स्थान पर गिरा । यहाँ देवी नर्मदा और भद्रसेन, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
शिवानी शक्तिपीठ, (दांया स्तन), सीतापुर, चित्रकूट, उत्तर प्रदेश, भारत ।
शिवानी शक्तिपीठ, सती का दाहिना स्तन, भारत में उत्तर प्रदेश राज्य के चित्रकूट जिले, सीतापुर गांव के रामगिरी पर्वत श्रंखला में गिरी । यहाँ देवी शिवानी और चांद, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
उमा शक्तिपीठ, (चूड़ामणि), वृन्दावन, मथुरा, उत्तर प्रदेश, भारत ।
उमा शक्तिपीठ, सती के बालों की चूड़ामणि, भारत के उत्तर प्रदेश राज्य, के मथुरा जिले में, वृंदावन, भूतेश्वर मंदिर के पास गिरा । यह स्थान, भगवान कृष्ण के जन्म स्थान के रूप में प्रसिद्ध है । यहाँ देवी उमा और भूतेश, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
नारायणी शक्तिपीठ, (ऊपरी जबड़े के दांत), कन्याकुमारी, तमिलनाडु, भारत ।
नारायणी शक्तिपीठ, यह पीठ भारत के तमिलनाडु राज्य की कन्या-कुमारी नमक स्थान के पास शुचितीर्थम में विद्यमान हैं । यहाँ, सती के ऊपरी जबड़े के दांत गिरे थे तथा देवी नारायणी और संहार, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
अपर्णा शक्तिपीठ, (वाम पैर का नुपुर), शेरपुर, बागुरा, बांग्लादेश ।
अपर्णा शक्तिपीठ, यह पीठ बांग्लादेश के बागरा जिले के भवानी पुर गाँव में है । यहाँ, सती की वाम पैर का पायल या नूपुर गिर गया था तथा यहाँ देवी अपर्णा के रूप में है और वामन, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
सुंदरी या बाला-त्रिपुर सुंदरी शक्तिपीठ, (दाहिने पैर का पायल या नुपुर), त्रिपुरान्तकम्, श्रीशैलम, आंध्र प्रदेश, भारत ।
सुंदरी या बाला-त्रिपुर सुंदरी, सती के दाहिने पैर का पायल या नूपुर, भारत के आंध्र प्रदेश राज्य, श्रीशैलम के पास, त्रिपुरान्तकम् में गिरी । यहां देवी सुंदरी या बाला-त्रिपुर सुंदरी और सुन्दरनन्द, भैरव के रूप में अधिष्ठित हैं ।
कपालिनी शक्तिपीठ, (बाएं टखने), तामलुक, मेदिनीपुर, पश्चिम बंगाल, भारत ।
कपालिनी शक्तिपीठ, सती के बाएँ टखने, भारत में पश्चिम बंगाल के मिदनापुर जिले में तामलुक, मैं गिरा । यहां देवी, कपालिनी शक्ति और सर्वानंद, भैरव के रूप में प्रतिष्ठित हैं ।
चंद्रभागा शक्तिपीठ, (पेट), जूनागढ़, गुजरात, भारत ।
चंद्रभागा शक्तिपीठ, देवी सती का पेट या आमाशय, भारत के गुजरात राज्य के जूनागढ़ जिले में सोमनाथ, वेरावल, सौराष्ट्र या प्रभास क्षेत्र में गिरी । यहाँ भगवान शिव का सोमनाथ नमक ज्योतिर्लिंग विद्यमान हैं । यहाँ देवी चंद्रभागा शक्ति के रूप में और वक्रतुंड, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
अवंती शक्तिपीठ, (ऊपरी होंठ), उज्जैन, मध्य प्रदेश, भारत ।
अवंती शक्तिपीठ, देवी सती का ऊपरी होंठ, भारत के मध्य प्रदेश के उज्जैन में गिरा । यहाँ महाकालेश्वर नाम से भगवान शिव का ज्योतिर्लिंग हैं । यहाँ देवी अवंती शक्ति के रूप में और लम्बकर्ण, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
भ्रामरी शक्तिपीठ, (दोनों ठोड़ी), नासिक, महाराष्ट्र, भारत ।
भ्रामरी शक्तिपीठ, सती की ठोड़ी के दोनों हिस्से, भारत के महाराष्ट्र राज्य के नासिक जिले के गोदावरी नदी-घाटी में जनस्थान में गिरी । यहाँ देवी, भ्रामरी शक्ति के रूप में और वक्रकाटाक्ष, भैरव के रूप में अवस्थित हैं ।
विश्वेश्वरी शक्तिपीठ, (गाल), राजमुंदरी, आंध्र प्रदेश, भारत ।
विश्वेश्वरि द्राक्षरमं शक्तिपीठ, भारत के आंध्र प्रदेश के राजमुंदरी जिले के पास, सती के गाल गिरे थे । यहाँ वह विश्वेश्वरि शक्ति के रूप में और वत्साम्भा, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
अम्बिका शक्तिपीठ, (बाएँ पैर की उंगलियां), भरतपुर, राजस्थान, भारत ।
अंबिका शक्तिपीठ, भारत में राजस्थान में भरतपुर जिले के बिरात में, सती के बाएँ पैर की उंगलियां गिरी थी । यहाँ देवी, अंबिका शक्ति के रूप में और अमृतेश्वर, भैरव के रूप में अधिष्ठित हैं ।
कुमारी शक्तिपीठ, (दाएँ कंधे), कृष्णागर, हुगली, पश्चिम बंगाल, भारत ।
कुमारी शक्तिपीठ, खनकुल ग्राम के रत्नाकर नदी के तट पर, भारत, पश्चिम बंगाल के हुगली जिले के कृष्णागर, सती के दाहिने कंधे गिरे थे । यहाँ देवी, कुमारी शक्ति के रूप में और शिव, भैरव के रूप में प्रतिष्ठित हैं ।
उमा शक्तिपीठ, (बाएं कंधे), मिथिला, बिहार, भारत ।
उमा शक्तिपीठ, भारत के, बिहार राज्य (इंडो नेपाल सीमा के पास), मिथिला में, जनकपुर रेलवे स्टेशन के पास, सती का बायाँ कन्धा गिर था । यहाँ देवी, उमा या नील-सरस्वती शक्ति के रूप में और महोदर, भैरव के रूप में अवस्थित हैं ।
नल्हाटेश्वरी या कालिका, (गले की नली), नलहाटी, बीरभूम, पश्चिम बंगाल, भारत ।
नल्हाटेश्वरी या कालिका, यह पीठ भारत के पश्चिम बंगाल राज्य के बीरभूम जिले के, नलहाटी में स्थित हैं । यहाँ, सती के गले की नाली गिरी थी, यहाँ देवी, नल्हाटेश्वरी शक्ति रूप में और योगेश, भैरव रूप में प्रकट हैं ।
चामुंडेश्वरी या दुर्गा शक्तिपीठ, (दोनों कान), मैसूर, कर्नाटक, भारत ।
चामुंडेश्वरी या दुर्गा, यह पीठ भारत के कर्नाटक राज्य के मैसूर के चामुंडी पर्वत पर हैं । यहाँ देवी, सती के दोनों कान गिरे, देवी यहाँ जय दुर्गा शक्ति और अभिरु भैरव के रूप में अवस्थित हैं ।
महिषमर्दिनी शक्तिपीठ, (भौंहें), वक्रेश्वर, बीरभूम, पश्चिम बंगाल, भारत ।
महिषमर्दिनी शक्तिपीठ, यह पीठ भारत के पश्चिम बंगाल राज्य, बीरभूम जिले के वक्रेश्वर में पम्प्हारा नदी के तट पर अवस्थित हैं । यहाँ देवी सती, कि भौंहें गिरी थी तथा यहाँ देवी महिषमर्दिनी शक्ति रूप में और वक्रनाथ, भैरव के रूप में अवस्थित हैं । यहाँ २०० डिग्री सेल्सियस तापमान तक के गरम पानी के श्रोत हैं, जो अनेक प्रकार के अलौकिक शक्तिओ से सम्पन्न हैं ।
योगेश्वरी शक्तिपीठ, (पैर और हाथ के तलवे), खुलना, बांग्लादेश ।
योगेश्वर शक्तिपीठ, यह पीठ शक्ति काली को समर्पित हैं तथा ईस्वरीपुर गांव, जेसोर, खुलना जिला, बांग्लादेश में हैं तथा जसोरेश्वरी मंदिर के नाम से प्रसिद्ध हैं । महाराजा प्रतापादित्य ने इस शक्ति पीठ की खोज की तथा वे इस स्थान में काली की पूजा करते हैं। यहाँ देवी सती, के हाथ तथा पैर के तलवे गिरे थे, देवी योगेश्वरी शक्ति के रूप में और चंदा, भैरव के रूप में विद्यमान हैं ।
फुल्लौरा शक्तिपीठ, (निचले होंठ), लाभपुर, बीरभूम, पश्चिम बंगाल, भारत ।
फुल्लौरा शक्तिपीठ, यह पीठ भारत के पश्चिम बंगाल राज्य के बीरभूम जिले में, लाभपुर नमक गांव में स्थित हैं । यहाँ, देवी सती के निचले होंठ गिरे थे, देवी फुल्लौरा शक्ति के रूप में और विश्वेश, भैरव के रूप में अवस्थित हैं । यह मंदिर इमली के पेड़ो से घिरा हुआ है ।
नंदिनी शक्तिपीठ, (गर्दन अस्थि), नन्दीपुर ग्राम, सैंथिया, बीरभूम, पश्चिम बंगाल, भारत ।
नंदिनी या नदीकेश्वरी शक्तिपीठ, यह पीठ नन्दीपुर ग्राम, सैंथिया रेलवे स्टेशन के पास, बीरभूम जिला, पश्चिम बंगाल, भारत में अवस्थित हैं । यहाँ देवी सती की गर्दन अस्थि गिरी थी, यहाँ देवी नंदिनी या नन्दिकेश्वरी शक्ति और नंदिकेश्वर, भैरव के रूप में विद्यमान हैं । देवी कि विग्रह यहाँ सिंदूर से लिप्त है जो बड़ी चट्टान के आकार लिये, कछुये के पीठ के समान हैं ।
इन्द्राक्षी शक्तिपीठ, (पायल), जाफना, श्रीलंका ।
इन्द्राक्षी शक्तिपीठ, यह पीठ नैनातिवु (मणिपल्लवम्), श्रीलंका के जाफना के नल्लूर में स्थित हैं । देवराज इंद्र ने यहाँ पर देवी आदि शक्ति काली के पूजा की थी । दानव रावण (श्रीलंका के शासक या राजा) और भगवान राम ने भी यहाँ, देवी शक्ति की पूजा की हैं । यहाँ देवी सती कि पायल (आभूषण) गिरी थी तथा यहाँ देवी इन्द्राक्षी शक्ति के रूप में और राक्षसेश्वर,भैरव के रूप में अवस्थित हैं । | 2022/07/06 09:26:17 | http://www.pukhrajmewaraasind.com/2015/06/ | mC4 |
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भाई ने बहन के प्राइवेट पार्ट में मार दी गोली, वजह जानकर कांप जायेगी रूह
मेरठ। उत्तर प्रदेश में एक भाई ने अपनी बहन के प्रेम सबंध के शक में उसकी गोली मारकर हत्या कर दी। मृतिका का चचेरा भाई इस तरह नाराज था कि उसने नाबालिग बहन के प्राइवेट पार्ट में ही गोली मार दी। यह घटना मेरठ जिले के गढ़ी गांव की है। परिवार ने अपनी झूठी शान बचाने के लिए ऐसे कृत्य को अंजाम दिया। पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार छात्रा 11 वीं क्लास में पढ़ती थी। लड़की के प्रेम प्रंसंग की भनक लगने पर उसके परिजनों ने मिलकर उसे मौत के घाट उतार दिया।
मेरठ के सरधना थाना क्षेत्र के गढ़ी गांव में ऑनर किलिंग की घटना को परिजन तीन घंटे तक छिपाए रहे। यह घटना शनिवार रात करीब 9 बजे हुई थी। जबकि पुलिस को इसकी सूचना देर रात करीब 12:20 पर दी गई। महिला इंस्पेक्टर ने बताया कि नाबालिग पर एक नहीं दो गोली चलाई गईं थी। पुलिस के अनुसार परिजनों की प्लानिंग मर्डर को छुपाने की थी जिसके लिए उन्होंने पुलिस के सामने बदमाशों द्वारा डकैती के दौरान हत्या करना बताया। लेकिन पुलिस द्वारा पूछताछ करने पर परिवार के सदस्यों ने अलग-अलग बयान दिए जिसके बाद मामला खुलता चला गया। घटना को डकैती दिखाने के लिए हवाई फायर भी किए गए थे। परिजनों ने घटना स्थल पर पड़े खून को पानी से साफ करने की भी कोशिश की फिर योजनाबध्द तरीके से पुलिस सूचना दी गई। फॉरेंसिक टीम ने मौके पर पहुंचकर जांच पड़ताल की। पुलिस के अस्पताल पहुंचने से पहले ही नाबालिग की मौत हो चुकी थी।
पुलिस ने बताया कि लंबे समय से परिजनों ने नाबालिग छात्रा का बाहर आना-जाना बंद कर रखा था। छात्रा अपने ताऊ के घर गई हुई थी जहां पर आरोपी रहता है। नाबालिग के प्रेम संबंध की बात पता चलते ही भाई आग-बबूला हो गया और फिर अपनी बहन को मौत के घाट उतार दिया। शनिवार को सरधना पुलिस को 112 नंबर से सूचना मिली थी कि अज्ञात बदमाशों ने जयविंद्र के घर के गेट पर छात्रा को गोली मार दी है। पहले परिजन पुलिस को गुमराह करते रहे, बाद में आरोपियों ने घटना की सच्चाई बताई। पुलिस ने मुख्य आरोपी प्रशांत छात्रा के पिता, भाई, ताऊ, को गिरफ्तार कर लिया है। रविवार शाम को पोस्टमार्टम के बाद शव का अंतिम संस्कार कर दिया गया।
एसओ सरधना उपेंद्र मलिक के अनुसार परिजनों ने बताया कि नाबालिग एक बार फेल हो गई थी। और वह हॉस्टल में रहकर पढ़ाई करना चाहती थी। लेकिन परिजन उसकी बातों का विरोध करते थे। नाबालिग की एक युवक से दोस्ती है इसका पता चलने पर कई बार परिजनों ने नाबालिग के घर से निकलने पर रोक लगाते हुए उसका मोबाइल भी छीन लिया था। कुछ दिन पहले पता चला कि छात्रा शादी करना चाहती है। नाबालिग के मोबाइल की कॉल डिटेल रिकॉर्ड (सीडीआर) में भी एक नंबर पर बात होना पुलिस ने बताया है। | 2021/10/26 18:09:22 | https://www.hindikhabar.in/2020/03/blog-post_355.html | mC4 |
19. नारियल « धर्म मार्गदर्शन
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2. अ….. उ …..म …..।
3. ईश्वर परमदयालु पत्मात्मा है। ईश्वर की आप सभी पर कृपा है।
4. यह सृष्टि ईश्वर की है। आपके पास जो भी है वह ईश्वर का है।
5. ईश्वर की चीज ईश्वर को देने में त्याग कैसा? इसमें बलिदान कैसा?
6. कुछ लोग कहते है की ईश्वर को क़ुरबानी/बलि अच्छी लगती है। तुम उनसे कहो, "जो ईश्वर का है उसको वापस ईश्वर को देने में कैसी क़ुरबानी? कैसी बलि? यह क़ुरबानी या बलि अज्ञान है। छोडो यह अज्ञान।" ईश्वर क्षमाशील और कृपालु है।
7. ईश्वर की बनायीं हुई चीज को ईश्वर को खुश करने के लिए काटना यह मानव का अज्ञान है, यह अन्धश्रध्दा है।
8. तुम्हारी यह कृति ईश्वर को बदनाम करती है। यह कृति ईश्वर के मार्ग में भयंकर अपराध है। तुम इस अपराध से बचो। ईश्वर सब देख रहा है। वह सर्वज्ञ है।
9. कुछ अघोरी लोग उनके देवता को खुश करने के लिए लोगों को मारते है। उनसे कहो, "क्या तुम ईश्वर को दानव समझते हो? क्यों तुम इसतरह ईश्वर का अपमान करते हो? बाझ आओ, मारने, मरवाने से ईश्वर खुश नहीं होता। वह परमदयालु परमात्मा है। वह सबको सुखी देखना चाहता है।
10. कुछ कबिलाई लोग उनके देवता को खुश करने के लिए जानवरों की बलि देते है। क्या उनके देवता का भोजन जानवर है? क्या वे उनके देवता को बकासुर समझते है? उनको कहो की बाझ आओ, जानवरों को मारने से ईश्वर को कोई खुशी नहीं। वह परमदयालु परमात्मा है। तुम्हारी हिंसा ईश्वर को मान्य नहीं है।
11. मानव की इस अज्ञानता को दूर करने के लिए ईश्वर ने ऋषियों को उपदेश किया, "दुनिया के सभी ओर अहिंसा का प्रचार करो। मै मानव और जानवरों की हत्याए देखकर दुखी हू। यह निर्ममता, निर्दयता देख कर मुझे अतिव कष्ट होता है। मानव द्वारा किया हुआ यह कृत्य मुझे अपमानित और बदनाम कर रहा है। यह मानव का अधर्म है। जाओ उनको सत्यमार्ग पर लेकर आओ।"
12. ऋषिओं ने सभी ओर अहिंसा का प्रचार-प्रसार किया। लेकिन कुछ दुराग्रही विरोध करने लगे।
13. जैसे बच्चा खिलौना छोड़ने से मना करता है, और दूसरा खिलौना देते ही पहला खिलौना छोड देता है। वैसे ही मानवों से यह हिंसा छोड ने के लिए ऋषि तरकीब सोचने लगे। तभी ईश्वर ने नारियल का निर्माण किया।
14. तब से आज तक अहिंसा प्रिय लोग ईश्वर के सामने नारियल चढाते है।
15. नारियल से हिंसा कम हुई। अंधकार नष्ट हुआ। किन्तु आज भी कुछ दुराग्रही अंधकार को अपना रहे है। उनके लिए अधोगति है।
16. कुछ मांसाहारी आज भी मांस खाने के लिए क़ुरबानी/बलि देते है, और ईश्वर को बदनाम करते रहते है। अगर उनको मांसाहार खाना ही है, तो ईश्वर को बदनाम करके क्यों?
17. क्यों वे ईश्वर को बदनाम करने से बाझ नहीं आते? क्यों वे ईश्वर का अपराध कर रहे है? तुम इस अपराध से बचो। ईश्वर सब देख रहा है, वह सर्वज्ञ है। जो अवज्ञा करेगा उसके लिए अधोगति है। तुम इस अवज्ञाकारीयों जैसा मत बनो।
18. नारियल यह अहिंसा का प्रतिक है। नारियल के उपयोग से समाज सुसंस्कृत बनने लगा, ईश्वर का सन्मान करने लगा।
19. नारियल यह सर्वोत्तम प्रसाद है। जब से लोगों ने नारियल का उपयोग किया, उसका प्रसाद ग्रहण करना शुरू किया, तब से ईश्वर की कृपा बरसने लगी। इससे लोगों के दुःख-दर्द दूर होने लगे। तुम सभी इसी मार्ग पर कायम रहो। | 2019/06/17 09:37:12 | https://dharmmargdarshan.wordpress.com/2013/11/13/%E0%A4%AA%E0%A4%A2%E0%A4%A8%E0%A5%87-%E0%A4%95%E0%A5%87-%E0%A4%B2%E0%A4%BF%E0%A4%8F-%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%B2%E0%A4%BF%E0%A4%95-%E0%A4%95%E0%A4%B0%E0%A5%87%E0%A4%82/ | mC4 |
कोलकाता, 23 अक्टूबर (हि.स.)। शिवपुर के इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ इंजीनियरिंग साइंस एंड टेक्नोलॉजी (आईआईएसटी) के 1000 छात्रों के लिए छात्रावास का निर्माण कार्य जल्द ही शुरू होगा। हाल ही में दिल्ली में संपन्न हुए संस्थान के बोर्ड आफ गवनर्र्स की बैठक में यह निर्णय लिया गया है।
मंगलवार को "हिन्दुस्थान समाचार" से विशेष बातचीत में आईआईएसटी के रजिस्ट्रार विमान बनर्जी ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि छात्रों के लिए छात्रावास की उचित व्यवस्था नहीं होने की वजह से गत शिक्षा सत्र में नामांकन के लिए मौजूद सीटों की संख्या घटा दी गई थी। शिक्षा सत्र 2015-16 में कुल 935 छात्रों ने यहां एडमिशन लिया था जबकि वर्तमान शिक्षा सत्र में 20 फीसदी घटाकर 585 कर दिया गया था। इसके बाद लगातार संस्थान की ओर से छात्रावास और अन्य ढांचागत विकास के लिए कोशिश की जा रही थी लेकिन केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्रालय की ओर से इस बारे में बैठक की सहमति नहीं मिलने और फैसला लेने में देरी होने की वजह से ही इसमें इतनी देर हुई है।
विमान ने बताया कि संस्थान के बोर्ड आफ गवर्नर्स का कार्यकाल खत्म हो चुका है। इनकी अंतिम बैठक पिछले साल नौ दिसंबर को हुई थी। उसके बाद हाल ही में संस्थान के लिए नई संचालन समिति की बैठक दिल्ली में हुई थी। उसमें इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस के निदेशक अनुराग कश्यप भी शामिल हुए थे। इधर हावड़ा के संस्थान की ओर से संचालन समिति के छह सदस्यों ने भी इस बैठक में भागीदारी की थी। बैठक में यह निर्णय लिया गया है की एक अकाडेमी कंपलेक्स बनाने के साथ-साथ कम से कम 1000 छात्रों के रहने लायक छात्रावास का निर्माण कार्य जल्द शुरू होगा। इसके अलावा अब तक संस्थान का दीक्षांत समारोह मार्च में होता रहा है लेकिन यह अब दिसंबर में होगा। इसके साथ ही डॉक्टरेट की मानद उपाधि से सम्मानित करने वाले अतिथियों की सूची भी जल्द ही बनाई जाएगी। | OSCAR-2019 |
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VigRX Delay Spray समीक्षा: ७ महीने बाद मुझे मिलने वाले नतीजे | तस्वीरें और सचाई
VigRX देरी स्प्रे के माध्यम से चरमोत्कर्ष में देरी करने के लिए? खरीद लाभदायक क्यों है? उपभोक्ता विजय के बारे में बताते हैं
5.8/10 0:22 Kimberly Norris
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अनगिनत ग्राहकों की रिपोर्ट है कि वे पहले से ही एक महत्वपूर्ण सुधार करने में सक्षम थे जब उन्होंने पहली बार इसका इस्तेमाल किया था। अक्सर ऐसा होता है कि कुछ हफ्तों के बाद पहले से ही प्रभावशाली अनुभव मनाया जा सकता है।
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के अंतर्गत व्यक्ति का नाम अपने रिकॉर्ड मे पंजीकृत कर लेती है तो उसको ऑनलाइन भी चढ़ा दिया जाता है जिसको हम मनरेगा की वैबसाइट से भी download कर सकते है । | 2021-02-28T19:24:53Z | https://gwaliortimes.wordpress.com/%E0%A4%9C%E0%A4%97%E0%A4%9C%E0%A5%80%E0%A4%B5%E0%A4%A8-%E0%A4%AA%E0%A4%B0%E0%A4%BF%E0%A4%B9%E0%A4%BE%E0%A4%B0-%E0%A4%AE%E0%A5%81%E0%A4%A0%E0%A4%AD%E0%A5%87%E0%A4%A1%E0%A4%BC-%E0%A4%AA%E0%A4%B0/ | OSCAR-2109 |
Andaman Police Taking Help of Anthropologists and Academics to search the Body of John Allen Chau an American Tourist - अमेरिकी पर्यटक जॉन एलेन चाऊ के शव का अभी तक नहीं मिला कोई सुराग, पुलिस अब ले रही विशेषज्ञों की मदद
होमदेशअमेरिकी पर्यटक जॉन एलेन चाऊ के शव का अभी तक नहीं मिला कोई सुराग, पुलिस अब ले रही विशेषज्ञों की मदद
देपेंद्र पाठक बताया कि पुलिस जॉन एलेन चाऊ द्वारा 13 पन्नों में लिखे गए उनके यात्रा वृतांत को भी एक सबूत के तौर पर देख रही है.
ख़बर न्यूज़ डेस्क, Updated: 23 नवम्बर, 2018 3:15 PM
अंडमान निकोबार में चाऊ की हुई हत्या
पुलिस ने इस मामले में सात मछुआरों को किया है गिरफ्तार
20 नवंबर को की गई थी चाऊ की हत्या
पोर्ट ब्लेयर:
अमेरिकी पर्यटक जॉन एलेन चाऊ (John Allen Chau) की हत्या के तीन दिन बाद भी पुलिस को अभी तक उसके शव का कोई सुराग नहीं लगा है. पुलिस अब पर्यटक के शव को ढूंढ़ने के लिए मनोविज्ञानिक और विशेषज्ञों की मदद भी ले रही है. बता दें कि अमेरिकी पर्यटक अंडमान निकोबार द्वीप समूह घूमने आया था.अंडमान निकोबार पुलिस (Andaman Nicobar Police) के डीजीपी देपेंद्र पाठक ने कहा कि पुलिस विशेषज्ञों की मदद ले रहे हैं. उन्होंने बताया कि पुलिस जॉन एलेन चाऊ द्वारा 13 पन्नों में लिखे गए उनके यात्रा वृतांत को भी एक सबूत के तौर पर देख रही है. और इस कोशिश में जुटी है कि इसकी मदद से उनके आखिरी लोकेशन के बारे में पता लगाया जा सके. चाऊ (John Allen Chau) की हत्या को लेकर पहले कहा गया था कि उनकी हत्या तीर मारकर की गई है लेकिन अडमान पुलिस (Andaman Nicobar Police) के पीआरओ जतिन नरवाल ने बुधवार को कहा कि इस मामले की अभी जांच चल रही है, जांच पूरी होने तक कुछ भी कहना थोड़ी जल्दबाजी होगी.
यह भी पढ़ें: अंडमान एवं निकोबार द्वीप समूह में अमेरिकी पर्यटक की हत्या, सात गिरफ्तार
वहीं अडमान पुलिस के डीजीपी देपेंद्र पाठक ने कहा कि हमनें इस मामले में अभी तक मनोविज्ञान के जानकार, वन विभाग औऱ कई अन्य विशेषज्ञों से संपर्क किया है ताकि हम घटना वाली जगह पर पहुंच सकें और चाऊ को शव को ढूंढ सकें. गौरतलब है कि इससे पहले खबर आई थी कि अंडमान निकोबार द्वीप समूह के नोर्थ सेंटीनल द्वीप पर सेंटिनलीज जनजाति द्वारा मारे गए अमेरिकी पर्यटक ने वहां तक पहुंचने के लिए मछुआरों को 25 हजार रुपए दिए थे. अभी तक उसका शव मिल नहीं पाया है, अंदाजा लगाया जा रहा है कि सेंटिनलीज जनजाति के लोगों ने उसे दफना दिया. उसके शव को ढूंढ़ने की कोशिश की जा रही है, लेकिन प्रशासन को अभी तक कोई सुराग नहीं मिला है.
बता दें, इस द्वीप पर रहने वाली सेंटिनलीज जनजाति के लोगों की संख्या 2011 की जनगणना के मुताबिक केवल 40 बताई गई है. बताया जाता है कि यह जनजाति बाहरी लोगों को अपने लिए खतरा समझते हैं. इनके क्षेत्र में घुसने वाले लोगों पर ये पत्थर और तीर-कमानों से हमला कर देते हैं. अमेरिकी नागरिक जॉन चाऊ ने सेंटीनल द्वीप पर रहने वाली सेंटिनलीज जनजाति से मिलने की इच्छा जाहिर की थी. इसके बाद उसने 25 हजार रुपए किराए देकर पोर्ट ब्लेयर से 102 किलोमीटर दूर इस द्वीप पर जाने के लिए नाव किराए पर ली. एक मछुआरे ने पुलिस को बताया कि 14 नवंबर की रात वे इस द्वीप पर पहुंच गए थे. उन्होंने किनारे से 500 मीटर पहले ही अपनी नाव रोक दी. अगली सुबह तड़के ही चाऊ डोंगी से द्वीप पर चला गया. डोंगी वह अपने साथ नाव पर लेकर आया था.
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अंडमान निकोबार के डीजीपी दीपेंद्र पाठक ने एनडीटीवी को बताया कि वह अपने साथ बाइबिल भी लेकर चल रहा था. मछुआरों ने तभी देखा कि सेंटिनलीज जनजाति के लोगों ने उस पर तीरों से हमला कर दिया, लेकिन वह फिर भी अंदर जाता रहा. इसके बाद वह उस दिन दोपहर में नाव पर वापस लौटा. वापस लौटा तो उसके शरीर पर तीर और कमान से चोट के निशान थे. नाव पर उसने उन जख्मों पर कुछ दवाई लगाई और खाना भी खाया. इसके बाद उसने अपनी डायरी में सेंटिनलीज जनजाति से अपनी पहली मुलाकात के बारे में बताया. फिर उसी रात वह फिर डोंगी लेकर निकल गया.
VIDEO: नाव डूबने से 21 लोगों की हुई मौत.
आखिरी बार मछुआरों ने उसे तभी देखा था. फिर 17 नवंबर तड़के मछुआरों ने देखा सेंटिनलीज जनजाति के कुछ लोग एक शव को घसीट रहे हैं, जो कि चाऊ जैसा दिख रहा था. उन्होंने उसे रेत में दफना दिया. इसके बाद मछुआरे वापस पोर्ट प्लेयर लौट आए. उन्होंने पोर्ट ब्लेयर लौटकर इसकी जानकारी चाऊ के दोस्त को दी. जिसने इसके बारे में चाऊ के परिवार और अमेरिकी दूतावास को जानकारी दी. | 2020/07/14 07:46:46 | https://khabar.ndtv.com/news/india/andaman-police-taking-help-of-anthropologists-and-academics-to-search-the-body-of-john-allen-chau-an-1952310 | mC4 |
2-फ्लोर हाउस के आंतरिक डिजाइन बीएसी जीआईएनजीएएन में गार के साथ - एमवी
ग्राहक: एएनएच नाम
परियोजना: बक गियांग टाउनहाउस
शैली: आधुनिक, शानदार
डिज़ाइन टाउनहाउस फर्नीचर आधुनिकता गृहस्वामियों की एक अनिवार्य आवश्यकता बन गई है। लेकिन आज असंख्य डिजाइनों में से, अपने घर को सुंदर, आरामदायक और किफ़ायती कैसे बनाया जाए?
इस समस्या को हल करने के लिए, कृपया इंटीरियर डिजाइन में तुरंत MOIVAONHATOI की आर्किटेक्ट टीम से परामर्श लें। टाउनहाउस बेक जियांग में श्री नाम की 2 मंजिलें!
बेक गियांग टाउनहाउस का बाहरी डिजाइन
विस्तृत ग्रे-सफ़ेद रंग के रंगों के साथ विस्तृत डिजाइन वाले 2-मंजिला घर की युवा और आधुनिक शैली घर की आधुनिक और हवादार विशेषताओं पर जोर देती है।
ग्रे पैटर्न वाले पैटर्न के साथ उच्च श्रेणी के औद्योगिक पत्थर का उपयोग करना मुखौटा के लिए हाइलाइट और आधुनिकता दोनों है। सरल और स्वस्थ आकृतियों को बहुत प्रभावशाली मुखौटा में सामंजस्यपूर्ण रूप से व्यवस्थित किया गया है।
क्योंकि यह केवल एक मोहरा के साथ एक आधुनिक गेराज के साथ एक 2-मंजिला घर का मॉडल है, MOIVAONHATOI के वास्तुकारों ने इंटीरियर स्पेस को बहुत अधिक हवा और प्रकाश प्राप्त करने में मदद करने के लिए एक बड़े और बड़े कांच के दरवाजे प्रणाली को डिजाइन किया है। पेंट रंगों और आधुनिक ग्लास के बीच सामंजस्यपूर्ण संयोजन एक आधुनिक गेराज के साथ 2-मंजिला इमारत को एक निश्चित प्रभाव और जीवंतता देता है।
स्मार्ट डोर सिस्टम के साथ गेराज डिजाइन करना एक ही समय में सुविधा, आधुनिकता और परिष्कार लाता है।
बेक गिएंग टाउनहाउस के आंतरिक डिजाइन
बेक गियांग टाउनहाउस के रहने वाले कमरे का इंटीरियर डिजाइन
2 ग्लास पक्षों के साथ रहने वाले कमरे को डिजाइन करना यहां की जगह को हमेशा ढीला, सबसे प्राकृतिक प्रकाश और वायु स्रोतों से हवादार बनाने में मदद करता है। डबल-परत पर्दा प्रणाली प्रकाश स्रोत को विनियमित करने में मदद करती है जो जीवित रहने के लिए उपयुक्त है। एक सरल अभी तक कार्यात्मक इंटीरियर चुनने में सावधानी से कमरे में सबसे आधुनिक रूप लाने में मदद मिलती है।
अंतरिक्ष को अधिक हवादार और सामंजस्यपूर्ण बनाने में मदद करने के लिए हल्के रंग के फर्नीचर के चयन के साथ मुख्य सफेद रंग टोन के साथ लिविंग रूम। एक बेज और सोने की आई-टोन सोफा कुशन चुनना जो एक गर्म, देहाती भावना लाता है, सरल कोणीय डिजाइन पूरे घर की नाजुक सुंदरता को दर्शाता है।
चाय की मेज का सरल और अनोखा डिज़ाइन कमरे में लक्जरी जोड़ने के लिए एक आधुनिक आकर्षण है। वर्ग अवतल डिजाइन के साथ उच्च श्रेणी के प्लास्टर छत का उपयोग कमरे को अधिक हवादार बनाने के लिए ऊंचाई बनाता है।
टीवी को एक उच्च श्रेणी की ग्रे औद्योगिक टाइल की दीवार पर रखा गया है, और एक बहु-कार्य कैबिनेट प्रणाली परिवार के लिए सबसे आरामदायक और आरामदायक रहने की जगह प्रदान करती है।
बेक गियांग गली में रसोई का आंतरिक डिजाइन
मिनिमलिस्ट, आधुनिक लेकिन पूरी तरह कार्यात्मक हमारे आर्किटेक्ट्स का उद्देश्य किचन इंटीरियर डिजाइन करना है। लकड़ी के फर्नीचर का चयन, वही पृष्ठभूमि लकड़ी उद्योग आधुनिकता और परिष्कार के लिए हाई-एंड हमेशा नंबर 1 पसंद होता है। इस जगह को हमेशा खुला और आरामदायक बनाने में मदद करने के लिए अंतरिक्ष के अनुरूप, क्षेत्र को अधिकतम करने के लिए रसोई प्रणाली और बहुमुखी अलमारियाँ बास के साथ डिज़ाइन की गई हैं।
बार डिजाइन रसोई और भोजन कक्ष के बीच अंतरिक्ष अलगाव बनाने के लिए। मेहमानों को इकट्ठा या स्वागत करते समय परिवार के लिए आरामदायक और आरामदायक जगह बनाने के लिए एक साधारण डिज़ाइन और असबाबवाला कुर्सियों के साथ एक शानदार उच्च श्रेणी की लकड़ी की डाइनिंग टेबल चुनें। इसके अलावा, सफेद लकड़ी के अनाज पैटर्न वाली दीवार अंतरिक्ष के लिए और अधिक प्रभावशाली होने का मुख्य आकर्षण है।
बड़े कांच का दरवाजा लिविंग रूम को रसोई से जोड़ता है, जिससे रहने के लिए वेंटिलेशन और सुविधा दोनों का निर्माण होता है। कमरे के लिए सबसे अधिक प्रकाश प्रदान करने के लिए प्रकाश व्यवस्था हमेशा स्थापित होती है।
यह भी देखें: येन लैंग में टाउनहाउस के प्रभावशाली आंतरिक डिजाइन न्यूनतम और आधुनिक हैं
बेक गियांग टाउनहाउस का मास्टर बेडरूम इंटीरियर डिजाइन
बेडरूम आराम करने के लिए एक आरामदायक जगह है, इसलिए इसे इस तरह से डिज़ाइन किया गया है कि यह न्यूनतम है लेकिन फिर भी पूरी तरह से आरामदायक और आरामदायक है। तटस्थ रंग के फर्नीचर और उच्च-ग्रेड औद्योगिक लकड़ी की पृष्ठभूमि का चयन यहां के स्थान को अधिक आधुनिक और परिष्कृत बनाने में मदद करता है।
खिड़कियों के पास रखे बड़े बेड प्राकृतिक, ताजी रोशनी के साथ एक आरामदायक आराम स्थान प्रदान करते हैं। नरम पंखों वाला ग्रे बैकग्राउंड कालीन।
बास डिजाइन के साथ लकड़ी के कैबिनेट आधुनिक और पूरी तरह कार्यात्मक हैं, जो बेडरूम को अधिक सुव्यवस्थित बनाने में मदद करते हैं। इसके अलावा, खिड़की के पास एक वैनिटी टेबल रखने से यहां रहने पर घर के मालिक को आराम मिलता है। कमरे के लिए मुख्य आकर्षण अद्वितीय और अभिनव वी-आकार का दीपक डिजाइन है।
बेक गियांग टाउनहाउस का इंटीरियर डिज़ाइन बेडरूम
युवा, न्यूनतर और आधुनिक दिखने के लिए हल्के और कोमल रंगों की पसंद के साथ बच्चे का बेडरूम अच्छी तरह से हवादार है। डबल बेड गद्दे के साथ उच्च श्रेणी की लकड़ी के बिस्तर की अलमारियाँ दोनों जगह बचाती हैं और 2 बच्चों के रहने के लिए उपयुक्त हैं। खिड़की के पास एक अध्ययन डेस्क रखने से बच्चों को स्वतंत्र रूप से अध्ययन करने और बनाने में मदद मिलती है। बच्चों के सीखने के लिए आरामदायक बुकशेल्व जोड़ने के लिए डिज़ाइन किया गया।
पौधे के बर्तनों के साथ अधिक चित्रों को सजाने से यहां की जगह अधिक जीवंत और ताजा हो जाती है।
बहुउद्देश्यीय डिज़ाइन किए गए बास अलमारी सिस्टम कमरे को साफ और सुव्यवस्थित बनाता है, जिससे अंतरिक्ष और आधुनिक और आरामदायक बचत होती है।
क्या आप इस न्यूनतम, आरामदायक 2-बेडरूम डिजाइन के साथ गेराज के साथ 2-मंजिला बीएसी गियान टाउनहाउस के आंतरिक डिजाइन से प्यार करते हैं? डिजाइनिंग पर सलाह के लिए MOIVAONHATOI से संपर्क करें - सस्ते टाउनहाउस फर्नीचर का निर्माण! | 2022/05/29 02:39:25 | https://moivaonhatoi.com/hi/me-man-thiet-ke-noi-that-nha-pho-2-tang-co-gara-o-bac-giang | mC4 |
राशिफल : इन चार राशियों पर चंद्र देव होंगे मेहरबान, धन लाभ के बनेंगे योग – The Lucknow Tribune, द लखनऊ ट्रिब्यून, lucknow breaking news, the lucknow tribune news, the lucknow tribune news paper, lucknow hindi news, today lucknow news, द लखनऊ ट्रिब्यून हिंदी समाचार, breaking news, Lucknow breaking news, Hindi News Samachar, Find all Hindi News and Samachar, News in Hindi, Hindi News Headlines and Daily Breaking Hindi News Today and Updated,lucknow post news, lucknow cm news, lucknow metro, uttar pradesh metro
राशिफल : इन चार राशियों पर चंद्र देव होंगे मेहरबान, धन लाभ के बनेंगे योग
25/01/2020 5:21 AM 22/01/2020 1:22 PM लखनऊ ट्रिब्यून
मेष : भागदौड़ रहेगी। स्वास्थ्य और प्रतिष्ठा के प्रति सचेत रहें। आर्थिक मामलों में प्रगति होगी। शासन सत्ता का सहयोग रहेगा।
वृषभ : शिक्षा प्रतियोगिता के क्षेत्र में चल रहा प्रयास सफल रहेगा। गृह उपयोगी वस्तुओं में वृद्धि होगी। सामाजिक प्रतिष्ठा बढ़ेगी।
मिथुन : पारिवारिक कार्य में व्यस्त रहेंगे। धन, यश, कीर्ति में वृद्धि होगी। जीविका के क्षेत्र में प्रगति होगी। सामाजिक प्रतिष्ठा बढ़ेगी।
कर्क : जीवनसाथी का सहयोग और सानिध्य मिलेगा। चल या अचल संपत्ति में वृद्धि होगी। अज्ञात भय से ग्रसित हो सकते हैं। स्वास्थ्य के प्रति सचेत रहें।
सिंह : पारिवारिक दायित्व की पूर्ति होगी। आर्थिक पक्ष मजबूत होगा। गृह उपयोगी वस्तुओं में वृद्धि होगी। संबंधों में निकटता आएगी। जीविका के क्षेत्र में प्रगति होगी।
कन्या : आत्मविश्वास में वृद्धि होगी। सामाजिक प्रतिष्ठा बढ़ेगी। किसी कार्य के संपन्न होने से आपके प्रभाव तथा वर्चस्व में वृद्धि होगी।
तुला : जीविका के क्षेत्र में प्रगति होगी। दांपत्य जीवन सुखमय होगा। उपहार या सम्मान में वृद्धि होगी। रचनात्मक कार्यों में प्रगति होगी। निजी संबंध प्रगाढ़ होंगे।
वृश्चिक : पारिवारिक जीवन सुखमय होगा। आर्थिक पक्ष मजबूत होगा। गृह उपयोगी वस्तुओं में वृद्धि होगी। शासन सत्ता का सहयोग मिलेगा। निजी संबंध प्रगाढ़ होंगे।
धनु : आर्थिक पक्ष मजबूत होगा। यात्रा देशाटन की स्थिति सुखद होगी। निजी संबंध मधुर होंगे। संबंधों में मधुरता आएगी। दांपत्य जीवन सुखमय होगा।
मकर : व्यावसायिक प्रतिष्ठा बढ़ेगी। पिता या संबंधित अधिकारी का सहयोग मिलेगा। निजी संबंध प्रगाढ़ होंगे। संबंधों में मधुरता आएगी। पारिवारिक जीवन सुखमय होगा।
कुंभ : आर्थिक पक्ष मजबूत होगा। जीवनसाथी का सहयोग और सानिध्य मिलेगा। जीविका के क्षेत्र में प्रगति होगी। शासन सत्ता का सहयोग मिलेगा। रचनात्मक कार्यों में प्रगति होगी।
मीन : किसी कार्य के संपन्न होने से आत्मविश्वास में वृद्धि होगी। शिक्षा के क्षेत्र में प्रगति होगी। पारिवारिक प्रतिष्ठा बढ़ेगी। आर्थिक पक्ष मजबूत होगा।
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राष्ट्रपति भवन में बोलसोनारो का हुआ औपचारिक स्वागत, राष्ट्रपति कोविंद, पीएम मोदी और जयशंकर से की मुलाकात → | 2020/10/28 14:30:32 | https://thelucknowtribune.com/%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%B6%E0%A4%BF%E0%A4%AB%E0%A4%B2-%E0%A4%87%E0%A4%A8-%E0%A4%9A%E0%A4%BE%E0%A4%B0-%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%B6%E0%A4%BF%E0%A4%AF%E0%A5%8B%E0%A4%82-%E0%A4%AA%E0%A4%B0-%E0%A4%9A/ | mC4 |
भारतीय महिला हॉकी टीम आयरलैंड से हारीं
20 Oct 2019, 11:50:52 के समाचार About us Android App Advertisement Contact us
By Dabangdunia News Service | Publish Date: May 29 2019 6:16PM | Updated Date: May 29 2019 6:16PM
डबलिन। भारत की जूनियर महिला हॉकी टीम के आयरलैंड दौरे की शुरूआत निराशाजनक हार के साथ हुयी और उसे पहले मैच में आयरलैंड की सीनियर महिला टीम ने 4-1 से हरा दिया। इस मैच में भारत का एकमात्र गोल शर्मिला देवी ने किया।
आयरलैंड ने सातवें मिनट में बढ़त बनाई और भारत ने तीसरे क्वार्टर में शर्मिला देवी के गोल से बराबरी हासिल की। लेकिन सारा हॉकशा ने तीसरे क्वार्टर की समाप्ति पर आयरलैंड को आगे कर दिया। आयरलैंड ने आखिरी क्वार्टर में दो गोल दागते हुये मैच 4-1 से जीत लिया। भारत का अगला मुकाबला कनाडा की जूनियर महिला टीम से होगा। इसके बाद भारतीय टीम 31 मई से 4 जून तक चार देशों के अंडर-21 टूर्नामेंट में खेलेगी। | 2019/10/20 06:20:56 | http://dabangdunia.co/news/hockey/story/118627.html | mC4 |
आप के रूप में लंबे समय के रूप में वह पुरुष वीडियो चैट आप प्रसन्न लिए इस सुंदर कुदाल बकवास करने के लिए चुन सकते हैं
वह पुरुष वीडियो चैट
या बस सोने के साथ एक शर्त पर जाने की मछली वहाँ nobelium उन्नति घड़ी को होस्ट करने के लिए एक खेल की तुलना में जब मौसम बदल जाता है काम की दरार और अधिक या कम की तरह क्लासिक्स ट्विस्टर या Charades और इकाई परिवार शामिल है या कुछ के लिए एक छोटे से अधिक रचनात्मक और निर्माता वह पुरुष वीडियो चैट की हिस्सेदारी Pictionary या Cranium है हमेशा के लिए मजाक का सबसे अच्छा हिस्सा है आप कर सकते हैं उठाओ-इन के कमरे में खेल-ताकना से KmartPlus देने के लिए चीजों के एक उत्तेजक और प्रतिस्पर्धा में बढ़त तुम सकता है हमेशा के लिए शुरू axerophthol टैली के लिए विक्टर प्रत्येक की हिस्सेदारी और उन्हें प्रस्तुत के साथ एक शोख़ी पुरस्कार परमाणु संख्या 85 अंत
मैं इसी तरह वह पुरुष वीडियो चैट सब भूल गया, लेकिन कमबख्त बात सफाई
हमारे नरम कर देना अश्लील खेल में आपका स्वागत है टेक्नोलॉजिकल अश्लील खेल ऑनलाइन किन्नर वीडियो चैट के बड़े प्रवेश के साथ जगह! वयस्क जगाना खेल-दैनिक ईण्डीयुम सबसे घमंडी एरोटिक श्रेणियों अद्यतन बिल्कुल मुफ्त है और नव एसएमयू खेल । वयस्क खेल खेलने के लिए और सेक्स खेल ऑनलाइन पर प्राप्त है playpornogames.com | 2021/04/19 14:27:39 | https://datingshemales.pw/hi/%E0%A4%B5%E0%A4%B9-%E0%A4%AA-%E0%A4%B0-%E0%A4%B7-%E0%A4%B5-%E0%A4%A1-%E0%A4%AF-%E0%A4%9A-%E0%A4%9F/ | mC4 |
Mirzapur Dm eat mid day meal with student after roti namak case - Mirzapur News in Hindi - मिड डे मील प्रकरण के बाद अजीबो-गरीब बयान देकर चर्चे में आए थे ये डीएम, अब बच्चों के साथ खा रहे खाना | Patrika Hindi News
Publish: Sep 06, 2019 10:54 AM | Updated: Sep 06, 2019 10:54 AM
डीएम ने बच्चों को बैठकर पढ़ाया भी
मिर्ज़ापुर. यूपी के मिर्जापुर में मिड डे मिल में बच्चों को नमक -रोटी खिलाए जाने को लेकर देश भर में किरकिरी होने के बाद शिक्षक दिवस पर डीएम ने विद्यालय में बच्चों के साथ बैठकर मिड डे मील में दाल रोटी खाया। साथ ही बच्चों को पढ़ाया भी।
बता दें कि मिर्ज़ापुर में मिडडे मील में बच्चो को नमक रोटी खिलाये जाने के बाद से चर्चा में आये प्राथमिक स्कूलों में मिलने वाला मिड डे मील सवालों के घेरे में आ गया है। शिक्षक दिवस पर सिटी ब्लॉक के प्राथमिक विद्यायल पीपरादाड़ में डीएम अनुराग पटेल ने शिक्षक दिवस के अवसर पर पहुंचे। वहां पर उन्होंने स्कूल में बने मिड डे मील में दाल रोटी बच्चों के साथ बैठ कर खाया। इस दौरान उन्होंने बच्चों को क्लास रूम में ब्लैक बोर्ड पर पढ़ाया भी। इसके अलावा डीएम ने बच्चों को अपने हाथों से पोषण आहार भी खिलाया।
डीएम अनुराग पटेल के बताया कि जिला प्रशासन पठन-पाठन अभियान चला रही है। जिसमें 103 अधिकारियों द्वारा दो गांव के दो - दो स्कूलों को गोद लिया गया है। बताया कि हमलोग कम से कम 2 से 4 दिन अपनी सुविधा के अनुसार आंगनबाड़ी केंद्र आकर पोषण दिवस मनाते हैं और छोटे बच्चों का नाप तोल करते हैं। गर्भवती महिलाओं की जांच कराते हैं। धात्री माताओं के बारे में, पोषण आहार के बारे में, सारी जांच हो रही इसके बारे में जानकारी लेते है। वैसे ही प्राइमरी स्कूल में मैंने सारे बच्चों को पढ़ाया बच्चों ने भी यह एक साल से जिले के स्कूलों में अभियान चलाया जा रहा है। बता दे कि पिछले दिनों स्कूल में मिड डे मील में नमक रोटी कि खबर दिखाए जाने से नाराज होकर डीएम ने पत्रकार पर मुकदमा करवाया था। इसके बाद पत्रकार पर मुकदमे दर्ज करवाने को लेकर अपने बेतुके बयान के कारण भी विबाद में रहे हैं। | 2019/10/14 18:44:25 | https://lite.patrika.com/mirzapur-news/mirzapur-dm-eat-mid-day-meal-with-student-after-roti-namak-case-5056248/ | mC4 |
Bigg Boss 14: सलमान खान ने रुबीना दिलैक को लगाई फटकार, अर्शी खान को किया था आपत्तिजनक इशारा-Salman Khan reprimands Rubina Dilac Arshi Khan had made objectionable gesture | News24
Home मनोरंजन Bigg Boss 14: सलमान खान ने रुबीना दिलैक को लगाई फटकार, अर्शी खान को किया था आपत्तिजनक इशारा
Written By: Arunima Sharma Last Updated : Jan. 3, 2021, 1:02 p.m.
'वीकेंड का वार' में आज सलमान खान घरवालों से रूबरू होते हैं। सारे प्रतियोगीं को सलमान ने नए साल की शुभकामनाएं देते हैं। बिग बॉस 14 के वीकेंड का वार एपिसोड में सलमान खान आते हैं और घरवालों से बात करते हैं। सलमान खान अर्शी खान से राहुल वैद्य और अली गोनी से हुई उनकी दोस्ती को लेकर बात करते हैं। सलमान अर्शी को बताते है कि अली गोनी और राहुल उनके दोस्त नहीं है बल्कि वह उनका उपयोग कर रहे हैं, ताकि वह उनकी ओर बनी रहे।
सलमान ने यह भी पूछा कि अली और राहुल ने रुबीना के खिलाफ उनका पक्ष क्यों नहीं लिया। इसके बाद सलमान खान रूबीना दिलैक से सवाल-जवाब करते हैं। सलमान खान रुबीना से अर्शी के साथ हुई उनकी लड़ाई के बारे में पूछते हैं। रुबीना के जवाब से वह खुश नजर नहीं आते। सलमान कहते है कि उन्होंने अर्शी खान को नीचा दिखाया है और उन्हें नेशनल टेलीविजन पर ऐसा नहीं करना चाहिए। इसपर अर्शी सलमान के सामने ही रुबीना से बहस करने लगती है। अली गोनी और जैस्मिन भसीन के बीच बहस हो जाती है। अली जैस्मिन के साथ अपसेट हो जाते है। वह कहते है कि जैस्मिन को रोकने के बावजूद वह अपने मन का करती है।
जब सलमान खान रुबीना दिलैक से सवाल-जवाब कर रहे होते हैं। तब अभिनव शुक्ला सलमान खान से पूछते हैं कि रुबीना दिलैक को ही क्यों टारगेट किया जा रहा हैl। अर्शी खान से क्यों नहीं पूछा जा रहा है। इसपर सलमान खान कहते है, 'आपको क्या लगता है हम शो नहीं देखते।' सलमान यह भी कहते है, 'हम सभी की पर्सनल चीजें जानते हैं। आपको क्या लगता है उन्हें दिखाते नहीं है।' इसके बाद रूबीना दिलैक, अर्शी खान और अभिनव शुक्ला के बीच बहस होती है। | 2022/05/29 11:09:44 | https://hindi.news24online.com/news/entertainment/salman-khan-reprimands-rubina-dilac-arshi-khan-had-made-objectionable-gesture-1348337a/ | mC4 |
फर्रुखाबाद-बहु व् छोटी सी बच्ची को दवंगो ने उसके ही घर में कैद कर दिया - तहकीकात न्यूज़
Home crime फर्रुखाबाद-बहु व् छोटी सी बच्ची को दवंगो ने उसके ही घर में कैद कर दिया
फर्रुखाबाद-बहु व् छोटी सी बच्ची को दवंगो ने उसके ही घर में कैद कर दिया
फर्रुखाबाद में पुलिस की ढिलाई के के चलते दबंग कुछ इस कदर हाबी है की किसी भी को किसी समय अपने निशाने पर ले सकते है और इसका ताजा मामला फर्रुखाबाद कोतवाली सदर इलाके के लोहाई रोड पर देखने को मिला और एक बुजुर्ग महिला रामबेटी के साथ उसकी बहु व् छोटी सी बच्ची को दवंगो ने उसके ही घर में कैद कर दिया और मकान के प्रमुख दरबाजे पर ताला जड़ दिया महिला को दवग पप्पू पांडे ने आधी रात ताला लगा कर महिला व् परिवार को जल्द मकान खाली की धमकी देखर चले गए लेकिन जाते जाते महिला के घर बंद कर दिया दवंगो के आगे मोहल्ले का कोई भी आम जन ताला तोड़ने की कोसिस नहीं किये और जब पुरे मामले की खबर मीडिया कर्मियों के द्वारा पुलिस को दी गयी तब कही जाकर मौके पर पुलिस पहुची और मुख्य दरबाजे का ताला तोड़ कर उसको मुक्त कराया गया बही जानकारी के मुताबिक दवंग पप्पू पांडे पर बीजेपी नेता शैलेन्द्र सिंह राठौर का हाथ होने के चलते पुलिस ने पीड़ित परिवार की अभी तक रिपोर्ट दर्ज नहीं की है और पीड़ित बुजुर्ग महिला दर बदर घूम रही है बही जब पुरे मामले पर ए एसपी त्रिभुबन सिंह से जानकारी चाही गयी तो बह मामले की जानकारी न होने की बात करने लगे नहीं | 2018/11/19 23:55:54 | https://www.tahkikatnews.in/2018/10/blog-post_932.html | mC4 |
डायबिटीज (Diabetes) मरीजों को अपने बल्ड शुगर लेवल को कंट्रोल (Blood Sugar Level Control) रखने के लिए कई दवाएं, इंसुलिन (Insulin) या फिर कई तरह के परहेज करने पड़ते हैं. ज्यादातर लोगों को लगता है कि डायबिटीज के हर मरीज को दवाओं (Diabetic patient) या इंसुलिन की जरूरत पड़ती ही है लेकिन ऐसा नहीं है.
हाई ब्लड शुगर (High Blood Sugar) लेवल को मैनेज करने के लिए हर डायबिटीज मरीज को इसकी जरूरत नहीं पड़ती. कई मामलों में बिना इंसुलिन के ही शुगर को कंट्रोल रखा जा सकता है. कई घरेलू उपायों से इंसुलिन के बगैर भी डायबिटीज कंट्रोल होती है. वहीं कुछ ऐसे लोग भी हैं जिन्हें इंसुलिन की जरूरत तो होती है लेकिन कुछ कारणों से उन्हें इसे लेने की सलाह नहीं दी जाती है.
इंसुलिन के बिना ब्लड शुगर लेवल करना संभव है लेकिन इसके लिए कई बातों का ध्यान रखना जरूरी है. इंसुलिन लिए बगैर टाइप 2 डायबिटीज (Type 2 diabetes) कंट्रोल हो सकती है. आईए जानते हैं अपनी लाइफस्टाइल या फिर खानपान में कैसे बदलाव करने से आपकी शुगर कंट्रोल रहती है. कैसे आप अपनी हेल्दी आदतों से इसे कंट्रोल में रख सकते हैं.
आपको बता दें कि टाइप-2 में इंसुलिन बनने की मात्रा बहुत कम हो जाती है या फिर शरीर उसके प्रति संवेदनशील नहीं रहता है इसलिए टाइप-2 डायबिटीज में मरीज को इंजेक्शन के जरिये इसे लेने की सलाह दी जाती है.
डायबिटीज मैनेजमेंट के लिए पौष्टिक और संतुलित डाइट (Healthy Diet) बहुत महत्वपूर्ण है और डायबिटिक्स को ब्लड शुगर लेवल मैनेज करने के लिए हेल्दी डाइट फॉलो करना ही होता है. डाइटरी फाइबर, प्रोटीन और अन्य पोषक तत्वों से भरपूर फूड्स खाने चाहिए.
हर दिन कम से कम 30 मिनट एक्सरसाइज (Exercise and Walking) और वॉक करें. खाने के तुरंत बाद कम से कम 15 मिनट वॉकिंग करनी चाहिए. सप्ताह में कम से कम 5 दिन वर्कआउट जरूर करें.
तनाव और थकान (No stress) को कम करने के लिए रोजाना भरपूर नींद सोएं
ब्लड शुगर लेवल कंट्रोल करने के लिए बहुत से लोगों को इंसुलिन की जगह गोलियां खाने की सलाह दी जाती है लेकिन,इन दवाओं का सेवन शुरू या बंद करने से पहले अपने डॉक्टर से सम्पर्क करें
बॉडी मास इंडेक्स (Body Mass Index) भी डायबिटीज के लक्षणों को गम्भीर बनाने का काम कर सकते हैं. इसलिए,टाइप-2 डायबिटीज को कंट्रोल करने के लिए हेल्दी बीएमआई का ध्यान रखें, इसके लिए वजन कम करें
जो लोग मोटापे (obesity) शिकार हैं अक्सर डॉक्टर उन्हें टाइप-2 डायबिटीज को कम करने के लिए बेरिएट्रिक सर्जरी की सलाह देते हैं. इस सर्जरी से मरीज अपना मोटापा भी कम कर सकते हैं और साथ ही टाइप-2 डायबिटीज के खतरे को भी काम कर सकते हैं लेकिन यह सर्जरी मरीज डॉक्टर की सलाह पर ही कराएं.अच्छी लाइफस्टाइल और ओरल मेडिकेशन के जरिए टाइप 2 डायबिटीज कंट्रोल हो सकती है.
Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें.
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वास्तव में शाकाहार हर प्राणी से प्रेम करना सिखाता है क्योंकि शाकाहारी व्यक्ति हिंसा नहीं करता और जो हिंसा नहीं करता उससे अन्य जीव जंतु भी प्रेम करते हैं ..
इंसान जबसे इस दुनिया में आया है तब से उसके साथ एक चीज़ और आई है और वो है भूख। भूख ऐसी बात है जो इंसान को कुछ भी करने के लिए मजबूर कर देती है। कई बार तो भूख के लिए इंसान वो सब कर जाता है जो उसे किसी भी हाल में नहीं करने चाहिए।
उन्हीं न करने योग्य कामों से एक है मांस भक्षण। अक्सर देखा जाता है कि हम अपनी भूख मिटाने के लिए किसी भी मासूम और बेज़ुबान जानवर को मारकर खा जाते हैं लेकिन यह नैतिकता की दृष्टि से , मानवता की दृष्टि से और विज्ञान की दृष्टि से बिल्कुल भी ठीक नहीं है। चलिए आइये देखते हैं कैसे –
अगर इस संसार के सभी जीवों को देखा जाए तो उसमें मनुष्य ही सबसे ज्यादा श्रेष्ठ और क्रियाशील है। ईश्वर ने जो नेमतें और ताक़तें इंसानों को दी हैं वो और किसी जीव , और किसी प्राणी को नहीं बक्शी इसलिए हम इंसानों की ज़िम्मेदारी भी सबसे अधिक है। इंसान अपने हुनर और दिमाग का इस्तेमाल करके भी अन्य जीवों से अपना भोजन प्राप्त कर सकता है जैसे गाय , भैंस का दू0ध बेचकर , भेड़ से ऊन बेचकर , हाथी से महावत बनकर घोड़े तांगा आदि चलाकर। इस तरह से वन्य जीवों को मारे बिना भी इनके जरिए भूख का इलाज हो सकता है तो फिर क्यों बेवजह इनकी हत्या का पाप अपने सर लें।
हालांकि इस पर ये सवाल उठाया जा सकता है कि जो पेड़ पौधे खाए जाते हैं उनमें भी तो जीवन होता है , अगर उनको खाना पाप नहीं है तो मांस खाना कैसे पाप हुआ तो इस सवाल का जवाब ये है कि पेड़ पौधे आदि वनस्पति सुषुप्ति अवस्था में यानी एक तरह की गहरी नींद में होते हैं। उन्हें काटने या तोड़ने पर हमारी तरह पीड़ा का अनुभव नही होता। वानस्पतिक खाद्य पदार्थ जाग्रत प्राणियों द्वारा स्वेच्छा से दिये गए दूध आदि की तरह होते हैं। इस तरह वनस्पतियों से प्राप्त भोजन खाना गलत नहीं है। वह मांस नहीं होता। वह उनका स्वाभाविक फल है। वे इससे आगे बढ़ने में सक्षम नहीं है। अगर यदि हम आम-अमरूद जैसे फल हिंसा समझ कर न खावें तो वे सड़ कर खाने के लायक ही नहीं रहेंगे और फिर उनका कोई फायदा भी नहीं रहेगा। इसी तरह अगर हरी भरी सब्जियों को भी यूं ही छोड़ दिया जाए तो वे भी सूखकर बेकार हो जाएंगी और किसी काम की नहीं रहेंगी। आप सब अक्सर खबरों में सुनते होंगे कि आज इतना टन गेंहू गोदाम में पड़े पड़े खराब हो गया।
लेकिन वन्य जीवों के साथ ऐसा नही होता। पेड़ पौधों की अपेक्षा वन्य जीव अधिक मात्रा में सुख दुख का अनुभव करते हैं। उनमें प्रजनन क्षमता भी क्षमता भी होती है जिससे वे अपना वंश बढाते हैं । उन्हें काटने मारने पर रक्त की धार सीधी दिखाई देती है। अपने परिजन की मृत्यु पर पशु भी आंसू बहाते हैं तो फिर उन पर इस तरह का अत्याचार क्यों। दूसरी बात यदि आप प्रोटीन विटामिन्स आदि के लिए मांस को सही मानते हो तो यह तर्क भी पूरी तरह से ठीक नही क्योंकि जो प्रोटीन मिनिरल्स पशुओं में होते हैं वो उनमें प्राकृतिक रूप से नहीं होते। वो सभी तत्व वन्य जीव पेड़ पौधों से ही प्राप्त करते हैं। अंग्रेजी भाषा में इसे फ़ूड चेन कहा जाता है। इस तरह जब पशु पक्षी भी शाकाहार से ज़रूरी तत्व पा सकते हैं तो हम क्यों नहीं। हम तो उनसे बहुत अधिक श्रेष्ठ हैं तो फिर हम क्यों मांस का ही रास्ता चुने। इस पर तर्क करने वाले ये तर्क देते हैं कि शेर आदि हिंसक जीव भी तो मांस खाते हैं तो हम क्यों न खाए तो इस पर मैं यही कहूंगा कि सर्वप्रथम तो ये कि मांसाहार उनका प्राकृतिक भोजन है, उनके पास अन्य कोई विकल्प ही नहीं है और न ही उनका बौद्धिक स्तर इतना ऊँचा है कि वे इंसानो की तरह वृक्ष आदि उगा सकें। दूसरा ये कि वे मांस खाने के लिए मेहनत करते हैं । अपने शिकार से लड़कर उसे प्राप्त करते हैं और वे उसे उसी हालत में खाते हैं जिस हालत में वे उसे प्राप्त करते हैं। वे मांस के साथ साथ हड्डी भी पचा लेने में सक्षम हैं लेकिन इंसानों के साथ यहां भी उल्टा है पहले क्रूरता से उसे मारते हैं और फिर उसे पकाकर भिन्न भिन्न मसालों का प्रयोग कर उसे बनाते हैं जिससे मांस का भयानक रूप ढक जाता है और खाने के लायक बनता है। हम उसे जैसे का तैसा ग्रहण नहीं कर सकते वहीं अगर पेड़ पौधों की बात की जाए तो पेड़ पौधे हमें जिस अवस्था में मिलते हैं हम उसी अवस्था में उनका सेवन कर सकते हैं। उन्हें भोजन की तरह पकाकर खाने की भी ज़रूरत नहीं और वे मांस की अपेक्षा सुपाच्य भी होते हैं। फिर भी लोग यह कहकर मांस भक्षण करते हैं कि यदि हम इन्हें नहीं खाएंगे तो इनकी जनसंख्या बढ़ जाएगी तो इस मामले में मैं पूछना चाहूंगा कि हजारों प्रजातियां ऐसी हैं जो विलुप्ति की कगार पर हैं वो भी तब जब उन्हें खाया नहीं जाता। बाघ कोई नहीं खाता फिर भी वे मिट रहे हैं। नीलगाय भी कभी कभार ही दिखाई देती है। धीरे धीरे हाथी भी कम हो रहे हैं तो बिना खाय इनकी जनसंख्या नही बढ़ी तो अन्यों की कैसे बढ़ेगी। अगर इनकी जनसंख्या बढ़ भी गयी तो कुदरत उसका रास्ता खुद ब खुद ढूंढ लेगी। मनुष्य को तो लगभग कोई नहीं खाता मगर फिर भी प्रकृति मनुष्य की जनसंख्या को काबू में रखने का उपाय खोज ही लेती है और जो प्रकृति मनुष्य की जनसंख्या वश में कर सकती है वह पशुओं की जनसंख्या वश में क्यों नहीं कर सकती।
मांसाहार मनुष्य का भोजन नही है उसका एक कारण और है और वो ये है कि मांसाहार हर काल एवं हर परिस्थिति में नहीं किया जा सकता लेकिन शाकाहार जब चाहे तब किया जा सकता है। जब एक शिशु जन्म लेता है तब वह दूध ही पीता है , बहुत से त्योहारों में मांसाहार छोड़ना ही पड़ता है और मांसाहार हमारे लिए हर जगह उपलब्ध हो जाए ऐसा भी नहीं है किंतु शाकाहार व्यंजन हर जगह मिल ही जाता है। इतिहास इस विषय में प्रमाण हैं। भगवान राम को जंगलो में भी कंद मूल फल मिल जाते हैं। मांसाहार का विकल्प होने पर भी वे शबरी के बेर ही खाते हैं। पांडव बारह वर्ष जंगलों में बिताते हैं लेकिन एक भी जीव हत्या नहीं करते। महाराणा प्रताप जंगलों में भटकते भटकते घास की रोटी खाते हैं लेकिन पेट के लिए किसी की जान नहीं लेते। इस आधुनिक युग में भी ऐसी ऐसी महान विभूतियां हुईं हैं जिन्होंने शाकाहारी रहते हुए भी मांसाहारियों को बदल दिया। उन्हें में से एक थे महर्षि रमण। उन्होंने एक बार किसी सिंह के पंजे से कांटे को निकालकर साफ किया जिससे वह शेर भी उनका भक्त हो गया। इसके बाद वह हर रोज उनके आश्रम आता और उनके पैर चाटकर चला जाता।
इसी तरह सन् 1937 की घटना है जब किसी साधु ने एक शेर के बच्चे को पकड़कर केवल दूध साग आदि से उसका लालन पालन किया जिससे वह शेर पूरी तरह अहिंसक हो गया। जहाँ जहाँ वह साधु जाता वहां वहां वह भी जाता मगर इस दौरान उस शेर ने किसी को भी हानि नहीं पहुंचाई। इसी तरह का एक वाकया अमेरिका में भी हुआ। सन् 1946 से 1955 की घटना है। अमेरिका के एक चिड़ियाघर में एक शेरनी ने एक मादा शेर को जन्म दिया जिसकी एक टांग खराब थी इसलिए उस शेरनी के बच्चे को जॉर्ज नाम के व्यक्ति को सौंप दिया जोकि स्वभाव से ही जानवर प्रेमी था। उसने उस मादा शेरनी के बच्चे को ठीक करने के लिए नौ साल तक गाय का दूध पिलाया जिससे उसकी टांग अच्छी हो गई। तब जॉर्ज ने सोचा इसे मांस वगैरह भी देना चाहिए लेकिन उस शेरनी ने मांस की तरफ उठाकर देखा भी नहीं। मांस देखते ही वह बेचैन हो जाती थी और बड़े होने पर भी उसका यह स्वभाव नहीं बदला। वह हिंसक प्राणी होकर भी सबसे प्यार करती थी। यहां तक छोटे छोटे बच्चे भी उसकी पीठ पर डर के घूमते थे। अपने इस स्वभाव से वह इतनी प्रसिद्ध हो गई थी कि उसकी खबरें अमेरिका के पहले ही पेज पर छपने लगी। चिड़ियाघर में भी वह हमेशा खुली ही रहती थी। ये उसके सात्विक आहार का प्रभाव था जिसने उसे भी सात्विक बना दिया था क्योंकि कहावत है कि जैसा खाय अन्न वैसा होए मन।
इस शेरनी के बारे में जानकर मांसाहार को सही ठहराने वाले लोगों को सोचना चाहिए कि अगर शाकाहार उसके जीवन में इतना बदलाव ला सकता है तो आपके जीवन शाकाहार से कितना बदल जायेगा और जब शेर जैसे खूंखार जानवर बिना मांस के रह सकते हैं जोकि उनका प्राकृतिक भोजन है तो मनुष्य क्यों नहीं रह सकता।
वास्तव में शाकाहार हर प्राणी से प्रेम करना सिखाता है क्योंकि शाकाहारी व्यक्ति हिंसा नहीं करता और जो हिंसा नही करता उससे अन्य जीव जंतु भी प्रेम करते हैं। महर्षि पतंजलि योगदान में लिखते हैं – अहिंसा प्रतिष्ठायां तत्सन्निधौ वैरत्यागः।।
अर्थात अहिंसा की प्रतिष्ठा हो जाने पर उसके समीप रहने वाले अन्य प्राणी भी वैर त्याग देते हैं। यही कारण है कि हमारे पूर्वज ऋषि मुनि जंगलों में भी आवास बनाकर वन्य जीवों के साथ शांति से रहते थे और महर्षि रमण तो इसके साक्षात प्रमाण हैं। उनके संग ने एक हिंसक पशु को भी अहिंसक बना दिया इसलिए मांसाहार छोड़िए , पशु पक्षियों से प्रेम कीजिए , बदले में आपको उनसे प्रेम ही मिलेगा।
अगर मेर इस लेख को पढ़ कर किसी एक व्यक्ति ने भी मांसाहार त्याग दिया तो मैं समझूंगा कि मेरी मेहनत सफल हुई। | 2021/05/12 12:21:19 | https://www.ugtabharat.com/21824/ | mC4 |
जलवायु परिवर्तन के दुष्प्रभावों का पूरी दुनिया इस वक्त अनुभव कर रही है. वैज्ञानिकों का अनुमान है कि अगले 20 से 30 वर्षों में स्थितियां और विकट हो सकती हैं.
Byविवेक मिश्रा 20 Aug, 2021
हिमालय हो या मैदानी हिस्से हर जगह धरती गरम हो रही है. सतह का तापमान बढ़ रहा है और सर्दी की अवधि और असर में कमी आ रही है. अगले 20 से 30 वर्ष यानी 2050 के आस-पास यह जलवायु स्थितियां और ज्यादा गंभीर हो सकती हैं. न सिर्फ चरम तापमान और वर्षा वाली बाढ़ की आफत बढ़ सकती है बल्कि सर्दी और कोहरे में बड़ी कमी आ सकती है.
इतना ही नहीं समुद्रों के भीतर वनस्पतियों से मिलने वाला ऑक्सीजन भी कम होता जा रहा है क्योंकि वहां अम्लीयता बढ़ रही है. वातावरणीय कॉर्बन डाई ऑक्साइड के सतह पर बढ़ने की प्रबल परिस्थितियां बन रही हैं. यह अनुमान जलवायु परिवर्तन के अंतरसरकारी समूह (आईपीसीसी) के वैज्ञानिकों ने अपनी 6वीं आकलन रिपोर्ट में लगाया है.
आईपीसीसी संयुक्त राष्ट्र के जलवायु वैज्ञानिकों का एक अंग है. जलवायु वैज्ञानिक समूह ने चेताया है कि दुनिया में इस वक्त कार्बन डाई ऑक्साइड और अन्य ग्रीन हाउस गैसों का जैसा उत्सर्जन जारी है. यदि इस परिस्थिति के हिसाब से या अगले 20 से 30 वर्ष के बीच वैश्विक तापमान 2 डिग्री सेल्सियस सीमा को पार कर जाता है तब ऐसी परिस्थितियां रह सकती हैं.
वैज्ञानिकों ने पहले ही यह अनुमान लगाया था कि 21वीं सदी में वैश्विक तापमान 2 डिग्री सेल्सियस की सीमा को पार कर सकता है. मौजूदा उत्सर्जन स्थितियों के आधार पर ऐसा होने का आसार 2040 तक है.
जलवायु परिवर्तन की वैश्विक अवधारणा अब क्षेत्रीय स्तर पर पहुंच चुकी है. पहली बार वैज्ञानिकों ने क्षेत्रीय जलवायु को भी अपनी रिपोर्ट में शामिल किया है. क्षेत्रीय स्तर पर महसूस किए जाने वाले जलवायु दुष्प्रभाव भी सच्चे हैं.
ऊपर चित्र में आप देख सकते हैं कि 2050 तक वैज्ञानिकों ने सात प्रमुख व्यापक जलवायु चालकों (सीआईडी) के तहत यह उच्च संभावना, मध्यम संभावना के साथ बढ़त और कमी का अनुमान पेश किया है. इनके रंगों के आधार पर इनकी संभावनाएं व्यक्त की गई हैं.
इस आधार पर देखें तो हीट एंड कोल्ड श्रेणी में सतह की गर्मी और चरम तापमान के बढ़ने का अनुमान सबसे ज्यादा लगाया गया है. जबकि ठंड और कोहरे में बड़ी कमी का आसार जताया गया है. इसी तरह वेट एंड ड्राई श्रेणी में भारी वर्षा और वर्षा वाली बाढ़ की प्रबल संभावना है जबकि मौसमी आग लगने की घटना का भी मध्यम अनुमान है.
अन्य श्रेणी में सतह पर वातावरणीय सीओटू के बढ़ने का सबसे ज्यादा अनुमान जताया गया है. इसके अलावा तटीय इलाकों में समुद्रों के गर्म होने, बाढ़ आने की घटनाओं में वृद्धि को भी आंका गया है. आईपीसीसी की यह रिपोर्ट 1990 के बाद से 6वीं है और 2013 के बाद से पहली.
वैज्ञानिक समूह ने सीधा और सरल संदेश दिया है कि मानव जनित जलवायु परिवर्तन चरम घटनाओं, लू और भारी वर्षा व सूखे का कारक है. यदि चीजें नहीं संभली तो यह और तेज व गंभीर होने जा रहा है. | 2022/01/25 17:08:34 | https://hindi.newslaundry.com/2021/11/18/2021/08/20/ipcc-report-says-winters-will-shorten-extreme-heat-heavy-rains-and-floods-will-increase-by-2050 | mC4 |
KYC full form in hindi | के वाई सी का फुल फॉर्म क्या होता है?
byDhiraj Saroj • जून 06, 2022
हेलो दोस्तों आज की इस पोस्ट में हम Bank KYC के बारे में जानने वाले हैं कि kyc क्या है?, kyc full form in hindi, kyc के लिए जरूरी डॉक्यूमेंट एवं आदि के बारे में जानने वाले हैं।
दोस्तों आपने कभी ना कभी kyc के बारे में जरूर सुना होगा। जब आप अपना बैंक खाता खुलवाने जाते हैं तो वहाँ आपसे kyc कराने के लिए जरूर कहा गया होगा। परंतु क्या आप जानते हैं? कि kyc क्या है? और kyc का फुल फॉर्म क्या होता है? तो चलिए हम आपको बताते हैं कि kyc क्या है? और kyc का फुल फॉर्म क्या होता है?
Kyc full form in English | Full Form of KYC
दोस्तों यदि आपका बैंक अकाउंट कभी बंद हो जाता होगा तो भी आपसे कहा जाता होगा कि kyc करा ले तभी आपका अकाउंट चालू होगा। परंतु क्या आपको पता है कि kyc full form क्या होता है?
"Kyc full form : Know Your Customer"
केवाईसी का फुल know your Customer होता है।
Kyc full form in hindi | KYC का फुल फॉर्म क्या होता है?
हमारी इस पोस्ट को यहां तक पढ़ने के बाद आपको पता चल गया होगा कि अंग्रेजी में kyc का फुल फॉर्म क्या होता है? तो चलिए अब हम आपको बताते हैं कि हिंदी में kyc का फुल फॉर्म क्या होता है?
"Kyc full form in hindi : जानना अपने ग्राहक को"
हिंदी में kyc का full form "आपके ग्राहक को जानना" होता है।
K – Know (जानना)
Y – Your (अपने)
C – Costomer (ग्राहक)
Kyc क्या होता है? | KYC का मतलब क्या होता है?
Kyc ग्राहक को पहचानने की एक प्रक्रिया है जिसके द्वारा बैंक अपने ग्राहकों से एक फॉर्म भरवाता है जिसमें बैंक अपने ग्राहकों से आपकी डाक्यूमेंट्स को देने को कहता है जिससे बैंक अपने ग्राहकों की पहचान करता है और अपने बैंक का दुरुपयोग होने से बचाता है। इसलिए बैंक समय-समय पर अपने ग्राहकों से kyc अपडेट कराने के लिए कहता है।
Kyc फॉर्म क्यों भरवाया जाता है?
केवाईसी फॉर्म भरवाने का मुख्य उद्देश्य अपने ग्राहकों की जानकारी लेकर यह सुनिश्चित करना होता है कि ग्राहक कोई गलत Address या फिर गलत जानकारी देकर बैंक से धोखेबाजी ना कर सके।
Kyc के लिए जरूरी डॉक्यूमेंट
दोस्तों अब हम आपको बताने वाले हैं कि जब आप बैंक में केवाईसी कराने जाते हैं तब वहां पर कौन-कौन से kyc के लिए जरूरी डॉक्यूमेंट लगते हैं।
1) ड्राइविंग लाइसेंस
2) वोटर आईडी
3) पासपोर्ट
4) आधार कार्ड
5) पैन कार्ड
दोस्तों आज की इस पोस्ट में हमने जाना कि बैंक में kyc का फुल फॉर्म क्या होता है? दोस्तों यदि आपको यह पोस्ट अच्छा लगा है तो आप इसे अपने दोस्तों के साथ जरूर शेयर करें ताकि उन्हें भी इस जानकारी के बारे में पता चल सके।
निष्कर्ष : KYC Full Form in hindi
यदि आपको हमारी इस लेख "kyc full form in hindi" को पढ़ने में कोई भी समस्या आई है या आप चाहते हैं कि इसमें कोई सुधार होना चाहिए तो आप नीचे कमेंट करके हमें जरूर बता दे ताकि हम इस लेख को और भी बेहतर बना सके । धन्यवाद! | 2022/07/02 18:03:06 | https://www.gyanhours.com/2022/06/kyc-full-form-in-hindi.html | mC4 |
गव्य रंगन रिलीज़ की तारीख - जून 12, 2020
100% एफडीआई भी बागान क्षेत्र अर्थात् चाय बागानों, कॉफी बागान, रबड़ वृक्षारोपण, इलायची वृक्षारोपण, ताड़ के तेल वृक्षारोपण और स्वत: मार्ग के माध्यम से जैतून का तेल पेड़ वृक्षारोपण में अनुमति दी है। (अपनी अंग्रेजी कक्षाओं में आपके लिए उपयोगी दैनिक पाठों के अधिक उदाहरणों के लिए, इकाई ' अंग्रेजी पढ़ाने के लिए स्थानीय संसाधन ' और साथ ही संसाधन 4, 'स्थानीय संसाधनों का उपयोग करना' देखें।) लहसुन एंटी इंफ्लेमेटरी गुणों से समृद्ध होता है, जो बंद नाक को खोलकर ठंड और फ्लू के लक्षणों को खत्म करने का काम करता है (2)। साथ ही यह आपकी सांस लेने की क्षमता को ठीक कर सूंघने और स्वाद को पहचाने की क्षमता को निष्कर्ष लाभ द्विआधारी विकल्प बेहतर करने में मदद करता है।
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बदमाशों ने पटेल कॉलेज के पास लेकर पेट्रोल पम्प तक कई वाहनों को अपना निशाना बनाते हुए गाड़ी को क्षतिग्रस्त कर ड्राइवरों के साथ मारपीट करते हुए
जदयू नेता के पेट्रोल पंप पर अपराधियों ने बोला धाबा
एक के बाद एक ताबड़तोड़ कई घटना को दिया अंजाम
बेखौफ बदमाशो ने न सिर्फ रुपये लूटे बल्कि तोड़फोड़ करके अपनी मंशा जाहिर कर दी
भभुआ। भभुआ में बेखौफ अपराधियों के सामने सुशासन बौनी दीखी। दरअसल, शहर के पश्चिमी छोर पर स्थित जदयू के प्रदेश नेता चन्द्रप्रकाश आर्य के पेट्रोल पंप पर शनिवार की शाम पहुंचे बदमाशों ने हथियार लहराते हुए काउंटर से 50 हजार रुपए लूट कर सुशासन को चुनौती दी है। बदमाश यही नही रुके और लूटपाट के दौरान पेट्रौल पंप पर जम कर तोड़फोड़ कर हजारों की सम्पति को नष्ट कर दिया है। इसके बाद बाइक पर सवार तीनो बदमाश आराम से चलते बने। हद तब हो गई, जब भाग रहे बदमाशो ने रास्ते में पटेल कालेज के पास भगवानपुर की ओर से आ रही राज्य सभा सांसद गोपाल नारायण सिंह की बोलेरो गाड़ी को रोककर क्षतिग्रस्त कर दिया और जमुहार के पिन्टु सिंह से मोबाइल व चार हजार रुपया लूट लिये। बदमाश यही नही रुके बल्कि, मोहनियां निवासी नफीस अहमद की गाड़ी क्षतिग्रस्त कर दी और उनसे भी 50 हजार रुपया लूट लिया। पटेल चौक पर टेम्पो मालिक पहड़ियां के अशेाक प्रसाद व शाहपुर के डबल कुमार की टेम्पो को बदमाशों ने क्षतिग्रस्त कर दिया। बदमाशों ने पटेल कॉलेज के पास लेकर पेट्रोल पम्प तक कई वाहनों को अपना निशाना बनाते हुए गाड़ी को क्षतिग्रस्त कर ड्राइवरों के साथ मारपीट करते हुए मोबाइल व पैसे छिनते रहे और पुलिस उनका कुछ भी बिगाड़ नही पाई। बदमाशो का यह तांडव देख सड़कों पर लोग सहमे रहे और जान बचाने के लिए इधर, उधर भागते नजर आये। | 2022/05/23 20:37:29 | https://kknlive.com/crime/even-the-ruling-jdu-leader-in-bihar-is-not-in-a-mood-to-spare/ | mC4 |
NSA डोभाल पर तंज कसते-कसते आतंकी मसूद को 'अजहर जी' बोल गए राहुल गांधी - breaking news today ';var trtd='
NSA डोभाल पर तंज कसते-कसते आतंकी मसूद को 'अजहर जी' बोल गए राहुल गांधी
breaking news today 21:13 read ( words)
नई दिल्ली: पुलवामा हमले पर मोदी सरकार को घेरने के चक्कर में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने बीजेपी को कांग्रेस पर निशाना साधने का मौका दे दिया. दिल्ली में बूथ अध्यक्षों के सम्मेलन में राहुल गांधी ने आतंकी मसूद अजहर को 'जी' कहकर संबोधित किया, जिसके तुंरत बाद बीजेपी ने इस बयान को अपने ट्विटर पेज पर शेयर कर दिया.
दरअसल एनएसए अजीत डोभाल पर तंज कसने के दौरान राहुल गांधी ने कहा, 'पुलवामा हमले में सीआरपीएफ के 40 से 45 जवान शहीद हो गए थे. सीआरपीएफ बस पर किसने बम फोड़ा? जैश-ए-मोहम्मद…मसूद अजहर ने… आपको याद होगा ना? यह वही मसूद अजहर है, जिसे 56 इंच वालों की तब की सरकार ने एयरक्राफ्ट में मसूद अजहर जी के साथ बैठकर अजीत डोभाल कंधार में हवाले करके आ गए थे.' राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक बार फिर चौकीदार चोर है कहकर निशाना साधा और कहा, 'पांच साल पहले देश में चौकीदार आया. कहता है भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ने आया हू. 56 इंच की छाती है. मोदी… मोदी… मोदी के नारे उनके लोग लगाते थे. अच्छे दिन आएंगे. कांग्रेस मुक्त भारत की बात करते थे.' साथ ही उन्होंने कहा कि मेक इंन इंडिया की पीएम मोदी बात करते रहते हैं लेकिन उनकी शर्ट, जूते और जिस फोन से वह सेल्फी लेते हैं, वह फोन चीन में बना है. आतंकी मसूद अजहर को राहुल गांधी के 'जी' कहकर संबोधित करने पर बीजेपी ने पलटवार किया है. केंद्रीय मंत्री रवि शंकर प्रसाद ने ट्वीट किया, 'कम ऑन 'राहुल गांधी जी'! पहले यह दिग्विजय जी की पसंद थे, जिन्हें वो "ओसामा जी" और "हाफिज सईद साहब" कहते थे. अब आप कह रहे हैं "मसूद अजहर जी". कांग्रेस पार्टी को क्या हो गया है? साभार आजतक | 2019/10/14 09:10:05 | http://www.breaking-news-today.com/2019/03/nsa.html | mC4 |
सुप्रीम कोर्ट ने कुणाल कामरा और रचिता तनेजा को अवमानना मामले में नोटिस जारी किया · www.4Pillar.news
सुप्रीम कोर्ट ने कुणाल कामरा और रचिता तनेजा को अवमानना मामले में नोटिस जारी किया
December 18, 2020 December 18, 2020 4pillar
शीर्ष अदालत ने कॉमेडियन कुणाल कामरा और कार्टूनिस्ट रचिता तनेजा को कोर्ट की अवमानना मामले में नोटिस जारी करते हुए दोनों से 6 हफ्ते में जवाब मांगा है।
मशहूर कॉमेडियन कुणाल कामरा और कार्टूनिस्ट रचिता तनेजा के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई याचिका पर शुक्रवार के दिन सुनवाई हुई।जिसमें शीर्ष अदालत ने दोनों को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। कोर्ट ने 6 हफ्ते में जवाब मांगा है कि आखिर क्यों उनके खिलाफ अवमानना का केस न चलाया जाए। हालांकि दोनों को व्यक्तिगत पेशी से छूट दी गई है।
अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल के सुप्रीम कोर्ट के खिलाफ ट्वीट के लिए कुणाल और रचिता के खिलाफ अवमाना मामले में कार्यवाही शुरू करने की अनुमति देने के बाद याचिका दाखिल की गई थी ,जिसे मंजूर किया गया था।
कुणाल कामरा के खिलाफ अवमानना मामले में याचिकाकर्ता वकील निशांत ने कहा था कि उनके ट्वीट ने जनता की नजर में न्यायपालिका के सम्मान को कम किया और ये अपमानजनक है।वकील निशांत ने कुणाल कामरा के खिलाफ कार्रवाई को लेकर अटॉर्नी जनरल से यह कहते हुए मंजूरी मांगी थी कि उनके ट्वीट अवमानना के दायरे में आते हैंऔर उन्हें कॉमेडियन के खिलाफ अवमानना का केस चलाने की अनुमति दी जाए।
बता दें, कुणाल कामरा ने एक ट्वीट किया था।जिसमें उन्होंने भारत के प्रधान न्यायाधीश के बारे में उंगली के जरिए अश्लील और अपमानजनक संकेत किया था। इससे पहले कामरा ने रिपब्लिक टीवी के पत्रकार अर्णव गोस्वामी को जमानत मिलने के बाद जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ के खिलाफ अपमानजनक कमेंट किया था।अर्णब गोस्वामी को जमानत मिलने के बाद कुणाल कामरा ने सुप्रीम कोर्ट के खिलाफ कई आपत्तिजनक ट्वीट किए थे। | 2022/01/20 17:47:30 | https://4pillar.news/supreme-court-issues-notice-to-kunal-kamra-and-rachita-taneja-in-contempt-case/ | mC4 |
प्राइवेट स्कूल के संचालकों ने वित्तमंत्री को सौंपा ज्ञापन, रास्ता निकालने का आग्रह – अनावरण न्यूज़
रांची:- नेशनल प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन के प्रतिनिधिमंडल ने आज रांची में वित्त तथा खाद्य आपूर्ति डॉ0 रामेश्वर उरांव से मुलाकात कर अपनी मांगों और समस्याओंसे अवगत कराया। पासवा के प्रदेश अध्यक्ष आलोक कुमार दूबे के नेतृत्व में एसोसिएशन के सदस्यों ने वित्तमंत्री से मुलाकात के दौरान यह आग्रह किया कि डेढ़ साल से बंद निजी स्कूलों में पठन-पाठन फिर से शुरू कराने और स्कूल खोलने के लिए कोरोना गाइडलाइन के तहत किसी मैकेनिज्म पर अब राज्य सरकार को विचार करना चाहिए। | 2021/08/04 03:05:09 | https://anawarannews.com/the-operators-of-the-private-school-submitted-a-memorandum-to-the-finance-minister-urging-to-find-a-way-out/ | mC4 |
[10:10 PM, 12/7/2017] News4indai: 44 की उम्र में भी फिट दिखने वाली काजोल का ये है फिटनेस सीक्रेट – News 4 India
August 5, 2018 August 5, 2018 by SOURCE NEWS
मुंबई न्यूज 4 इंडिया। बॉलीवुड एक्ट्रेस काजोल आज अपना 44वां जन्मदिन मना रही हैं। एक्टिंग के साथ-साथ फिटनेस के मामले में भी काजोल किसी से कम नहीं है। आज वह 44 साल की हो गई है लेकिन इस उम्र में भी वह बिल्कुल फिट और स्वस्थ है। काजोल जिस तरह से अपनी स्किन टोन को लेकर चिंता नहीं करती हैं उसी तरह से वह अपने वजन को लेकर भी चिंता नहीं करती हैं। उनके लिए फिटनेस का मतलब जीरो फिगर नहीं है। फिट रहने से उनका मतलब है वजन को कंट्रोल रखना और बीमारियों से बचे रहना। चलिए जानते हैं आखिर क्या है काजोल का फिटनेस सीक्रेट।
काजोल के फिटनेस सीक्रेट
1. फिट रहने के लिए काजोल काजोल स्ट्रेन्थ ट्रेनिंग ज्यादा पसंद करती हैं। उनके फिटनेस ट्रेनर ने एक पत्रिका को दिए इंटरव्यू में कहा था कि काजोल इतना वेट उठा लेती हैं जितना कई लड़के नहीं उठा पाते।
2. काजोल केवल 2 घंटे ही एक्सरसाइज करती हैं, जिसमें वह सिटअप्सए स्क्वैट्स और डेडलिफ्ट करना पसंद करती है। इतना ही नहीं, काजोल अपने एक्सरसाइज से जल्दी बोर नहीं होती इसलिए उनके ट्रेनर को वर्कआउट प्लान बार-बार नहीं बदलने पड़ते।
3. अपनी डाइट में काजोल प्रोटीन जरूर लेती हैं। वह फिश, चिकन, अंडा, नट्स और पनीर खाना ज्यादा पसंद करती हैं। इसके अलावा वह ड्रिंकिंग और जंक फूड से हमेशा दूरी बनाए रखती हैं। इतना ही नहीं, उनका ब्रेकफास्ट भी सादा होता है। सुबह वह फलों के जूस के साथ हल्का नाश्ता करती है।
4. काजोल को रात में देर तक जागना और सुबह देर तक सोना बिलकुल पसंद नहीं है। काजोल का मानना है कि अगर आप फिट और सुंदर दिखना चाहते है तो पूरी नींद लेना बहुत जरूरी है। रोजाना 8 घंटे की नींद लेने से आप मानसिक रूप से भी स्वस्थ रहते है।
5. काजोल रात के भोजन में भी ज्यादा से ज्यादा लिक्विड डाइट लेती हैं, जिससे रात को पेट और डाइजेस्टिव सिस्टम पर भार नहीं पड़ता। उनकी डाइट फूड में ज्यादा से ज्यादा फाइबर और विटामिन वाली चीजें शामिल होती हैं।
6. एक्सरसाइज के साथ-साथ फिट रहने के लिए काजोल योगा पर भी खास ध्यान देती है। काजोल का मानना है कि शरीर को कभी भी तनाव मत दो हमेशा खुश रहो और तनाव से बचने के लिए योग से अच्छा कुछ नहीं है।
7. प्रैग्नेंसी के बाद मोटापे से छुटकारा पाने के लिए काजोल ने डांस क्लासिस भी ज्वाइन की थी। डांस न केवल आपके जोड़ों को फैलाने और उनकी लचीलापन बढ़ाने का एक शानदार तरीका है बल्कि यह वसा जलने में भी मदद करता है। इससे आपका मोटापा तेजी से कम होता है। | 2018/08/16 21:56:00 | http://news4indiatv.com/?p=18955 | mC4 |
कोलमैन कहती हैं, "इसे अल्फ़ा जोखिम कहा जाता है. इसमें असीम मुनाफ़ा हासिल करने की गुंजाइश रहती संकेतक के साथ द्विआधारी विकल्प के लिए लाइव अनुसूची है."। लोग इन मोड़ों पर स्पीड का ध्यान रखें तो हादसे थम सकते हैं। मोड़ों पर संकेतक भी हैं, लेकिन लोग उन्हें समझ नहीं पाते।
संकेतक के साथ द्विआधारी विकल्प के लिए लाइव अनुसूची, सबक और समीक्षा
युवा मिलेनियल ने अपने पेशेवर जीवन में 3 से 7 संकेतक के साथ द्विआधारी विकल्प के लिए लाइव अनुसूची साल पूरे कर लिए हैं और अभी-अभी अपनी बचत को लेकर गंभीर होना शुरू किया है। वे डिजिटल दुनिया के निवासी हैं, स्व-निर्देशित निवेश विकल्प पसंद करते हैं, और एक आक्रामक निवेश दृष्टिकोण रखते हैं। वे टेक्नोलॉजी में उच्च विश्वास रखते हैं और विशेषकर सलाहकार के साथ काम नहीं करना चाहते, क्यूंकि उन्हें लगता है कि ऐसी सेवा का उपयोग करने के लिए सलाहकार के खर्च और प्रवेश-स्तर में समृद्धि की आवश्यकता होती है। एक। आसवन। व्यवसाय - अति लाभदायक (केवल नैतिकता की आवश्यकता नहीं है)। कोई भी आपको खराब गुणवत्ता वाले भोजन का उत्पादन करने के लिए मजबूर नहीं करता है। इसे विवेक पर करो। पीने या पीने के लिए - हर कोई खुद के लिए फैसला करता है। और चूंकि बहुत से लोगों के पास इस सवाल का सकारात्मक उत्तर है, इसलिए इन मार्जिनरों को अभी भी नशे में जाना होगा। और यदि आपका ब्रूमेकर खराब नहीं है और गांव में फटने वाली तकनीकी शराब की तुलना में अधिक महंगा नहीं है - तो आप कह सकते हैं, आप एक अच्छा काम कर रहे हैं। (मैंने अपनी शराब खोल दी होगी)। किसी भी देश का औसत तापमान उस देश के चुनिंदा शहरों के तापमान का औसत होता है। यह औसत पूरे 365 दिनों का निकाला जाता है, इसलिये इसे वार्षिक औसत तापमान कहते हैं। किसी शहर का वार्षिक औसत तापमान निकालने के लिये उस शहर के दैनिक औसत तापमान का औसत निकाला जाता है। किसी शहर का दैनिक औसत तापमान उस शहर के अधिकतम और न्यूनतम तापमान का औसत होता है। 1951 से लेकर वर्ष 2000 तक की अवधि के दौरान देश में मानसून सीज़न के दौरान दीर्घावधि औसत वर्षा 89 सेंटीमीटर रही है।
संकेतक के साथ द्विआधारी विकल्प के लिए लाइव अनुसूची - कारखाना विदेशी मुद्रा आरा
हेजिंग और फॉरवर्ड अनुबंध के बीच संकेतक के साथ द्विआधारी विकल्प के लिए लाइव अनुसूची का अंतर | हेजिंग बनाम अग्रेषित अनुबंध 2020। | 2021/07/24 09:56:51 | https://stemgateways.xyz/kat-13/page-856323.html | mC4 |
मंदसौर छोटी बड़ी खबरे 09-Nov-2018 | Hello Mandsaur (News | Business | City Portal)
मंदसौर छोटी बड़ी खबरे 09-Nov-2018
पेंशनर महासंघ का दीपावली मिलन समारोह 11 नवम्बर को
मन्दसौर। जिला पेंशनर एवं वरिष्ठ नागरिक महासंघ, गीता भवन इकाई का दीपावली मिलन समारोह 11 नवम्बर, रविवार को दोपहर 1 बजे इकाई अध्यक्ष सत्यनारायण पंचारिया गीता भवन के पास निवास स्थान पर रखा गया है। इकाई के समस्त सदस्य मिलन समारोह में पधारे। उक्त जानकारी इकाई सचिव कन्हैयालाल सोनगरा ने दी।
अंगदान पर सेमिनार का आयोजन रविवार कोलिवर ट्रांसप्लांट सर्जन डॉ. विनियेन्द्र पामेचा देंगे महत्वपूर्ण जानकारी
मन्दसौर। लायंस क्लब, आई.एम.ए., रोटरी क्लब तथा रेडक्रॉस सोसायटी मंदसौर के संयुक्त तत्वावधान में अंगदान पर एक सेमिनार का आयोजन नगर पालिका सभागार (हॉल) गांधी चौराहा पर 11 नवंबर, रविवार प्रातः 9 बजे रखा गया है। जिसमें दिल्ली के डॉ. विनियेन्द्र पामेचा (लिवर ट्रॉसप्लांट सर्जन) अंगदान के बारे में अपना उद्बोधन देंगे। उक्त जानकारी देते हुए लायंस क्लब अध्यक्ष लोकेन्द्र धाकड़ एवं सचिव कमल संगतानी ने बताया कि डॉ.विनियेन्द्र पामेचा (इंस्टीट्यूट ऑफ लिवर ट्रांसप्लांट एंड बिलियरी साइंसेस दिल्ली) लंदन से एम.सी.एच.त्र करने के पश्चात अभी दिल्ली मे कार्य कर रहे हैं। आप अंगदान कौन कर सकते है और अंगदान कैसे करें के बारे में जानकारी देंगे। लायंस क्लब पदाधिकारियों ने नागरिकों से अपील किया है कि अंगदान के कार्यक्रम को सफल बनाने में सहयोग प्रदान करें तथा समय पर पधारें।
अपर कलेक्टर ने ली सभी नोडल अधिकारियों की बैठक
मंदसौर। अपर कलेक्टर एवं उप जिला निर्वाचन अधिकारी श्री डामोर ने सभी नोडल अधिकारियों की बैठक ली। बैठक के दौरान मतदान केंद्रों की बुनियादी सुविधाओं के बारे में मतदान केंद्र के नोडल अधिकारियों से जानकारी ली गई। साथ ही स्वीप की गति गतिविधियों के अंतर्गत साइकिल रैली, नाटक, प्रदर्शन, रंगोली प्रतियोगिता, दिव्यांग मतदाताओं के लिए दिव्यांग गतिविधियां कौन-कौन सी की गई, मतदाताओं द्वारा ली गई शपथ, शतायु मतदाताओं के लिए सम्मान आदि गतिविधियों के बारे में जानकारी ली। साथ ही FST]VST]SST]VVT] MCMC के दलों के बारे में उनकी कार्ययोजना के बारे में पूछा गया। अब तक जप्त की गई राशि की जानकारी, मतदान केंद्र की व्यवस्था की जानकारी। सुविधा, सुगम एवं सिविजिल एप के बारे में जानकारी दी गयी। बैठक के दौरान सभी नोडल अधिकारी उपस्थित थे।
प्रेक्षकों को आम व्यठक्ति मोबाइल से कर सकता है शिकायत
मंदसौर। विधानसभा निर्वाचन के दौरान उम्मीदवारों के चुनावी खर्च पर नजर रखने भारत निर्वाचन आयोग द्वारा नियुक्त प्रेक्षकों के मोबाइल नम्बर पर नागरिकों द्वारा संबंधित विधानसभा क्षेत्र की निर्वाचन संबंधी जानकारी या शिकायत दी जा सकेगी। साथ ही प्रेक्षकों से सर्किअ हाउस में सुबह 6 से शाम 7 बजें तक हर नागरिक मिल सकता है तथा अपनी निर्वाचन से सम्ब्न्धित समस्याब को रख सकता है एवं इनके मोबाइल नम्बिर पर काल कर शिकायत दर्ज करा सकता है।
इन्फोर्समेंट एजेंसी के नोडल अधिकारियों की बैठक संपन्न
मंदसौर/ कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री ओमप्रकाश श्रीवास्तव की अध्यक्षता में व्यय निगरानी के लिए इन्फोर्समेंट एजेंसी के नोडल अधिकारियों की बैठक सुशासन भवन में आयोजित की गई। बैठक के दौरान सभी नोडल अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिए। बैठक के दौरान लीड बैंक मैनेजर को निर्देश देते हुए कहा कि प्रत्येक बैंक में एक लाख का संदिग्ध आहरण एवं जमा राशि से संबंधित जानकारी जिला निर्वाचन कार्यालय को सूचित करें। नारकोटिक्स मादक पदार्थों पर रोक लगाने के लिए समुचित कार्यवाही करें। जिला आबकारी अधिकारी अवैध शराब पर कार्यवाही निरंतर रूप से चलने दे। बैठक में एनफोर्समेंट के सभी विभागों से अपेक्षा की गई कि उनके विभाग द्वारा कंट्रोल रूम सक्रीयता से अपना कार्य करें। बैठक के दौरान कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री ओम प्रकाश श्रीवास्तव, सीईओ जिला पंचायत श्री आदित्य सिंह, अपर कलेक्टर श्री डामोर, प्रशिक्षण के नोडल अधिकारी श्री जयकुमार जैन, व्यय लेखा नोडल अधिकारी श्रीमती गरिमा रावत, जिला आयकर अधिकारी, जिला नारकोटिक्स अधिकारी, जिला सेंट्रल ब्यूरो नारकोटिक्स अधिकारी, जिला नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो अधिकारी, लीड बैंक मैनेजर उपस्थित थे।
मल्हारगढ विधानसभा से परशुराम सिसोदिया ने प्रस्तुत किया नामांकन पत्र, निकली विशाल वाहन रैली, कांग्रेसजन हुये शरिक
मंदसौर। मल्हारगढ विधानसभा क्रमंाक 225 से कांग्रेस के अधिकृत प्रत्याशी श्री परशुराम सिसोदिया ने विशाल वाहन रैली के साथ अपना नाम निर्देशन पत्र दाखिल किया। जिला कांग्रेस अध्यक्ष श्री प्रकाश रातडिया, पूर्व विधायक श्री नवकृष्ण पाटील, प्रदेश कांग्रेस महासचिव श्री कमलेश पटेल, ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्ष श्री अनिल शर्मा, कार्यवाहक ब्लॉक अध्यक्ष श्री तुलसीराम पाटीदार, बूढा अध्यक्ष श्री सरताज खान, श्री शीतलसिंह दोरवाडा सहित बडी संख्या में उपस्थित कांग्रेस नेताओं की उपस्थिति में श्री परशुराम सिसोदिया ने अनुविभागीय अधिकारी मल्हारगढ के समक्ष नाम निर्देशन पत्र प्रस्तुत करते हुये बडी संख्या में उपस्थित कांग्रेसजनो व आम नागरिको को परिवर्तन हेतु कांग्रेस को वोट देने का आव्हान किया।
इससे पूर्व पिपलिया अजय टॉकीज चौराहे से विशाल वाहन रैली का आयोजन हुआ। पुरे मल्हारगढ विधानसभा क्षेत्र से जुटे कांग्रेस नेताओं व कार्यकर्ताओं ने श्री परशुराम सिसोदिया की नामांकन रेली में हर्षोल्लास के साथ सहभागिता की। यह वाहन रैली पिपलिया अजय टॉकीज से होते हुये मनासा रोड होते हुये नारायणगढ एवं फिर मल्हारगढ पहुंची जहां नाम निर्देषन पत्र दाखिल किया गया।
दिपावली मिलन समारोह को लेकर रविवार को महत्वपूर्ण बैठक
मन्दसौर। प्रतिवर्षा अनुसार इस वर्ष भी दिपावली के पावन पर्व पर मन्दसौर के सभी समाजों का दिपावली मिलन समारोह का आयोजन 18 नवम्बर 2018 को तय किया किया गया है। इसको लेकर एक महत्वपूर्ण बैठक 11 नवम्बर 2018, रविवार को प्रातः 11 बजे, अमरदास हाल, नई आबादी में रखी गयी है। इस बैठक में सभी समाज प्रमुख अपेक्षित है आप सभी से निवेदन है कि आप कार्यक्रम को सफल बनाने हेतु बैठक में उपस्थित होकर कार्ययोजना बनाने में अपना अमूल्य योगदान देंवें।
वृद्धजनों के साथ दिपावली मिलन
मन्दसौर। उम्मीद सामाजिक सेवा संस्था मंदसौर द्वारा 7 नवम्बर को वृद्धाश्रम में वृद्धजनां के साथ दीपावली मनाई। सर्वप्रथम सभी को मिष्ठान द्वारा मुंह मीठा कराया तथा बिस्किट वितरित किये। उपहार स्वरूप चरण पादुकाएं भेंट की। कार्यक्रम में संस्था की तरफ से मधुसुदन आर्य, बी.एस. गुप्ता, श्री जैन, मोहनसिंह राजावत, बंशीलाल भट्ट, सुधा कुर्मी, दिनेश पोरवाल और हरिश चन्द्रे उपस्थित थे।
एक दिया शहीदों की याद में
मन्दसौर। सेवारत एवं पूर्व सैनिकों द्वारा 7 नवम्बर दीपावली के दिन एक दिया शहीदांे के नाम कार्यक्रम का आयोजन आर्य समाज परिसर मंदसौर में किया गया। कार्यक्रम की शुरूआत में कु. जैनल जैन द्वारा सुन्दर रंगोली बनाई। कार्यक्रम में कर्नल डॉ. मनीष मोगरा, सूबेदार (रिटा.) बी.एस. गुप्ता, सिंगनल मेन (रिटा.) जुगल किशोर सोनी, एनसीसी आफीसर केेप्टन विजयसिंह पुरावत तथा सिद्म मेडिकोज के निलेश जैन आदि उपस्थित थे।
कार्यक्रम के प्रारंभ में आर्य समाज के पुरोहित द्वारा वैदिक मंत्रोच्चार के साथ शहीदों को श्रद्धांजली दी तथा विंग कमांडर (रिटा.) डॉ. आनन्दीलाल मोगरा के चित्र पर माल्यार्पण किया। कार्यक्रम के अंत में एन.सी.सी. छात्रों द्वारा बांसूरी पर प्रस्तुति दी।
श्री प्रेमप्रकाश आश्रम में दीपावली मिलन समारोह व अन्नकूट महोत्सव सम्पन्न
मन्दसौर। सतगुरू टेऊँरामजी महाराज के श्री प्रेमप्रकाश आश्रम में 8 नवम्बर, गुरूवार को सिन्धी समाज के बड़ी संख्या में खुशनुमा वातावरण में पूर्ण श्रद्धा भाव से और बड़े ही प्रेम-प्यार से भगवान श्री लक्ष्मीनारायण व सतगुरू टेऊँरामजी महाराज व सतगुरू की प्रतिमाओं को निहारकर माथा टेककर एक दूसरे से गले मिलकर छोटों ने बड़ों के पांव छूकर व बड़ों ने आशीर्वाद देकर दीपावली मिलन समारोह पूर्ण भक्ति व श्रद्धा भावना से सम्पन्न हुआ।
इस आशय की जानकारी सेवा मण्डली के अध्यक्ष पुरूषोत्तम शिवानी ने ने देते हुए बताया कि महिला मण्डली की अध्यक्षा श्रीमती पुष्पा लक्ष्मणदास पमनानी के सानिध्य में प्रारंभ में 10 मिनिट का मौन ध्यान कर गुरूभक्ति से परिपूर्ण भजनों से वातावरण को और खुशनुमा बना दिया। श्री प्रेमप्रकाश आश्रम को दुल्हन की तरह सजाकर भगवान श्री लक्ष्मीनारायण, सतगुरू टेऊँरामजी महाराज, सतगुरू शान्ति प्रकाश महाराज, सतगुरू हरिदासरामजी महाराज के स्वरूपों का सोलह श्रृंगार को देखते ही बन रहा था। श्रीमती पमनानी ने कहा कि सतगुरू टेऊँरामजी महाराज ने अपनी श्री अमरापुर वाणी के द्वारा ब्रह्मज्ञानी महापुरूषों की महिमा और अज्ञानी संसारियों में भेद को समझाते हुए कहा है कि जो व्यक्ति इस झूठे संसार की हर वस्तु को सच करके मानता है उसे शास्त्रों में अज्ञानी कहा जाता है।
जो व्यक्ति अपनी इन्द्रियों पर नियंत्रण रखकर निश्चय कर ले की यह सारा संसार झूठा है वह व्यक्ति योगी कहलाता है। भगवान नारायण व लक्ष्मी माता, टेऊँरामजी महाराज व अन्य सतगुरूओं की महाआरती कर लक्ष्मी पूजन किया गया व अन्नकूट का विशेष भोग ''मेरे सतगुरू भोग लगाओ, हे गुरूवर भोग लगाओं। हाथ जोड़कर विनय करूं मैं, आओ भोग लगाओ।। ऐसा भाग लगाओं गुरूवर, विष भी अमृत बन जाये। एक बार जो पाय प्रसादी, भूख न उसको तड़फाये।। सदा रहे वह तृप्त ''मनोहर'' अमृत रस बरसाओ जी।। के भजन से अर्पित किया गया। नववर्ष परिवार, नगर, देश के लिये मंगलमयी हो व व्यापार व्यवसाय में प्रगति हो इन्हीं कामनाओं हेतु आरती करने वालों में प्रमुख थे पूज्य सिंधी भाई बंध पंचायत के अध्यक्ष नन्दू आडवानी, पूज्य सिंधी जनरल पंचायत पिपलियामंडी के अध्यक्ष रूपचन्द होतवानी व देवीदास (पटवारी) जजवानी, शिवकुमार पमनानी, शंकर मोटवानी, किशनलाल व मनोहरलाल लालवानी, राजकुमार लालवानी, सुन्दरदास आसवानी, मेघराज कोठारी, घनश्यामदास गोविन्दानी, लक्ष्मणदास पमनानी, गिरीश शिवानी, मोहनदास मनवानी, दयाराम लवाणी, पुरूषोत्तम खैमानी, श्यामलाल खैमानी, ठाकुरदास श्यामयानी, हरिश व देवीदास प्रदनानी, मोहनदास फतनानी, नारायण संगतानी, पेरूमल सेवानी, वासुदेव व राम सेवानी, गिरीश भगतानी, बम कोठारी आदि।
अन्त में गादिनशीन सतगुरू स्वामी भगतप्रकाशजी महाराज की अमृतमयी वाणी का नववर्ष का आशीर्वाद संदेश व ''पल्लव'' (विशेष अरदास) पाकर समाप्ति की गई। आभार प्रदर्शन मेघराज कोठारी व लक्ष्मणदास पमनानी ने प्रकट के उपरान्त अन्नकूट का महाप्रसाद वितरण किया गया।
कार्तिक महोत्सव प्रारंभ
शिवानी ने बताया कि चन्द्र दर्शन (चण्ड) का पावन दिवस 9 नवम्बर शुक्रवार से कार्तिक महोत्सव की कथा प्रातः 7 बजे से 8 बजे तक प्रारंभ की गई जो 23 नवम्बर पूर्णिमा गुरूनानक जयंति तक श्री प्रेमप्रकाश आश्रम में होगी। श्रद्धालु अधिक से अधिक संख्या में पधारे। | 2022/05/19 12:46:41 | https://www.hellomandsaur.com/%E0%A4%AE%E0%A4%82%E0%A4%A6%E0%A4%B8%E0%A5%8C%E0%A4%B0-%E0%A4%9B%E0%A5%8B%E0%A4%9F%E0%A5%80-%E0%A4%AC%E0%A5%9C%E0%A5%80-%E0%A4%96%E0%A4%AC%E0%A4%B0%E0%A5%87-09-nov-2018/ | mC4 |
नई दिल्ली। (भाषा) उच्चतम न्यायालय ने कहा (Shaheen Bagh Case) है कि ''प्रदर्शन करने का अधिकार कहीं भी और कभी भी'' नहीं हो सकता और इसने पिछले वर्ष पारित अपने आदेश की समीक्षा की मांग वाली याचिका खारिज कर दी। पिछले वर्ष फैसले में उच्चतम न्यायालय ने कहा था कि शाहीन बाग में संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ प्रदर्शनों के दौरान सार्वजनिक रास्ते पर कब्जा जमाना ''स्वीकार्य नहीं है।''
उच्चतम न्यायालय ने कहा कि कुछ अचानक प्रदर्शन हो सकते हैं लेकिन लंबे समय तक असहमति या प्रदर्शन के लिए सार्वजनिक स्थानों पर लगातार कब्जा नहीं किया जा सकता है जिससे दूसरे लोगों के अधिकार प्रभावित हों। न्यायमूर्ति संजय किशन कौल, न्यायमूर्ति अनिरूद्ध बोस और न्यायमूर्ति कृष्ण मुरारी की पीठ ने कहा, ''हमने समीक्षा याचिका और सिविल अपील पर गौर किया है और आश्वस्त हैं कि जिस आदेश की समीक्षा करने की मांग की गई है उसमें पुनर्विचार किए जाने की जरूरत नहीं है।''
अक्टूबर 2020 में शाहीन बाग आंदोलन को लेकर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर नवंबर 2020 से पुनर्विचार याचिका (Shaheen Bagh Case) लंबित थी। ऐसे में एक और अर्जी लगाकर याचिकाकर्ताओं ने कहा कि चूंकि किसान आंदोलन के खिलाफ लगाई गई अर्जी और हमारी याचिका एक जैसी है, ऐसे में सार्वजनिक स्थानों पर विरोध करने के अधिकार की वैधता और सीमा पर कोर्ट के विचार अलग-अलग नहीं हो सकते। कोर्ट को इस पर विचार करना चाहिए। शाहीन बाग मामले में अदालत की ओर से की गई टिप्पणी नागरिकों के आंदोलन करने के अधिकार पर संशय पैदा करती है।
दिल्ली के शाहीन बाग में नागरिकता संशोधन कानून (CAA) (Shaheen Bagh Case) के खिलाफ 14 दिसंबर 2019 से प्रदर्शन शुरू हुआ था, जो 3 महीने से ज्यादा चला। सुप्रीम कोर्ट ने 17 फरवरी को सीनियर वकील संजय हेगडे और साधना रामचंद्रन को जिम्मेदारी दी कि प्रदर्शनकारियों से बात कर कोई समाधान निकालें, लेकिन कई राउंड की चर्चा के बाद भी बात नहीं बन पाई थी। बाद में कोरोना के चलते लॉकडाउन होने पर 24 मार्च को प्रदर्शन बंद हो पाया था। | 2022/01/19 08:00:52 | https://bansalnews.com/sc-dismisses-reconsideration-petition-om-shaheen-bagh-case/ | mC4 |
उत्तरी वर्जीनिया – यूएसए ओरेगन – यूएसए फ्रैंकफर्ट – यूएसए उत्तरी कैलिफोर्निया – यूएसए ओहियो – यूएसए आयरलैंड – यूरोप सिंगापुर – एशिया प्रशांत टोक्यो – एशिया पैसिफिक मुम्बई – एशिया मॉट्रियल कनाडा सिडनी – एशिया विशिष्ट सियोल – एशिया विशिष्ट साओ पाउलो – दक्षिण अमेरिका लंदन, यूनाइटेड किंगडम। दिल्ली तकनीकी विश्लेषण की अवधारणाओं और मुंबई के डॉक्टरों का कहना है कि कोरोना संक्रमण के मामले में इजाफ़े को देखते हुए अस्पताल में बिस्तर और दूसरे संसाधनों की मौजूदगी चिंता का सबब है।
इस पत्र की भाषा ध्यान खींचने वाली है. महिला और बाल विकास विभाग के प्रभारी कमिश्नर हृषिकेश यशोध ने यह पत्र लिखा था. इस पत्र की भाषा यौनकर्मियों के बारे में पुरानी घिसे-पिटे अंदाज़ में की जाने वाली बातचीत की भाषा से अलग थी। धीमी गति से द्विआधारी विकल्पों पर प्रतिक्रिया करने के लिए, दुनिया भर के नियामकों ने अब उद्योग को विनियमित करना शुरू कर दिया है और अपनी उपस्थिति महसूस की है। वर्तमान में प्रमुख नियामकों में तकनीकी विश्लेषण की अवधारणाओं शामिल हैं। विदेशी मुद्रा, कमोडिटीज, स्टॉक्स, और क्रिप्टोमुद्राएं 1.0 पिप से कम के प्रसार के साथ व्यापार योग्य हैं। प्रसार अपनी संपत्ति और बाजार की स्थिति पर निर्भर करता है. इसके अलावा, आप 1:1000 की एक अधिकतम लाभ उठाने के साथ व्यापार कर सकते हैं. यह बहुत अधिक है, लेकिन आप प्रत्येक व्यापार से पहले लाभ उठाने बदल सकते हैं।
कर्नाटक हाईकोर्ट द्वारा केंद्र सरकार ने विवादित पर्यावरण प्रभाव आकलन अधिसूचना के मसौदे को क्षेत्रीय भाषाओं में प्रकाशित करने का निर्देश दिया गया था. केंद्र ने इसका अनुपालन करने से मना कर तकनीकी विश्लेषण की अवधारणाओं दिया है, जिस पर हाईकोर्ट ने नाराज़गी जताई है। | 2021/01/21 21:35:09 | https://gardena-shop.top/kat-5/page-975640.html | mC4 |
कोरोना की मार : खिलाड़ियों व स्टाफ के संक्रमित पाए जाने के बाद शेष आईपीएल संस्पेंड - satymevjayte.com
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कोरोना की मार : खिलाड़ियों व स्टाफ के संक्रमित पाए जाने के बाद शेष आईपीएल संस्पेंड
मुंबई। कई खिलाड़ियों और स्टाफ के संक्रमित होने के चलते शेष IPL सस्पेंड कर दिया गया है। BCCI के वाइस प्रेसिडेंट राजीव शुक्ला ने इस बात की जानकारी दी। दो दिन में खिलाड़ी वरुण चक्रवर्ती, संदीप वॉरियर, रिद्धिमान साहा, अमित मिश्रा और बॉलिंग कोच बालाजी समेत 8 खिलाड़ी और 2 कोचिंग स्टाफ मेंबर पॉजिटिव आने के बाद ये फैसला लिया गया है।
अब तक इतने खिलाड़ी और स्टाफ पॉजिटिव
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Oppo Reno 6Z Key Specifications Tipped; May Come With 64-Megapixel Primary Camera, 4,310mAh Battery - Newssow
Home/Technology/Oppo Reno 6Z Key Specifications Tipped; May Come With 64-Megapixel Primary Camera, 4,310mAh Battery
Oppo Reno 6Z, चीनी कंपनी का एक अफवाह वाला आगामी फोन, एक बार फिर लीक हो गया है। एक टिप्सटर ने फोन के स्पेसिफिकेशंस के बारे में जानकारी दी है, हालांकि अभी इसकी लॉन्चिंग डेट का पता नहीं चला है। Oppo Reno 6Z, जब भी लॉन्च होगा, इस सीरीज में Oppo Reno 6, Oppo Reno 6 Pro और Oppo Reno 6 Pro+ फोन के साथ बैठेगा। तीनों फोन पिछले महीने चीन में लॉन्च किए गए थे। लीक हुए स्पेसिफिकेशंस को देखते हुए, ऐसा लगता है कि ओप्पो रेनो 6Z में ओप्पो रेनो 6 के लगभग समान स्पेसिफिकेशन हैं।
टिपस्टर अभिषेक यादव ट्वीट किए key के प्रमुख विनिर्देश ओप्पो रेनो 6Z. फोन को एंड्रॉइड 11-आधारित ColorOS 11.1 पर चलने के लिए इत्तला दी गई है। इसमें 6.43-इंच की AMOLED डिस्प्ले फुल-एचडी+ रेजोल्यूशन और 60Hz स्क्रीन रिफ्रेश रेट के साथ हो सकती है। फोन के गोरिल्ला ग्लास 5 प्रोटेक्शन के साथ आने की भी उम्मीद है। Oppo Reno 6Z 8GB RAM पैक कर सकता है और 256GB इंटरनल स्टोरेज दे सकता है। फोन 30W फास्ट चार्जिंग सपोर्ट के साथ 4,310mAh की बैटरी पैक कर सकता है।
कैमरों के लिए, टिपस्टर ने साझा किया कि ओप्पो रेनो 6Z में ओप्पो रेनो 6 जैसा ही कैमरा सेटअप शामिल हो सकता है। इसमें 64-मेगापिक्सल का मुख्य कैमरा, 8-मेगापिक्सल का अल्ट्रा-वाइड कैमरा और 2-मेगापिक्सल का मैक्रो लेंस शामिल है। . फ्रंट में, फोन में 32-मेगापिक्सल का सेल्फी कैमरा हो सकता है। इसके भी दो कलर ऑप्शन में आने की उम्मीद है।
पिछली लीक दावा है कि ओप्पो रेनो 6Z मीडियाटेक डाइमेंशन 800U SoC द्वारा संचालित हो सकता है। ये सभी इंगित करते हैं कि Oppo Reno 6Z थोड़ा टोंड-डाउन वेरिएंट है ओप्पो रेनो 6, कैसे के समान ओप्पो रेनो 5Z से तुलना की जाती है ओप्पो रेनो 5. ओप्पो रेनो 6 संचालित है MediaTek डाइमेंशन 900 SoC द्वारा और 12GB तक रैम के साथ आता है। इसमें 90Hz स्क्रीन रिफ्रेश रेट भी है और 65W फास्ट चार्जिंग सपोर्ट प्रदान करता है, जो कि ओप्पो रेनो 6Z की तुलना में बहुत अधिक है।
oppo reno 6z स्पेसिफिकेशंस लीक कैमरा डिटेल्स 64-मेगापिक्सल 4310mah बैटरी oppo रेनो 6z ओप्पो रेनो 6z स्पेसिफिकेशंस विपक्ष
Strawberry Moon: आज ज्येष्ठ पूर्णिमा के दिन आसमान में दिखेगा स्ट्रॉबेरी मून का खूबसूरत नजारा, जानें इसके बारे में सबकुछ | 2021/10/17 07:22:29 | https://newssow.com/oppo-reno-6z-key-specifications-tipped-may-come-with-64-megapixel-primary-camera-4310mah-battery/ | mC4 |
Delhi के CM अरविंद केजरीवाल ने की प्रेस कॉन्फ्रेंस, Lockdown लगाने पर दिया बयान… – MH One News
दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल मंगलवार को कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद रविवार को स्व्स्थ्य हो गए तो वहीं स्वस्थ्य होने के बाद केजरीवाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की और कहा कि सभी लोगों का शुक्रिया, केजरीवाल ने कहा कि मुझे 2 दिन बुखार रहा लेकिन उसके बाद में ठीक था पूरी तरह। अब मैं वापिस आपकी सेवा में हाजिर हूं।
कोरोना से ठीके हुए केजरीवाल
दिल्ली में कोरोना के बढ़ते मामलों को लेकर अरविंद केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली में कोरोना के मामले बहुत तेजी से बढ़ रहे हैं, यह एक चिंता का विषय तो है लेकिन घबराने की बात नहीं है। केजरीवाल ने कहा कि पिछली लहर के मुकाबले इस बार की कोविड लहर में मृत्यु कम हो रही है और लोगों को अस्पताल जाने की जरुरत भी कम पड़ रही है।
"केंद्र सरकार से हमें पूरा सहयोग मिल रहा है"
लॉकडाउन लगाने पर सीएम केजरीवाल ने कहा कि अभी हमारी दिल्ली मे लॉकडाउन लगाने की कोई मंशा नहीं है। कल DDMA की दोबारा मीटिंग है, उस मीटिंग में हम विशेषज्ञों के साथ फिर से स्थिति का जायजा लेंगे कि क्या-क्या करने की जरुरत है। केंद्र से भी हमें पूरा सहयोग मिल रहा है।
मास्क पहनेंगे तो नहीं लगेगा Lockdown
सीएम केजरीवाल ने कहा कि कई लोग सवाल कर रहे हैं कि कि दिल्ली में लॉकडाउन लगेगा। मैं कहना चाहता हूं कि अगर आप लोग मास्क पहनेंगे तो लॉकडाउन नहीं लगेगा, जब भी आप घर से बाहर निकले तो मास्क लगाकर जरुर निकले। जरुरी न हो तो घर से ना निकलें। केजरीवाल ने कहा कि हम लॉकडाउन नहीं लगाना चाहते, हमारी ऐसी कोई मंशा नहीं है। सीएम केजरीवाल ने कहा कि कोशिश है कि हम दिल्ली में कम से कम प्रतिबंध लगाए। | 2022/05/28 06:27:52 | https://mhone.in/delhi-%E0%A4%95%E0%A5%87-cm-%E0%A4%85%E0%A4%B0%E0%A4%B5%E0%A4%BF%E0%A4%82%E0%A4%A6-%E0%A4%95%E0%A5%87%E0%A4%9C%E0%A4%B0%E0%A5%80%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%B2-%E0%A4%A8%E0%A5%87-%E0%A4%95%E0%A5%80/ | mC4 |
Paneer 65 Recipe: कुछ अलग खाने की सोच रहे हैं तो बनाएं 'पनीर 65'
कुछ अलग खाने की सोच रहे हैं तो बनाएं 'पनीर 65' (Paneer 65 Recipe)
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Paneer 65 Recipe: वेजिटेरियन यानी शाकाहारी भोजन की बात जब भी होती है तो सबसे पहले पनीर का नाम ही आता है। पनीर का नाम सुनते ही आपके मन में पनीर संबंधित कुछ गिनी-चुनी डिशिज के नाम आते हैं जैसे कड़ाही पनीर, शाही पनीर, पनीर मसाला, पनीर भुजिया आदि। लेकिन अगर आप वेजिटेरियन हैं और कुछ बढ़िया और डिफरेंट खाने की सोच रहे हैं तो आप घर पर ही पनीर 65 डिश बना सकते हैं। इसे बनाना बेहद सरल है और इसे बनाने में ज्यादा समय भी नहीं लगता है। ये डिश मात्र 15 मिनट में ही तैयार हो जाती है।
पनीर 65 है क्या? (Paneer 65 Recipe)
पनीर 65 एक स्पाइसी लेकिन स्वादिष्ट स्नैक है। इसे बनाने के लिए मसालेदार पेस्ट में मैरिनेट हुए पनीर को करारा होने तक तला जाता है। यह स्वादिष्ट पकवान, स्टार्टर्स के तौर पर या खाने के साथ भी परोसा जा सकता है। पनीर 65 कुछ-कुछ चिली पनीर जैसा ही है। पनीर मंचूरियन की तरह सोया सॉस और चिली सॉस का इस्तेमाल किये बिना इसे तरह -तरह के मसाले डालकर कैसे चटपटा और स्पाइसी बनाया जाता है आईए जानते हैं।
250 ग्राम पनीर चौकोर कटा हुआ
1 बडा चम्मच लाल मिर्ची पाउडर
2 बडे चम्मच मैदा
2 बड़े चम्मच कॉर्नफ्लार
7-8 लहसुन की कलियां बारीक कटी हुई
1 प्याज छोटे टुकड़ों में कटी हुई
आवश्यकतानुसार हरी प्याज
3 चम्मच मेट्रो सॉस
पनीर 65 बनाने की विधी
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सबसे पहले पनीर को चकोर टुकड़ों में काट लें। अब एक बर्तन लें और पनीर उसमें डालें। पनीर पर नमक, लाल मिर्च पाउडर, मैदा और कॉर्न प्लार डालकर हल्के हाथ से मिला लें।
अब एक कड़ाही लें और तेल गरम होने के लिए रख दें। मैरिनेट हुए पनीर को तेल गरम होने पर अच्छे से तल लें। पनीर को ज्याादा न चलाएं इससे वह टूट भी सकता है। जब पनीर कुरकुरा हो जाए तो उसे प्लेट में निकाल कर साइड रख दें।
अब बारी आती है पनीर 65 का स्पेशल मसाला तैयार करने की। अब एक कड़ाही लें और दो चम्मच तेल डालकर गरम कर लें।
तेल गरम होने के बाद इसमें करी पत्ता, अदरक लहसुन का पेस्ट और कटी हुई प्याज़ डालकर अच्छे से सोटे कर लें यानी हल्का सा सुनहरा होने तक भून लें।
अब भुनी हुई प्याज़ में चिली सॉस, सिरका, सोया सॉस, नमक, थोड़ा सा टोमाटो सॉस डालकर इसमें आधा कटोरी पानी डाल लें और अच्छे से भून लें।
इसे तब तक भूने जब तक एक गाढ़ी ग्रेवी तैयार न हो जाए।
अब इसमें तले हुए पनीर के टुकड़े और हरा धनिया, हरी पयाज़, और हरी मिर्च डालकर मिला लें।
तो लीजिए पनीर 65 तैयार है। आप इसे प्लेट में डालकर हरे धनिये की गार्निश और कटे हुए नींबू के साथ परोस सकती हैं। | 2021/09/28 20:20:25 | https://hindi.rapidleaks.com/food-drink/paneer-65-recipe/ | mC4 |
जापान में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भाषण के बाद लगे 'वंदे मातरम' और 'जय श्री राम' के नारे, देखें वीडियो | 🇮🇳 LatestLY हिन्दी
जापान में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भाषण के बाद लगे 'वंदे मातरम' और 'जय श्री राम' के नारे, देखें वीडियो
देश Subhash Yadav| Jun 27, 2019 05:07 PM IST
जापान में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Photo Credits-ANI Twitter)
कोबे. जापान में होने वाले जी-20 शिखर सम्मेलन में शिरकत के लिये प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) गुरुवार को यहां पहुंचने के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने जापान के कोबे शहर में भारतीय समुदाय के लोगों को संबोधित किया. पीएम मोदी (PM Modi) ने जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे (Shinzo Abe) के साथ मुलाकात की. इस दौरान दोनों नेताओं ने मुंबई-अहमदाबाद हाई स्पीड रेलवे की प्रगति पर भी चर्चा की. प्रधानमंत्री (PM Modi) ने कहा कि जनता ने उनपर पहले से ज्यादा विश्वास और प्यार जताया है. उन्होनें कहा कि जापान में रह रहे भारतीयों ने भी लोकतंत्र को मजबूत किया और आपके उत्साह से लग रहा है कि हम सही दिशा में है.
शिंजो आबे (Shinzo Abe) ने चुनावों में भारी जीत के लिए एक बार फिर पीएम मोदी (PM Modi) को बधाई दी. उन्होंने कहा कि अब भारत आने की मेरी बारी है और मैं अपनी यात्रा का बेसब्री से इंतजार कर रहा हूं. पीएम मोदी (PM Modi) ने भी जापान के पीएम शिंजो आबे (Shinzo Abe) को बधाई देने के लिए धन्यवाद दिया. यह भी-VIDEO: जी-20 समिट से पहले गर्मजोशी से मिले मोदी और शिंजो आबे, जापानी पीएम बोले- अगली बार हैं मेरी बारी
PM Narendra Modi in Japan: After I became PM in 2014 I got an opportunity to strengthen India-Japan friendship, together with my friend PM Shinzo Abe. We took our diplomatic relations beyond the purview of capitals & ambassadors & took them directly among public. pic.twitter.com/6sPnV6i4LQ
पीएम मोदी (PM Modi) ने कहा कि आप भारत के पहले मित्र थे जिन्होंने मुझे फोन पर बधाई दी. मैं इतनी गर्मजोशी से स्वागत के लिए आपका और जापान सरकार का आभार व्यक्त करता हूं. पीएम मोदी के भाषण के दौरान लोगों ने वंदे मातरम और 'जय श्री राम' के नारे भी लगाए. इस दौरान लोगों के बीच जबरदस्त उत्साह देखने को मिला.
प्रधानमंत्री मोदी (PM Modi) ने कहा 7 महीने बाद एक बार फिर मुझे जापान की धरती में आने का मौका मिला था. पिछले बार जब मैं आया था तब मेरे मित्र शिंजो आबे (Shinzo Abe) पर भरोसा कर आपने उन्हें जिताया था. इस बार जब मैं आया हूं तब दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र भारत ने इस प्रधान सेवक पर पहले से ज्यादा प्यार और विश्वास जताया है.
PM Narendra Modi in Japan: Sabka saath sabka vikas aur usmein logon ne amrit milaya sabka vishwas. We are going ahead with this mantra. India will be made stronger. pic.twitter.com/Za4QnLnyIx
उन्होनें कहा कि 130 करोड़ भारतीयों ने पहले से भी मजबूत सरकार बनाई है. ये अपने आप में बहुत बड़ी घटना है. तीन दशक बाद पहली बार लगातार दूसरी बार पूर्ण बहुमत की सरकार बनाई है.
G-20 summit Japan Osaka PM Modi Shinzo Abe ओसाका जापान जापान के पीएम शिंजो आबे जी 20 समिट जी-20 शिखर सम्मेलन पीएम मोदी भारत-जापान शिंजो आबे | 2020/01/19 07:21:47 | https://hindi.latestly.com/india/narendra-modi-in-japan-for-g20-summit-slogans-of-vande-mataram-jai-shri-ram-raised-in-kobe-after-pm-addresses-indian-diaspora-248544.html | mC4 |
भाई वीरेन्द्र बोले - नीतीश कुमार ने महागठबंधन को दिखाया अंगूठा - Live Cities
पटना : राजद विधायक और अपने बयानों के लिए हमेशा चर्चा में रहने वाले भाई वीरेन्द्र ने एक बार फिर जदयू के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. राष्ट्रपति चुनाव पर जदयू का अपना स्टैंड साफ़ करने के बाद भाई वीरेन्द्र ने पार्टी के फैसले पर सवाल उठाया है. बता दें कि एनडीए की ओर से राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार बिहार के पूर्व राज्यपाल रामनाथ कोविंद को जदयू ने अपना समर्थन दे दिया है.
जदयू के इस फैसले पर मनेर से राजद के विधायक भाई वीरेन्द्र ने इसे दुर्भाग्यपूर्ण बताया है. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने ऐसा करके महागठबंधन को अंगूठा दिखा दिया है. इससे पहले राजद के ही वरिष्ठ नेता अब्दुल बारी सिद्दिकी ने इसपर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए तंज कसने के अंदाज में इस फैसले को 'बड़े लोगों की बड़ी बातें' बताया था. उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति उम्मीदवार पर वैसे तो कोई भी फैसला राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू प्रसाद ही करेंगे, लेकिन रामनाथ कोविंद की शख्सियत बहुत अच्छी रही है.
गौरतलब है कि राष्ट्रपति पद के चुनाव में विपक्ष की मुहिम से अलग जनता दल यूनाइटेड के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अलग राह ले ली है. उन्होंने पहले ही बिहार के पूर्व राज्यपाल रामनाथ कोविंद को अपना समर्थन दे दिया था. आज बुधवार को पार्टी के सभी सांसदों और विधायकों की बैठक के बाद इस निर्णय पर पार्टी ने आधिकारिक रूप से मुहर भी लगा दी है.
वहीँ राजद विधायक भाई वीरेन्द्र भी अपने अलग तेवर के लिए जाने जाते हैं. पिछले कई मौकों पर वो ऐसे बयान देते रहे हैं जिससे महागठबंधन में असहज स्थिति पैदा हो जा रही है. हाल में ही उन्होंने इंटर के रिजल्ट पर भी बिहार सरकार को घेरा था. भाई वीरेंद्र ने इंटर के कॉपी जांचने वाले शिक्षकों पर ही सवाल खड़ा करते हुए कहा था कि जिन शिक्षको से कॉपी जांच कराई गई है उन्हें उनकी मेरिट पर शक है. | 2021/07/28 04:06:53 | https://livecities.in/bihar/bihar-news/government-affairs/rjd-mla-bhai-virendra-attacks-cm-nitish-kumar-over-support-for-president-candidate/ | mC4 |
सीनेट ने रोल्स रॉयस कंपनी के हवाले से बताया है कि 2 साल बाद यानी साल 2020 में वह अपनी फ्लाइंग टैक्सी लॉन्च करने की पूरी तैयारी के साथ काम कर रहे हैं। इस टैक्सी को किसी रनवे की जरूरत नहीं होगी, यानि इस कार में हवा में उड़ते उड़ते किसी भी बिल्डिंग की छत पर टेक ऑफ करने और वहां से लैंड करने की छमता होगी। कंपनी के मुताबिक उनकी कॉन्सेप्ट इलेक्ट्रिक कार इसी हफ्ते हैंपशायर में होने वाले इंटरनेशनल एयर शो में डिस्प्ले की जाएगी। डेलीमेल के मुताबिक रोल्स रॉयस दुनिया भर में हवाई जहाज, हेलीकॉप्टर और पानी के जहाजों के लिए इंजन पहले से ही बना रही है कंपनी का दावा है कि उनकी यह हाईटेक फ्लाइंग टैक्सी भविष्य में सफर करने के पूरे सिस्टम को ही बदलकर रख देगी। | OSCAR-2019 |
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'सरकार के एग्री सेक्टर में उठाए गए कदमों से भारत इस क्षेत्र में टॉप 5 में हो सकता है शामिल' | business - News in Hindi - हिंदी न्यूज़, समाचार, लेटेस्ट-ब्रेकिंग न्यूज़ इन हिंदी
'सरकार के एग्री सेक्टर में उठाए गए कदमों से भारत इस क्षेत्र में टॉप 5 में हो सकता है शामिल'
फलों और सब्जियों का दूसरा सबसे बड़ा उत्पादक देश
डब्ल्यूटीसी (WTC) की रिपोर्ट में वर्ष 2019 विश्व व्यापार संगठन (WTO) के आंकड़ों के हवाले से कहा गया है कि वर्ष 2019 में 39 अरब डॉलर के वार्षिक कृषि उत्पादों के निर्यात के साथ, भारत का स्थान आठवां था.
Last Updated: July 29, 2020, 9:59 PM IST
मुंबई. विश्व व्यापार केन्द्र (WTC) की एक रिपोर्ट के अनुसार खेती पर ध्यान केंद्रित करने और किसानों को प्रभावी समर्थन देकर आगे बढ़ाने से, देश कृषि वस्तुओं के शीर्ष पांच निर्यातकों में शामिल हो सकता है. यह रिपोर्ट ऐसे समय में आई है जब सरकार ने कृषि क्षेत्र में कुछ सुधारों की घोषणा की है ताकि किसानों को एपीएमसी की मंडियों (APMC markets) के बाहर उपज बेचने की अनुमति मिल सके और अन्य बातों के साथ एसेंशियल कमोडिटी एक्ट ( Essential Commodities Act) को लचीला किया गया है, जिससे निर्यात को बढ़ावा मिल सके.
डब्ल्यूटीसी (WTC) की रिपोर्ट में वर्ष 2019 विश्व व्यापार संगठन (WTO) के आंकड़ों के हवाले से कहा गया है कि वर्ष 2019 में 39 अरब डॉलर के वार्षिक कृषि उत्पादों के निर्यात के साथ, भारत का स्थान आठवां था. भारत का स्थान यूरोपीय संघ (181 अरब डॉलर), अमेरिका (172 अरब डॉलर), ब्राजील (93 अरब डॉलर), चीन (83 अरब डॉलर), कनाडा (69 अरब डॉलर), इंडोनेशिया (46 अरब डॉलर) और थाईलैंड (44 अरब डॉलर) के बाद था.
रिपोर्ट के अनुसार, क्षमता निर्माण दिशा में केंद्रित हस्तक्षेप के माध्यम से, हम अपने कृषि वस्तुओं के निर्यात को बढ़ाते हुए थाईलैंड और इंडोनेशिया को पीछे छोड़कर दुनिया में पांचवां सबसे बड़ा निर्यातक देश बन सकते हैं. अध्ययन में कहा गया है कि इस स्थिति को हासिल करने के लिए पहले कदम के रूप में, सरकार को अपने विस्तार केंद्रों की भूमिका पुनर्निधारित करना चाहिए - देश भर में 715 कृषि विज्ञान केंद्र - किसानों को उन फसलों की किस्मों को उगाने के लिए समर्थन प्रदान करें जिनकी वैश्विक स्तर पर बाजारों में मांग है.
अध्ययन में कहा गया है कि कई बार, भारतीय निर्यात खेपों को इसलिए ठुकरा दिया जाता है क्योंकि निर्धारित अधिकतम अवशिष्ट सीमा से ऊपर कीटनाशकों की उपस्थिति होती है. इसमें कहा गया है कि कृषि विज्ञान केंद्रों को कीटनाशकों और अन्य रसायनों के विवेकपूर्ण उपयोग पर किसानों का मार्गदर्शन करना चाहिए ताकि भारतीय किसानों के उत्पाद वैश्विक गुणवत्ता मानकों के अनुरूप हो सकें.
रिपोर्ट में कहा गया है, कृषि में आत्मनिर्भरता हासिल करने के बाद, हमें अपनी विस्तार सेवाओं की प्रणाली को पुनर्निधारित करने की जरूरत है, जिन्हें कृषि उत्पादन में आत्मनिर्भरता हासिल करने की ओर केंद्रित हरित क्रांति के दिनों में विकसित की गई थी. रिपोर्ट में कहा गया है कि अब समय आ गया है कि हम मात्रा के साथ वैश्विक खाद्य बाजारों में गुणवत्ता की ओर बढ़ें. इसमें कहा गया है कि इस दिशा में ध्यान का एक प्रमुख केन्द्र बागवानी फसलों की खेती हो सकती है जो विदेशों में स्वीकार्य गुणवत्ता, रंग, आकार और रासायनिक सामग्री की उपस्थिति के मानकों के अनुरूप हो या जो आगे के प्रसंस्करण के लिए उपयुक्त हों.
फलों और सब्जियों का दूसरा सबसे बड़ा उत्पादक देश होने के बावजूद, वैश्विक निर्यात में भारत की हिस्सेदारी 1.8 फीसदी से कम है. खाद्य और कृषि संगठन के आंकड़ों के मुताबिक, पपीते, नींबू के सबसे बड़े उत्पादक होने के बावजूद, हम दुनिया के पपीते की मांग का 3.2 फीसदी, नींबू की मांग का 0.5 फीसदी हिस्सा मुश्किल से पूरा कर पाते हैं. पिछले एक दशक में, भारत ने बासमती चावल, मांस और समुद्री उत्पादों के अलावा शिमला मिर्च, अरंडी का तेल, तंबाकू के अर्क और मीठे बिस्कुट जैसे वस्तुओं के निर्यात में उल्लेखनीय प्रगति की है. रिपोर्ट में निष्कर्ष निकाला गया, ये सफल प्रयासों को अन्य संभावना रखने वाले खाद्य पदार्थों में दोहराई जानी चाहिये या इनऊें दोहराया जा सकता है. | 2020/08/10 23:29:12 | https://hindi.news18.com/news/business/india-can-be-among-top-5-agriculture-goods-exporters-with-effective-policies-3190179.html | mC4 |
संडे को भी रिटर्न नहीं भर पाए व्यापारी - Inext Live
2019-04-22T12:17:51+05:30
PRAYAGRAJ: जीएसटी काउंसिल ने प्रत्येक महीने की 20 तारीख को जीएसटीआर-3 बी भरने की डेट डिसाइड कर रखी है। लेकिन हर महीने ही लास्ट डेट से पहले सर्वर काम करना बंद कर देता है। 20 अप्रैल को भी कुछ ऐसा हुआ। इस पर जीएसटी काउंसिल ने तीन दिन के लिए डेट बढ़ा दी।
जीएसटी काउंसिल ने जीएसटीआर-3बी भरने के लिए तीन दिन का समय तो दिया, लेकिन संडे को जीएसटी पोर्टल का सर्वर काफी स्लो रहा। इसकी वजह से चाहकर भी व्यापारी जीएसटीआर-3बी नहीं भर पाए। तीन दिन के लिए दिए गए समय में पहला दिन यूं ही गुजर गया। अब व्यापारियों के पास दो दिन का समय और है जीएसटीआर-3बी भरने के लिए अगर दो दिन के अंदर रिटर्न नहीं भरा तो फिर व्यापारियों को पेनाल्टी भरना पड़ेगा।
सर्वर फेल होने की प्रॉब्लम आज तक दूर नहीं हो पाई है। यह व्यापारियों के लिए सबसे बड़ी समस्या और सिर दर्द है। अब व्यापारी अपना व्यापार करें या फिर रिटर्न के लिए कम्प्यूटर से चिपके रहें। ऐसा सिस्टम होना चाहिए कि व्यापारी जब चाहे तब रिटर्न दाखिलकर व्यापार में लग जाएं। | 2019/06/25 13:43:46 | https://minextlive.jagran.com/lite/slow-server-is-a-big-problem-to-gst-filing-212357 | mC4 |
Firing Outside BJP MLA Residence
Posted on June 17, 2021 at 12:59 am by News Ganj
फर्रुखाबाद जिले में भाजपा विधायक (BJP MLA) के घर के सामने दो कार सवार लोगों ने एक दूसरे पर एक दर्जन से अधिक राउंड फायरिंग (Firing) की। विधायक (BJP MLA)के दरवाजे पर खड़ी भाजपा नेता की कार का शीशा टूट गया। घटना के बाद कार सवार भाग गए।
सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंची। यहां दो बुलेट व आधा दर्जन से अधिक कारतूस के खोखे मिले हैं। फतेहगढ़ के जय नारायण वर्मा रोड निवासी भोजपुर से भाजपा विधायक नागेंद्र सिंह राठौर के आवास के सामने बुधवार रात करीब सवा आठ बजे दो कार सवार लोगों में विवाद हो गया।
इस पर दोनों कारों में सवार लोगों ने ताबड़तोड़ फायरिंग (Firing) कर दी। गोली लगने से विधायक के घर आए भाजपा नेता विमल कटियार की कार का शीशा टूट गया। फायरिंग के बाद कार सवार भाग गए।
सूचना पर एएसपी अजय प्रताप, सीओ नितेश सिंह मौके पर पहुंचे। पुलिस को मौके पर दो बुलेट व आधा दर्जन से अधिक कारतूस के खोखे मिले। पुलिस को लोगों ने बताया कि रखा की ओर से एक ब्रेजा कार आई और विधायक के घर के सामने ब्रेकर पर रुक गई।
पीछे से फार्च्यूनर कार आई। दोनों कार सवारों में कहासुनी होने लगी और कुछ ही देर में फायरिंग (Firing) शुरू हो गई। गोली लगने से फार्च्यूनर का शीशा टूट गया। इसके बाद दोनों कारें आंबेडकर तिराहे की की ओर चली गईं। 12-14 फायर दोनों ओर से हुए हैं।
पुलिस आसपास के घरों में लगे सीसीटीवी कैमरों के फुटेज देखकर कार सवारों के बारे जानने के प्रयास में जुुटी है। एएसपी ने विधायक से जानकारी की और उनके घर के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरे के फुटेज खंगाले। इसमें सड़क की तस्वीर नहीं दिखी।
भाजपा नेता विमल कटियार ने बताया कि कार में वह नहीं थे। इसलिए वह बच गए। एएसपी अजय प्रताप ने बताया कि युवकों के दो गुटों में कार रेस को लेकर विवाद हुआ। उसी के बाद फायरिंग हुई है। एक कार में सपा का झंडा लगा होने की बात पर बताया कि यह जांच का विषय है।
रुपये के विवाद में भिड़े थे सपा नेता व व्यापारी पक्ष के लोग
जांच में जुटी पुलिस को पता चला है कि इस घटना के पीछे एक सपा नेता द्वारा व्यापारी को रुपये दिलाने को लेकर हुए विवाद की रंजिश है। एक वर्ष पूर्व फतेहगढ़ मिलेट्री चौराहे पर एक सपा नेता व दूसरे पक्ष में फायरिंग (Firing) हो गई थी।
इसमें सपा नेता की कार में गोली लगी थी। बाद में दोनों ओर से मुकदमे दर्ज कराए गए थे। पुलिस ने जानलेवा हमले की धारा हटाकर चार्जशीट लगा दी थी। उसके बाद से रंजिश बढ़ती चली गई। बुधवार शाम को एक कार में सपा नेता के बेटे व दूसरी में दूसरे पक्ष के लोगों के बैठे होने की बात सामने आई है। पुलिस दोनों पक्षों के लोगों की तलाश कर रही है। पुलिस ने आवास विकास कालोनी व लोको रोड पर दबिश दी है।
BJP MLA vinay katiyar
सत्ता में रहते हैं तो पत्रकारों को जिंदा जलवा देते हैं अखिलेश: भाजपा
लखनऊ। मुरादाबाद में सपा की प्रेस कॉन्फेंस के दौरान पत्रकारों से मारपीट मामले में मामला अब सपा भाजपा के बीच… | 2022/01/29 05:10:05 | https://www.newsganj.com/firing-outside-bjp-mla-residence/ | mC4 |
अगस्ता डील : मोदी, सोनिया ने की बैठक, राहुल ने कहा जवाब देंगे | NewsTrack Hindi 1
अगस्ता डील : मोदी, सोनिया ने की बैठक, राहुल ने कहा जवाब देंगे
May 04 2016 10:45 AM
नई दिल्ली : अगस्ता वेस्टलैंड डील में घोटाले को लग इन दिनों संसद में हंगामा जारी है. एक और जहाँ बीजेपी इस मामले में कांग्रेस को घेरने की तैयारी में है तो वहीँ दूसरी और कांग्रेस इस मुद्दे पर सरकार पर हमला करने की तैयारी में है. इसे लेकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी अपने बड़े मंत्रियों के इस मुद्दे पर साथ बैठक की. उन्होंने अगस्ता वेस्टलैंड डील में कांग्रेस को घेरने के लिए अपने मंत्रियों से चर्चा की.
इसके अलावा कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने भी पार्टी के बड़े नेताओं ने बैठक कर इस पर रणनीति तैयार की. इस बैठक में अहमद पटेल, गुलाम नबी आजाद, मल्लिकार्जुन खड़गे, अभिषेक मनु सिंघवी, ए.के. एंटनी, आनंद शर्मा, ज्योतिरादित्य सिंधिया और रणदीप सुरजेवाला शामिल थे. इस दौरान निर्णय लिया गया कि इस मामले में कांग्रेस बचाव की मुद्रा में नहीं आएगी और लगातार हमलावर रहेगी.
गोरतलब है कि इटली की एक कोर्ट के जज ने एक चैनल को दिए ताजा बयान में सोनिया को क्लीन चिट दी है. कांग्रेस जज के इस बयान का हावाला देगी. वहीँ दूसरी और कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी को भी बचाने के लिए कांग्रेस ने रणनीति तैयार कर ली है. कांग्रेस संसद में बताएगी कि राहुल ने सारी जानकारी चुनाव आयोग को दिए अपने एफिडेविट में दे रखी हैं. कांग्रेस ने अपने सांसदों को पूरे हफ्ते संसद में मौजूद रहने का निर्देश दिया गया है.
इस मामले में आज सुबह राहुल गाँधी ने कहा कि सरकार को अगस्ता वेस्टलैंड डील मामले में संसद में कांग्रेस की और से जवाब दिया जाएगा. | 2021/10/23 07:07:28 | https://www.newstracklive.com/news/narendra-modi-and-sonia-gandhi-meeting-on-agusta-westland-deal-1052994-1.html | mC4 |
Weather Updates: बिहार और असम में विनाशकारी बाढ़ से 150 लोगों की मौत, 1.15 करोड़ लोग प्रभावित
शनिवार, 20 जुलाई 2019 (00:56 IST)
पटना। बिहार और असम में शुक्रवार को बाढ़ से लोगों को थोड़ी सी राहत मिली लेकिन अब तक इससे 1.15 करोड़ से ज्यादा लोग प्रभावित हो चुके हैं और बाढ़ तथा बारिश की वजह से मरने वालों की संख्या 150 तक पहुंच चुकी है। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बयान जारी करके मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदना जताई और परिजनों को 4 लाख रुपए का मुआवजा देने की घोषणा की।
दक्षिणी-पश्चिमी मानसून राजस्थान के शेष क्षेत्र में भी पहुंच गया, इसके साथ ही अब पूरे देश में मानसून आ गया। दिल्ली को छोड़कर उत्तरी भारत के ज्यादातर हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश दर्ज हुई। बिहार में पिछले 24 घंटों में विभिन्न इलाकों में बाढ़ के कारण मरने वालों की संख्या 14 हो गई जिससे इस मानसूनी बारिश में यह आंकड़ा बढ़कर 92 तक पहुंच गया है।
राज्य में राहत और पुनर्वास अभियान पूरी क्षमता से चलाए जा रहे हैं और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 180 करोड़ रुपए से अधिक धनराशि वाला एक अभियान शुरू किया जिसके अंतर्गत प्रभावित लोगों को प्रत्यक्ष धन अंतरण (डीबीटी) के माध्यम से सहायता दी जाएगी।
असम में बाढ़ में 11 और लोगों की मौत के साथ मृतकों की संख्या बढ़कर 47 हो गई है जबकि राज्य के 33 में से 27 जिलों में 48.87 लाख लोग प्रभावित हैं। शुक्रवार को एक आधिकारिक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है राज्य में कुल 1.79 लाख हैक्टेयर कृषि भूमि पानी में डूबी हुई है और काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान तथा पबित्रो वन्यजीव अभयारण्य का करीब 90 फीसदी हिस्सा पानी में डूबा है।
असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एएसडीएमए) ने कहा कि 11 और लोगों की मौत की खबर मिली है जिनमें बारपेटा और मोरीगांव में 3-3 लोगों की मौत हुई है। प्राधिकरण ने अपने बुलेटिन में कहा कि 3,705 गांवों में 48,87,443 लोग बाढ़ की चपेट में हैं।
दिल्लीवासियों को शुक्रवार को उमसभरी सुबह का सामना करना पड़ा, जहां न्यूनतम तापमान 25 डिग्री सेल्सियस और अधिकतम तापमान 36.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि शनिवार को हल्की बारिश हो सकती है।
दक्षिण-पश्चिम मानसून के प्रभाव के चलते शुक्रवार को दूसरे दिन भी केरल के कई हिस्सों में भारी बारिश हुई। सात मछुआरे लापता हैं और 2 जिलों में राहत शिविर खोले गए हैं।
मौसम विभाग के अनुसार इडुक्की, कोझीकोड, वायनाड, मल्लपुरम और कन्नूर जिलों में शुक्रवार को 20 सेमी से अधिक बारिश के चलते रेड अलर्ट (बहुत ज्यादा बारिश) जारी किया गया है। इन स्थानों में 19-22 जुलाई को भारी बारिश की भविष्यवाणी की गई थी, जबकि सुदूर उत्तर के कासरगोड जिले में शनिवार को रेड अलर्ट घोषित कर दिया जाएगा।
राजस्थान के 1-2 हिस्सों में पिछले 24 घंटों के दौरान भारी बारिश और कुछ स्थानो पर मेघगर्जन के साथ हल्की से मध्यम दर्जे की बारिश दर्ज की गई। मौसम विभाग के प्रवक्ता ने बताया कि शुक्रवार सुबह से शाम तक श्रीगंगानगर में 3.4 मिलीमीटर, बीकानेर में 0.4 मिलीमीटर, अजमेर-चूरू-जोधपुर में बूंदाबांदी दर्ज की गई।
अगला लेख जमीन पर धरने पर बैठी प्रियंका बोलीं, मुझे जेल में डालना चाहें तो मैं इसके लिए पूरी तरह से तैयार हूं | 2020/03/30 10:45:21 | https://m-hindi.webdunia.com/regional-hindi-news/assam-bihar-devastating-flood-119072000002_1.html | mC4 |
Pakistani Team Announced For South Africa And Zimbabwe Tour Sharjeel Khan Added in Hindi - ढाई साल का बैन झेलने के बाद हुई खिलाड़ी की पाकिस्तानी टीम में वापसी, SA और जिम्बाब्वे दौरे के लिए हुआ टीम का ऐलान On Cricketnmore
March 12, 2021 • 16:24 PM View: 248
पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड ने दक्षिण अफ्रीका और जिम्बाब्वे दौरे के लिए अपनी तीनों फॉर्मैट की टीम का ऐलान कर दिया है। दक्षिण अफ्रीका और जिम्बाब्वे दौरे पर पाकिस्तानी टी-20 टीम में शर्जील खान को भी शामिल किया गया है।
शर्जील खान वही खिलाड़ी हैं जिन्हें 2017 में स्पॉट फिक्सिंग का दोषी करार दिया गया था और इसी के चलते उन्हें ढाई साल का बैन भी झेलना पड़ा था। इसके बाद अगस्त 2019 में पीसीबी ने उनके ऊपर से बैन हटा लिया था।
अब लगभग दो साल बाद उन्हें नेशनल टीम में दोबारा से वापसी का मौका दिया गया है। ऐसे में ये देखना दिलचस्प होगा कि क्या वो अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में कामयाब वापसी कर पाते हैं या नहीं। वहीं, अगर पाकिस्तानी टीम की बात की जाए तो बाबर आज़म तीनों फॉर्मैट में टीम की कमान संभालते हुए नजर आएंगे।
Pakistan squads for South Africa and Zimbabwe announced#HarHaalMainCricket pic.twitter.com/4uQIpquIYY | 2021/04/11 10:20:22 | https://hindi.cricketnmore.com/cricket-news/pakistani-team-announced-for-south-africa-and-zimbabwe-tour-sharjeel-khan-added-72758 | mC4 |
delhi latest news: दिल्लीः ऑपरेशन कर 12 साल की लड़की के पेट से निकाला दो फुटबॉल के बराबर का ट्यूमर - two football equivalent tumor removed from a 12 year old girl stomach after operation | HindiWorldNewsXpress
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delhi latest news: दिल्लीः ऑपरेशन कर 12 साल की लड़की के पेट से निकाला दो फुटबॉल के बराबर का ट्यूमर – two football equivalent tumor removed from a 12 year old girl stomach after operation
दिल्ली में एक लड़की का ऑपरेशन करके उसके पेट से 5 किलों का ट्यूमर निकाला गया
कोरोना महामारी की वजह से नॉन कोविड मरीज इलाज के लिए अस्पताल जाने से बच रहे
इस लड़की के साथ भी यही स्थिति हुई, जब बीमारी बढ़ी तब अस्पताल पहुंची
पेट में दर्द की शिकायत की वजह से 12 साल की लड़की 20 मार्च को गंगा राम अस्पताल लाई गई थी। 4-5 साल पहले उसके पेट में दर्द और सूजन की समस्या शुरू हुई थी और धीरे-धीरे पेट का आकार बढ़ता जा रहा था। पिछले साल यह सूजन तेजी से बढ़ने लगी। ऐसे में लड़की को पेट में दर्द होने लगा और सांस लेने में भी दिक्कत होने लगी। पिछले एक साल से कोरोना महामारी की वजह से नॉन कोविड मरीज इलाज के लिए अस्पताल जाने से बच रहे हैं। यही स्थिति इस लड़की के साथ भी हुई और जब बीमारी बढ़ गई, तब वह इलाज के लिए गंगा राम अस्पताल पहुंची। यहां लड़की का सफल ऑपरेशन कर पेट से 5 किलो का ट्यूमर निकाल दिया गया। लड़की को कुछ दिनों बाद अस्पताल से छुट्टी दे दी गई।
अस्पताल के लेप्रोस्कोपिक एंड बेरिएट्रिक सर्जन डॉक्टर तरुण मित्तल ने कहा कि जब पहली बार उसे देखा, तो उसका पेट काफी टेढ़ा-मेढ़ा दिख रहा था। क्लिनिकल जांच में पेट बहुत भरा हुआ पाया गया। यह आश्चर्य की बात थी, क्योंकि उसे बहुत ज्यादा दिक्कत नहीं हो रही थी, लेकिन सूजन इतने बड़े आकार तक पहुंच चुकी थी। तुरंत सीटी स्कैन करने पर पता चला कि मरीज के पूरे पेट में काफी बड़ा ट्यूमर है, जिसका साइज 30x20x14 सेंटीमीटर है जो कि दो बड़े फुटबॉल के बराबर है।
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डॉक्टर तरुण ने कहा कि लड़की और उसके माता-पिता से सलाह के बाद सर्जरी की योजना बनाई गई। पूरी सावधानी के साथ 25 मार्च को ऑपेरशन किया गया। सर्जरी के दौरान यह साफ हो गया कि एक बड़ा ट्यूमर पूरे पेट में फैल गया था और बड़ी खून की नसों और आंत सहित शरीर के महत्वपूर्ण अंगों के साथ जुड़ा हुआ था। सर्जरी में दो बड़ी चुनौतियां थीं। एक तो ट्यूमर को निकालते समय खून की धमनियों और आंतों को बचाया जाए। दूसरा ट्यूमर को 100 फीसद पेट से काट कर निकाला जाए। 3 घंटे चले सफल ऑपरेशन में दोनों ही चुनौतियों में डॉक्टरों ने सफलता हासिल की और ट्यूमर को निकाल लिया गया।
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इस जटिल सर्जरी के लिए लेप्रोस्कोपिक एंड बेरिएट्रिक सर्जिकल टीम का नेतृत्व डॉक्टर तरुण मित्तल के अलावा डॉक्टर आशीष डे, डॉक्टर अनमोल आहूजा के साथ एनेस्थेटिस्ट टीम में डॉक्टर जयश्री सूद और डॉक्टर अजय सिरोही ने किया। ट्यूमर को ऑपरेशन कर पूरी तरह से सफलतापूर्वक हटा लिया गया। इसका वजन 5 किलोग्राम था। ट्यूमर को हिस्टोपैथोलॉजिकल जांच के लिए भी भेजा गया है।
football equivalent tumor removed by operation
two football equivalent tumor
दिल्ली अस्पताल न्यूज
दिल्ली गंगाराम अस्पताल
फुटबॉल के बराबर ट्यूमर
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महाराजगंज admin - April 11, 2021 0
कोरोना संक्रमण होने पर न घबराएं। आप तक डॉक्टरी सहायता 24 घंटे पहुंचेगी। इसके लिए इंटीग्रेटेड कोविड कमांड सेंटर (आइसीसीसी) को 24 घंटे के... | 2021/04/11 15:55:58 | https://hindi.worldnewsxpress.com/delhi-latest-news-%E0%A4%A6%E0%A4%BF%E0%A4%B2%E0%A5%8D%E0%A4%B2%E0%A5%80%E0%A4%83-%E0%A4%91%E0%A4%AA%E0%A4%B0%E0%A5%87%E0%A4%B6%E0%A4%A8-%E0%A4%95%E0%A4%B0-12-%E0%A4%B8%E0%A4%BE%E0%A4%B2-%E0%A4%95/ | mC4 |
मारवाह स्टूडियो में तीन दिवसीय "14 वें ग्लोबल फिल्म फेस्टिवल में सिंगर अखिल सचदेव को iCMEI excellence अवार्ड से सम्मानित किया गया ⋆ Loktantra Samachar
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मारवाह स्टूडियो में तीन दिवसीय "14 वें ग्लोबल फिल्म फेस्टिवल में सिंगर अखिल सचदेव को iCMEI excellence अवार्ड से सम्मानित किया गया
नोएडा के फ़िल्म सिटी में स्थित मारवाह स्टूडियो में तीन दिवसीय "14 वें ग्लोबल फिल्म फेस्टिवल" के तीसरे दिन के दुसरे सत्र की शानदार शुरुआत गणेश वंदना के साथ दीप प्रज्ज्वलित कर के की गयी| बता दें की ये सत्र बॉलीवुड के लीजेंडरी एक्टर राज कपूर को समर्पित था|
नोएडा फिल्म सिटी के संस्थापक, आइसीएमईआई के प्रेसिडेंट संदीप मारवाह ने कहा कि फिल्ममेकिंग करने के लिए बहुत स्ट्रगल करना पड़ता है, suffer करना पड़ता है, नदी, पहाड़ कंकड़ पत्थर सब पार करना ही पड़ता है तब ज़िन्दगी हसीन कहलाती है| और इसी तरीके से सिनेमा हसीं कहलाता है| डॉ संदीप मारवाह ने कहा की तन मन धन मान मर्यादा इज़्ज़त शोहरत सब दांव पर लगाना पड़ता है जब आप एक फिल्म बनाते हैं|
इस कार्यक्रम में फेस्टिवल ऑफ़ डायरेक्टर अशोक त्यागी ने ग्लोबल फिल्म फेस्टिवल के बारे में बताया|
दिग्गज डायरेक्टर राहुल रवेल, सिंगर अखिल सचदेव, Mr. Roman Masarik Charge d' Affairs Embassy of the Czech Republic, cultural councelor, ईरान culture हाउस डॉ मोहम्मद अली रब्बानी, Deputy Head of the mission High Commission of the Gambia Mr. lamin Singhateh, मोरोक्को के राजदूत महामहिम मुहम्मद मलीकी , एक्ट्रेस पायल घोष , एक्ट्रेस गरिमा भंडारी मौजूद रहे|
इस कार्यक्रम में राज कपूर के ऊपर लिखी किताब के बारे में डायरेक्टर राहुल रवैल ने बताया की राज कपूर से जितना कुछ सीखा है वो सब इस किताब में लिखा है| इस किताब का फर्स्ट लुक भी इस कार्यक्रम में दिखाया गया|
इस कार्यक्रम में सिंगर अखिल सचदेव को iCMEI excellence अवार्ड से सम्मानित किया गया|
साथ ही गरिमा भंडारी को iCMEI excellence अवार्ड से सम्मानित किया गया| पायल घोष को iCMEI मोमेंटो से सम्मानित किया गया|
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बाहरी महिलाओं को बाहर रखना: - Harshit India news बाहरी महिलाओं को बाहर रखना: - Harshit India news
बाहरी महिलाओं को बाहर रखना:
पानी की गुणवत्ता को ठीक होना चाहिए।
जगदलपुर में पानी की उपस्थिति खराब होने के कारण खराब हो गया है। नगर गूंग के वार्ड नंबर 24 के विंडों के विंडों (विवरण) को सिर पर शानदार प्रदर्शन। वार्ड के संपर्क में आने के लिए यह सक्षम है. नगर की रेटिंग से नगर की स्थिति कैसी थी। शहर का निवारण नारे लगाने की भी। सुरक्षा के मामले में ऐसा करने के लिए ऐसा करने के लिए ऐसा करने के लिए सुरक्षित रहें। नर्वस निष्क्रियता बंद कर रहे हैं।
वर्ड नंबर 24 विनिर्वाण पत्र के अनुसार, संशोधित बार के विनिर्देशन के अनुसार, क्रमांक और महापौर को ज्ञापन के माध्यम से सूचित किया जाएगा। इस आपदा प्रबंधन में है। जब काम में सुधार किया जाता है, तो काम में सुधार किया जाता है। शहरी क्षेत्र के अधिकारी ध्यान नहीं देते हैं। । समस्या हल होने पर भी पूरी तरह से ठीक होगा। .
वार्ड के संपर्क में आने के लिए यह सक्षम है.
स्वास्थ्य के लिहाज से अच्छा है, जनता त्रस्त
जगदलपुर नगर के सदस्य वर्ग में शामिल होते हैं। स्थिर समय के लिए। शहर के तापमान में सुधार … समस्याओं को हल करने के लिए। वार्डों में विकास के काम रहे हैं। पत्र-पत्रिका संबंधी विवरण पत्र लिखने के लिए आवश्यक हैं।
वाटर वाटर वार्ड
नगर के वार्ड नंबर 24 में 5000 की आबादी है। . में खतरनाक खतरनाक है। इस तरह के दर्ज़ तापमान में यह दर्ज किया गया है। , गार्डेन ने कहा, हम गार्डेन गार्डेन गार्डेन गार्डेन. यह स्थिर है । जगदलपुर और नगर महापौर के घर कनेक्शन है। आराम से पानी पी रहे हैं। एम.बी.एम.बी. | 2021/11/28 20:56:44 | https://www.harshitindia.com/2021/10/29/%E0%A4%AC%E0%A4%BE%E0%A4%B9%E0%A4%B0%E0%A5%80-%E0%A4%AE%E0%A4%B9%E0%A4%BF%E0%A4%B2%E0%A4%BE%E0%A4%93%E0%A4%82-%E0%A4%95%E0%A5%8B-%E0%A4%AC%E0%A4%BE%E0%A4%B9%E0%A4%B0-%E0%A4%B0%E0%A4%96%E0%A4%A8/ | mC4 |
बीसीसीआई की शीर्ष परिषद में रणजी ट्रॉफी को लेकर हुई चर्चा – युथ दर्पण
बीसीसीआई की शीर्ष परिषद में रणजी ट्रॉफी को लेकर हुई चर्चा
by युथ दर्पण July 18, 2020, 1:05 pm 1.6k Views
बीसीसीआई की शीर्ष परिषद की बीते दिन बैठक हुई और उम्मीदों के मुताबिक इस बैठक ेमें घेरलू क्रिकेट का मुद्दा हावी रहा।
बैठक का हिस्सा रहे एक अधिकारी ने आईएएनएस से कहा कि शीर्ष परिषद के सभी सदस्यों का मानना है कि घरेलू क्रिकेट पर तुरंत प्रभाव से ध्यान दिया जाना चाहिए और रणनीति पुरानी शैली में हर टीम के मैच उनकी जोन में कराने की है।
उन्होंने कहा, "घरेलू क्रिकेट के भविष्य और याताआत पाबंदियों के साथ-साथ सबसे अहम स्वास्थ नियमों को मानते हुए किस तरह हम आगे बढ़ सकते हैं इस पर काफी अच्छी चर्चा हुई। यह चर्चा हालांकि अभी अपने शुरुआती दौर में है लेकिन इस बात पर चर्चा हुई की रणजी ट्रॉफी टीमें पूरे देश में सफर करने के बजाए अपने जोन में ही मैच खेल सकती हैं क्योंकि मौजूदा स्थिति के देखते हुए यह आसान होगा।"
अधिकारी ने कहा, "जब तक आईसीसी टी-20 विश्व कप को लेकर अपना अंतिम फैसला नहीं सुना देती तब तक हम इस बारे में कोई ऐलान नहीं कर सकते। लेकिन सोमवार को होने वाली आईसीसी की बैठक के बाद हम आधिकारी ऐलान की उम्मीद कर सकते हैं और एक बार यह हो जाए तो हम जरूरी घोषणा कर देंगे।" | 2021/02/24 22:43:25 | https://www.hindi.youthdarpan.com/2020/07/18/%E0%A4%AC%E0%A5%80%E0%A4%B8%E0%A5%80%E0%A4%B8%E0%A5%80%E0%A4%86%E0%A4%88-%E0%A4%95%E0%A5%80-%E0%A4%B6%E0%A5%80%E0%A4%B0%E0%A5%8D%E0%A4%B7-%E0%A4%AA%E0%A4%B0%E0%A4%BF%E0%A4%B7%E0%A4%A6-%E0%A4%AE/ | mC4 |
आत्मदाह के बाद हजारों तिब्बतियों का विरोध प्रदर्शन | दुनिया | DW | 05.11.2012
एक युवा तिब्बती के आत्मदाह करने के बाद हजारों तिब्बतियों ने चीनी शासन के खिलाफ प्रदर्शन किया है. पश्चिमी चीन के तिब्बती मठों वाले शहर में रविवार को इस विरोध प्रदर्शन ने खूब जोर पकड़ा.
भारत में रह रही तिब्बतियों की निर्वासित सरकार और लंदन की फ्री तिब्बत संस्था ने बताया कि क्विंगाई प्रांत के लोंगवु और रोंगवु शहर में तिब्बती लोग प्रदर्शन करने सड़कों पर निकले. रविवार को तिब्बती कलाकार दोरजी ल्हुंडुप ने खुद को आग लगा ली. इंटरनेट पर जारी तस्वीरों से पता चलता है कि हजारों लोगों की भीड़ उसे जलते हुए देखती रही. लोगों की भीड़ में सबसे आगे तिब्बती संन्यासियों के दल भी थे.
जल कर मर जाने के बाद तिब्बती संन्यासी दोरजी के शरीर को मठ में ले गए. इसके बाद हजारों तिब्बती पहाड़ी पर उसके अंतिम संस्कार के लिए जमा हुए. अज्ञात सूत्रों के हवाले से अमेरिका से चलने वाले रेडियो फ्री एशिया ने कहा है कि अंतिम संस्कार आनन फानन में कर दिया गया जिससे कि चीनी अधिकारी इसमें दखल न दे सकें. इस रेडियो ने यह भी जानकारी दी है कि अंतिम संस्कार के दौरान तिब्बती लोगों ने तिब्बत की जंग के पक्ष में नारा बुलंद किया. दोरजी के परिवार वालों ने कहा कि उसने तिब्बत के हितों की रक्षा के लिए खुद को आग लगा ली. इन लोगों ने निर्वासन में जी रहे तिब्बती धर्मगुरु दलाई लामा की वापसी की मांग की.
फ्री तिब्बत ने स्थानीय तिब्बती लोगों के हवाले से लिखा है कि आत्मदाह की घटना के बाद लोग काफी डरे हुए हैं. सुरक्षा अधिकारियों ने शहर में गश्त शुरू कर दी है और लोगों को अपनी गतिविधियां कम करने के निर्देश दे रहे हैं. रेडियो ने यह भी जानकारी दी है कि इलाके में हुई इस घटना के बारे में जानकारी फैलने से रोकने के लिए इंटरनेट और मोबाइल की सेवा भी ठप्प कर दी गई है.
पिछले दो सालों में तिब्बत पर चीनी शासन के खिलाफ 60 से ज्यादा तिब्बती लोगों ने आत्मदाह किया है. यह लोग अपने लिए अधिक स्वायत्तता की मांग कर रहे हैं. चीन की सरकार इस मांग को अलगाववादी कह कर इसका विरोध करती है. आए दिन प्रदर्शनों की आंच से तिब्बत जलता रहता है. तिब्बत के लोग अलग अलग तरीके से अपनी बात दुनिया के मंचों पर उठाते रहते हैं. तिब्बतियों के धर्मगुरू दलाईलामा भारत में रहते हैं. पहले वह तिब्बत की निर्वासित सरकार के मुखिया भी थे लेकिन अब उन्होंने खुद को केवल धार्मिक गतिविधियों तक समेट लिया है. निर्वासित सरकार की कमान किसी और के हाथ में है जिसे दलाई लामा का सहयोग हासिल है.
तिब्बत के लोग चीन की सरकार पर उनके धर्म को दबाने और उनकी संस्कृति को खत्म करने का आरोप लगाते हैं. चीन की बहुसंख्यक आबादी हान समुदाय की है जो बड़ी तेजी से ऐतिहासिक तिब्बती इलाकों में आ कर बसती जा रही है. उधर चीन का कहना है कि तिब्तती लोगों को धार्मिक आजादी के साथ ही सरकार के निवेश की वजह से बेहतर जिंदगी भी मिलती है.
आत्मदाह की आग पहुंची तिब्बत की राजधानी ल्हासा
चीन का विरोध करते हुए तिब्बत की राजधानी ल्हासा में दो तिब्बतियों ने खुद को आग लगा ली. मार्च 2011 से अब तक 31 तिब्बतियों ने विरोध के तौर पर आत्मदाह किया है. (28.05.2012)
'तिब्बत में सांस्कृतिक जनसंहार'
इंटरनेशनल कैंपेन फॉर तिब्बत के सदस्य जोरगी पहली बार यूरोप यात्रा पर हैं. उनका आरोप है कि चीन तिब्बत में सांस्कृतिक जनसंहार कर रहा है. पहले वहां के लोगों को गोली मारी गई. हत्या की गई. अब पहचान मिटाने की कोशिश हो रही है. (27.05.2012) | 2018/11/19 23:58:23 | https://www.dw.com/hi/%E0%A4%86%E0%A4%A4%E0%A5%8D%E0%A4%AE%E0%A4%A6%E0%A4%BE%E0%A4%B9-%E0%A4%95%E0%A5%87-%E0%A4%AC%E0%A4%BE%E0%A4%A6-%E0%A4%B9%E0%A4%9C%E0%A4%BE%E0%A4%B0%E0%A5%8B%E0%A4%82-%E0%A4%A4%E0%A4%BF%E0%A4%AC%E0%A5%8D%E0%A4%AC%E0%A4%A4%E0%A4%BF%E0%A4%AF%E0%A5%8B%E0%A4%82-%E0%A4%95%E0%A4%BE-%E0%A4%B5%E0%A4%BF%E0%A4%B0%E0%A5%8B%E0%A4%A7-%E0%A4%AA%E0%A5%8D%E0%A4%B0%E0%A4%A6%E0%A4%B0%E0%A5%8D%E0%A4%B6%E0%A4%A8/a-16355443 | mC4 |
दूरस्थ कार्य का अगला चरण और भी अधिक विघटनकारी होगा - WorldRef
फ़रवरी 9th, 2022
By वाल्टर फ्रिक
कार्यकारी संपादक, क्वार्ट्ज
एक श्रम अर्थशास्त्री का तर्क है कि दूरस्थ कार्य अर्थव्यवस्थाओं को बदल देगा, क्योंकि कंपनियों को दूरस्थ कर्मचारियों को समायोजित करने के लिए नीतियों को संशोधित करना होगा।
एडम ओज़िमेक ने क्वार्ट्ज से दूरस्थ कार्य के अगले चरण के बारे में बात की।
झकझोरने के रूप में दूरस्थ कार्य के लिए संक्रमण फ्रीलांसिंग प्लेटफॉर्म अपवर्क के एक श्रम अर्थशास्त्री एडम ओज़िमेक कहते हैं, कोरोनोवायरस महामारी के दौरान, यह आगे आने वाले की तुलना में मामूली था। उनका तर्क है कि दूरस्थ कार्य का अगला चरण अर्थव्यवस्थाओं को बदल देगा, क्योंकि अधिक कंपनियां उन कर्मचारियों को समायोजित करने के लिए अपनी नीतियों में संशोधन करती हैं जो स्थायी रूप से दूरस्थ रूप से काम करने के लिए स्थानांतरित हो गए हैं, और अधिक श्रमिक उन जगहों पर चले जाते हैं जहां वे हमेशा रहना चाहते थे लेकिन नहीं कर सके।
ओज़िमेक और अपवर्क की टीम ने महामारी की शुरुआत के बाद से दूरस्थ कार्य पर सर्वेक्षण किया है, और उनका दृष्टिकोण आंशिक रूप से उन परिणामों पर आधारित है। वह भविष्यवाणी करता है कि रिमोट-फर्स्ट स्टार्टअप एसिंक्रोनस रूप से काम करने के नए तरीकों का पता लगाएंगे, जो आज के संस्करण की तुलना में पूरी तरह से रिमोट काम को अधिक प्रबंधनीय बनाते हैं। और वह उम्मीद करता है कि आर्थिक भूगोल बड़े पैमाने पर स्थानांतरित हो जाएगा, जहां श्रमिक जहां चाहें वहां रहने के लिए स्वतंत्र हैं - गृहनगर से स्की कस्बों तक - जहां भी वे काम करते हैं।
क्वार्ट्ज ने ओज़िमेक से बात की कि अगले पुनरावृत्ति के बारे में क्या होगा दूरदराज के काम तरह दिख सकता है। इस साक्षात्कार को स्पष्टता के लिए संघनित और संपादित किया गया है।
"वे पावरपॉइंट संस्कृति पर कम और लिखित संस्कृति पर अधिक भरोसा करेंगे।"
महामारी के बाद से अब तक दूरस्थ कार्य की कहानी क्या है?
एडम ओज़िमेक: नंबर एक चीज जो हुई है वह यह है कि बहुत सारे व्यवसायों और बहुत सारे श्रमिकों ने पाया है कि दूरस्थ कार्य उनके विचार से बेहतर काम करता है। आप इसे श्रमिकों के सर्वेक्षणों में देख सकते हैं, आप इसे नियोक्ताओं के सर्वेक्षणों में देख सकते हैं - मूल रूप से सभी ने यह पता लगाया है कि काम करने का यह तरीका उनके विचार से कहीं अधिक उत्पादक है। काम करने के इस तरीके के बहुत सारे महत्वपूर्ण लाभ हैं, और यह एक दीर्घकालिक परिवर्तन के रूप में समझ में आता है, न कि बहुत सारी भूमिकाओं के लिए केवल एक अल्पकालिक अनुकूलन।
चित्रा: काम का भविष्य बहुत सारे बदलाव लाएगा।
आप रिमोट वर्क को "सामान्य प्रयोजन प्रौद्योगिकी" क्यों कहते हैं, एक शब्द अर्थशास्त्री बिजली या इंटरनेट जैसे आविष्कारों के लिए उपयोग करते हैं?
यह एक सामान्य प्रयोजन की तकनीक है क्योंकि इसमें वास्तव में बहुत बड़े स्पिलओवर होने वाले हैं। यह केवल दो लोगों को एक साथ दूर से काम करने की अनुमति देने से कहीं अधिक है - इसका फ़र्म स्तर पर सभी प्रकार के परिवर्तनों के लिए निहितार्थ होने वाला है। हम शुरुआती दौर में हैं।
आप किन कुछ क्षेत्रों में बदलाव की उम्मीद करते हैं?
मुझे लगता है कि इसके बारे में बहुत विनम्र होना और यह कहना महत्वपूर्ण है कि हम नहीं जानते कि ये सभी परिवर्तन कैसा दिखने वाले हैं। लेकिन जब आप पूरी तरह से दूरस्थ होते हैं, तो इससे आप फर्म के बाहर अपने व्यवसाय के कुछ हिस्से कर सकते हैं। उदाहरण के लिए, आप उपयोग कर सकते हैं दूरस्थ फ्रीलांसिंग या बाहरी सेवाएं. आप फ्रीलांसिंग प्लेटफॉर्म का उपयोग कर सकते हैं जहां आप हर किसी के पिछले काम को देख सकते हैं और आप उन फ्रीलांसरों को पिछले ग्राहकों से प्राप्त रेटिंग को जानते हैं। और एक फ्रीलांसर के रूप में, आप दुनिया भर के उन ग्राहकों से जुड़ सकते हैं जो आपको व्यक्तिगत रूप से नहीं जानते हैं, क्योंकि वे देख सकते हैं कि आपने क्या किया है। ये प्लेटफ़ॉर्म पहले से मौजूद थे, लेकिन दूरस्थ कार्य के साथ आराम उनकी क्षमता को अनलॉक करने में मदद करेगा।
एक और दिलचस्प बात जिसके बारे में व्यवसाय सोच रहे हैं, और तेजी से देखने जा रहे हैं, वह यह है कि जब आप पूरी तरह से दूर जाते हैं तो आपकी फर्म में ज्ञान का हस्तांतरण कैसे काम करता है? फर्म में बहुत अधिक मौन ज्ञान होता है—इस तरह चीजें काम करती हैं, इस तरह हम चीजें करते हैं, इस तरह हम चीजों के बारे में सोचते हैं—और इन चीजों को अनौपचारिक रूप से, व्यक्तिगत रूप से पारित किया जाता है। कंपनियों को जो बड़े रणनीतिक बदलाव करने होंगे, उनमें से एक है ज्ञान को अधिक औपचारिक बनाना और प्रक्रियाओं को अधिक औपचारिक बनाना, ताकि आपको मुख्य ज्ञान को प्रसारित करने के लिए कंपनी में मौखिक परंपरा पर भरोसा करने की आवश्यकता न हो। वे पावरपॉइंट संस्कृति पर कम और लिखित संस्कृति पर अधिक भरोसा करेंगे।
समय क्षेत्र कितने महत्वपूर्ण होंगे?
मुझे लगता है कि हम पाएंगे कि कुछ प्रकार के कार्य अतुल्यकालिक रूप से बहुत अच्छी तरह से किए जा सकते हैं, और अन्य प्रकार के कार्यों के लिए अधिक समकालिक समन्वय की आवश्यकता होती है। सॉफ्टवेयर एसिंक्रोनस कार्य को बेहतर बनाने में मदद करेगा, और प्रबंधन परिवर्तन इसे बेहतर बनाने में भी मदद करेगा।
महामारी की शुरुआत के बाद से लोग कितना चले गए हैं और यह हमें दूरस्थ कार्य के बारे में क्या बताता है?
आज, हमने जो अधिकांश चालें देखी हैं, वे अपेक्षाकृत निकट दूरी की चालें हैं। उदाहरण के लिए, न्यूयॉर्क शहर से शहर के बाहर तक, लेकिन ड्राइविंग दूरी के भीतर। लेकिन मुझे सच में लगता है कि यह सिर्फ हिमशैल का सिरा है।
यहां एक समस्या यह है कि व्यक्तिगत श्रमिकों के लिए दूरस्थ कार्य अभी भी वास्तव में अनिश्चित है। यहां तक कि अगर आपका नियोक्ता वर्तमान में आपको दूर जाने दे रहा है, तो बहुत से नियोक्ताओं ने यह तय नहीं किया है कि यह दीर्घकालिक जैसा दिखता है। और अपने नियोक्ता के साथ एक अस्थायी व्यवस्था के आधार पर उस प्रतिबद्धता को पैक करने और कहीं स्थानांतरित करने के लिए कठिन है जहां श्रम बाजार के महान अवसर नहीं हो सकते हैं। हमें वास्तव में जिस चीज तक पहुंचने की जरूरत है, वह अधिक निश्चित है।
मुझे लगता है कि लोग उन लंबी दूरी की चाल चलना चाहते हैं। हमने किया सर्वेक्षण 2020 के नवंबर में जहां हमने लोगों से पूछा कि क्या वे दूरस्थ कार्य के कारण आगे बढ़ने के बारे में सोच रहे थे और 40% ने कहा कि वे जहां काम करते हैं वहां से कार से चार घंटे या उससे अधिक चलेंगे, इसलिए वे कम दूरी की चालें नहीं हैं जो हम देख रहे हैं अब तक। वहाँ एक अधूरी माँग है: लोग कम लागत वाली जगहों पर जाना चाहते हैं, वे कम घने स्थानों में जाना चाहते हैं, वे दूर जाना चाहते हैं। वे इसे अभी बड़ी संख्या में नहीं कर रहे हैं, लेकिन मुझे लगता है कि हम इसे देखेंगे।
तो, आप किस तरह की जगहों पर बुलिश हैं?
किसी स्थान की वांछनीयता चीजों के पूरे बंडल पर आधारित होती है। तो, श्रम बाजार के बारे में दो दर्जन चीजों में से एक के रूप में सोचें जो मायने रखती है, और जो हो रहा है वह विशेष कारक कम महत्वपूर्ण होगा। किसी स्थान की सफलता स्थानीय श्रम बाजार की ताकत से कम निर्धारित होगी। स्की टाउन एक विशिष्ट प्रकार का स्थान होगा जो लाभान्वित हो सकता है क्योंकि, यदि आप वास्तव में स्कीइंग से प्यार करते हैं, तो आप वहां साल भर रह सकते हैं।
फिर क्लीवलैंड, इंडियानापोलिस जैसी जगहें हैं - एक मध्य-पश्चिमी शहर जिसमें शहरी सुविधाएं हैं, लेकिन उसके पास सुपर मजबूत उच्च कुशल श्रम बाजार नहीं हैं। यह स्की शहरों से अलग है, लेकिन यह सोचने का कारण है कि उन्हें सफलता भी मिलने वाली है। सफल होने वाले स्थानों के प्रकार विविध होने जा रहे हैं क्योंकि दूरस्थ कार्य यही करता है - यह लोगों को अपनी विविध इच्छाओं पर अधिक भार डालने और एक विशिष्ट पहलू पर कम भार डालने की अनुमति देता है, जो कि वहां नौकरियां हैं।
यह लेख मूलतः द्वारा प्रकाशित किया गया था विश्व आर्थिक मंच के सहयोग से क्वार्ट्ज, 5 नवंबर, 2021 को, और के अनुसार पुनर्प्रकाशित किया गया है क्रिएटिव कॉमन्स एट्रिब्यूशन-नॉन-कॉमर्शियल-नोएडरिव्स 4.0 इंटरनेशनल पब्लिक लाइसेंस। आप मूल लेख पढ़ सकते हैं यहाँ उत्पन्न करें. इस लेख में व्यक्त विचार अकेले लेखक के हैं न कि WorldRef के। | 2022/05/21 03:54:59 | https://hi.worldref.co/w-insights/next-phase-of-remote-work-will-be-more-disruptive/ | mC4 |
अरब विश्लेषकों के अनुसार हुसैन और उसकी मुर्गी की घटना में एक और बहुत बड़ी सच्चाई छुपी है और वह यह कि लेबनान की सीमा पर रहने वाले, हिज़्बुल्लाह और उसकी शक्ति पर इतना भरोसा करते हैं कि उन्हें इस्राईल और उसके सैनिकों से तनिक भी डर नहीं लगता।
ये विकीहाउ लेख आपको आपके कंप्यूटर से किसी एक फाइल को फाइल ट्रांसफर प्रोटोकॉल (File Transfer Protocol/FTP) सर्वर पर अपलोड करना सिखाएगा। विंडोज (Windows) और मैक (Mac) दोनों ही कंप्यूटर में एफ़टीपी सर्वर (FTP servers) को एक्सेस करने का बिल्ट-इन ऑप्शन मौजूद रहता है, लेकिन फिर भी आप फाइलज़िला (FileZilla) जैसे एफ़टीपी क्लाइंट की मदद से भी आपके सर्वर से कनेक्ट कर सकते हैं। आप अगर एफ़टीपी सर्वर को एक आईफोन या एंड्राइड पर कनेक्ट करना चाहते हैं, तो इसके लिए आपको एफ़टीपी (FTP) एप डाउनलोड करना होगा। एक बात ध्यान रखें, कि इसके लिए आपको अपने एफ़टीपी सर्वर के एड्रेस का पता होना चाहिए, और अगर आपके पास में ऐसा करने की परमिशन नहीं है, तो आप अपनी फाइल्स को एफ़टीपी सर्वर पर अपलोड नहीं कर पाएँगे।
This PC खोलें: this pc लिखें, फिर स्टार्ट मेन्यू में सबसे ऊपर दिखने वाले कंप्यूटर की तरह दिखने वाले This PC एप आइकॉन को क्लिक करें।
Computer टैब क्लिक करें: ये विंडो के ऊपरी-बाँये तरफ मौजूद होगा। ऐसा करते ही विंडो में सबसे ऊपर एक टूलबार नजर आएगा।
एफ़टीपी सर्वर का एड्रेस एंटर करें: आप जिस भी एफ़टीपी सर्वर से कनेक्ट करना चाह रहे हैं, उसका एड्रेस ("ftp://ftp.server.com" फॉर्मेट में) विंडो में बीच में दिखने वाले टेक्स्ट बॉक्स में एंटर करें।
उदाहरण के लिए, किसी एक टेस्ट सर्वर से कनेक्ट करने के लिए, आपको टेक्स्ट बॉक्स में ftp://speedtest.tele2.net लिखना होगा।
कुछ सर्वर्स के लिए एड्रेस में दूसरी "ftp" लाइन लिखने की जरूरत नहीं होती। अगर ऐसा है, तो ऐसे में दूसरी "ftp" लाइन आपको सर्वर एक्सेस करने से रोक देगी।
एफ़टीपी सर्वर के लिए आपका यूजरनेम सेट करें: अगर एफ़टीपी सर्वर पर कनेक्ट करने के लिए यूजरनेम की जरूरत है, तो "Log on anonymously" बॉक्स को अनचेक करें और इसमें वो यूजरनेम एंटर कर दें, जिसे आप इस्तेमाल करना चाहते हैं।
अगर सर्वर पर यूजरनेम की जरूरत नहीं है, तो फिर ऐसे में "Log on anonymously" बॉक्स को चेक करना ही बेहतर होगा।
एफ़टीपी सर्वर के लिए नाम एंटर करें: विंडो के बीच में मौजूद टेक्स्ट बॉक्स में सर्वर के लिए, आपकी पसंद का एक नाम लिखें। ये नाम सिर्फ आपको इसे अपने कंप्यूटर में ढूँढने में मदद के लिए तैयार किया गया है।
Next क्लिक करें, और फिर Finish क्लिक करें: ये दोनों ही विकल्प, एफ़टीपी सेटअप विंडो में, उनके अपने-अपने पेज में सबसे नीचे मौजूद होंगे। ये सेटअप प्रोसेस पूरी कर देगा और आपका एफ़टीपी सर्वर खोल देगा।
अगर पूछा जाए, तब आपका पासवर्ड एंटर करें: आप अगर एक सुरक्षित एफ़टीपी पर कनेक्ट कर रहे हैं, तो पहली बार कनेक्ट करने के लिए आपको पासवर्ड एंटर करने के लिए बोला जाएगा। जब आप से पूछा जाए, तब पासवर्ड एंटर कर दें, नहीं तो ये कनेक्शन काम नहीं करेगा।
फाइल्स को एफ़टीपी सर्वर पर अपलोड करें: किसी भी फाइल को कॉपी करके और उसे एफ़टीपी सर्वर पर पेस्ट करने से, वो फाइल जाकर एफ़टीपी सर्वर पर अपलोड हो जाएगी। एक बात ध्यान में लेकर चलें, कि ये सिर्फ उन्हीं सर्वर्स के लिए काम करेगा, जिन पर आपको अपलोड करने की परमिशन है:
खोलें: आपके मैक के डॉक् (Dock) में मौजूद नीले रंग के चेहरे की तरह दिखने वाले फाइंडर एप आइकॉन को क्लिक करें। इससे इस बात की पुष्टि होगी, कि Go मेन्यू आइटम स्क्रीन में सबसे ऊपर मौजूद है। | 2021-02-28T04:05:56Z | https://www.contactbhaiya.com/deepika-padukone-phone-number/ | OSCAR-2109 |
हिमाचल दिवस: अमित शाह की गैर मौजूदगी में हर्षोल्लास से मनाया गया स्वर्ण जयंती समारोह | Reporters Eye
शिमला। हिमाचल प्रदेश के राज्यत्व दिवस के 50 वर्ष पूर्ण होने के अवसर पर आयोजित स्वर्ण जयंती समारोह के मौके पर आज तमाम नेताओं ने पीठ के बोझ को कम करने में प्रदेश के सभी मुख्यमंत्रियों की ओर से दिए गए योगदान को याद किया भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नडडा ने प्रदेश के पहले मुख्यमंत्री डाक्टर यशवंत सिंह परमार को याद करते हुए कहा कि योजना आयोग ने जब उनसे प्रदेश की प्राथमिकताओं को लेकर पूछा तो उनका जवाब था सडक , सडक और केवल सडक । नडडा ने कहा कि परमार जानते थे कि पहाड के लोगों की पीठ का बोझ अगर उतर गया तो पहला पडाव पार कर लिया।
इसी तरह मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने भी अटल ग्रामीण सडक योजना को लेकर पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के योगदान को याद किया। इस मौके पर पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को भी याद किया। 25 जनवरी 1971 को इंदिर गांधी ने ही रिज पर आयोजित समारोह में हिमाचल को 18वां राज्य बनने की घोषणा की थी।
प्रदेश की विकास गाथा को याद करते हुए हिमाचल दिवस को आज रिज मैदान से लेकर जिला स्तर तक हर्षोल्लास के साथ मनाया गया।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह इस समारोह में शामिल नहीं पाए।वह आभासी तौर पर भी नहीं जुड पाए। हालांकि मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर बीती शाम को कहा था कि अमित शाह आनलाइन जुडेंगे।
स्वर्ण जयंती समारेह के मौके पर राज्यपाल बंडारू दतात्रेय ने कहा कि हिमाचल प्रदेश को देव भूमि और वीर भूमि के नाम से भी जाना जाता है। प्रथम परमवीर चक्र विजेता मेजर सोमनाथ शर्मा से लेकर कैप्टन विक्रम बत्रा जैसे जांबाजों ने अपनी वीरता और सर्वाेच्च बलिदान से राष्ट्र और प्रदेश का नाम रोशन किया है।
जगत प्रकाश नड्डा ने इस मौके पर कहा कि प्रदेश के लोग भाग्यशाली हैं कि वे इस ऐतिहासिक समारोह के साक्षी बने हैं। प्रदेश की विकास यात्रा अत्यन्त कठिन रही लेकिन समय-समय पर मिले मजबूत नेतृत्व व प्रदेश के मेहनती लोगों ने चुनौतियों को अवसरों में बदला और विभिन्न क्षेत्रों में तेजी से विकास किया। | 2021-02-25T21:42:03Z | https://www.resultbihar.com/brabu-part-1-exam-form-2019-22-online-apply/ | OSCAR-2109 |
Burnin' Hot Bigfoot
बढ़ते कोरोना वायरस संक्रमण के दौरान डॉक्टर भी काढ़ा पीने की सलाह दे रहे हैं। Kadha पीने से हमारी रोग प्रतिरोधक क्षमता बेहतर होती है और हम सर्दी खांसी जुकाम और बुखार से बचे रहते हैं।यहां हम आपके लिए कुछ बेहतरीन आयुर्वेदिक Kadha लेकर आए हैं। इनमें आपको कई आयुर्वेदिक तत्व मिलेंगे जो आपके शरीर को मजबूत और उनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता को बरकरार रखेंगे। उन्हें अभी आप डिस्काउंट पर ऑर्डर कर सकते हैं। ... यह भी पढ़ें ... DR ... Dabur Honitus Hot Sip. ... Note ....
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कई दिनों से उमस भरी गर्मी के बीच गुरुवार को दोपहर में दो घंटे मूसलाधार बारिश हुई जिससे पूरा शहर तालाब में तब्दील हो गया। सड़कें नाले में तब्दील दिखी तो खाली प्लाट व मैदान तालाब बन गए। जिसके बाद उमस भरी गर्मी से राहत पाने वाले लोगों की मुशीबते बढ़ गई। जलभराब की समस्या से लोगों को आने जाने में दिक्कते हुई। आस पड़ोस के खाली प्लाटों में पानी भरने से उनके मकान को खतरा बढ़ गया है। गुरूवार को जिले में हुई 60 मिमी. बारिश रिकार्ड की गई।
सुबह से उमस भरी गर्मी व तेज धूप से दोपहर दो बजे से हुई मूसलाधार बारिश ने सुकुन दिलाया। स2खी पड़ी सड़केड्ड देखते ही देखते नालों में तब्दील हो गई। सड़कों पर घुटने से ऊपर तक पानी बहने लगा। वहीं खाली पड़े प्लाट व तलाब में जलभराव की समस्या पैदा हो गई। बारिश बंद होने के बाद शहर की सड़कों पर जाम के हालात पैदा हो गए। कई लोग तो सड़कों पर भरे पानी में वाहन समेत गिरते दिखे। बारिश से शहर के पुलिस लाइन, राजकीय इंटर कॉलेज, बडेल स्थित खंड शिक्षाधिकारी कार्यालय में जलभराव हो गया। वहीं महर्षिनगर, लखपेडाबाग, चित्रगुप्त नगर, दयानंदनगर, लक्ष्मणपुरी, महुवारी पुरवा, मकदूमपुर, जलालपुर, पीरबटावन, आवास विकास, असदनगर आदि मोहल्लों में जलभराव की समस्या हो गई है।
कई दिनों से बारिश न होने से धान की बदरंग हो रही फसल लहलहा उठी। ऐसे में किसानों के चेहरे खिल उठे। हालांकि दलहनी फसलों को अधिक बारिश से हुए जलभराव से गलने का खतरा पैदा हो गया। मगर, धान के खेतों की प्यास बुझ गई। | OSCAR-2019 |
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Mother Suffering Hyperlactation Syndrome Donated 470 Liter Breast Milk - 470 लीटर 'मां का दूध' दान कर चुकी है यह महिला, आखिर कैसे मुमकिन है ये? - Amar Ujala Hindi News Live
नई माओं के लिए स्तनपान चुनौती से कम नहीं। कुछ महिलाओं की छाती में जरूरत से कम दूध उतरता है जिसकी वजह से उसे मिल्क बैंक की मदद लेनी पड़ती है। वहीं, कई महिलाओं का ब्रेस्ट मिल्क इतना होता है कि उन्हें दान देना पड़ता। कैलिफोर्निया की रहने वाली ताबिथा फ्रॉस्ट की समस्या इससे भी बड़ी है। | OSCAR-2019 |
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Bollywood : परेश रावल - आर्मी और पुलिस Real Heroes, हमें एक्टर्स को एंटरटेनर्स कहना चाहिए, क्योंकि... - Chhattisgarh Digest
Bollywood : परेश रावल – आर्मी और पुलिस Real Heroes, हमें एक्टर्स को एंटरटेनर्स कहना चाहिए, क्योंकि…
news : http://chhattisgarhdigest.in/ ;………. Eedited by…. फरहान युनूस…..
बॉलीवुड एक्टर परेश रावल (Paresh Rawal) अपनी एक्टिंग के लिए खूब जाने जाते हैं. खासकर अपने रोल बाबू भैया के लिए प्रसिद्ध एक्टर अपने काम से हर किसी के दिल में बखूबी जगह बना चुके हैं. फिल्मी दुनिया के साथ-साथ परेश रावल अपने विचारों को लेकर भी हमेशा सुर्खियों में रहते हैं. वह अकसर समसामयिक मुद्दों पर राय पेश करते हैं.
वहीं, हाल ही में उनका एक ट्वीट खूब वायरल हो रहा है, जिसमें उन्होंने लिखा कि हमें एक्टर्स को एंटरटेनर्स कहना शुरू कर देना चाहिए. इसके साथ ही परेश रावल ने ट्वीट में आर्मी और पुलिस का भी जिक्र किया है, साथ ही उन्हें हीरो कहने की भी सलाह दी है.
परेश रावल ने आर्मी और पुलिस ऑफिसर्स को लेकर किया ट्वीट. (फ़ाइल फोटो)
परेश रावल (Paresh Rawal) ने अपने ट्वीट में लिखा, "हमें एक्टर्स को एंटरटेनर्स कहना शुरू कर देना चाहिए और अपनी आने वाली पीढ़ी को हीरो का असली मतलब समझाने के लिए आर्मी व पुलिस को हीरो कहना चाहिए." अपने ट्वीट के जरिए परेश रावल ने अपनी भावनाएं व्यक्त करने की कोशिश कीं. बता दें कि जहां देश में बढ़ रहे कोरोना वायरस के कारण पुलिस और डॉक्टर्स लगातार व्यवस्था बनाए रखने का प्रयास कर रहे हैं तो वहीं सेना के जवान चीन भारत-चीन विवाद के बीच लगातार स्थिति संभालने की कोशिश कर रहे हैं.
2014 से 2019 तक एक्टर अहमदाबाद ईस्ट सीट से लोकसभा सदस्य
परेश रावल ने ट्वीट में आर्मी और पुलिस का भी जिक्र किया
बॉलीवुड एक्टर परेश रावल
हमें एक्टर्स को एंटरटेनर्स कहना
हमें एक्टर्स को एंटरटेनर्स कहना चाहिए
Previous article'राहुल गांधी का तंज' – पेट्रोल-डीजल की कीमतों और बढ़ते कोरोना वाइरस को सरकार ने अनलॉक… | 2022/07/02 07:31:52 | https://chhattisgarhdigest.in/bollywood-%E0%A4%AA%E0%A4%B0%E0%A5%87%E0%A4%B6-%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%B5%E0%A4%B2-%E0%A4%86%E0%A4%B0%E0%A5%8D%E0%A4%AE%E0%A5%80-%E0%A4%94%E0%A4%B0-%E0%A4%AA%E0%A5%81%E0%A4%B2%E0%A4%BF%E0%A4%B8-r/ | mC4 |
Anushka Sharma denies 'kissing record' with Aamir Khan in Peekey - Hindi Filmibeat
| Published: Wednesday, September 25, 2013, 13:38 [IST]
यशराज की खोज सेक्सी अनुष्का शर्मा ने बहुत कम समय में अपनी अलग पहचान बनायी है। इन दिनों वह आमिर खान के साथ फिल्म पीके को लेकर चर्चा में हैं। कहा जा रहा है कि बिंदास बाला अनुष्का का फिल्म में आमिर संग फिल्मी दुनिया का सबसे लंबा लिपलॉक सीन है जिस पर भड़कते हुए अनुष्का ने कहा कि मुझे समझ में नहीं आता है कि लोग इस तरह की बेतूकी बातें क्यों करते हैं?
हमारा एक किसिंग सीन फिल्म में जरूर है लेकिन यह सबसे लंबा लिपलॉत सीन है इसे कह पाना थोड़ा मुश्किल है क्योंकि मैंने दूसरों के 'किस' का टाइम नहीं देखा और कभी नोट नहीं किया कि किसने, किसको, कितना लंबा किस किया?
मालूम हो कि पीके फिल्म में आमिर खान और अनुष्का शर्मा मुख्य किरदार निभा रहे हैं। फिल्म में संजय दत्त भी एक महत्वपूर्ण रोल में हैं जिसकी शूटिंग उन्होंने जेल जाने से पहले ही पूरी की थी वो भी तीन-तीन शिफ्टों में काम करके। आमिर खान अपने अब तक के करियर में लगभग सभी बड़ी एक्ट्रेसेस के साथ किसिंग सीन शूट कर चुके हैं।
अनुष्का शर्मा और आमिर खान पहली बार एक साथ काम कर रहे हैं। पीके फिल्म आजकल काफी चर्चा में है। फिल्म की शूटिंग के दौरान आमिर खान और संजय दत्त राजस्थान के एक गांव के 2 स्टार होटल में रुके थे जिसे लेकर मीडिया ने काफी खबरें बनाई थीं। अब आमिर और अनुष्का के बीच के किसिंग सीन को लेकर भी पीके फिल्म काफी चर्चा में है।
वैसे अनुष्का ने अब तक अपनी जितनी भी फिल्में की है उसमें एक-दो को छोड़ दिया जाये तो हर फिल्म उनके किस के ही कारण चर्चा में रही है..आगे की खबर स्लाइड में..
शाहिद संग लिपलॉक
रणवीर सिंह संग लिपलॉक
इमरान संग लिपलॉक
`मटरू की बिजली का मन डोला' में अनुष्का ने इमरान के साथ बेहद हॉट किसिंग सीन दिया लेकिन यह भी फिल्म खासा चली नहीं।
आमिर संग लिपलॉक
कहा जा रहा है कि बिंदास बाला अनुष्का का फिल्म पीके में आमिर संग फिल्मी दुनिया का सबसे लंबा लिपलॉक सीन है जिस पर भड़कते हुए अनुष्का ने कहा कि मुझे समझ में नहीं आता है कि लोग इस तरह की बेतूकी बातें क्यों करते हैं?
Read more about: peekey aamir khan anushka sharma kiss पीके आमिर खान अनुष्का शर्मा किस
Anushka Sharma denies 'kissing record' with Aamir Khan in Peekey . She reportedly found it hilarious, and laughed off the reports. | 2020/10/31 14:57:09 | https://hindi.filmibeat.com/news/anushka-sharma-denies-kissing-record-aamir-khan-peekey-264832.html | mC4 |
शिक्षा की मानव जीवन में महत्वपूर्ण भूमिका होती हैं। परन्तु पिछले दो वर्षों से शिक्षा प्रणाली की गतिविधियों में कई परिवर्तन हुए जिसका छात्रों के साथ-साथ समाज में भी असर देखने को मिला है। शिक्षण की इस नवीन पद्धति में सबसे बड़ा खतरा बच्चों के स्क्रीन टाइम बढ़ना है। उन्हें कुछ रचनात्मक कार्यों में संलग्न कराने पर विचार करना चाहिए या परिवार के सदस्यों को बच्चों के साथ समय बिताना चाहिए। स्कूलों को हर एक क्लास के बाद 15-20 मिनट का अवकाश देना चाहिए। बच्चों के स्क्रीन टाइम बढ़ने से उत्पन्न खतरे को गंभीरता से लेते हुए, थोड़ी समझदारी से काम किया जा सकता है।
डॉक्टरों के अनुसार अगर ऑनलाइन शिक्षा में सावधानी का ख्याल नहीं रखा गया तो बच्चों को सर्वाइकल जैसी अप्रत्याशित बीमारियों का सामना करना पड़ सकता है। अतः बच्चों के स्क्रीन टाइम बढ़ने से उत्पन्न खतरे को गंभीरता से लेते हुए थोड़ी समझदारी से कम किया जा सकता है। ऑनलाइन शिक्षण में कई स्कूल यह निर्देश देते हैं कि बच्चे के साथ माता या पिता भी बैठेंगे। ऐसा इसलिए कहा जाता है क्योंकि बच्चे इस तरह की शिक्षण में अनुशासन को ज्यादा महत्व नहीं देते है और दूर बैठे शिक्षक के पास इस पर ज्यादा कुछ करने का विकल्प होता नहीं है। अतः वो बच्चे के अभिभावक को भी साथ ही बैठने का निर्देश देते है। परंतु इससे अभिभावकों के सामने भी कुछ परेशानियां खड़ी होती है। हमें यह याद रखना चाहिए कि लॉकडाउन के दिनों में अभिभावकों के लिए यह कार्य सरल था परंतु अब जबकि पूरा देश खुल चुका है और अभिभावकों के लिए कई तरह की व्यावसायिक चुनौतियां बढ़े हुए रूपों में दस्तक दे रही होंगी, एक नए कार्य के लिए समय निकालना निश्चित ही मुश्किल होगा। लेकिन यहां यह तथ्य भी रखना आवश्यक है कि बच्चे के साथ अभिभावकों के बैठने से अभिभावकों को अपने बच्चे के पढ़ने के तरीके, शिक्षक व अन्य सहपाठियों के साथ संवाद करने का तरीका, शिक्षक के पढ़ाने का तरीका, इत्यादि को करीब से जानने का मौका भी मिलता है।कल तक बच्चे और स्कूल के बीच अभिभावकों का दखल नहीं होता था परंतु अब इसके लिए अभिभावकों को समय निकालना पड़ रहा है।
भारत एक सांस्कृतिक देश है। यहां के समाज में सांस्कृतिक मूल्यों को आज भी सराहा जाता है, अपनाया जाता है। भारत में आज भी कई परिवार एक ही छत के नीचे रहते हैं। वैसे शहरों में अब संयुक्त परिवार से विलग हो एकल परिवार का प्रचलन बढ़ा है। संयुक्त परिवार से एकल परिवार के तरफ विचलन का सबसे बड़ा कारण, संयुक्त परिवार में निजता का नहीं होना है। ऑनलाइन शिक्षा की गतिविधियों में इस दृष्टि से भी विचार किया जा सकता है। ऑनलाइन शिक्षा में बच्चे को निजता की आवश्यकता पड़ती है जो संयुक्त परिवार में मिलना बहुत मुश्किल का काम है। शोरगुल, परिवार के अन्य सदस्यों का हस्तक्षेप या अन्य प्रकार की असुविधा अंततः बच्चे की एगाग्रता को बुरी तरह प्रभावित करती है। शहरो में रहने वाले ज्यादातर एकल परिवार की भी आर्थिक हालात ऐसे नहीं होती है कि वो बच्चे की ऑनलाइन शिक्षा के लिए एक अलग से कमरा रख सके। अतः घर पर निजता और शांति के साथ पढ़ाई करने की राह में भी कई तरह की चुनौतियां है। हमें इन पर विचार करना होगा। | 2022/07/02 14:26:59 | https://www.samikshaexpress.page/2021/09/blog-post_13.html | mC4 |
नवगछिया : इस बार यहाँ हरियाली तीज का भव्य होगा आयोजन, आ रही है ये….. ये होगी सम्मानित -Naugachia News | Naugachia.com
नवगछिया : इस बार यहाँ हरियाली तीज का भव्य होगा आयोजन, आ रही है ये….. ये होगी सम्मानित -Naugachia News
नवगछिया : मारवाड़ी युवा मंच,नवगछिया"जागृती" (महिला शाखा) के तत्वाधान मे हरियाली तीज उत्सव का भव्य आयोजन दिनांक-12-08-2018 दिन रविवार को मारवाड़ी विवाह भवन, नवगछिया में होने जा रहा है। यह मंच की पंचम प्रस्तुति है जिसमे इस आयोजन का शुभारंभ माननीय पुलिस अधीक्षक सुश्री निधी रानी (पुलिस अधीक्षक) के द्वारा किया जाएगा। जिसमे मुख्य अतिथि श्री मति प्रीति कुमारी (अध्यक्ष, नगरपंचायत) विशिष्ट अतिथि श्री जगदीश चन्द्र मिश्र "पप्पूजी"(पूर्व राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अखिल भारतीय मारवाड़ी युवा मंच)), सम्मानित अतिथि श्री आलोक बजाज मोंटी (प्रान्तीय उपाध्यक्ष मंडल"ख") की उपस्तिथि मंच को गौरवान्वित कर मार्गदर्शन करेंगे ।
सभी अधिकारी द्वारा आयोजन में उपस्थिति की सहमति से सभी सदस्यों में काफी उत्साह का माहौल बना हुआ है। बता दे कि इस आयोजन को शाखा द्वारा मेला के रूप में सजाया जाता है। जिसमें सांस्कृतिक नृत्य, सामाजिक संदेश पर नाट्य प्रस्तुति, एक मिनट गेम शो, फैंसी ड्रेस प्रतियोगिता का आयोजन होना सुनिश्चित है। मेले में कई प्रकार के स्टॉल जैसे:-राखी, गिफ्ट आइटम, आर्टिफिसियल ज्वेलरी, रेडीमेड कपड़ा, चूड़ी एवं अन्य कई प्रकार की सामग्री का मिला-जुला आकर्षक कलेक्शन खरीदने को मिलेगा।
ये सभी स्टॉल महिलाओं में सशक्तिकरण का उदाहरण होंगे जबकि सभी स्टॉल महिलाएँ ही संचालित होती है जो कि समाज की नारी को बहुत कुछ सीखने और अपनी इच्छा शक्ति को मजबूत करने का संदेश देगी । संस्था के सचिव-रिंकी शर्मा ने बताया कि सभी वर्ग की महिला का स्वागत है वो चाहे तो अपना स्टॉल लगाने, अपने बच्चों को कार्यक्रम में भाग दिलाने हेतु शाखा से सम्पर्क कर सकते है। इस मेले में स्वादिष्ट चाट, गोलगप्पे, चुस्की, मोमो एवं कई प्रकार के खाने-पीने की चीजों के भी काउंटर होंगे इस आयोजन के दौरान युवा विकास प्रतियोगिता में राष्ट्र स्तर पर चयनित नवगछिया की रिया कुमारी, खुशी कुमारी, गुनगुन चिरानियाँ, अंजनी कुमारी, आंशि कुमारी, हर्ष राज छात्र-छात्राओं को राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा। साथ ही विगत बर्ष शाखा द्वारा आयोजित ब्लड डोनेशन कैम्प में रक्दान देने वाले रक्तवीरों को भी सम्मानित किया जाएगा। इस बार संस्था के सदस्य अध्यक्ष-कंचन खेमका, सचिव-रिंकी शर्मा, संयोजक-श्वेता बुबना है | 2019/03/21 03:17:32 | http://www.naugachia.com/naugachia-me-haryali-teej-ka-aayojan/ | mC4 |
SP ने जारी की 191 उम्मीदवारों की लिस्ट, जानिये किसे कहां से मिला टिकट – News Trend India
SP ने जारी की 191 उम्मीदवारों की लिस्ट, जानिये किसे कहां से मिला टिकट
January 20, 2017 NTI News Akhilesh Yadav, Samajwadi Party, Shivpal Yadav, UP Chief Minister, UP Election, UP Government, Uttar Pradesh
लखनऊ: समाजवादी पार्टी ने यूपी विधानसभा चुनाव के लिए 191 उम्मीदवारों की पहली लिस्ट जारी कर दी है। जिसमें 50 मुस्लिम उम्मीदवार शामिल हैं। इसमें चाचा शिवपाल यादव को जसवंतनगर से टिकट दिया गया है। नरेश अग्रवाल के बेटे नितिन अग्रवाल को हरदोई से टिकट दिया गया है। जबकि अतीक अहमद का टिकट काट दिया गया है। आजम खान के बेटे अब्दुल्ला को स्वार से टिकट दिया गया है। जबकि आजम खान को रामपुर से टिकट दिया गया है।
हलांकि शिवपाल अपने बेटे आदित्य के लिए टिकट चाहते थे। लेकिन उनकी जीत की उम्मीद कम होने की वजह से शिवपाल यादव को ही टिकट दिया गया।
खासबात ये है कि कांग्रेस ने जहां से टिकट मांगे थे वहां भी समाजवादी पार्टी ने अपने उम्मीदवार उतारे हैं। बेनी वर्मा के बेटे राकेश वर्मा का टिकट काटा गया है। अरविंद गोप को बाराबंकी से टिकट दिया गया है। कुछ दिन पहले जब समाजवादी पार्टी में पिता-पुत्र में लड़ाई चल रही थी तब शिवपाल गुट ने राकेश वर्मा को बाराबंकी से टिकट दिया था। लेकिन अब अखिलेश ने पहले वाले फैसले को पलट दिया है।
यहां क्लिक कर जानें किसे कहां से मिला टिकट
मुलायम के साढ़ू प्रवीण गुप्ता का भी टिकट कट गया है। मुलायम ने उम्हें विधूना से उम्मीदवार बनाया था। मुलायम के करीबी जमीरउल्ला और अखिलेश का विरोध करनेवाले रामपाल यादव का भी टिकट काटा गया है। अमर सिंह के करीबी मदन सिंह को टिकट दिया गया है। | 2018/08/21 11:30:01 | https://www.newstrendindia.com/akhilesh-yadavs-list-of-191-samajwadi-party-candidates/ | mC4 |
महिलाएं नहीं तोड़ सकती हैं नारियल, जानिए क्या है कारण - Live Cities News - Latest Hindi News and Headlines
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महिलाएं नहीं तोड़ सकती हैं नारियल, जानिए क्या है कारण
September 11, 2017 team livecities धर्म-अध्यात्म 0
लाइव सिटीज डेस्क : हिंदू धर्म में पूजा पाठ के लिए बहुत सी चीजों का महत्व है, उसी में एक है नारियल. नारियल का धार्मिक महत्व भी है. नारियल को बेहद पवित्र माना गया है. हर शुभ काम में इसका उपयोग किया जाता है. नारियल में बने तीन आंखों को शिव के त्रिनेत्र माना जाता है. रक्षाबंधन से लेकर तिलक और शादी तक में, गृह प्रवेश से लेकर बिजनेस के उद्घाटन तक में इसका उपयोग किया जाता है.
मगर, इसे तोड़ना महिलाओं के लिए वर्जित क्यों कर दिया गया है. इसके पीछे एक दिलचस्प कारण है. दरअसल, परंपरागत रूप से नारियल को नई सृष्टि का बीज माना गया है. नारियल को बीज का स्वरूप माना गया है और इसे प्रजनन यानि उत्पादन से जोड़कर देखा गया है.
स्त्रियां संतान उत्पत्ति की कारक होती हैं इसी कारण उनके लिए नारियल को फोड़ना एक वर्जित कर्म मान कर निषिद्ध कर दिया गया. हालांकि, प्रामाणिक रूप से ऐसा किसी भी धार्मिक ग्रंथ में नहीं लिखा गया है, न ही ऐसा किसी देवी-देवता द्वारा निर्देश दिया गया है. परन्तु सामाजिक मान्यताओं तथा विश्वास के चलते ही वर्तमान में हिंदू महिलाएं नारियल नहीं तोड़ती है.
इसकी कथा ब्रह्मऋषि विश्वामित्र द्वारा नई सृष्टि के सृजन करने से जुड़ी हुई है. तब उन्होंने सर्वप्रथम पहली रचना के रूप में नारियल का निर्माण किया, यह मानव का ही प्रतिरूप माना गया था. देवी-देवताओं को श्रीफल चढ़ाने के बाद पुरुष ही इसे फोड़ते हैं.
नारियल को श्रीफल भी कहा जाता है. ऐसा माना जाता है, जब भगवान विष्णु ने पृथ्वी पर अवतार लिया तो वे अपने साथ तीन चीजें- लक्ष्मी, नारियल का वृक्ष तथा कामधेनु लाए. इसलिए नारियल के वृक्ष को कल्पवृक्ष भी कहते है. नारियल में ब्रह्मा, विष्णु और महेश तीनों ही देवताओं का वास माना गया है. नारियल से निकले जल से भगवान की प्रतिमाओं का अभिषेक भी किया जाता है.
अपने मामले पर बोले नीतीश : जो गड़बड़ करता है, वह बचता-उचता नहीं है
जानिए, प्लास्टिक फैक्ट्री के कर्मचारी से रेयान स्कूल का मालिक कैसे बना पिंटो परिवार…
लाइव सिटीज डेस्क : छठ पूजा का चार दिवसीय अनुष्ठान आज से नहाय-खाय से शुरू होगा. आज छठ व्रती सात्विक भोजन ग्रहण कर व्रत का संकल्प लेंगे. 26 अक्टूबर को छठ व्रती ढलते सूर्य को […]
July 5, 2017 team livecities धर्म-अध्यात्म 0
लाइव सिटीज डेस्क : हिंदू धर्म में सावन के महीने को को बेहद पवित्र और महत्वपूर्ण माना जाता है. सबसे खास बात तो यह है कि सावन को देवों के देव महादेव भगवान शंकर का […] | 2017/11/21 21:08:27 | http://livecities.in/hindi-news-womens-not-break-c/ | mC4 |
Indian army solider martyr in Jammu kashmir - Bhilai News in Hindi - Breaking: जम्मू-कश्मीर में शहीद हुए दुर्ग के जवान का पार्थिव देह पहुंचा रायपुर, अंतिम विदाई देने गृहग्राम उमरपोटी में उमड़ा जन सैलाब | Patrika Hindi News
Dakshi Sahu | Publish: Sep, 03 2018 09:50:25 AM (IST) Bhilai, Chhattisgarh, India
जम्मू-कश्मीर के सबसे संवेदनशील जिले राजौरी में ड्यूटी के दौरान शहीद हुए भारतीय सेना के जवान शहीद डोमेश्वर साहू का पार्थिव शरीर सोमवार सुबह दिल्ली से फ्लाइट के जरिए रायपुर लाया।
भिलाई. जम्मू-कश्मीर के सबसे संवेदनशील जिले राजौरी में ड्यूटी के दौरान शहीद हुए भारतीय सेना के जवान शहीद डोमेश्वर साहू का पार्थिव शरीर सोमवार सुबह दिल्ली से फ्लाइट के जरिए रायपुर लाया। भिलाई से लगे उमरपोटी निवासी शहीद लांसनायक का अंतिम संस्कार पूरे सम्मान के साथ उनके गृहग्राम में किया जाएगा। मिली जानकारी के अनुसार शहीद का पार्थिव शरीर रायपुर एयरपोर्ट से उनके गृहग्राम के लिए निकल गया है। जहां दोपहर १२ बजे गार्ड ऑफ आनर देकर शहीद को अंतिम विदाई दी जाएगी।
ले रहे थे दुश्मनों की टोह
दुश्मनों की टोह लेने टॉवर पर एंटीना ठीक करने चढ़ा दुर्ग के जवान की जम्मू-कश्मीर में शहदत की खबर रविवार सुबह आई थी। उमरपोटी निवासी भारतीय सेना का जबांज जवान डोमेश्वर साहू ड्यूटी के दौरान अपनी पोस्ट में मुस्तैदी से तैनात थे। इसी बीच तकनीकी दिक्कत दूर करने टॉवर पर चढ़ा तभी मधुमक्खियों के झुंड ने उन पर हमला कर दिया। डंक लगने से बुरी तरह घायल जवान को उपचार के लिए आर्मी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। जहां उनकी सांसे थम गई।
शहीद जवान डोमेश्वर साहू की पोस्टिंग जम्मू-कश्मीर के सबसे संवेदनशील जिले राजौरी में थी। परिजनों से मिली जानकारी के अनुसार शनिवार दोपहर उन्हें फोन से सूचना मिली। जिसके बाद शहीद जवान का पार्थिव शरीर लाने के लिए वे जम्मू रवाना हो गए थे। दिल्ली से फ्लाइट के जरिए जवान का शव आज रायपुर लाया गया। जिसके बाद उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा।
शहीद जवान लांसनायक डोमश्वर साहू आर्मी के कोर सिग्नल्स के २५ डिवीजन सिग्नल्स रेजीमेंट में पोस्टेड था। यहां कोर ऑफ सिग्नल्स में मेकेनिक के पद पर रहते हुए दुश्मनों की ओर से आती हुई हर चुनौती पर उसकी नजर रहती थी। परिजनों ने बताया कि लगभग दस वर्ष से वे भारतीय सेना का हिस्सा बनकर देश के प्रति जिम्मेदारी से काम कर रहे थे।
शहीद जवान के सम्मान मेें उन्हें गार्ड ऑफ आनर दिया जाएगा। मिली जानकारी के अनुसार दिल्ली से पार्थिव शरीर रायपुर गया है। आज दोपहर उनके गृहग्राम में अंतिम संस्कार किया जाएगा। शहादत को सलाम करने सैकड़ों लोगों की भीड़ जुटने लगी है।
जम्मू-कश्मीर में शहीद जवान का तीन साल का बेटा है। मासूम के सिर से पिता का साया उठ गया है। इधर उनके गृहग्राह में सूचना मिलते ही ग्रामीण शोक में डूब गए।
आपको पता है बीएसपी में कौन चला रहा पुलपिट और क्रेन
bhilai ki news bhilai police CG Police Chhattisgarh Breaking News chhattisgarh news durg ki news
bhilai ki news bhilai police CG Police Chhattisgarh Breaking News chhattisgarh news durg ki news durg police Indian army | 2019/02/18 14:22:41 | https://www.patrika.com/bhilai-news/indian-army-solider-martyr-in-jammu-kashmir-3352105/ | mC4 |
कुल्लू-मनाली से भी ठंडा राजस्थान का माउंट आबू - दैनिक जलतेदीप
Home Latest कुल्लू-मनाली से भी ठंडा राजस्थान का माउंट आबू
प्रदेश में सर्दी का जोर पकड़ती जा रही है। माउंट आबू में सोमवार को पारा शून्य पर पहुंच गया, जो पहाड़ी इलाके में सर्दी के लिए मशहूर कुल्लू-मनाली से भी ज्यादा ठंडा रहा। तेज सर्दी के कारण सुबह माउंट आबू के मैदानी क्षेत्रों में सुबह हल्की बर्फ की परत भी जम गई।
मौसम विभाग से मिली रिपोर्ट को देखे तो लगातार दो दिन से माउंट आबू में तापमान 1 डिग्री पर था, जो आज एक डिग्री गिरकर शून्य पर पहुंच गया। तापमान शून्य पर पहुंचने से वहां मैदानों, खेतों में हल्की बर्फ की परत जमी दिखी। आबू में सर्दी की बात करें तो ये आज हिमाचल प्रदेश के कुल्लू-मनाली से भी ठंडा रहा, जहां आज का न्यूनतम तापमान 7 और 6.2 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया है।
मौसम विभाग ने आगामी 24-25 नवंबर को प्रदेश के मौसम में एक बार फिर से बदलाव की संभावना जताई है। जयपुर मौसम विभाग के निदेशक राधेश्याम शर्मा ने बताया कि 24-25 नवंबर को एक पश्चिमी विक्षोभ के सक्रिय होने की संभावना है, जिसका प्रभाव पश्चिमी राजस्थान के जैसलमेर, नागौर, बीकानेर, गंगानगर, हनुमानगढ़ और चूरू जिलों देखने को मिल सकता है। इन जिलों में 25 नवंबर को बादल छाने के साथ ही कहीं-कहीं हल्की बूंदाबांदी हो सकती है।
प्रदेश के अन्य शहरों की बात करें तो कल के मुकाबले आज तापमान में मामूली बढ़ोतरी हुई। जयपुर में रविवार का तापमान 9.9 डिग्री से बढ़कर 10.3 डिग्री पर पहुंच गया। वहीं प्रदेश के 11 शहर ऐसे है, जहां का तापमान 10 डिग्री से नीचे रहा। इसमें अजमेर, भीलवाड़ा, पिलानी, सीकर, कोटा, बूंदी, चित्तौड़गढ़, उदयपुर, पाली, चूरू और श्रीगंगानगर शामिल है। मौसम विभाग से मिली रिपोर्ट के मुताबिक इस साल नवंबर में पड़ रही सर्दी सामान्य के मुकाबले इस बार ज्यादा है। | 2021/01/19 12:07:21 | https://dainikjaltedeep.com/mount-abu-in-rajasthan-colder-than-kullu-manali/ | mC4 |
वसीयत – IndiaMag – Medium
Gopesh Mohan Jaswal
'भारत छोड़ो', 'क्विट इंडिया' और 'करो या मरो' के नारों से पूरा लखनऊ गूँज रहा था. और मुस्तैद पुलिस चुप होकर जुलूस को असेंबली हाउस तक बढ़ने दे रही थी पर जैसे ही जुलूस अपनी मंजिल के करीब पहुंचा, पुलिस ने उसको रोकने कोशिश में एड़ी-चोटी का ज़ोर लगा दिया. पर आज़ादी के दीवाने कहाँ रुकने वाले थे? लाठियों की बौछार सहते हुए आन्दोलनकारी बढ़ते रहे. अंधाधुंध लाठियां खाते हुए भी जब आन्दोलनकारी रुके नहीं तो वार्निंग के तौर पर पुलिस का हवाई फायर भी हुआ पर उसका भी कोई असर नहीं हुआ. पुलिस की लाठियों की चोट से ज़ख़्मी ज़फर अली हाथ में तिरंगा लेकर असेम्बली हाउस की तरफ़ बढ़ता रहा, बढ़ता रहा. फिर अचानक ही — 'फ़ायर' की गर्जना हुई और पुलिस की पहली गोली ज़फर अली के सीने के पार निकल गयी.
शेख कुर्बान अली का सर आज फ़ख्र से ऊंचा हो गया था. उनके बेटे ने अपनी वसीयत में अपना बेशकीमती इन्क़लाबी क़लाम देकर उन्हें दुनिया का सबसे अमीर इन्सान बना दिया था और अपनी शहादत से उसने उन्हें 'सर' से कहीं ऊंचा ख़िताब दिलवा दिया था. अब वो शम्मा-ए- आज़ादी पर मर-मिटने वाले परवाने (स्वतंत्रता रुपी ज्योति पर मर-मिटने वाले पतंगे), शहीद ज़फर अली के वालिद थे. | 2017/12/11 13:41:11 | https://medium.com/indiamag/%E0%A4%B5%E0%A4%B8%E0%A5%80%E0%A4%AF%E0%A4%A4-ed67960089d0 | mC4 |
रोसैसिया का निदान - एक दिन स्वास्थ्य - 2019
रोसैसिया का निदान
रोसैसिया का निदान यह नैदानिक है। एक चिकित्सकीय साक्षात्कार और चेहरे की चोटों की एक जांच त्वचा विशेषज्ञ के लिए सही निदान तक पहुंचने के लिए पर्याप्त होगी। साक्षात्कार के दौरान आप घावों की अवधि के बारे में पूछेंगे, यदि वे स्थायी हैं या प्रकोपों में उत्पन्न होते हैं, यदि वे उस समय से परिवर्तन पेश करते हैं जब तक वे ठीक नहीं होते हैं और यदि त्वचा अपनी सामान्य उपस्थिति को ठीक करती है। इस बारे में भी पूछताछ की जाएगी कि क्या ऐसी स्थितियां हैं जो त्वचा के खराब होने का कारण बनती हैं (व्यायाम, सूरज के संपर्क में, कुछ खाद्य पदार्थ खाने, शराब पीने आदि)।
रोगी को डॉक्टर को बताने वाले लक्षण भी बहुत महत्वपूर्ण हैं, क्योंकि प्रभावित त्वचा की जलन, जलन या अतिसंवेदनशीलता रोसैसिया की बहुत विशेषता है।
परीक्षा के दौरान, त्वचा विशेषज्ञ की तलाश करेंगे रोजेशिया की विशेषताएं (जैसे कि टेलैंगिएक्टेसियास और पुस्टुल्स) और जांच लें कि कोई अलग घाव तो नहीं है जो अन्य बीमारियों को जन्म दे सकता है। केवल संदिग्ध मामलों में और इलाज के लिए खराब प्रतिक्रिया का सहारा लिया जाएगा त्वचा की बायोप्सी, माइक्रोस्कोप के तहत अध्ययन करने के लिए त्वचा की एक मिलीमीटर टुकड़े की कोशिकाओं। यह परीक्षण अक्सर उपयोग नहीं किया जाता है, क्योंकि चेहरे पर निशान न छोड़ना बेहतर होता है, हालांकि यह आमतौर पर नहीं होता है या यदि संकेत न्यूनतम है।
एक अन्य परीक्षण जो आम तौर पर रोसैसिया के साथ कई रोगियों में किया जाता है, एक माइक्रोस्कोप के तहत निरीक्षण करने के लिए त्वचा का एक नमूना लेना है और इस प्रकार घुन के साथ संक्रमण की जांच करना है। Demodex, यह छिद्र और बालों के रोम में रहता है, मृत त्वचा पर खिला है और कभी-कभी इस विकार से जुड़ा होता है, जो निदान और उपचार का मार्गदर्शन करने में मदद करता है। | 2019/10/19 20:43:50 | https://hi.webstylemag.com/diagnosis-of-rosacea-54996 | mC4 |
Bihar Crime : अस्मत लूटने गया था देवर, भाभी ने काट डाला गुप्तांग, जानिए फिर क्या हुआ ? | BIHAR TODAY | Bihar News In Hindi 2022
Bihar Crime : भागलपुर में देवर ने दुष्कर्म की कोशिश की तो भाभी ने धारदार हथियार से वार कर उसका गुप्तांग काट दिया. युवक का इलाज मायागंज अस्पताल में चल रहा है.
Bihar Crime : बिहार के भागलपुर (Bhagalpur) में भाभी द्वारा देवर का गुप्तांग काटे जाने का मामला सामने आया है. बड़ा भाई कमाने के लिए बाहर रहता था. घर में रह रहा देवर भाभी पर गंदी नजर रखता था. महिला को अकेली देख उसने कमरे में घुसकर दुष्कर्म की कोशिश की. अपनी अस्मत बचाने की कोशिश में महिला ने देवर के गुप्तांग पर धारदार हथियार से वार कर दिया.
घायल युवक भागलपुर के मायागंज अस्पताल (Mayaganj Hospital Bhagalpur) में अपना इलाज करा रहा है. गुरुवार को हुई इस घटना की जानकारी शुक्रवार को सामने आई. इस मामले में दोनों तरफ से केस दर्ज कराया गया है. घटना नवगछिया के खरीक थाना क्षेत्र की है.
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गुप्तांग काटे जाने से युवक गंभीर रूप से घायल हो गया था. परिजन इलाज के लिए पहले उसे स्थानीय पीएचसी में ले गए. प्राथमिक उपचार के बाद डॉक्टर ने युवक को मायागंज अस्पताल रेफर कर दिया. आरोपी युवक की पत्नी ने महिला से मारपीट की, जिससे वह घायल हो गई.
"महिला का इलाज चल रहा है. आरोपी की पत्नी ने उसके साथ मारपीट की है, जिससे वह भी घायल हो गई है. उसका पति बाहर रहता है. मामला दोनों तरफ से दर्ज हो गया है. एक पक्ष की तरफ से रेप की कोशिश तो दूसरे पक्ष द्वारा मारपीट का मामला दर्ज कराया गया है. मामले की जांच की जा रही है."- पंकज कुमार, थानाध्यक्ष, खरीक थाना
"दोनों तरफ से मामला दर्ज कर लिया गया है. पुलिस छानबीन कर रही है. घायल युवक का इलाज जारी है."– दिलीप कुमार, एसडीपीओ, नवगछिया | 2022/05/26 17:52:47 | https://bihartoday.net/crime/bihar-crime-news-sister-in-law-cut-off-her-genitals.html | mC4 |